कोलंबो, 30 जनवरी (आईएएनएस)। श्रीलंका में पहले अशोक स्तंभ की आधारशिला वास्काडुवे मंदिर में एक समारोह के दौरान रखी गई।
यह समारोह 28 जनवरी को आयोजित किया गया था।
आधारशिला श्रीलंका में भारत के उच्चायुक्त संतोष झा और अंतर्राष्ट्रीय बौद्ध परिसंघ (आईबीसी) के महासचिव शरत्से खेंसूर जंगचुप चोएडेन रिनपोछे की उपस्थिति में रखी गई।
मंदिर के प्रमुख वास्काडुवे महिंदावंसा महा नायक थेरो ने मेहमानों का स्वागत किया।
शिलान्यास के बाद मेहमानों ने पवित्र कपिलवस्तु अवशेषों वाले मंदिर का दौरा किया। अनुषासन का संचालन वास्काडुवे थेरो द्वारा किया गया था, जिसमें प्रामाणिक अवशेषों की ऐतिहासिक यात्रा का वर्णन किया गया था और बौद्ध शिक्षाओं के संरक्षण में राजा अशोक की भूमिका पर भी जोर दिया गया था।
उच्चायुक्त ने अपने भाषण में पीएम मोदी के तहत भारत और श्रीलंका के बीच गहरे संबंधों और सरकार की प्रतिबद्धता की भावनाओं को दोहराया, जिसमें बौद्ध संबंधों को बढ़ावा देने के लिए 1.5 करोड़ अमेरिकी डॉलर का उदार अनुदान शामिल है।
डेमेंडा पोरेज ने भी सम्राट अशोक के प्रति आभार व्यक्त किया और बौद्ध धर्म में उनके योगदान के लिए प्रत्येक प्रांत में नौ स्तंभ स्थापित करने का वचन दिया।
यह समारोह बौद्ध धर्म के संरक्षण और प्रचार-प्रसार की प्रतिबद्धता का प्रतीक है, क्योंकि बढ़ते स्तंभ दोनों देशों को साझा विरासत और आध्यात्मिक भक्ति में जोड़ने वाले पुल के रूप में कार्य करते हैं।
यह आयोजन न केवल ऐतिहासिक संबंधों को मजबूत करता है, बल्कि श्रीलंका में भारतीय उच्चायुक्त द्वारा भाग लिया गया पहला आधिकारिक समारोह भी है।
–आईएएनएस
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