वाशिंगटन, 15 सितंबर (आईएएनएस)। भारतीय-अमेरिकी रिपब्लिकन राष्ट्रपति पद की उम्मीदवार निक्की हेली अपने पूर्व बॉस डोनाल्ड ट्रंप से 28 अंकों से पीछे हैं, लेकिन अपने गृह राज्य दक्षिण कैरोलिना में संभावित 2024 जीओपी प्राथमिक मतदाताओं के एक नए सर्वेक्षण में फ्लोरिडा के गवर्नर रॉन डेसेंटिस के मुकाबले बढ़त में हैं।
गुरुवार को जारी मॉनमाउथ यूनिवर्सिटी-वाशिंगटन पोस्ट पोल के अनुसार, साउथ कैरोलिना में संभावित जीओपी प्राथमिक मतदाताओं में से केवल 18 प्रतिशत ने कहा कि वे अपने पूर्व गवर्नर हेली के लिए वोट करने की योजना बना रहे हैं, जबकि 46 प्रतिशत ने कहा कि वे ट्रम्प को चाहते हैं।
द यूएसए टुडे की रिपोर्ट के अनुसार, सीनेटर टिम स्कॉट 10 प्रतिशत समर्थन के साथ तीसरे स्थान पर रहे और डेसेंटिस नौ प्रतिशत समर्थन के साथ चौथे स्थान पर रहे।
पिछले महीने की पहली रिपब्लिकन प्राथमिक राष्ट्रपति बहस के बाद, तराजू हेली के पक्ष में झुकना शुरू हो गया, जो फरवरी से एकल अंकों के साथ चुनावों में पिछड़ रही थी।
इस महीने की शुरुआत में जारी सीएनएन/एसएसआरएस पोल में हेली एकमात्र रिपब्लिकन राष्ट्रपति पद की उम्मीदवार के रूप में उभरीं, जो 2024 के अमेरिकी चुनावों में राष्ट्रपति जो बाइडेन को हराने में सक्षम हैं।
हेली ने हाल ही में सीबीएस न्यूज को बताया कि ट्रंप नहीं, बल्कि वह पार्टी की 2024 की राष्ट्रपति पद की उम्मीदवार बनने जा रही हैं।
हेली ने सीबीएस पर ‘फेस द नेशन’ को बताया, “मुझे नहीं लगता कि (पूर्व) राष्ट्रपति ट्रंप उम्मीदवार होंगे। मुझे लगता है कि मैं ही उम्मीदवार बनूंगी। लेकिन मैं आपको बताऊंगी कि जो बाइडेन और कमला हैरिस जो कर रहे हैं, उससे कोई भी रिपब्लिकन बेहतर है।”
गत 6 से 11 सितंबर के बीच आयोजित सर्वेक्षण में यह भी पता चला कि ट्रम्प के लिए मतदान करने वालों और साउथ कैरोलिना के अन्य जीओपी मतदाताओं से क्या अंतर है। ट्रम्प समर्थक करीब 81 प्रतिशत मतदाताओं का मानना था कि जो बाइडेन ने 2020 का चुनाव धोखाधड़ी से जीता था।
कैलिफोर्निया में 27 सितंबर को दूसरी जीओपी प्राथमिक बहस से दो दिन पहले पूर्व राष्ट्रपति समरविल में साउथ कैरोलिना में एक बार फिर अभियान करेंगे।
पोलिटिको की रिपोर्ट के अनुसार, हाल के दिनों में न्यू हैम्पशायर में दक्षिण कैरोलिना के पूर्व गवर्नर के कार्यक्रमों में शामिल हुए रिपब्लिकन ने उन्हें “बहुत स्मार्ट” और “स्वाभाविक नेता” बताया।
वे संयुक्त राष्ट्र में उनके काम की “प्रशंसा” करते हैं। वे यहां तक सोचते हैं कि 2024 में उनके पास “एक अच्छा मौका है”।
–आईएएनएस
एकेजे