नई दिल्ली, 10 सितंबर (आईएएनएस)। भाजपा नेता रविशंकर प्रसाद ने आरक्षण खत्म करने के राहुल गांधी के बयान की कड़ी आलोचना करते हुए कहा है कि उनका पूर्वाग्रह सामने आ गया है।
उन्होंने राहुल गांधी के बयान पर अखिलेश यादव, लालू यादव, तेजस्वी यादव, लेफ्ट फ्रंट और डीएमके प्रमुख एमके स्टालिन एवं उनके अन्य सहयोगियों की चुप्पी पर भी सवाल उठाते हुए कहा कि भाजपा आरक्षण समाप्त करने की कांग्रेस पार्टी की कोशिश का पूरा विरोध करेगी।
भाजपा राष्ट्रीय मुख्यालय में मीडिया को संबोधित करते हुए रविशंकर प्रसाद ने आरोप लगाया कि यह आरक्षण बाबा साहेब अंबेडकर की देन है और आरक्षण का विरोध करना राहुल गांधी की विरासत है। उनसे पहले जवाहरलाल नेहरू, इंदिरा गांधी और राजीव गांधी भी आरक्षण का विरोध कर चुके हैं।
प्रसाद ने प्रसिद्ध शायर दुष्यंत कुमार का जिक्र करते हुए कहा कि उन्होंने लिखा था, “सिर्फ हंगामा करना मेरा मकसद नहीं, मेरी कोशिश है कि ये तस्वीर और तकदीर बदलनी चाहिए।” लेकिन, राहुल गांधी ने इसे दूसरी तरह से समझ लिया है। उनका मानना है कि जब भी मैं विदेश जाऊंगा, हंगामा खड़ा करना ही मेरा मकसद है और मेरी फितरत व कोशिश है कि हंगामा बढ़ते रहना चाहिए। राहुल गांधी संविधान की लाल किताब लेकर घूमते रहते हैं। लेकिन, संविधान को बचाने की दुहाई और दावा करने वाले राहुल गांधी ने अमेरिका में कहा कि हम आरक्षण खत्म कर देंगे, जब स्थितियां बनेंगी। उनके दिल में जो आरक्षण के लिए पूर्वाग्रह है, वो सामने आ गया है। जिस संविधान को बचाने की बात वो करते हैं, उसी संविधान के साथ सबसे बड़ा छलावा और धोखा वो कर रहे हैं।
उन्होंने कहा कि कांग्रेस पार्टी दलित, आदिवासी और ओबीसी के हितों का विरोध करती है। राहुल गांधी जब भी बाहर जाते हैं, भारत को नीचा दिखाना और अपमानित करना उनका मिशन बन जाता है। जब भी राहुल गांधी बाहर जाते हैं, तो चीन के प्रति उनका प्रेम सामने आ जाता है।
यूपीए सरकार में गृह मंत्री रहे सुशील कुमार शिंदे के कश्मीर को लेकर दिए गए बयान की कड़ी आलोचना करते हुए प्रसाद ने कहा कि वह यह बयान सुनकर अवाक हैं। लेकिन, जिस लाल चौक पर जाने में देश के गृह मंत्री (सुशील कुमार शिंदे) डरते थे, उस लाल चौक पर आज भारत माता की जय होती है और तिरंगा लहराता है। यह नरेंद्र मोदी का भारत है और कश्मीर में क्या बदलाव हुआ है, यह सब देख रहे हैं।
मणिपुर के हालात को लेकर पूछे गए सवाल का जवाब देते हुए भाजपा नेता ने कहा कि हम लोग हमेशा मणिपुर में शांति की अपील करते रहे हैं। स्वयं केंद्रीय गृह और केंद्रीय गृह राज्य मंत्री ने वहां लंबा समय बिताया था, बातचीत हुई है, पूरा प्रयास जारी है। सभी चाहते हैं कि वहां शांति स्थापित होनी चाहिए।
–आईएएनएस
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