बेंगलुरु, 27 जुलाई (आईएएनएस)। उडुपी शहर के एक कॉलेज में लड़कियों के टॉयलेट में कैमरे के मामले की जांच के लिए राष्ट्रीय महिला आयोग (एनसीडब्ल्यू) की सदस्य खुशबू सुंदर की कर्नाटक यात्रा पर आपत्ति जताते हुए राज्य के गृह मंत्री डॉ. जी. परमेश्वर ने गुरुवार को कहा कि एनसीडब्ल्यू मणिपुर नहीं गई है, बल्कि यहां आई है।
परमेश्वर ने पत्रकारों से बात करते हुए कहा कि कर्नाटक पुलिस ने उनसे कहा है कि वे मामले के तथ्यों की पुष्टि करेंगे और उन्होंने उन्हें भी यही निर्देश दिया है। उन्होंने कहा, “मैंने यह नहीं कहा है कि लड़कियों द्वारा वीडियो रिकॉर्ड करना बच्चों का खेल है।”
उनके इस बयान पर विवाद खड़ा हो गया था कि इस तरह की घटनाएं पहले भी सामने आई हैं।
उन्होंने बताया, “दोस्तों के बीच कुछ घटनाएं होती हैं। वे वहीं खत्म हो जाएंगी। कॉलेज के प्रिंसिपल ने कार्रवाई की है। उन्होंने छात्रों को निलंबित कर दिया है। मामले के संबंध में अतिरिक्त कार्रवाई शुरू करना उन पर छोड़ दिया गया है और हम हस्तक्षेप नहीं कर सकते।”
वे (कॉलेज प्रबंधन) पुलिस में शिकायत दर्ज कराएंगे।’ उन्होंने कहा कि पुलिस ने इस संबंध में पहले ही स्वत: संज्ञान लेते हुए मामला दर्ज कर लिया है और पुलिस की जांच से सच्चाई सामने आ जाएगी।
गौरतलब है कि भाजपा ने वॉशरूम में हिंदू लड़कियों का वीडियो बनाने वाली तीन मुस्लिम लड़कियों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की मांग को लेकर गुरुवार को राज्यव्यापी आंदोलन की घोषणा की है। बीजेपी के नेताओं ने दावा किया था कि यह हिंदू लड़कियों के खिलाफ एक संगठित अपराध है। पार्टी ने मामले को दबाने की कोशिश कर तुष्टिकरण की राजनीति करने के लिए कांग्रेस सरकार पर हमला बोला।
कर्नाटक पुलिस पर इस मुद्दे को लेकर आवाज उठाने पर महिला कार्यकर्ता रश्मी सामंत को परेशान करने का भी आरोप लगा।
पैरा-मेडिकल कॉलेज का कहना है कि पीड़िताएं मुस्लिम लड़कियों के खिलाफ शिकायत दर्ज कराने की इच्छुक नहीं हैं। पुलिस ने पहले कहा था कि सबूतों की कमी के कारण वे इस मामले को नहीं उठा सकते।
हालांकि, घटनाक्रम के राष्ट्रीय खबर बनने पर दबाव में आने के बाद पुलिस ने इस मामले में स्वत: संज्ञान लेते हुए मामला दर्ज किया और जांच शुरू की।
–आईएएनएस
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