लखनऊ, 27 मार्च (आईएएनएस)। कार्डियोलॉजिकल सोसाइटी ऑफ इंडिया (सीएसआई) जल्द ही एक डिजिटल प्लेटफॉर्म लॉन्च करेगा, जो दिल की विभिन्न समस्याओं के बारे में मार्गदर्शन करेगा। इस सुविधा के अगस्त के अंत तक जनता के लिए उपलब्ध होने की संभावना है। इसमें हृदय की समस्याओं, उनकी रोकथाम और क्या करें और क्या न करें का विवरण होगा।
सीएसआई के डॉ. विजय बंग के अनुसार, अनुसंधान कहता है कि लगभग 64 प्रतिशत रोगी किसी स्वास्थ्य संबंधी समस्या होने पर जानकारी के लिए इंटरनेट की जांच करते हैं। साथ ही, लगभग 50 प्रतिशत पहले लक्षण के बाद नेट पर जानकारी खोजते हैं। इसके बाद वे डॉक्टर के पास जाते हैं और बाकी खुद या फार्मासिस्ट की सलाह पर दवा लेते हैं।
यह स्वास्थ्य के मुद्दों के बारे में लोगों को शिक्षित करने के लिए एक डिजिटल प्लेटफॉर्म (वेबसाइट और ऐप) की आवश्यकता पर प्रकाश डालता है।
उन्होंने कहा, सीएसआई हृदय रोगों से संबंधित है। इस समस्या से आज दुनिया में सबसे अधिक लोगों की मौत होती है। हम उसी के लिए एक डिजिटल प्लेटफॉर्म विकसित कर रहे हैं।
उन्होंने कहा कि अक्सर लोग इंटरनेट पर जाते हैं और आधी-अधूरी जानकारी पाते हैं।
उदाहरण के लिए, कई हार्ट अटैक के मरीज या उनके रिश्तेदार हार्ट अटैक को गैस समझकर नजरअंदाज कर देते हैं और उपचार में देरी करते हैं, जो कई बार घातक साबित होता है।
एसजीपीजीआईएमएस के कार्डियोलॉजी विभाग के फैकल्टी डॉ. सुदीप कुमार ने कहा, जल्द ही मशीन लनिर्ंग और आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस पर आधारित डिजिटल डिवाइस दिल की समस्याओं और संभावित उपचार करने में सक्षम होंगे।
अब तक विकसित देशों में उपकरणों का विकास किया जा रहा है। और उनमें से कुछ सफल हो गए हैं।
उन्होंने कहा, जल्द ही ये भारत में भी आएंगे और लैब रिपोर्ट डेटा, स्कैन और केस हिस्ट्री और क्लिनिकल लक्षणों को दर्ज करके बीमारी के निदान और संभावित उपचार में मदद करेंगे।
–आईएएनएस
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