नई दिल्ली, 7 फरवरी (आईएएनएस)। दिल्ली विधानसभा चुनाव के नतीजे 8 फरवरी को आएंगे, लेकिन इससे पहले राजधानी दिल्ली की सियासत में गर्माहट देखने को मिल रही है। आप के राष्ट्रीय संयोजक अरविंद केजरीवाल ने शुक्रवार को कहा कि उनकी पार्टी ने बूथ-वार मतदान डेटा साझा करने के लिए एक विशेष वेबसाइट बनाई है और आरोप लगाया कि चुनाव आयोग ने यह विवरण प्रकाशित करने से इनकार कर दिया था।
अरविंद केजरीवाल ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर लिखा, “चुनाव आयोग ने कई अनुरोधों के बावजूद फॉर्म 17सी और प्रत्येक विधानसभा में प्रत्येक बूथ पर डाले गए वोटों की संख्या अपलोड करने से इनकार कर दिया है। आम आदमी पार्टी ने एक वेबसाइट बनाई है, जहां हमने हर विधानसभा के सभी फॉर्म 17सी अपलोड किए हैं। इस फॉर्म में प्रत्येक बूथ पर डाले गए वोटों का पूरा विवरण है।”
उन्होंने आगे लिखा, “हम हर विधानसभा और हर बूथ का डेटा सारणीबद्ध प्रारूप में भी प्रस्तुत करेंगे ताकि हर मतदाता तक जानकारी पहुंच सके। यह ऐसा काम है, जो चुनाव आयोग को पारदर्शिता के लिए करना चाहिए था, लेकिन यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि वे ऐसा करने से इनकार कर रहे हैं।”
चुनाव में मतदान के आंकड़ों को लेकर आप संयोजक द्वारा लगाए गए आरोपों पर दिल्ली के मुख्य चुनाव अधिकारी ने एक्स पर लिखा, “चुनाव संचालन नियम 1961 के नियम 49एस के अनुसार, सभी पीठासीन अधिकारियों ने मतदान के दिन 5 फरवरी 2025 को मतदान केंद्र पर उपस्थित प्रत्येक मतदान एजेंट को फॉर्म 17सी में दर्ज मतों का लेखा-जोखा प्रस्तुत किया था। प्रत्येक मतदान केंद्र पर नियम का अक्षरशः पालन किया गया है।”
दरअसल, फॉर्म 17सी एक दस्तावेज है, जिसे चुनाव के दिन पीठासीन अधिकारी द्वारा भरा जाता है। फॉर्म 17सी में एक मतदान केंद्र पर कितने वोट डाले गए, इसमें इससे जुड़ी जानकारी होती है।
फॉर्म 17सी को पीठासीन अधिकारी चुनाव के दिन भरते हैं। यह फॉर्म मतदान केंद्र पर डाले गए वोटों की संख्या को दर्ज करने के लिए उपयोग में लाया जाता है। फॉर्म 17सी में मतदान केंद्र पर कितने मतदाताओं ने मतदान किया, इसकी पूरी जानकारी होती है। इसमें उस केंद्र पर कुल वोटों की संख्या, वोट डालने के बाद की स्थिति, और संबंधित मतदान केंद्र के अन्य विवरण होते हैं।
–आईएएनएस
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