लखनऊ, 22 अगस्त (आईएएनएस)। उत्तर प्रदेश सरकार ने परिषदीय विद्यालयों के बच्चों को ‘अंतरिक्ष विज्ञान और प्रौद्योगिकी’ के प्रति आकर्षित करने का निर्णय लिया है। ‘टचिंग लाइव्स ह्वाइल टचिंग द मून : इंडियाज स्पेस सागा’ थीम पर शुक्रवार को मनाए जाने वाले ‘नेशनल स्पेस-डे’ के अवसर पर बच्चों को इनकी जानकारी दी जाएगी।
23 अगस्त 2023 को भारत ने विश्व को अपनी अंतरिक्ष क्षमताओं से परिचित कराया था। पहला अवसर है, जब भारत ‘नेशनल स्पेस-डे’ मनाने जा रहा है। इस दिन चंद्रमा की सतह पर विक्रम लैंडर के स्पर्श और प्रज्ञान रोवर के परिनियोजन से चंद्रयान-3 की सफलता के साथ भारत, चंद्रमा पर उतरने वाला विश्व का चौथा और चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव के समीप उतरने वाला पहला देश बन गया था।
‘टचिंग लाइव्स ह्वाइल टचिंग द मून : इंडियाज स्पेस सागा’ विषय पर मनाए जा रहे ‘नेशनल स्पेस-डे’ के अवसर पर परिषदीय बच्चों को अंतरिक्ष विज्ञान और प्रौद्योगिकी के प्रति जागरूक और प्रेरित किया जाएगा।
इसका उद्देश्य बच्चों को राष्ट्रीय अंतरिक्ष दिवस के महत्व को समझाना है। इस अवसर पर परिषदीय बच्चों को अनेक गतिविधियों के माध्यम से अंतरिक्ष व प्रौद्योगिकी के बारे में जानकारी दी जाएगी।
इस दौरान इसरो की अंतरिक्ष उपलब्धियों (जैसे आदित्य, अंतरिक्ष प्रौद्योगिकी) पर आधारित विशेष कक्षाएं चलाई जाएंगी। कार्यशालाएं आयोजित होंगी और प्रदर्शनी व व्याख्यान आदि के सत्र भी चलेंगे।
इनके अलावा विभिन्न गतिविधियों में बच्चों की प्रतिभागिता सुनिश्चित की जाएगी। चंद्रयान मॉड्यूल के आधार पर एनसीईआरटी, नई दिल्ली द्वारा 30 मिनट का विशेष वीडियो फिल्म भी बच्चों को दिखाया जायेगा।
बेसिक शिक्षा मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) संदीप सिंह ने कहा है कि हमारा सदैव यह प्रयास रहता है कि परिषदीय बच्चों को आधुनिक और समसामयिक ज्ञान दिया जाता रहे। नेशनल स्पेस-डे पर बच्चों को ‘अंतरिक्ष विज्ञान और प्रौद्योगिकी’ के प्रति आकर्षित करना भी ऐसा ही एक प्रयास है।
–आईएएनएस
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