नई दिल्ली, 9 अप्रैल (आईएएनएस)। कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (ईपीएफओ) ने बुधवार को कहा कि उसके सदस्य अब उमंग मोबाइल ऐप के जरिए आधार फेस ऑथेंटिकेशन टेक्नोलॉजी (एफएटी) का उपयोग करके अपना यूनिवर्सल अकाउंट नंबर (यूएएन) जनरेट और एक्टिव कर सकते हैं।
इस संपर्क रहित और सुरक्षित सर्विस से ईपीएफओ के करोड़ों लोगों को राहत मिलेगी।
इससे पहले यूएएन को मुख्यतः नियोक्ताओं द्वारा ईपीएफओ को प्रस्तुत कर्मचारी डेटा का उपयोग करके जनरेट किया जाता था।
श्रम एवं रोजगार मंत्रालय के अनुसार,आधार डिटेल्स को सत्यापित किया गया है, लेकिन पिता का नाम, मोबाइल नंबर या जन्मतिथि जैसी जानकारियों में गलतियां आम थीं।
इन गलतियों को अकसर क्लेम प्रोसेस के दौरान या अन्य ईपीएफओ सेवाओं का उपयोग करते समय सुधार की आवश्यकता होती है।
अकेले वित्त वर्ष 2024-25 में आवंटित 1.26 करोड़ यूएएन में से केवल 44.68 लाख (35.30 प्रतिशत) ही सदस्यों द्वारा सक्रिय किए गए।
ईपीएफओ के अनुसार, “कर्मचारियों को आधार ओटीपी का उपयोग करके अपने यूएएन को सक्रिय करने के लिए नियोक्ताओं को कई रिमाइंडर दिए गए थे, जिससे भविष्य में रोजगार लिंक्ड स्कीम के तहत कोई भी लाभ डीबीटी का उपयोग करके प्रदान किया जा सके।”
ईपीएफओ ने आगे कहा कि कई मामलों में, यूएएन को कर्मचारी को बताया ही नहीं गया था और कई के मोबाइल नंबर गायब या गलत थे, जिससे सीधा संवाद मुश्किल हो गया।
इसके अलावा, ईपीएफओ सदस्य पोर्टल पर आधार ओटीपी सत्यापन के माध्यम से यूएएन एक्टिवेशन एक अलग प्रक्रिया थी जिसे सदस्य द्वारा पूरा किया जाना था, जिससे भ्रम की स्थिति पैदा हुई।
इन चुनौतियों का समाधान करने के लिए, ईपीएफओ ने अब उमंग ऐप के माध्यम से फेस ऑथेंटिकेशन का उपयोग करके सीधे यूएएन बनाने और सक्रिय करने की सुविधा शुरू कर दी है।
इस सर्विस का उपयोग कर्मचारी और नियोक्ता दोनों ही कर सकते हैं। यह फेस ऑथेंटिकेशन का उपयोग करके आधार और उपयोगकर्ता की 100 प्रतिशत वैधता प्रदान करता है और उपयोगकर्ता का डेटा सीधे आधार डेटाबेस से पहले से ही भरा जाता है।
ईपीएफओ के अनुसार, उपयोगकर्ता के मोबाइल नंबर का मिलान आधार के साथ पंजीकृत मोबाइल नंबर से किया जाता है, और जनरेशन प्रक्रिया के दौरान ईपीएफओ पोर्टल पर यूएएन एक्टिवेशन का कार्य भी पूरा हो जाता है।
नौकरी मिलने के समय, कर्मचारी ईपीएफओ में शामिल होने के लिए नियोक्ता को ई-यूएएन कार्ड की पीडीएफ और यूएएन की कॉपी सौंप सकता है। इससे ईपीएफओ सेवाओं जैसे पासबुक देखना, केवाईसी अपडेट करना, क्लेम जमा करना और अन्य सेवाओं तक पहुंच तुरंत अनलॉक हो जाती है।
–आईएएनएस
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