deshbandhu

deshbandu_logo
  • राष्ट्रीय
  • अंतरराष्ट्रीय
  • लाइफ स्टाइल
  • अर्थजगत
  • मनोरंजन
  • खेल
  • अभिमत
  • धर्म
  • विचार
  • ई पेपर
deshbandu_logo
  • राष्ट्रीय
  • अंतरराष्ट्रीय
  • लाइफ स्टाइल
  • अर्थजगत
  • मनोरंजन
  • खेल
  • अभिमत
  • धर्म
  • विचार
  • ई पेपर
Menu
  • राष्ट्रीय
  • अंतरराष्ट्रीय
  • लाइफ स्टाइल
  • अर्थजगत
  • मनोरंजन
  • खेल
  • अभिमत
  • धर्म
  • विचार
  • ई पेपर
Facebook Twitter Youtube
  • भोपाल
  • इंदौर
  • उज्जैन
  • ग्वालियर
  • जबलपुर
  • रीवा
  • चंबल
  • नर्मदापुरम
  • शहडोल
  • सागर
  • देशबन्धु जनमत
  • पाठक प्रतिक्रियाएं
  • हमें जानें
  • विज्ञापन दरें
ADVERTISEMENT
Home राष्ट्रीय

कोर्ट ने बीआरएस सांसद की अध्यक्षता वाले फाउंडेशन को भूमि आवंटन किया रद्द

by
June 5, 2023
in राष्ट्रीय
0
कोर्ट ने बीआरएस सांसद की अध्यक्षता वाले फाउंडेशन को भूमि आवंटन किया रद्द
0
SHARES
1
VIEWS
Share on FacebookShare on Whatsapp
ADVERTISEMENT

हैदराबाद, 5 जून (आईएएनएस)। तेलंगाना उच्च न्यायालय ने सोमवार को हैदराबाद में भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) के सांसद और हेटेरो समूह के अध्यक्ष बी. पार्थ सारदी रेड्डी की अध्यक्षता वाले फाउंडेशन को 15 एकड़ सरकारी भूमि का आवंटन रद्द कर दिया।

मुख्य न्यायाधीश उज्जल भुइयां की अध्यक्षता वाली दो-न्यायाधीशों की पीठ ने 2018 में जारी सरकारी आदेश (जीओ) को रद्द कर दिया, इसमें कैंसर अस्पताल बनाने के लिए साईं सिंधु फाउंडेशन ट्रस्ट को गचीबोवली के पास खानमेट में प्रमुख भूमि आवंटित करने के लिए कहा गया था।

READ ALSO

पाकिस्तान की बौखलाहट और कायरता उजागर, भारत देगा मुंहतोड़ जवाब : रोहन गुप्ता

मणिपुर में दो महीने में लोकप्रिय सरकार बनेगी : भाजपा सांसद

अदालत ने चिकित्सा मानवविज्ञानी और मानवाधिकार कार्यकर्ता डॉ. उर्मिला पिंगले, सुरेश कुमार और अन्य द्वारा दायर जनहित याचिका पर अपना आदेश सुनाया।

22 मार्च, 2018 के तहत फाउंडेशन को कैंसर व अन्य बीमारियों के इलाज के लिए अस्पताल के निर्माण के लिए 33 वर्ष की अवधि के लिए 1.47 लाख रुपये प्रति वर्ष के पट्टे पर जमीन आवंटित की गई थी।

याचिकाकर्ताओं ने 500 करोड़ रुपये से अधिक मूल्य की प्रमुख भूमि के आवंटन को नाममात्र की लीज राशि पर चुनौती दी थी। उन्होंने यह भी तर्क दिया कि साईं सिंधु फाउंडेशन के अध्यक्ष पर पीएमएलए के तहत मनी लॉन्ड्रिंग का आरोप लगाया जा रहा है। उन्होंने अदालत को बताया कि जिला कलेक्टर की रिपोर्ट के अनुसार, भूमि का बाजार मूल्य 75,000 रुपये प्रति वर्ग गज है और इसका कुल मूल्य 500 करोड़ रुपये से अधिक है, जबकि वार्षिक पट्टा राशि 50 करोड़ रुपये है।

सरकार ने भूमि आवंटन का बचाव किया था। महाधिवक्ता बी.एस. प्रसाद ने अदालत से कहा था कि इस उदाहरण में आर्थिक घटक नहीं देखा जा सकता, क्योंकि कैंसर के कारण होने वाली मौतें दिल के दौरे के बाद अब देश में दूसरे नंबर पर हैं। उन्होंने कहा कि साई सिंधु फाउंडेशन की चेयरपर्सन हेटेरो ग्रुप की सीईओ हैं।

पार्थ सारदी रेड्डी हैदराबाद स्थित जेनेरिक दवा कंपनी हेटेरो ड्रग्स के संस्थापक और प्रमुख हैं।

पिछले साल, बीआरएस ने उन्हें राज्यसभा चुनाव में अपने उम्मीदवार के रूप में नामित किया था और वह संसद के उच्च सदन के लिए निर्विरोध चुने गए थे।

–आईएएनएस

सीबीटी

ADVERTISEMENT

हैदराबाद, 5 जून (आईएएनएस)। तेलंगाना उच्च न्यायालय ने सोमवार को हैदराबाद में भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) के सांसद और हेटेरो समूह के अध्यक्ष बी. पार्थ सारदी रेड्डी की अध्यक्षता वाले फाउंडेशन को 15 एकड़ सरकारी भूमि का आवंटन रद्द कर दिया।

मुख्य न्यायाधीश उज्जल भुइयां की अध्यक्षता वाली दो-न्यायाधीशों की पीठ ने 2018 में जारी सरकारी आदेश (जीओ) को रद्द कर दिया, इसमें कैंसर अस्पताल बनाने के लिए साईं सिंधु फाउंडेशन ट्रस्ट को गचीबोवली के पास खानमेट में प्रमुख भूमि आवंटित करने के लिए कहा गया था।

अदालत ने चिकित्सा मानवविज्ञानी और मानवाधिकार कार्यकर्ता डॉ. उर्मिला पिंगले, सुरेश कुमार और अन्य द्वारा दायर जनहित याचिका पर अपना आदेश सुनाया।

22 मार्च, 2018 के तहत फाउंडेशन को कैंसर व अन्य बीमारियों के इलाज के लिए अस्पताल के निर्माण के लिए 33 वर्ष की अवधि के लिए 1.47 लाख रुपये प्रति वर्ष के पट्टे पर जमीन आवंटित की गई थी।

याचिकाकर्ताओं ने 500 करोड़ रुपये से अधिक मूल्य की प्रमुख भूमि के आवंटन को नाममात्र की लीज राशि पर चुनौती दी थी। उन्होंने यह भी तर्क दिया कि साईं सिंधु फाउंडेशन के अध्यक्ष पर पीएमएलए के तहत मनी लॉन्ड्रिंग का आरोप लगाया जा रहा है। उन्होंने अदालत को बताया कि जिला कलेक्टर की रिपोर्ट के अनुसार, भूमि का बाजार मूल्य 75,000 रुपये प्रति वर्ग गज है और इसका कुल मूल्य 500 करोड़ रुपये से अधिक है, जबकि वार्षिक पट्टा राशि 50 करोड़ रुपये है।

सरकार ने भूमि आवंटन का बचाव किया था। महाधिवक्ता बी.एस. प्रसाद ने अदालत से कहा था कि इस उदाहरण में आर्थिक घटक नहीं देखा जा सकता, क्योंकि कैंसर के कारण होने वाली मौतें दिल के दौरे के बाद अब देश में दूसरे नंबर पर हैं। उन्होंने कहा कि साई सिंधु फाउंडेशन की चेयरपर्सन हेटेरो ग्रुप की सीईओ हैं।

पार्थ सारदी रेड्डी हैदराबाद स्थित जेनेरिक दवा कंपनी हेटेरो ड्रग्स के संस्थापक और प्रमुख हैं।

पिछले साल, बीआरएस ने उन्हें राज्यसभा चुनाव में अपने उम्मीदवार के रूप में नामित किया था और वह संसद के उच्च सदन के लिए निर्विरोध चुने गए थे।

–आईएएनएस

सीबीटी

ADVERTISEMENT

हैदराबाद, 5 जून (आईएएनएस)। तेलंगाना उच्च न्यायालय ने सोमवार को हैदराबाद में भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) के सांसद और हेटेरो समूह के अध्यक्ष बी. पार्थ सारदी रेड्डी की अध्यक्षता वाले फाउंडेशन को 15 एकड़ सरकारी भूमि का आवंटन रद्द कर दिया।

मुख्य न्यायाधीश उज्जल भुइयां की अध्यक्षता वाली दो-न्यायाधीशों की पीठ ने 2018 में जारी सरकारी आदेश (जीओ) को रद्द कर दिया, इसमें कैंसर अस्पताल बनाने के लिए साईं सिंधु फाउंडेशन ट्रस्ट को गचीबोवली के पास खानमेट में प्रमुख भूमि आवंटित करने के लिए कहा गया था।

अदालत ने चिकित्सा मानवविज्ञानी और मानवाधिकार कार्यकर्ता डॉ. उर्मिला पिंगले, सुरेश कुमार और अन्य द्वारा दायर जनहित याचिका पर अपना आदेश सुनाया।

22 मार्च, 2018 के तहत फाउंडेशन को कैंसर व अन्य बीमारियों के इलाज के लिए अस्पताल के निर्माण के लिए 33 वर्ष की अवधि के लिए 1.47 लाख रुपये प्रति वर्ष के पट्टे पर जमीन आवंटित की गई थी।

याचिकाकर्ताओं ने 500 करोड़ रुपये से अधिक मूल्य की प्रमुख भूमि के आवंटन को नाममात्र की लीज राशि पर चुनौती दी थी। उन्होंने यह भी तर्क दिया कि साईं सिंधु फाउंडेशन के अध्यक्ष पर पीएमएलए के तहत मनी लॉन्ड्रिंग का आरोप लगाया जा रहा है। उन्होंने अदालत को बताया कि जिला कलेक्टर की रिपोर्ट के अनुसार, भूमि का बाजार मूल्य 75,000 रुपये प्रति वर्ग गज है और इसका कुल मूल्य 500 करोड़ रुपये से अधिक है, जबकि वार्षिक पट्टा राशि 50 करोड़ रुपये है।

सरकार ने भूमि आवंटन का बचाव किया था। महाधिवक्ता बी.एस. प्रसाद ने अदालत से कहा था कि इस उदाहरण में आर्थिक घटक नहीं देखा जा सकता, क्योंकि कैंसर के कारण होने वाली मौतें दिल के दौरे के बाद अब देश में दूसरे नंबर पर हैं। उन्होंने कहा कि साई सिंधु फाउंडेशन की चेयरपर्सन हेटेरो ग्रुप की सीईओ हैं।

पार्थ सारदी रेड्डी हैदराबाद स्थित जेनेरिक दवा कंपनी हेटेरो ड्रग्स के संस्थापक और प्रमुख हैं।

पिछले साल, बीआरएस ने उन्हें राज्यसभा चुनाव में अपने उम्मीदवार के रूप में नामित किया था और वह संसद के उच्च सदन के लिए निर्विरोध चुने गए थे।

–आईएएनएस

सीबीटी

ADVERTISEMENT

हैदराबाद, 5 जून (आईएएनएस)। तेलंगाना उच्च न्यायालय ने सोमवार को हैदराबाद में भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) के सांसद और हेटेरो समूह के अध्यक्ष बी. पार्थ सारदी रेड्डी की अध्यक्षता वाले फाउंडेशन को 15 एकड़ सरकारी भूमि का आवंटन रद्द कर दिया।

मुख्य न्यायाधीश उज्जल भुइयां की अध्यक्षता वाली दो-न्यायाधीशों की पीठ ने 2018 में जारी सरकारी आदेश (जीओ) को रद्द कर दिया, इसमें कैंसर अस्पताल बनाने के लिए साईं सिंधु फाउंडेशन ट्रस्ट को गचीबोवली के पास खानमेट में प्रमुख भूमि आवंटित करने के लिए कहा गया था।

अदालत ने चिकित्सा मानवविज्ञानी और मानवाधिकार कार्यकर्ता डॉ. उर्मिला पिंगले, सुरेश कुमार और अन्य द्वारा दायर जनहित याचिका पर अपना आदेश सुनाया।

22 मार्च, 2018 के तहत फाउंडेशन को कैंसर व अन्य बीमारियों के इलाज के लिए अस्पताल के निर्माण के लिए 33 वर्ष की अवधि के लिए 1.47 लाख रुपये प्रति वर्ष के पट्टे पर जमीन आवंटित की गई थी।

याचिकाकर्ताओं ने 500 करोड़ रुपये से अधिक मूल्य की प्रमुख भूमि के आवंटन को नाममात्र की लीज राशि पर चुनौती दी थी। उन्होंने यह भी तर्क दिया कि साईं सिंधु फाउंडेशन के अध्यक्ष पर पीएमएलए के तहत मनी लॉन्ड्रिंग का आरोप लगाया जा रहा है। उन्होंने अदालत को बताया कि जिला कलेक्टर की रिपोर्ट के अनुसार, भूमि का बाजार मूल्य 75,000 रुपये प्रति वर्ग गज है और इसका कुल मूल्य 500 करोड़ रुपये से अधिक है, जबकि वार्षिक पट्टा राशि 50 करोड़ रुपये है।

सरकार ने भूमि आवंटन का बचाव किया था। महाधिवक्ता बी.एस. प्रसाद ने अदालत से कहा था कि इस उदाहरण में आर्थिक घटक नहीं देखा जा सकता, क्योंकि कैंसर के कारण होने वाली मौतें दिल के दौरे के बाद अब देश में दूसरे नंबर पर हैं। उन्होंने कहा कि साई सिंधु फाउंडेशन की चेयरपर्सन हेटेरो ग्रुप की सीईओ हैं।

पार्थ सारदी रेड्डी हैदराबाद स्थित जेनेरिक दवा कंपनी हेटेरो ड्रग्स के संस्थापक और प्रमुख हैं।

पिछले साल, बीआरएस ने उन्हें राज्यसभा चुनाव में अपने उम्मीदवार के रूप में नामित किया था और वह संसद के उच्च सदन के लिए निर्विरोध चुने गए थे।

–आईएएनएस

सीबीटी

ADVERTISEMENT

हैदराबाद, 5 जून (आईएएनएस)। तेलंगाना उच्च न्यायालय ने सोमवार को हैदराबाद में भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) के सांसद और हेटेरो समूह के अध्यक्ष बी. पार्थ सारदी रेड्डी की अध्यक्षता वाले फाउंडेशन को 15 एकड़ सरकारी भूमि का आवंटन रद्द कर दिया।

मुख्य न्यायाधीश उज्जल भुइयां की अध्यक्षता वाली दो-न्यायाधीशों की पीठ ने 2018 में जारी सरकारी आदेश (जीओ) को रद्द कर दिया, इसमें कैंसर अस्पताल बनाने के लिए साईं सिंधु फाउंडेशन ट्रस्ट को गचीबोवली के पास खानमेट में प्रमुख भूमि आवंटित करने के लिए कहा गया था।

अदालत ने चिकित्सा मानवविज्ञानी और मानवाधिकार कार्यकर्ता डॉ. उर्मिला पिंगले, सुरेश कुमार और अन्य द्वारा दायर जनहित याचिका पर अपना आदेश सुनाया।

22 मार्च, 2018 के तहत फाउंडेशन को कैंसर व अन्य बीमारियों के इलाज के लिए अस्पताल के निर्माण के लिए 33 वर्ष की अवधि के लिए 1.47 लाख रुपये प्रति वर्ष के पट्टे पर जमीन आवंटित की गई थी।

याचिकाकर्ताओं ने 500 करोड़ रुपये से अधिक मूल्य की प्रमुख भूमि के आवंटन को नाममात्र की लीज राशि पर चुनौती दी थी। उन्होंने यह भी तर्क दिया कि साईं सिंधु फाउंडेशन के अध्यक्ष पर पीएमएलए के तहत मनी लॉन्ड्रिंग का आरोप लगाया जा रहा है। उन्होंने अदालत को बताया कि जिला कलेक्टर की रिपोर्ट के अनुसार, भूमि का बाजार मूल्य 75,000 रुपये प्रति वर्ग गज है और इसका कुल मूल्य 500 करोड़ रुपये से अधिक है, जबकि वार्षिक पट्टा राशि 50 करोड़ रुपये है।

सरकार ने भूमि आवंटन का बचाव किया था। महाधिवक्ता बी.एस. प्रसाद ने अदालत से कहा था कि इस उदाहरण में आर्थिक घटक नहीं देखा जा सकता, क्योंकि कैंसर के कारण होने वाली मौतें दिल के दौरे के बाद अब देश में दूसरे नंबर पर हैं। उन्होंने कहा कि साई सिंधु फाउंडेशन की चेयरपर्सन हेटेरो ग्रुप की सीईओ हैं।

पार्थ सारदी रेड्डी हैदराबाद स्थित जेनेरिक दवा कंपनी हेटेरो ड्रग्स के संस्थापक और प्रमुख हैं।

पिछले साल, बीआरएस ने उन्हें राज्यसभा चुनाव में अपने उम्मीदवार के रूप में नामित किया था और वह संसद के उच्च सदन के लिए निर्विरोध चुने गए थे।

–आईएएनएस

सीबीटी

ADVERTISEMENT

हैदराबाद, 5 जून (आईएएनएस)। तेलंगाना उच्च न्यायालय ने सोमवार को हैदराबाद में भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) के सांसद और हेटेरो समूह के अध्यक्ष बी. पार्थ सारदी रेड्डी की अध्यक्षता वाले फाउंडेशन को 15 एकड़ सरकारी भूमि का आवंटन रद्द कर दिया।

मुख्य न्यायाधीश उज्जल भुइयां की अध्यक्षता वाली दो-न्यायाधीशों की पीठ ने 2018 में जारी सरकारी आदेश (जीओ) को रद्द कर दिया, इसमें कैंसर अस्पताल बनाने के लिए साईं सिंधु फाउंडेशन ट्रस्ट को गचीबोवली के पास खानमेट में प्रमुख भूमि आवंटित करने के लिए कहा गया था।

अदालत ने चिकित्सा मानवविज्ञानी और मानवाधिकार कार्यकर्ता डॉ. उर्मिला पिंगले, सुरेश कुमार और अन्य द्वारा दायर जनहित याचिका पर अपना आदेश सुनाया।

22 मार्च, 2018 के तहत फाउंडेशन को कैंसर व अन्य बीमारियों के इलाज के लिए अस्पताल के निर्माण के लिए 33 वर्ष की अवधि के लिए 1.47 लाख रुपये प्रति वर्ष के पट्टे पर जमीन आवंटित की गई थी।

याचिकाकर्ताओं ने 500 करोड़ रुपये से अधिक मूल्य की प्रमुख भूमि के आवंटन को नाममात्र की लीज राशि पर चुनौती दी थी। उन्होंने यह भी तर्क दिया कि साईं सिंधु फाउंडेशन के अध्यक्ष पर पीएमएलए के तहत मनी लॉन्ड्रिंग का आरोप लगाया जा रहा है। उन्होंने अदालत को बताया कि जिला कलेक्टर की रिपोर्ट के अनुसार, भूमि का बाजार मूल्य 75,000 रुपये प्रति वर्ग गज है और इसका कुल मूल्य 500 करोड़ रुपये से अधिक है, जबकि वार्षिक पट्टा राशि 50 करोड़ रुपये है।

सरकार ने भूमि आवंटन का बचाव किया था। महाधिवक्ता बी.एस. प्रसाद ने अदालत से कहा था कि इस उदाहरण में आर्थिक घटक नहीं देखा जा सकता, क्योंकि कैंसर के कारण होने वाली मौतें दिल के दौरे के बाद अब देश में दूसरे नंबर पर हैं। उन्होंने कहा कि साई सिंधु फाउंडेशन की चेयरपर्सन हेटेरो ग्रुप की सीईओ हैं।

पार्थ सारदी रेड्डी हैदराबाद स्थित जेनेरिक दवा कंपनी हेटेरो ड्रग्स के संस्थापक और प्रमुख हैं।

पिछले साल, बीआरएस ने उन्हें राज्यसभा चुनाव में अपने उम्मीदवार के रूप में नामित किया था और वह संसद के उच्च सदन के लिए निर्विरोध चुने गए थे।

–आईएएनएस

सीबीटी

ADVERTISEMENT

हैदराबाद, 5 जून (आईएएनएस)। तेलंगाना उच्च न्यायालय ने सोमवार को हैदराबाद में भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) के सांसद और हेटेरो समूह के अध्यक्ष बी. पार्थ सारदी रेड्डी की अध्यक्षता वाले फाउंडेशन को 15 एकड़ सरकारी भूमि का आवंटन रद्द कर दिया।

मुख्य न्यायाधीश उज्जल भुइयां की अध्यक्षता वाली दो-न्यायाधीशों की पीठ ने 2018 में जारी सरकारी आदेश (जीओ) को रद्द कर दिया, इसमें कैंसर अस्पताल बनाने के लिए साईं सिंधु फाउंडेशन ट्रस्ट को गचीबोवली के पास खानमेट में प्रमुख भूमि आवंटित करने के लिए कहा गया था।

अदालत ने चिकित्सा मानवविज्ञानी और मानवाधिकार कार्यकर्ता डॉ. उर्मिला पिंगले, सुरेश कुमार और अन्य द्वारा दायर जनहित याचिका पर अपना आदेश सुनाया।

22 मार्च, 2018 के तहत फाउंडेशन को कैंसर व अन्य बीमारियों के इलाज के लिए अस्पताल के निर्माण के लिए 33 वर्ष की अवधि के लिए 1.47 लाख रुपये प्रति वर्ष के पट्टे पर जमीन आवंटित की गई थी।

याचिकाकर्ताओं ने 500 करोड़ रुपये से अधिक मूल्य की प्रमुख भूमि के आवंटन को नाममात्र की लीज राशि पर चुनौती दी थी। उन्होंने यह भी तर्क दिया कि साईं सिंधु फाउंडेशन के अध्यक्ष पर पीएमएलए के तहत मनी लॉन्ड्रिंग का आरोप लगाया जा रहा है। उन्होंने अदालत को बताया कि जिला कलेक्टर की रिपोर्ट के अनुसार, भूमि का बाजार मूल्य 75,000 रुपये प्रति वर्ग गज है और इसका कुल मूल्य 500 करोड़ रुपये से अधिक है, जबकि वार्षिक पट्टा राशि 50 करोड़ रुपये है।

सरकार ने भूमि आवंटन का बचाव किया था। महाधिवक्ता बी.एस. प्रसाद ने अदालत से कहा था कि इस उदाहरण में आर्थिक घटक नहीं देखा जा सकता, क्योंकि कैंसर के कारण होने वाली मौतें दिल के दौरे के बाद अब देश में दूसरे नंबर पर हैं। उन्होंने कहा कि साई सिंधु फाउंडेशन की चेयरपर्सन हेटेरो ग्रुप की सीईओ हैं।

पार्थ सारदी रेड्डी हैदराबाद स्थित जेनेरिक दवा कंपनी हेटेरो ड्रग्स के संस्थापक और प्रमुख हैं।

पिछले साल, बीआरएस ने उन्हें राज्यसभा चुनाव में अपने उम्मीदवार के रूप में नामित किया था और वह संसद के उच्च सदन के लिए निर्विरोध चुने गए थे।

–आईएएनएस

सीबीटी

ADVERTISEMENT

हैदराबाद, 5 जून (आईएएनएस)। तेलंगाना उच्च न्यायालय ने सोमवार को हैदराबाद में भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) के सांसद और हेटेरो समूह के अध्यक्ष बी. पार्थ सारदी रेड्डी की अध्यक्षता वाले फाउंडेशन को 15 एकड़ सरकारी भूमि का आवंटन रद्द कर दिया।

मुख्य न्यायाधीश उज्जल भुइयां की अध्यक्षता वाली दो-न्यायाधीशों की पीठ ने 2018 में जारी सरकारी आदेश (जीओ) को रद्द कर दिया, इसमें कैंसर अस्पताल बनाने के लिए साईं सिंधु फाउंडेशन ट्रस्ट को गचीबोवली के पास खानमेट में प्रमुख भूमि आवंटित करने के लिए कहा गया था।

अदालत ने चिकित्सा मानवविज्ञानी और मानवाधिकार कार्यकर्ता डॉ. उर्मिला पिंगले, सुरेश कुमार और अन्य द्वारा दायर जनहित याचिका पर अपना आदेश सुनाया।

22 मार्च, 2018 के तहत फाउंडेशन को कैंसर व अन्य बीमारियों के इलाज के लिए अस्पताल के निर्माण के लिए 33 वर्ष की अवधि के लिए 1.47 लाख रुपये प्रति वर्ष के पट्टे पर जमीन आवंटित की गई थी।

याचिकाकर्ताओं ने 500 करोड़ रुपये से अधिक मूल्य की प्रमुख भूमि के आवंटन को नाममात्र की लीज राशि पर चुनौती दी थी। उन्होंने यह भी तर्क दिया कि साईं सिंधु फाउंडेशन के अध्यक्ष पर पीएमएलए के तहत मनी लॉन्ड्रिंग का आरोप लगाया जा रहा है। उन्होंने अदालत को बताया कि जिला कलेक्टर की रिपोर्ट के अनुसार, भूमि का बाजार मूल्य 75,000 रुपये प्रति वर्ग गज है और इसका कुल मूल्य 500 करोड़ रुपये से अधिक है, जबकि वार्षिक पट्टा राशि 50 करोड़ रुपये है।

सरकार ने भूमि आवंटन का बचाव किया था। महाधिवक्ता बी.एस. प्रसाद ने अदालत से कहा था कि इस उदाहरण में आर्थिक घटक नहीं देखा जा सकता, क्योंकि कैंसर के कारण होने वाली मौतें दिल के दौरे के बाद अब देश में दूसरे नंबर पर हैं। उन्होंने कहा कि साई सिंधु फाउंडेशन की चेयरपर्सन हेटेरो ग्रुप की सीईओ हैं।

पार्थ सारदी रेड्डी हैदराबाद स्थित जेनेरिक दवा कंपनी हेटेरो ड्रग्स के संस्थापक और प्रमुख हैं।

पिछले साल, बीआरएस ने उन्हें राज्यसभा चुनाव में अपने उम्मीदवार के रूप में नामित किया था और वह संसद के उच्च सदन के लिए निर्विरोध चुने गए थे।

–आईएएनएस

सीबीटी

हैदराबाद, 5 जून (आईएएनएस)। तेलंगाना उच्च न्यायालय ने सोमवार को हैदराबाद में भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) के सांसद और हेटेरो समूह के अध्यक्ष बी. पार्थ सारदी रेड्डी की अध्यक्षता वाले फाउंडेशन को 15 एकड़ सरकारी भूमि का आवंटन रद्द कर दिया।

मुख्य न्यायाधीश उज्जल भुइयां की अध्यक्षता वाली दो-न्यायाधीशों की पीठ ने 2018 में जारी सरकारी आदेश (जीओ) को रद्द कर दिया, इसमें कैंसर अस्पताल बनाने के लिए साईं सिंधु फाउंडेशन ट्रस्ट को गचीबोवली के पास खानमेट में प्रमुख भूमि आवंटित करने के लिए कहा गया था।

अदालत ने चिकित्सा मानवविज्ञानी और मानवाधिकार कार्यकर्ता डॉ. उर्मिला पिंगले, सुरेश कुमार और अन्य द्वारा दायर जनहित याचिका पर अपना आदेश सुनाया।

22 मार्च, 2018 के तहत फाउंडेशन को कैंसर व अन्य बीमारियों के इलाज के लिए अस्पताल के निर्माण के लिए 33 वर्ष की अवधि के लिए 1.47 लाख रुपये प्रति वर्ष के पट्टे पर जमीन आवंटित की गई थी।

याचिकाकर्ताओं ने 500 करोड़ रुपये से अधिक मूल्य की प्रमुख भूमि के आवंटन को नाममात्र की लीज राशि पर चुनौती दी थी। उन्होंने यह भी तर्क दिया कि साईं सिंधु फाउंडेशन के अध्यक्ष पर पीएमएलए के तहत मनी लॉन्ड्रिंग का आरोप लगाया जा रहा है। उन्होंने अदालत को बताया कि जिला कलेक्टर की रिपोर्ट के अनुसार, भूमि का बाजार मूल्य 75,000 रुपये प्रति वर्ग गज है और इसका कुल मूल्य 500 करोड़ रुपये से अधिक है, जबकि वार्षिक पट्टा राशि 50 करोड़ रुपये है।

सरकार ने भूमि आवंटन का बचाव किया था। महाधिवक्ता बी.एस. प्रसाद ने अदालत से कहा था कि इस उदाहरण में आर्थिक घटक नहीं देखा जा सकता, क्योंकि कैंसर के कारण होने वाली मौतें दिल के दौरे के बाद अब देश में दूसरे नंबर पर हैं। उन्होंने कहा कि साई सिंधु फाउंडेशन की चेयरपर्सन हेटेरो ग्रुप की सीईओ हैं।

पार्थ सारदी रेड्डी हैदराबाद स्थित जेनेरिक दवा कंपनी हेटेरो ड्रग्स के संस्थापक और प्रमुख हैं।

पिछले साल, बीआरएस ने उन्हें राज्यसभा चुनाव में अपने उम्मीदवार के रूप में नामित किया था और वह संसद के उच्च सदन के लिए निर्विरोध चुने गए थे।

–आईएएनएस

सीबीटी

ADVERTISEMENT

हैदराबाद, 5 जून (आईएएनएस)। तेलंगाना उच्च न्यायालय ने सोमवार को हैदराबाद में भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) के सांसद और हेटेरो समूह के अध्यक्ष बी. पार्थ सारदी रेड्डी की अध्यक्षता वाले फाउंडेशन को 15 एकड़ सरकारी भूमि का आवंटन रद्द कर दिया।

मुख्य न्यायाधीश उज्जल भुइयां की अध्यक्षता वाली दो-न्यायाधीशों की पीठ ने 2018 में जारी सरकारी आदेश (जीओ) को रद्द कर दिया, इसमें कैंसर अस्पताल बनाने के लिए साईं सिंधु फाउंडेशन ट्रस्ट को गचीबोवली के पास खानमेट में प्रमुख भूमि आवंटित करने के लिए कहा गया था।

अदालत ने चिकित्सा मानवविज्ञानी और मानवाधिकार कार्यकर्ता डॉ. उर्मिला पिंगले, सुरेश कुमार और अन्य द्वारा दायर जनहित याचिका पर अपना आदेश सुनाया।

22 मार्च, 2018 के तहत फाउंडेशन को कैंसर व अन्य बीमारियों के इलाज के लिए अस्पताल के निर्माण के लिए 33 वर्ष की अवधि के लिए 1.47 लाख रुपये प्रति वर्ष के पट्टे पर जमीन आवंटित की गई थी।

याचिकाकर्ताओं ने 500 करोड़ रुपये से अधिक मूल्य की प्रमुख भूमि के आवंटन को नाममात्र की लीज राशि पर चुनौती दी थी। उन्होंने यह भी तर्क दिया कि साईं सिंधु फाउंडेशन के अध्यक्ष पर पीएमएलए के तहत मनी लॉन्ड्रिंग का आरोप लगाया जा रहा है। उन्होंने अदालत को बताया कि जिला कलेक्टर की रिपोर्ट के अनुसार, भूमि का बाजार मूल्य 75,000 रुपये प्रति वर्ग गज है और इसका कुल मूल्य 500 करोड़ रुपये से अधिक है, जबकि वार्षिक पट्टा राशि 50 करोड़ रुपये है।

सरकार ने भूमि आवंटन का बचाव किया था। महाधिवक्ता बी.एस. प्रसाद ने अदालत से कहा था कि इस उदाहरण में आर्थिक घटक नहीं देखा जा सकता, क्योंकि कैंसर के कारण होने वाली मौतें दिल के दौरे के बाद अब देश में दूसरे नंबर पर हैं। उन्होंने कहा कि साई सिंधु फाउंडेशन की चेयरपर्सन हेटेरो ग्रुप की सीईओ हैं।

पार्थ सारदी रेड्डी हैदराबाद स्थित जेनेरिक दवा कंपनी हेटेरो ड्रग्स के संस्थापक और प्रमुख हैं।

पिछले साल, बीआरएस ने उन्हें राज्यसभा चुनाव में अपने उम्मीदवार के रूप में नामित किया था और वह संसद के उच्च सदन के लिए निर्विरोध चुने गए थे।

–आईएएनएस

सीबीटी

ADVERTISEMENT

हैदराबाद, 5 जून (आईएएनएस)। तेलंगाना उच्च न्यायालय ने सोमवार को हैदराबाद में भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) के सांसद और हेटेरो समूह के अध्यक्ष बी. पार्थ सारदी रेड्डी की अध्यक्षता वाले फाउंडेशन को 15 एकड़ सरकारी भूमि का आवंटन रद्द कर दिया।

मुख्य न्यायाधीश उज्जल भुइयां की अध्यक्षता वाली दो-न्यायाधीशों की पीठ ने 2018 में जारी सरकारी आदेश (जीओ) को रद्द कर दिया, इसमें कैंसर अस्पताल बनाने के लिए साईं सिंधु फाउंडेशन ट्रस्ट को गचीबोवली के पास खानमेट में प्रमुख भूमि आवंटित करने के लिए कहा गया था।

अदालत ने चिकित्सा मानवविज्ञानी और मानवाधिकार कार्यकर्ता डॉ. उर्मिला पिंगले, सुरेश कुमार और अन्य द्वारा दायर जनहित याचिका पर अपना आदेश सुनाया।

22 मार्च, 2018 के तहत फाउंडेशन को कैंसर व अन्य बीमारियों के इलाज के लिए अस्पताल के निर्माण के लिए 33 वर्ष की अवधि के लिए 1.47 लाख रुपये प्रति वर्ष के पट्टे पर जमीन आवंटित की गई थी।

याचिकाकर्ताओं ने 500 करोड़ रुपये से अधिक मूल्य की प्रमुख भूमि के आवंटन को नाममात्र की लीज राशि पर चुनौती दी थी। उन्होंने यह भी तर्क दिया कि साईं सिंधु फाउंडेशन के अध्यक्ष पर पीएमएलए के तहत मनी लॉन्ड्रिंग का आरोप लगाया जा रहा है। उन्होंने अदालत को बताया कि जिला कलेक्टर की रिपोर्ट के अनुसार, भूमि का बाजार मूल्य 75,000 रुपये प्रति वर्ग गज है और इसका कुल मूल्य 500 करोड़ रुपये से अधिक है, जबकि वार्षिक पट्टा राशि 50 करोड़ रुपये है।

सरकार ने भूमि आवंटन का बचाव किया था। महाधिवक्ता बी.एस. प्रसाद ने अदालत से कहा था कि इस उदाहरण में आर्थिक घटक नहीं देखा जा सकता, क्योंकि कैंसर के कारण होने वाली मौतें दिल के दौरे के बाद अब देश में दूसरे नंबर पर हैं। उन्होंने कहा कि साई सिंधु फाउंडेशन की चेयरपर्सन हेटेरो ग्रुप की सीईओ हैं।

पार्थ सारदी रेड्डी हैदराबाद स्थित जेनेरिक दवा कंपनी हेटेरो ड्रग्स के संस्थापक और प्रमुख हैं।

पिछले साल, बीआरएस ने उन्हें राज्यसभा चुनाव में अपने उम्मीदवार के रूप में नामित किया था और वह संसद के उच्च सदन के लिए निर्विरोध चुने गए थे।

–आईएएनएस

सीबीटी

ADVERTISEMENT

हैदराबाद, 5 जून (आईएएनएस)। तेलंगाना उच्च न्यायालय ने सोमवार को हैदराबाद में भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) के सांसद और हेटेरो समूह के अध्यक्ष बी. पार्थ सारदी रेड्डी की अध्यक्षता वाले फाउंडेशन को 15 एकड़ सरकारी भूमि का आवंटन रद्द कर दिया।

मुख्य न्यायाधीश उज्जल भुइयां की अध्यक्षता वाली दो-न्यायाधीशों की पीठ ने 2018 में जारी सरकारी आदेश (जीओ) को रद्द कर दिया, इसमें कैंसर अस्पताल बनाने के लिए साईं सिंधु फाउंडेशन ट्रस्ट को गचीबोवली के पास खानमेट में प्रमुख भूमि आवंटित करने के लिए कहा गया था।

अदालत ने चिकित्सा मानवविज्ञानी और मानवाधिकार कार्यकर्ता डॉ. उर्मिला पिंगले, सुरेश कुमार और अन्य द्वारा दायर जनहित याचिका पर अपना आदेश सुनाया।

22 मार्च, 2018 के तहत फाउंडेशन को कैंसर व अन्य बीमारियों के इलाज के लिए अस्पताल के निर्माण के लिए 33 वर्ष की अवधि के लिए 1.47 लाख रुपये प्रति वर्ष के पट्टे पर जमीन आवंटित की गई थी।

याचिकाकर्ताओं ने 500 करोड़ रुपये से अधिक मूल्य की प्रमुख भूमि के आवंटन को नाममात्र की लीज राशि पर चुनौती दी थी। उन्होंने यह भी तर्क दिया कि साईं सिंधु फाउंडेशन के अध्यक्ष पर पीएमएलए के तहत मनी लॉन्ड्रिंग का आरोप लगाया जा रहा है। उन्होंने अदालत को बताया कि जिला कलेक्टर की रिपोर्ट के अनुसार, भूमि का बाजार मूल्य 75,000 रुपये प्रति वर्ग गज है और इसका कुल मूल्य 500 करोड़ रुपये से अधिक है, जबकि वार्षिक पट्टा राशि 50 करोड़ रुपये है।

सरकार ने भूमि आवंटन का बचाव किया था। महाधिवक्ता बी.एस. प्रसाद ने अदालत से कहा था कि इस उदाहरण में आर्थिक घटक नहीं देखा जा सकता, क्योंकि कैंसर के कारण होने वाली मौतें दिल के दौरे के बाद अब देश में दूसरे नंबर पर हैं। उन्होंने कहा कि साई सिंधु फाउंडेशन की चेयरपर्सन हेटेरो ग्रुप की सीईओ हैं।

पार्थ सारदी रेड्डी हैदराबाद स्थित जेनेरिक दवा कंपनी हेटेरो ड्रग्स के संस्थापक और प्रमुख हैं।

पिछले साल, बीआरएस ने उन्हें राज्यसभा चुनाव में अपने उम्मीदवार के रूप में नामित किया था और वह संसद के उच्च सदन के लिए निर्विरोध चुने गए थे।

–आईएएनएस

सीबीटी

ADVERTISEMENT

हैदराबाद, 5 जून (आईएएनएस)। तेलंगाना उच्च न्यायालय ने सोमवार को हैदराबाद में भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) के सांसद और हेटेरो समूह के अध्यक्ष बी. पार्थ सारदी रेड्डी की अध्यक्षता वाले फाउंडेशन को 15 एकड़ सरकारी भूमि का आवंटन रद्द कर दिया।

मुख्य न्यायाधीश उज्जल भुइयां की अध्यक्षता वाली दो-न्यायाधीशों की पीठ ने 2018 में जारी सरकारी आदेश (जीओ) को रद्द कर दिया, इसमें कैंसर अस्पताल बनाने के लिए साईं सिंधु फाउंडेशन ट्रस्ट को गचीबोवली के पास खानमेट में प्रमुख भूमि आवंटित करने के लिए कहा गया था।

अदालत ने चिकित्सा मानवविज्ञानी और मानवाधिकार कार्यकर्ता डॉ. उर्मिला पिंगले, सुरेश कुमार और अन्य द्वारा दायर जनहित याचिका पर अपना आदेश सुनाया।

22 मार्च, 2018 के तहत फाउंडेशन को कैंसर व अन्य बीमारियों के इलाज के लिए अस्पताल के निर्माण के लिए 33 वर्ष की अवधि के लिए 1.47 लाख रुपये प्रति वर्ष के पट्टे पर जमीन आवंटित की गई थी।

याचिकाकर्ताओं ने 500 करोड़ रुपये से अधिक मूल्य की प्रमुख भूमि के आवंटन को नाममात्र की लीज राशि पर चुनौती दी थी। उन्होंने यह भी तर्क दिया कि साईं सिंधु फाउंडेशन के अध्यक्ष पर पीएमएलए के तहत मनी लॉन्ड्रिंग का आरोप लगाया जा रहा है। उन्होंने अदालत को बताया कि जिला कलेक्टर की रिपोर्ट के अनुसार, भूमि का बाजार मूल्य 75,000 रुपये प्रति वर्ग गज है और इसका कुल मूल्य 500 करोड़ रुपये से अधिक है, जबकि वार्षिक पट्टा राशि 50 करोड़ रुपये है।

सरकार ने भूमि आवंटन का बचाव किया था। महाधिवक्ता बी.एस. प्रसाद ने अदालत से कहा था कि इस उदाहरण में आर्थिक घटक नहीं देखा जा सकता, क्योंकि कैंसर के कारण होने वाली मौतें दिल के दौरे के बाद अब देश में दूसरे नंबर पर हैं। उन्होंने कहा कि साई सिंधु फाउंडेशन की चेयरपर्सन हेटेरो ग्रुप की सीईओ हैं।

पार्थ सारदी रेड्डी हैदराबाद स्थित जेनेरिक दवा कंपनी हेटेरो ड्रग्स के संस्थापक और प्रमुख हैं।

पिछले साल, बीआरएस ने उन्हें राज्यसभा चुनाव में अपने उम्मीदवार के रूप में नामित किया था और वह संसद के उच्च सदन के लिए निर्विरोध चुने गए थे।

–आईएएनएस

सीबीटी

ADVERTISEMENT

हैदराबाद, 5 जून (आईएएनएस)। तेलंगाना उच्च न्यायालय ने सोमवार को हैदराबाद में भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) के सांसद और हेटेरो समूह के अध्यक्ष बी. पार्थ सारदी रेड्डी की अध्यक्षता वाले फाउंडेशन को 15 एकड़ सरकारी भूमि का आवंटन रद्द कर दिया।

मुख्य न्यायाधीश उज्जल भुइयां की अध्यक्षता वाली दो-न्यायाधीशों की पीठ ने 2018 में जारी सरकारी आदेश (जीओ) को रद्द कर दिया, इसमें कैंसर अस्पताल बनाने के लिए साईं सिंधु फाउंडेशन ट्रस्ट को गचीबोवली के पास खानमेट में प्रमुख भूमि आवंटित करने के लिए कहा गया था।

अदालत ने चिकित्सा मानवविज्ञानी और मानवाधिकार कार्यकर्ता डॉ. उर्मिला पिंगले, सुरेश कुमार और अन्य द्वारा दायर जनहित याचिका पर अपना आदेश सुनाया।

22 मार्च, 2018 के तहत फाउंडेशन को कैंसर व अन्य बीमारियों के इलाज के लिए अस्पताल के निर्माण के लिए 33 वर्ष की अवधि के लिए 1.47 लाख रुपये प्रति वर्ष के पट्टे पर जमीन आवंटित की गई थी।

याचिकाकर्ताओं ने 500 करोड़ रुपये से अधिक मूल्य की प्रमुख भूमि के आवंटन को नाममात्र की लीज राशि पर चुनौती दी थी। उन्होंने यह भी तर्क दिया कि साईं सिंधु फाउंडेशन के अध्यक्ष पर पीएमएलए के तहत मनी लॉन्ड्रिंग का आरोप लगाया जा रहा है। उन्होंने अदालत को बताया कि जिला कलेक्टर की रिपोर्ट के अनुसार, भूमि का बाजार मूल्य 75,000 रुपये प्रति वर्ग गज है और इसका कुल मूल्य 500 करोड़ रुपये से अधिक है, जबकि वार्षिक पट्टा राशि 50 करोड़ रुपये है।

सरकार ने भूमि आवंटन का बचाव किया था। महाधिवक्ता बी.एस. प्रसाद ने अदालत से कहा था कि इस उदाहरण में आर्थिक घटक नहीं देखा जा सकता, क्योंकि कैंसर के कारण होने वाली मौतें दिल के दौरे के बाद अब देश में दूसरे नंबर पर हैं। उन्होंने कहा कि साई सिंधु फाउंडेशन की चेयरपर्सन हेटेरो ग्रुप की सीईओ हैं।

पार्थ सारदी रेड्डी हैदराबाद स्थित जेनेरिक दवा कंपनी हेटेरो ड्रग्स के संस्थापक और प्रमुख हैं।

पिछले साल, बीआरएस ने उन्हें राज्यसभा चुनाव में अपने उम्मीदवार के रूप में नामित किया था और वह संसद के उच्च सदन के लिए निर्विरोध चुने गए थे।

–आईएएनएस

सीबीटी

ADVERTISEMENT

हैदराबाद, 5 जून (आईएएनएस)। तेलंगाना उच्च न्यायालय ने सोमवार को हैदराबाद में भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) के सांसद और हेटेरो समूह के अध्यक्ष बी. पार्थ सारदी रेड्डी की अध्यक्षता वाले फाउंडेशन को 15 एकड़ सरकारी भूमि का आवंटन रद्द कर दिया।

मुख्य न्यायाधीश उज्जल भुइयां की अध्यक्षता वाली दो-न्यायाधीशों की पीठ ने 2018 में जारी सरकारी आदेश (जीओ) को रद्द कर दिया, इसमें कैंसर अस्पताल बनाने के लिए साईं सिंधु फाउंडेशन ट्रस्ट को गचीबोवली के पास खानमेट में प्रमुख भूमि आवंटित करने के लिए कहा गया था।

अदालत ने चिकित्सा मानवविज्ञानी और मानवाधिकार कार्यकर्ता डॉ. उर्मिला पिंगले, सुरेश कुमार और अन्य द्वारा दायर जनहित याचिका पर अपना आदेश सुनाया।

22 मार्च, 2018 के तहत फाउंडेशन को कैंसर व अन्य बीमारियों के इलाज के लिए अस्पताल के निर्माण के लिए 33 वर्ष की अवधि के लिए 1.47 लाख रुपये प्रति वर्ष के पट्टे पर जमीन आवंटित की गई थी।

याचिकाकर्ताओं ने 500 करोड़ रुपये से अधिक मूल्य की प्रमुख भूमि के आवंटन को नाममात्र की लीज राशि पर चुनौती दी थी। उन्होंने यह भी तर्क दिया कि साईं सिंधु फाउंडेशन के अध्यक्ष पर पीएमएलए के तहत मनी लॉन्ड्रिंग का आरोप लगाया जा रहा है। उन्होंने अदालत को बताया कि जिला कलेक्टर की रिपोर्ट के अनुसार, भूमि का बाजार मूल्य 75,000 रुपये प्रति वर्ग गज है और इसका कुल मूल्य 500 करोड़ रुपये से अधिक है, जबकि वार्षिक पट्टा राशि 50 करोड़ रुपये है।

सरकार ने भूमि आवंटन का बचाव किया था। महाधिवक्ता बी.एस. प्रसाद ने अदालत से कहा था कि इस उदाहरण में आर्थिक घटक नहीं देखा जा सकता, क्योंकि कैंसर के कारण होने वाली मौतें दिल के दौरे के बाद अब देश में दूसरे नंबर पर हैं। उन्होंने कहा कि साई सिंधु फाउंडेशन की चेयरपर्सन हेटेरो ग्रुप की सीईओ हैं।

पार्थ सारदी रेड्डी हैदराबाद स्थित जेनेरिक दवा कंपनी हेटेरो ड्रग्स के संस्थापक और प्रमुख हैं।

पिछले साल, बीआरएस ने उन्हें राज्यसभा चुनाव में अपने उम्मीदवार के रूप में नामित किया था और वह संसद के उच्च सदन के लिए निर्विरोध चुने गए थे।

–आईएएनएस

सीबीटी

ADVERTISEMENT

हैदराबाद, 5 जून (आईएएनएस)। तेलंगाना उच्च न्यायालय ने सोमवार को हैदराबाद में भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) के सांसद और हेटेरो समूह के अध्यक्ष बी. पार्थ सारदी रेड्डी की अध्यक्षता वाले फाउंडेशन को 15 एकड़ सरकारी भूमि का आवंटन रद्द कर दिया।

मुख्य न्यायाधीश उज्जल भुइयां की अध्यक्षता वाली दो-न्यायाधीशों की पीठ ने 2018 में जारी सरकारी आदेश (जीओ) को रद्द कर दिया, इसमें कैंसर अस्पताल बनाने के लिए साईं सिंधु फाउंडेशन ट्रस्ट को गचीबोवली के पास खानमेट में प्रमुख भूमि आवंटित करने के लिए कहा गया था।

अदालत ने चिकित्सा मानवविज्ञानी और मानवाधिकार कार्यकर्ता डॉ. उर्मिला पिंगले, सुरेश कुमार और अन्य द्वारा दायर जनहित याचिका पर अपना आदेश सुनाया।

22 मार्च, 2018 के तहत फाउंडेशन को कैंसर व अन्य बीमारियों के इलाज के लिए अस्पताल के निर्माण के लिए 33 वर्ष की अवधि के लिए 1.47 लाख रुपये प्रति वर्ष के पट्टे पर जमीन आवंटित की गई थी।

याचिकाकर्ताओं ने 500 करोड़ रुपये से अधिक मूल्य की प्रमुख भूमि के आवंटन को नाममात्र की लीज राशि पर चुनौती दी थी। उन्होंने यह भी तर्क दिया कि साईं सिंधु फाउंडेशन के अध्यक्ष पर पीएमएलए के तहत मनी लॉन्ड्रिंग का आरोप लगाया जा रहा है। उन्होंने अदालत को बताया कि जिला कलेक्टर की रिपोर्ट के अनुसार, भूमि का बाजार मूल्य 75,000 रुपये प्रति वर्ग गज है और इसका कुल मूल्य 500 करोड़ रुपये से अधिक है, जबकि वार्षिक पट्टा राशि 50 करोड़ रुपये है।

सरकार ने भूमि आवंटन का बचाव किया था। महाधिवक्ता बी.एस. प्रसाद ने अदालत से कहा था कि इस उदाहरण में आर्थिक घटक नहीं देखा जा सकता, क्योंकि कैंसर के कारण होने वाली मौतें दिल के दौरे के बाद अब देश में दूसरे नंबर पर हैं। उन्होंने कहा कि साई सिंधु फाउंडेशन की चेयरपर्सन हेटेरो ग्रुप की सीईओ हैं।

पार्थ सारदी रेड्डी हैदराबाद स्थित जेनेरिक दवा कंपनी हेटेरो ड्रग्स के संस्थापक और प्रमुख हैं।

पिछले साल, बीआरएस ने उन्हें राज्यसभा चुनाव में अपने उम्मीदवार के रूप में नामित किया था और वह संसद के उच्च सदन के लिए निर्विरोध चुने गए थे।

–आईएएनएस

सीबीटी

Related Posts

राष्ट्रीय

पाकिस्तान की बौखलाहट और कायरता उजागर, भारत देगा मुंहतोड़ जवाब : रोहन गुप्ता

May 12, 2025
राष्ट्रीय

मणिपुर में दो महीने में लोकप्रिय सरकार बनेगी : भाजपा सांसद

May 12, 2025
राष्ट्रीय

भारत-पाक तनाव : सशस्त्र बलों के प्रति एकजुटता दिखाने के लिए मिजोरम में विशेष प्रार्थना का आयोजन

May 12, 2025
राष्ट्रीय

योगी सरकार की इंटीग्रेटेड प्रणाली राजस्व विभाग में बढ़ाएगी पारदर्शिता

May 11, 2025
राष्ट्रीय

सनफ्लावर सीड ऑयल से होता है लिवर को सबसे ज्यादा नुकसान

May 11, 2025
राष्ट्रीय

पाकिस्तान को आतंकवाद की कीमत चुकानी पड़ी : अशोक चौधरी

May 11, 2025
Next Post
अंतर्राष्ट्रीय व्यापार के लिए रुपए का प्रयोग फायदेमंद, लेकिन निर्यात बढ़ाने की जरूरत : स्वदेशी जागरण मंच

अंतर्राष्ट्रीय व्यापार के लिए रुपए का प्रयोग फायदेमंद, लेकिन निर्यात बढ़ाने की जरूरत : स्वदेशी जागरण मंच

Leave a Reply Cancel reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

POPULAR NEWS

No Content Available

EDITOR'S PICK

No Content Available
ADVERTISEMENT

Contact us

Address

Deshbandhu Complex, Naudra Bridge Jabalpur 482001

Mail

deshbandhump@gmail.com

Mobile

9425156056

Important links

  • राशि-भविष्य
  • वर्गीकृत विज्ञापन
  • लाइफ स्टाइल
  • मनोरंजन
  • ब्लॉग

Important links

  • देशबन्धु जनमत
  • पाठक प्रतिक्रियाएं
  • हमें जानें
  • विज्ञापन दरें
  • ई पेपर

Related Links

  • Mayaram Surjan
  • Swayamsiddha
  • Deshbandhu

Social Links

081014
Total views : 5871354
Powered By WPS Visitor Counter

Published by Abhas Surjan on behalf of Patrakar Prakashan Pvt.Ltd., Deshbandhu Complex, Naudra Bridge, Jabalpur - 482001 |T:+91 761 4006577 |M: +91 9425156056 Disclaimer, Privacy Policy & Other Terms & Conditions The contents of this website is for reading only. Any unauthorised attempt to temper / edit / change the contents of this website comes under cyber crime and is punishable.

Copyright @ 2022 Deshbandhu. All rights are reserved.

  • Disclaimer, Privacy Policy & Other Terms & Conditions
No Result
View All Result
  • राष्ट्रीय
  • अंतरराष्ट्रीय
  • लाइफ स्टाइल
  • अर्थजगत
  • मनोरंजन
  • खेल
  • अभिमत
  • धर्म
  • विचार
  • ई पेपर

Copyright @ 2022 Deshbandhu-MP All rights are reserved.

Welcome Back!

Login to your account below

Forgotten Password? Sign Up

Create New Account!

Fill the forms below to register

All fields are required. Log In

Retrieve your password

Please enter your username or email address to reset your password.

Log In

Notifications