गुवाहाटी, 24 सितंबर (आईएएनएस)। प्रतिबंधित उग्रवादी संगठन यूनाइटेड लिबरेशन फ्रंट ऑफ असम-इंडिपेंडेंट (उल्फा-आई) ऊपरी असम में हिंसा भड़काने और पुलिसकर्मियों को परेशान करने की योजना बना रहा है।
खुफिया सूत्रों ने कहा, “उल्फा-आई उग्रवादियों के एक समूह ने तिनसुकिया जिले में प्रवेश करने और ऊपरी असम के विभिन्न इलाकों में विस्तार की रणनीति बनाई है। उग्रवादी असम अरुणाचल सीमा पर एक बड़ी हत्या के प्रयास की योजना बना रहे हैं।”
सुरक्षा बलों के एक अधिकारी ने नाम न छापने की शर्त पर कहा, ”उन्हें रोका जाना चाहिए, अन्यथा राज्य में एक नया नरसंहार देखने को मिल सकता है।”
इस बीच, उग्रवादियों की कोशिश को नाकाम करने के लिए स्थानीय पुलिस असम-अरुणाचल सीमा के कुछ संवेदनशील इलाकों के साथ-साथ घने जंगल में अभियान चला रही है।
हिमंत बिस्वा सरमा के असम के मुख्यमंत्री बनने के बाद उल्फा-आई के साथ बातचीत के लिए माहौल बनाने का प्रयास किया गया और संगठन के मुख्य कमांडर परेश बरुआ ने मुख्यमंत्री के सकारात्मक प्रयासों के सम्मान में एकतरफा युद्धविराम की घोषणा की थी।
लेकिन, चूंकि प्रतिबंधित उग्रवादी संगठन म्यांमार कैंप में वित्तीय संकट का सामना कर रहा है, इसलिए वे एक बार फिर हिंसा का रास्ता अपनाने की योजना बना रहे हैं।
पुलिस सूत्रों के अनुसार, उग्रवादियों का एक समूह असम-अरुणाचल सीमा पर एक शिविर स्थापित करने और तिनसुकिया में छिपने की योजना बना रहा है, जो प्रतिबंधित संगठन का केंद्र था।
उग्रवादी रूपम असोम, जो ऊपरी असम क्षेत्र से काफी अच्छी तरह वाकिफ है, उल्फा-आई उग्रवादियों का नेतृत्व कर रहा है।
पुलिस जानती है कि एक बार उग्रवादी तिनसुकिया जिले में प्रवेश कर गए, तो “तोड़फोड़ को रोकना मुश्किल” होगा।
पुलिस के पास विशेष जानकारी है कि उग्रवादी पैसे वसूलने के लिए सबसे पहले तिनसुकिया जिले के विभिन्न चाय बागानों के प्रबंधकों को निशाना बनाने की कोशिश करेंगे।
–आईएएनएस
एकेजे