हैदराबाद, 8 मार्च (आईएएनएस)। भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) नेता तथा तेलंगाना के पूर्व मंत्री मल्ला रेड्डी ने शुक्रवार को इन अटकलबाजियों से इनकार किया कि वह पार्टी छोड़ने पर विचार कर रहे हैं।
मल्ला रेड्डी ने बीआरएस के कार्यकारी अध्यक्ष के.टी. रामाराव से भेंट कर अपनी सफाई पेश की। इससे पहले गुरुवार को मुख्यमंत्री ए. रेवंत रेड्डी के सलाहकार वेम नरेंद्र रेड्डी से उनकी मुलाकात के बाद अटकलें लगाई जाने लगीं कि वह और उनके बेटे भद्र रेड्डी कांग्रेस में शामिल होंगे।
मल्ला रेड्डी के साथ उनके बेटे भद्र रेड्डी भी थे, जिन्होंने स्पष्ट किया कि उनका मल्काजगिरी से लोकसभा चुनाव लड़ने का कोई इरादा नहीं है।
मेडचल निर्वाचन क्षेत्र के विधायक मल्ला रेड्डी ने स्पष्ट किया कि उन्होंने अपने दामाद और विधायक मैरी राजशेखर रेड्डी के स्वामित्व वाले कॉलेजों की इमारतों के विध्वंस से संबंधित मुद्दे पर वेम नरेंद्र रेड्डी से मुलाकात की।
मल्ला रेड्डी ने पिछले महीने कहा था कि उनका बेटा मल्काजगिरी निर्वाचन क्षेत्र से आगामी लोकसभा चुनाव लड़ने के लिए तैयार है। हालाँकि, भद्र रेड्डी ने अब पार्टी नेतृत्व को बता दिया है कि उनकी चुनाव लड़ने की कोई योजना नहीं है।
अधिकारियों ने गुरुवार को हैदराबाद के बाहरी इलाके में मैरी राजशेखर रेड्डी द्वारा संचालित दो कॉलेजों के परिसरों में कुछ संरचनाओं को ध्वस्त कर दिया। डंडीगल में एयरोनॉटिकल कॉलेज और एमएलआरआईटीएम कॉलेज में दो स्थायी इमारतों और छह अस्थायी शेडों को ध्वस्त कर दिया गया क्योंकि वे कथित तौर पर एक झील की जमीन पर अवैध रूप से बनाए गए थे।
राजशेखर रेड्डी पिछले साल हुए चुनावों में मल्काजगिरी से विधानसभा के लिए चुने गए थे। दिसंबर में कांग्रेस के सत्ता में आने के बाद ऐसी अटकलें थीं कि मल्ला रेड्डी और उनके दामाद कांग्रेस में शामिल हो सकते हैं। हालांकि, पूर्व मंत्री ने अटकलों को खारिज कर दिया था।
रेवंत रेड्डी 2019 के चुनावों में अपने निकटतम प्रतिद्वंद्वी बीआरएस के राजशेखर रेड्डी को हराकर मल्काजगिरी से लोकसभा के लिए चुने गए। शैक्षणिक संस्थानों और अस्पतालों की श्रृंखला चलाने वाले मल्ला रेड्डी 2014 में तेलुगु देशम पार्टी (टीडीपी) के टिकट पर मल्काजगिरी से लोकसभा के लिए चुने गए थे। बाद में वह टीआरएस (अब बीआरएस) में शामिल हो गये।
–आईएएनएस
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