उज्जैन, 5 अगस्त (आईएएनएस)। सावन मास के तीसरे सोमवार को मध्य प्रदेश की धार्मिक नगरी उज्जैन में एक नया कीर्तिमान रचा गया। यह कीर्तिमान डमरू वादन में बनाया गया। एक साथ 1,500 वादकों ने डमरू वादन किया।
उज्जैन में श्रावण मास में तरह-तरह के धार्मिक कार्यक्रम आयोजित किए जा रहे हैं। उसी क्रम में तीसरे सोमवार को डमरू वादन का न केवल आयोजन किया गया, बल्कि कीर्तिमान भी रचा गया। यहां एक साथ 1,500 वादकों ने डमरू का वादन किया। यह शिवजी का प्रिय वाद्य यंत्र है और श्रावण मास के मौके पर यह अद्भुत नजारा लोगों ने देखा।
डमरू वादन की तैयारी काफी समय से उज्जैन में चल रही थी। यहां 10-10 लोगों के समूह बनाकर उन्हें प्रशिक्षित किया गया था। सोमवार को एक साथ 1,500 लोगों ने डमरू वादन किया। यह नया कीर्तिमान है और गिनीज बुक वर्ल्ड रिकॉर्ड में इसे दर्ज किया गया है।
इस कीर्तिमान पर मुख्यमंत्री मोहन यादव ने प्रतिक्रिया दी। कहा, “गूंज उठी धरती, गूंज उठा आसमान। 1,500 डमरूओं के नाद से, अवंतिका नगरी ने रचा विश्व कीर्तिमान।”
उन्होंने आगे कहा, “बाबा महाकाल की नगरी को डमरू की नाद से गुंजायमान करने की एक इच्छा आज साकार हो गई। आज पवित्र श्रावण के तीसरे सोमवार को जब भस्म आरती की धुन पर डमरू वादन कर उज्जैन ने “गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड” में अपना नाम दर्ज कराया, तो इस अद्भुत एवं अलौकिक अनुभूति को शब्दों में बांधना बहुत मुश्किल हो गया। बाबा महाकाल हम सभी पर इसी तरह अपनी कृपा बनाए रखें। बाबा महाकाल के समस्त भक्तों को इस उपलब्धि पर हार्दिक बधाई।”
–आईएएनएस
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