बीजिंग, 7 जून (आईएएनएस)। 8 जून को विश्व महासागर दिवस है। वर्ष 2023 विश्व महासागर दिवस का विषय है: महासागर: ज्वार बदल रहे हैं। महासागर हमारे जीवन का स्रोत है, और मनुष्य का जीवन, साथ ही हमारे ग्रह पर मौजूद अन्य सभी जीवित चीजें, समुद्र पर निर्भर करती हैं। महासागर धरती के 70 प्रतिशत से अधिक भाग को कवर करता है, फिर भी इसके जल के केवल बहुत कम हिस्से का ही पता लगाया गया है।
महासागर धरती में मौजूद कुल ऑक्सीजन का कम से कम 50 फीसदी पैदा करता है और पृथ्वी की अधिकांश जैव विविधता का घर है, दुनिया भर में 1 अरब से अधिक लोगों द्वारा इस्तेमाल किया जाने वाला प्रोटीन भी मुख्य रूप से समुद्र से आता है। इस पर पूरी तरह से निर्भर होने के बावजूद, हमारे जीवन पर इसके भारी प्रभाव की तुलना में महासागर हमारे ध्यान और संसाधनों का केवल एक छोटा सा हिस्सा प्राप्त करता है।
संयुक्त राष्ट्र महासभा के 63वें सत्र में संयुक्त राष्ट्र ने 8 जून को विश्व महासागर दिवस के रूप में नामित किया। संयुक्त राष्ट्र को उम्मीद है कि दुनिया के विभिन्न देश इस अवसर पर उस महासागर पर ध्यान दे सकते हैं जिस पर मनुष्य निर्भर हैं, और समुद्र में निहित समृद्ध मूल्य की सराहना कर सकते हैं। साथ ही, यह समुद्री पर्यावरण और समुद्री जीवन पर वैश्विक प्रदूषण और मत्स्य संसाधनों की अत्यधिक खपत के प्रतिकूल प्रभावों की भी जांच करता है।
संयुक्त राष्ट्र पर्यावरण विकास कार्यक्रम और महासागर संरक्षण ने संयुक्त रूप से समुद्री पर्यावरण की स्थिति पर एक रिपोर्ट जारी की। रिपोर्ट में कहा गया है कि हालांकि अंतरराष्ट्रीय समुदाय और कुछ देशों ने समुद्री प्रदूषण पर अंकुश लगाने के लिए काफी प्रयास किए हैं, लेकिन समस्या अब भी बहुत गंभीर है। मनुष्य द्वारा समुद्र में छोड़े गए प्रदूषक तत्व लोगों की अपनी सुरक्षा और स्वास्थ्य के लिए खतरा बने हुए हैं, जंगली जानवरों के प्रजनन के लिए खतरा हैं, और समुद्री सुविधाओं को नुकसान पहुंचा रहे हैं।
विश्व महासागर दिवस की स्थापना ने अंतर्राष्ट्रीय समुदाय के लिए समुद्र की चुनौतियों से निपटने के लिए एक मंच का निर्माण किया है, और इसने चीन को महासागर के महत्व को और प्रचारित करने और महासागर के बारे में सार्वजनिक जागरूकता बढ़ाने का एक नया अवसर भी प्रदान किया है।
(साभार- चाइना मीडिया ग्रुप, पेइचिंग)
–आईएएनएस
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