उमरिया, (देशबन्धु). जिले के बाडर से सटे ग्रामीण क्षेत्रों में शहडोल जिले की शराब बिक्री की चर्चा आमजन के द्वारा की जा रही है जबकि शासन प्रशासन की गाईड लाईन हैं की लाइसेंसी शराब ठेकेदार को शासन प्रशासन द्वारा चिन्हित दुकान ,स्थान से हीं बिक्री करना है परन्तु अपकारी विभाग उमरिया की उदासीनता कहें या मिलीभगत से जिले में अवैध शराब का कारोबार जम कर फल फूल रहा है जिससे आम लोगों के स्वस्थ एवं जान का खतरा भी हो सकता है.
दरासल आएं दिन जहरीली शराब से प्रदेश में घटनाएं घटित होने की चर्चाएं प्रकाश में आती रहती है लेकिन शासन प्रशासन के निकम्मेपन की कीमत आमजन को ही चुकानी पड़ती है कितने परिवार के सर का साया कहें या परिवारों में कलह का कारण आपसी झगड़े या नवयुवकों को आसानी से नशे की सामग्री का उपलब्ध होना जिससे अपराधों की तरफ ढकेलना नवयुवा पिढी का शिक्षा एवं स्वास्थ्य में बुरा प्रभाव पड़ना है.
समय रहते जिला आबकारी अधिकारी उमरिया ने शक्त कार्यवाही नही करते हैं तो यह काला कारोबार पाली जनपद के शहडोल से सटे विभिन्न ग्रामों में फलता फूलता रहेगा और उसके दुष्परिणाम उमरिया जिले की भोली-भाली ग्रामीणजन एवं उनके परिवार सहित शासन प्रशासन के खाते में जाएगा.
*यह कोई पहला मामला नहीं*
शहडोल जिले की शराब उमरिया-जिले में खपाई जाने की जन चर्चा में आना कोई नई बात नहीं होगी वर्ष 2023 में भी यह चर्चा का विषय बना हुआ था तब उस समय पदस्थ पुलिस अधीक्षक की सूचना पर कोतवाली थाना क्षेत्र में गोहपारू पुलिस ने शाराब की बड़ी खेप शहडोल राजेन्द्र टाकीज के पास पकड़ कार्यवाही हुई थी.
जानकारी के अनुसार चार पहिया वाहन क्रमांक एम पी 18 सी 3165 में अवैध शराब लोड़ होकर उमरिया जिले के पाली थाना क्षेत्र में तस्करी की जाने की सूचना मिलने पर लगभग वाहन एवं शराब की कीमत 4/5 लाख रुपए की बड़ी कार्यवाही की सूचना समाचार पत्रों में प्रकाशित हुई थी.
देखना लाजमी है कि कहीं वहीं खेल अब भी तो नहीं सुत्रो से प्राप्त जानकारी अनुसार कल आपकारी की संयुक्त टीम ने कल पाली क्षेत्र के विभिन्न ग्रामीण क्षेत्रों में छापा मार कार्यवाही के दौरान ठेला झोपड़ी के ईर्द-गिर्द सैकड़ों खाली शीशी बोतलें देखी गई जिसमें शहडोल जिला अंकित पाया गया देखना है जिला आबकारी आगे क्या कुछ क़दम उठाएगा यह तो आने वाला समय ही बताएगा या फिर कार्यवाही के नाम महज खानापूर्ति ही रह जाएगी.