10 सितंबर, नई दिल्ली (आईएएनएस)। लाला अमरनाथ का नाम उन क्रिकेटरों में शुमार किया जाता है, जिन्होंने भारत में क्रिकेट की मजबूत आधारशिला रखी। न सिर्फ खिलाड़ी, बल्कि कप्तान के तौर पर भी लाला अमरनाथ ने अपने प्रदर्शन से देश में क्रिकेट को लोकप्रिय बनाने में अहम भूमिका निभाई।
लाला अमरनाथ का जन्म 11 सितंबर 1911 को कपूरथला, पंजाब में हुआ था। बचपन से ही क्रिकेट में दिलचस्पी रखने वाले अमरनाथ एक संपूर्ण क्रिकेटर थे। वह दाएं हाथ के बल्लेबाज और दाएं हाथ के तेज गेंदबाज होने के साथ-साथ विकेटकीपिंग भी करते थे।
1933 में इंग्लैंड के खिलाफ मुंबई में खेले गए टेस्ट से लाला अमरनाथ ने 22 साल की उम्र में अंतरराष्ट्रीय करियर की शुरुआत की। दिसंबर 1952 में उन्होंने अपने करियर का आखिरी टेस्ट खेला था, जो पाकिस्तान के खिलाफ था।
19 साल के करियर में लाला अमरनाथ ने 24 टेस्ट मैचों की 40 पारियों में 1 शतक और 4 अर्धशतक लगाते हुए 878 रन बनाए। उनका सर्वाधिक स्कोर 118 था। वहीं उन्होंने 45 विकेट भी लिए थे। एक पारी में 5 विकेट लेने की बेहद खास उपलब्धि उन्होंने दो बार हासिल की थी।
लाला अमरनाथ के अंतरराष्ट्रीय करियर के दौरान भारतीय क्रिकेट का भविष्य भी आकार ले रहा था। क्रिकेट को देश में लोकप्रिय बनाने में इस दिग्गज क्रिकेटर की अहम भूमिका रही ।
अमरनाथ ने अपने पहले ही टेस्ट में इंग्लैंड के खिलाफ 17 दिसंबर, 1933 को शतक लगाया था। अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में किसी भी भारतीय का लगाया यह पहला शतक था। जब भारत आजाद हुआ तो वह स्वतंत्र भारत के पहले कप्तान बने। उनकी कप्तानी में भारत ने अपनी पहली टेस्ट सीरीज जीती थी। 1952 में पाकिस्तान क्रिकेट टीम 5 टेस्ट मैचों की सीरीज के लिए भारत आई थी। इस सीरीज को भारत ने 2-1 से जीता था। सीरीज जीत के साथ ही उन्होंने अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट को अलविदा कह दिया था। 1954-5 में जब भारतीय टीम पाकिस्तान गई थी, तो लाला अमरनाथ उस दौरे पर मैनेजर थे।
लाला अमरनाथ ने लाखों युवाओं की क्रिकेट में दिलचस्पी तो बढ़ाई ही, उनके अपने बेटे भी क्रिकेट के क्षेत्र में आए और सफलता पाई। उनके बेटे सुरिंद्र अमरनाथ और मोहिंदर अमरनाथ भारतीय टीम के लिए खेले। वहीं, राजिंदर अमरनाथ भी प्रथम श्रेणी खेले। सुरिंद्र अमरनाथ ने भारत के लिए 10 टेस्ट और 3 वनडे खेले जबकि मोहिंदर अमरनाथ ने 69 टेस्ट और 85 वनडे खेले। भारत को 1983 का विश्व कप जिताने में मोहिंदर अमरनाथ की यादगार भूमिका रही थी।
5 अगस्त 2000 को लाला अमरनाथ का निधन 88 साल की आयु में नई दिल्ली में हो गया था।
–आईएएनएस
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