नई दिल्ली, 11 अप्रैल (आईएएनएस)। एशियन डेवलपमेंट बैंक (एडीबी) ने गुरुवार को 2024-25 के लिए भारत की जीडीपी वृद्धि दर का अनुमान बढ़ाकर 7 फीसदी कर दिया है। उसे उम्मीद है कि सार्वजनिक और निजी क्षेत्र के निवेश के साथ-साथ उपभोक्ता मांग में सुधार होगा।
इससे पहले दिसंबर में एडीबी ने 2024-25 वित्तीय वर्ष के लिए भारत की आर्थिक विकास दर 6.7 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया था। एडीबी को यह भी उम्मीद है कि आगे चलकर भारत की मुद्रास्फीति दर में कमी आएगी।
इसने कहा, “विनिर्माण और सर्विसेज में भारतीय अर्थव्यवस्था मजबूती से बढ़ी। यह आगे भी तेजी से बढ़ती रहेगी। विकास मुख्य रूप से मजबूत निवेश और उपभोक्ता मांग में सुधार से प्रेरित होगा। मुद्रास्फीति में गिरावट का रुझान जारी रहेगा।”
इसके बाद वित्त वर्ष 2025-26 के लिए एडीबी ने भारत की विकास दर 7.2 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया है।
रिपोर्ट में कहा गया है कि मध्यम अवधि में निर्यात को बढ़ावा देने के लिए भारत को ग्लोबल वैल्यू चेन में एकीकरण की जरूरत है।
एडीबी के विकास पूर्वानुमान में वृद्धि आईएमएफ और विश्व बैंक के अनुरूप है।
29 मार्च को समाप्त हुए सप्ताह में भारत का विदेशी मुद्रा भंडार 645.58 बिलियन डॉलर की ऐतिहासिक ऊंचाई पर पहुंच गया और यह 11 महीने तक के आयात के लिए काफी है।
मुद्रास्फीति दर घटकर लगभग 5 प्रतिशत पर आ गई है और इसमें और गिरावट आने की उम्मीद है जो आगे स्थिर आर्थिक विकास का मार्ग प्रशस्त करेगी।
–आईएएनएस
एसकेपी./
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नई दिल्ली, 11 अप्रैल (आईएएनएस)। एशियन डेवलपमेंट बैंक (एडीबी) ने गुरुवार को 2024-25 के लिए भारत की जीडीपी वृद्धि दर का अनुमान बढ़ाकर 7 फीसदी कर दिया है। उसे उम्मीद है कि सार्वजनिक और निजी क्षेत्र के निवेश के साथ-साथ उपभोक्ता मांग में सुधार होगा।
इससे पहले दिसंबर में एडीबी ने 2024-25 वित्तीय वर्ष के लिए भारत की आर्थिक विकास दर 6.7 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया था। एडीबी को यह भी उम्मीद है कि आगे चलकर भारत की मुद्रास्फीति दर में कमी आएगी।
इसने कहा, “विनिर्माण और सर्विसेज में भारतीय अर्थव्यवस्था मजबूती से बढ़ी। यह आगे भी तेजी से बढ़ती रहेगी। विकास मुख्य रूप से मजबूत निवेश और उपभोक्ता मांग में सुधार से प्रेरित होगा। मुद्रास्फीति में गिरावट का रुझान जारी रहेगा।”
इसके बाद वित्त वर्ष 2025-26 के लिए एडीबी ने भारत की विकास दर 7.2 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया है।
रिपोर्ट में कहा गया है कि मध्यम अवधि में निर्यात को बढ़ावा देने के लिए भारत को ग्लोबल वैल्यू चेन में एकीकरण की जरूरत है।
एडीबी के विकास पूर्वानुमान में वृद्धि आईएमएफ और विश्व बैंक के अनुरूप है।
29 मार्च को समाप्त हुए सप्ताह में भारत का विदेशी मुद्रा भंडार 645.58 बिलियन डॉलर की ऐतिहासिक ऊंचाई पर पहुंच गया और यह 11 महीने तक के आयात के लिए काफी है।
मुद्रास्फीति दर घटकर लगभग 5 प्रतिशत पर आ गई है और इसमें और गिरावट आने की उम्मीद है जो आगे स्थिर आर्थिक विकास का मार्ग प्रशस्त करेगी।
–आईएएनएस
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नई दिल्ली, 11 अप्रैल (आईएएनएस)। एशियन डेवलपमेंट बैंक (एडीबी) ने गुरुवार को 2024-25 के लिए भारत की जीडीपी वृद्धि दर का अनुमान बढ़ाकर 7 फीसदी कर दिया है। उसे उम्मीद है कि सार्वजनिक और निजी क्षेत्र के निवेश के साथ-साथ उपभोक्ता मांग में सुधार होगा।
इससे पहले दिसंबर में एडीबी ने 2024-25 वित्तीय वर्ष के लिए भारत की आर्थिक विकास दर 6.7 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया था। एडीबी को यह भी उम्मीद है कि आगे चलकर भारत की मुद्रास्फीति दर में कमी आएगी।
इसने कहा, “विनिर्माण और सर्विसेज में भारतीय अर्थव्यवस्था मजबूती से बढ़ी। यह आगे भी तेजी से बढ़ती रहेगी। विकास मुख्य रूप से मजबूत निवेश और उपभोक्ता मांग में सुधार से प्रेरित होगा। मुद्रास्फीति में गिरावट का रुझान जारी रहेगा।”
इसके बाद वित्त वर्ष 2025-26 के लिए एडीबी ने भारत की विकास दर 7.2 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया है।
रिपोर्ट में कहा गया है कि मध्यम अवधि में निर्यात को बढ़ावा देने के लिए भारत को ग्लोबल वैल्यू चेन में एकीकरण की जरूरत है।
एडीबी के विकास पूर्वानुमान में वृद्धि आईएमएफ और विश्व बैंक के अनुरूप है।
29 मार्च को समाप्त हुए सप्ताह में भारत का विदेशी मुद्रा भंडार 645.58 बिलियन डॉलर की ऐतिहासिक ऊंचाई पर पहुंच गया और यह 11 महीने तक के आयात के लिए काफी है।
मुद्रास्फीति दर घटकर लगभग 5 प्रतिशत पर आ गई है और इसमें और गिरावट आने की उम्मीद है जो आगे स्थिर आर्थिक विकास का मार्ग प्रशस्त करेगी।
–आईएएनएस
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नई दिल्ली, 11 अप्रैल (आईएएनएस)। एशियन डेवलपमेंट बैंक (एडीबी) ने गुरुवार को 2024-25 के लिए भारत की जीडीपी वृद्धि दर का अनुमान बढ़ाकर 7 फीसदी कर दिया है। उसे उम्मीद है कि सार्वजनिक और निजी क्षेत्र के निवेश के साथ-साथ उपभोक्ता मांग में सुधार होगा।
इससे पहले दिसंबर में एडीबी ने 2024-25 वित्तीय वर्ष के लिए भारत की आर्थिक विकास दर 6.7 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया था। एडीबी को यह भी उम्मीद है कि आगे चलकर भारत की मुद्रास्फीति दर में कमी आएगी।
इसने कहा, “विनिर्माण और सर्विसेज में भारतीय अर्थव्यवस्था मजबूती से बढ़ी। यह आगे भी तेजी से बढ़ती रहेगी। विकास मुख्य रूप से मजबूत निवेश और उपभोक्ता मांग में सुधार से प्रेरित होगा। मुद्रास्फीति में गिरावट का रुझान जारी रहेगा।”
इसके बाद वित्त वर्ष 2025-26 के लिए एडीबी ने भारत की विकास दर 7.2 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया है।
रिपोर्ट में कहा गया है कि मध्यम अवधि में निर्यात को बढ़ावा देने के लिए भारत को ग्लोबल वैल्यू चेन में एकीकरण की जरूरत है।
एडीबी के विकास पूर्वानुमान में वृद्धि आईएमएफ और विश्व बैंक के अनुरूप है।
29 मार्च को समाप्त हुए सप्ताह में भारत का विदेशी मुद्रा भंडार 645.58 बिलियन डॉलर की ऐतिहासिक ऊंचाई पर पहुंच गया और यह 11 महीने तक के आयात के लिए काफी है।
मुद्रास्फीति दर घटकर लगभग 5 प्रतिशत पर आ गई है और इसमें और गिरावट आने की उम्मीद है जो आगे स्थिर आर्थिक विकास का मार्ग प्रशस्त करेगी।
–आईएएनएस
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नई दिल्ली, 11 अप्रैल (आईएएनएस)। एशियन डेवलपमेंट बैंक (एडीबी) ने गुरुवार को 2024-25 के लिए भारत की जीडीपी वृद्धि दर का अनुमान बढ़ाकर 7 फीसदी कर दिया है। उसे उम्मीद है कि सार्वजनिक और निजी क्षेत्र के निवेश के साथ-साथ उपभोक्ता मांग में सुधार होगा।
इससे पहले दिसंबर में एडीबी ने 2024-25 वित्तीय वर्ष के लिए भारत की आर्थिक विकास दर 6.7 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया था। एडीबी को यह भी उम्मीद है कि आगे चलकर भारत की मुद्रास्फीति दर में कमी आएगी।
इसने कहा, “विनिर्माण और सर्विसेज में भारतीय अर्थव्यवस्था मजबूती से बढ़ी। यह आगे भी तेजी से बढ़ती रहेगी। विकास मुख्य रूप से मजबूत निवेश और उपभोक्ता मांग में सुधार से प्रेरित होगा। मुद्रास्फीति में गिरावट का रुझान जारी रहेगा।”
इसके बाद वित्त वर्ष 2025-26 के लिए एडीबी ने भारत की विकास दर 7.2 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया है।
रिपोर्ट में कहा गया है कि मध्यम अवधि में निर्यात को बढ़ावा देने के लिए भारत को ग्लोबल वैल्यू चेन में एकीकरण की जरूरत है।
एडीबी के विकास पूर्वानुमान में वृद्धि आईएमएफ और विश्व बैंक के अनुरूप है।
29 मार्च को समाप्त हुए सप्ताह में भारत का विदेशी मुद्रा भंडार 645.58 बिलियन डॉलर की ऐतिहासिक ऊंचाई पर पहुंच गया और यह 11 महीने तक के आयात के लिए काफी है।
मुद्रास्फीति दर घटकर लगभग 5 प्रतिशत पर आ गई है और इसमें और गिरावट आने की उम्मीद है जो आगे स्थिर आर्थिक विकास का मार्ग प्रशस्त करेगी।
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नई दिल्ली, 11 अप्रैल (आईएएनएस)। एशियन डेवलपमेंट बैंक (एडीबी) ने गुरुवार को 2024-25 के लिए भारत की जीडीपी वृद्धि दर का अनुमान बढ़ाकर 7 फीसदी कर दिया है। उसे उम्मीद है कि सार्वजनिक और निजी क्षेत्र के निवेश के साथ-साथ उपभोक्ता मांग में सुधार होगा।
इससे पहले दिसंबर में एडीबी ने 2024-25 वित्तीय वर्ष के लिए भारत की आर्थिक विकास दर 6.7 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया था। एडीबी को यह भी उम्मीद है कि आगे चलकर भारत की मुद्रास्फीति दर में कमी आएगी।
इसने कहा, “विनिर्माण और सर्विसेज में भारतीय अर्थव्यवस्था मजबूती से बढ़ी। यह आगे भी तेजी से बढ़ती रहेगी। विकास मुख्य रूप से मजबूत निवेश और उपभोक्ता मांग में सुधार से प्रेरित होगा। मुद्रास्फीति में गिरावट का रुझान जारी रहेगा।”
इसके बाद वित्त वर्ष 2025-26 के लिए एडीबी ने भारत की विकास दर 7.2 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया है।
रिपोर्ट में कहा गया है कि मध्यम अवधि में निर्यात को बढ़ावा देने के लिए भारत को ग्लोबल वैल्यू चेन में एकीकरण की जरूरत है।
एडीबी के विकास पूर्वानुमान में वृद्धि आईएमएफ और विश्व बैंक के अनुरूप है।
29 मार्च को समाप्त हुए सप्ताह में भारत का विदेशी मुद्रा भंडार 645.58 बिलियन डॉलर की ऐतिहासिक ऊंचाई पर पहुंच गया और यह 11 महीने तक के आयात के लिए काफी है।
मुद्रास्फीति दर घटकर लगभग 5 प्रतिशत पर आ गई है और इसमें और गिरावट आने की उम्मीद है जो आगे स्थिर आर्थिक विकास का मार्ग प्रशस्त करेगी।
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नई दिल्ली, 11 अप्रैल (आईएएनएस)। एशियन डेवलपमेंट बैंक (एडीबी) ने गुरुवार को 2024-25 के लिए भारत की जीडीपी वृद्धि दर का अनुमान बढ़ाकर 7 फीसदी कर दिया है। उसे उम्मीद है कि सार्वजनिक और निजी क्षेत्र के निवेश के साथ-साथ उपभोक्ता मांग में सुधार होगा।
इससे पहले दिसंबर में एडीबी ने 2024-25 वित्तीय वर्ष के लिए भारत की आर्थिक विकास दर 6.7 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया था। एडीबी को यह भी उम्मीद है कि आगे चलकर भारत की मुद्रास्फीति दर में कमी आएगी।
इसने कहा, “विनिर्माण और सर्विसेज में भारतीय अर्थव्यवस्था मजबूती से बढ़ी। यह आगे भी तेजी से बढ़ती रहेगी। विकास मुख्य रूप से मजबूत निवेश और उपभोक्ता मांग में सुधार से प्रेरित होगा। मुद्रास्फीति में गिरावट का रुझान जारी रहेगा।”
इसके बाद वित्त वर्ष 2025-26 के लिए एडीबी ने भारत की विकास दर 7.2 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया है।
रिपोर्ट में कहा गया है कि मध्यम अवधि में निर्यात को बढ़ावा देने के लिए भारत को ग्लोबल वैल्यू चेन में एकीकरण की जरूरत है।
एडीबी के विकास पूर्वानुमान में वृद्धि आईएमएफ और विश्व बैंक के अनुरूप है।
29 मार्च को समाप्त हुए सप्ताह में भारत का विदेशी मुद्रा भंडार 645.58 बिलियन डॉलर की ऐतिहासिक ऊंचाई पर पहुंच गया और यह 11 महीने तक के आयात के लिए काफी है।
मुद्रास्फीति दर घटकर लगभग 5 प्रतिशत पर आ गई है और इसमें और गिरावट आने की उम्मीद है जो आगे स्थिर आर्थिक विकास का मार्ग प्रशस्त करेगी।
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नई दिल्ली, 11 अप्रैल (आईएएनएस)। एशियन डेवलपमेंट बैंक (एडीबी) ने गुरुवार को 2024-25 के लिए भारत की जीडीपी वृद्धि दर का अनुमान बढ़ाकर 7 फीसदी कर दिया है। उसे उम्मीद है कि सार्वजनिक और निजी क्षेत्र के निवेश के साथ-साथ उपभोक्ता मांग में सुधार होगा।
इससे पहले दिसंबर में एडीबी ने 2024-25 वित्तीय वर्ष के लिए भारत की आर्थिक विकास दर 6.7 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया था। एडीबी को यह भी उम्मीद है कि आगे चलकर भारत की मुद्रास्फीति दर में कमी आएगी।
इसने कहा, “विनिर्माण और सर्विसेज में भारतीय अर्थव्यवस्था मजबूती से बढ़ी। यह आगे भी तेजी से बढ़ती रहेगी। विकास मुख्य रूप से मजबूत निवेश और उपभोक्ता मांग में सुधार से प्रेरित होगा। मुद्रास्फीति में गिरावट का रुझान जारी रहेगा।”
इसके बाद वित्त वर्ष 2025-26 के लिए एडीबी ने भारत की विकास दर 7.2 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया है।
रिपोर्ट में कहा गया है कि मध्यम अवधि में निर्यात को बढ़ावा देने के लिए भारत को ग्लोबल वैल्यू चेन में एकीकरण की जरूरत है।
एडीबी के विकास पूर्वानुमान में वृद्धि आईएमएफ और विश्व बैंक के अनुरूप है।
29 मार्च को समाप्त हुए सप्ताह में भारत का विदेशी मुद्रा भंडार 645.58 बिलियन डॉलर की ऐतिहासिक ऊंचाई पर पहुंच गया और यह 11 महीने तक के आयात के लिए काफी है।
मुद्रास्फीति दर घटकर लगभग 5 प्रतिशत पर आ गई है और इसमें और गिरावट आने की उम्मीद है जो आगे स्थिर आर्थिक विकास का मार्ग प्रशस्त करेगी।
–आईएएनएस
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नई दिल्ली, 11 अप्रैल (आईएएनएस)। एशियन डेवलपमेंट बैंक (एडीबी) ने गुरुवार को 2024-25 के लिए भारत की जीडीपी वृद्धि दर का अनुमान बढ़ाकर 7 फीसदी कर दिया है। उसे उम्मीद है कि सार्वजनिक और निजी क्षेत्र के निवेश के साथ-साथ उपभोक्ता मांग में सुधार होगा।
इससे पहले दिसंबर में एडीबी ने 2024-25 वित्तीय वर्ष के लिए भारत की आर्थिक विकास दर 6.7 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया था। एडीबी को यह भी उम्मीद है कि आगे चलकर भारत की मुद्रास्फीति दर में कमी आएगी।
इसने कहा, “विनिर्माण और सर्विसेज में भारतीय अर्थव्यवस्था मजबूती से बढ़ी। यह आगे भी तेजी से बढ़ती रहेगी। विकास मुख्य रूप से मजबूत निवेश और उपभोक्ता मांग में सुधार से प्रेरित होगा। मुद्रास्फीति में गिरावट का रुझान जारी रहेगा।”
इसके बाद वित्त वर्ष 2025-26 के लिए एडीबी ने भारत की विकास दर 7.2 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया है।
रिपोर्ट में कहा गया है कि मध्यम अवधि में निर्यात को बढ़ावा देने के लिए भारत को ग्लोबल वैल्यू चेन में एकीकरण की जरूरत है।
एडीबी के विकास पूर्वानुमान में वृद्धि आईएमएफ और विश्व बैंक के अनुरूप है।
29 मार्च को समाप्त हुए सप्ताह में भारत का विदेशी मुद्रा भंडार 645.58 बिलियन डॉलर की ऐतिहासिक ऊंचाई पर पहुंच गया और यह 11 महीने तक के आयात के लिए काफी है।
मुद्रास्फीति दर घटकर लगभग 5 प्रतिशत पर आ गई है और इसमें और गिरावट आने की उम्मीद है जो आगे स्थिर आर्थिक विकास का मार्ग प्रशस्त करेगी।
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नई दिल्ली, 11 अप्रैल (आईएएनएस)। एशियन डेवलपमेंट बैंक (एडीबी) ने गुरुवार को 2024-25 के लिए भारत की जीडीपी वृद्धि दर का अनुमान बढ़ाकर 7 फीसदी कर दिया है। उसे उम्मीद है कि सार्वजनिक और निजी क्षेत्र के निवेश के साथ-साथ उपभोक्ता मांग में सुधार होगा।
इससे पहले दिसंबर में एडीबी ने 2024-25 वित्तीय वर्ष के लिए भारत की आर्थिक विकास दर 6.7 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया था। एडीबी को यह भी उम्मीद है कि आगे चलकर भारत की मुद्रास्फीति दर में कमी आएगी।
इसने कहा, “विनिर्माण और सर्विसेज में भारतीय अर्थव्यवस्था मजबूती से बढ़ी। यह आगे भी तेजी से बढ़ती रहेगी। विकास मुख्य रूप से मजबूत निवेश और उपभोक्ता मांग में सुधार से प्रेरित होगा। मुद्रास्फीति में गिरावट का रुझान जारी रहेगा।”
इसके बाद वित्त वर्ष 2025-26 के लिए एडीबी ने भारत की विकास दर 7.2 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया है।
रिपोर्ट में कहा गया है कि मध्यम अवधि में निर्यात को बढ़ावा देने के लिए भारत को ग्लोबल वैल्यू चेन में एकीकरण की जरूरत है।
एडीबी के विकास पूर्वानुमान में वृद्धि आईएमएफ और विश्व बैंक के अनुरूप है।
29 मार्च को समाप्त हुए सप्ताह में भारत का विदेशी मुद्रा भंडार 645.58 बिलियन डॉलर की ऐतिहासिक ऊंचाई पर पहुंच गया और यह 11 महीने तक के आयात के लिए काफी है।
मुद्रास्फीति दर घटकर लगभग 5 प्रतिशत पर आ गई है और इसमें और गिरावट आने की उम्मीद है जो आगे स्थिर आर्थिक विकास का मार्ग प्रशस्त करेगी।
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नई दिल्ली, 11 अप्रैल (आईएएनएस)। एशियन डेवलपमेंट बैंक (एडीबी) ने गुरुवार को 2024-25 के लिए भारत की जीडीपी वृद्धि दर का अनुमान बढ़ाकर 7 फीसदी कर दिया है। उसे उम्मीद है कि सार्वजनिक और निजी क्षेत्र के निवेश के साथ-साथ उपभोक्ता मांग में सुधार होगा।
इससे पहले दिसंबर में एडीबी ने 2024-25 वित्तीय वर्ष के लिए भारत की आर्थिक विकास दर 6.7 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया था। एडीबी को यह भी उम्मीद है कि आगे चलकर भारत की मुद्रास्फीति दर में कमी आएगी।
इसने कहा, “विनिर्माण और सर्विसेज में भारतीय अर्थव्यवस्था मजबूती से बढ़ी। यह आगे भी तेजी से बढ़ती रहेगी। विकास मुख्य रूप से मजबूत निवेश और उपभोक्ता मांग में सुधार से प्रेरित होगा। मुद्रास्फीति में गिरावट का रुझान जारी रहेगा।”
इसके बाद वित्त वर्ष 2025-26 के लिए एडीबी ने भारत की विकास दर 7.2 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया है।
रिपोर्ट में कहा गया है कि मध्यम अवधि में निर्यात को बढ़ावा देने के लिए भारत को ग्लोबल वैल्यू चेन में एकीकरण की जरूरत है।
एडीबी के विकास पूर्वानुमान में वृद्धि आईएमएफ और विश्व बैंक के अनुरूप है।
29 मार्च को समाप्त हुए सप्ताह में भारत का विदेशी मुद्रा भंडार 645.58 बिलियन डॉलर की ऐतिहासिक ऊंचाई पर पहुंच गया और यह 11 महीने तक के आयात के लिए काफी है।
मुद्रास्फीति दर घटकर लगभग 5 प्रतिशत पर आ गई है और इसमें और गिरावट आने की उम्मीद है जो आगे स्थिर आर्थिक विकास का मार्ग प्रशस्त करेगी।
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नई दिल्ली, 11 अप्रैल (आईएएनएस)। एशियन डेवलपमेंट बैंक (एडीबी) ने गुरुवार को 2024-25 के लिए भारत की जीडीपी वृद्धि दर का अनुमान बढ़ाकर 7 फीसदी कर दिया है। उसे उम्मीद है कि सार्वजनिक और निजी क्षेत्र के निवेश के साथ-साथ उपभोक्ता मांग में सुधार होगा।
इससे पहले दिसंबर में एडीबी ने 2024-25 वित्तीय वर्ष के लिए भारत की आर्थिक विकास दर 6.7 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया था। एडीबी को यह भी उम्मीद है कि आगे चलकर भारत की मुद्रास्फीति दर में कमी आएगी।
इसने कहा, “विनिर्माण और सर्विसेज में भारतीय अर्थव्यवस्था मजबूती से बढ़ी। यह आगे भी तेजी से बढ़ती रहेगी। विकास मुख्य रूप से मजबूत निवेश और उपभोक्ता मांग में सुधार से प्रेरित होगा। मुद्रास्फीति में गिरावट का रुझान जारी रहेगा।”
इसके बाद वित्त वर्ष 2025-26 के लिए एडीबी ने भारत की विकास दर 7.2 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया है।
रिपोर्ट में कहा गया है कि मध्यम अवधि में निर्यात को बढ़ावा देने के लिए भारत को ग्लोबल वैल्यू चेन में एकीकरण की जरूरत है।
एडीबी के विकास पूर्वानुमान में वृद्धि आईएमएफ और विश्व बैंक के अनुरूप है।
29 मार्च को समाप्त हुए सप्ताह में भारत का विदेशी मुद्रा भंडार 645.58 बिलियन डॉलर की ऐतिहासिक ऊंचाई पर पहुंच गया और यह 11 महीने तक के आयात के लिए काफी है।
मुद्रास्फीति दर घटकर लगभग 5 प्रतिशत पर आ गई है और इसमें और गिरावट आने की उम्मीद है जो आगे स्थिर आर्थिक विकास का मार्ग प्रशस्त करेगी।
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इससे पहले दिसंबर में एडीबी ने 2024-25 वित्तीय वर्ष के लिए भारत की आर्थिक विकास दर 6.7 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया था। एडीबी को यह भी उम्मीद है कि आगे चलकर भारत की मुद्रास्फीति दर में कमी आएगी।
इसने कहा, “विनिर्माण और सर्विसेज में भारतीय अर्थव्यवस्था मजबूती से बढ़ी। यह आगे भी तेजी से बढ़ती रहेगी। विकास मुख्य रूप से मजबूत निवेश और उपभोक्ता मांग में सुधार से प्रेरित होगा। मुद्रास्फीति में गिरावट का रुझान जारी रहेगा।”
इसके बाद वित्त वर्ष 2025-26 के लिए एडीबी ने भारत की विकास दर 7.2 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया है।
रिपोर्ट में कहा गया है कि मध्यम अवधि में निर्यात को बढ़ावा देने के लिए भारत को ग्लोबल वैल्यू चेन में एकीकरण की जरूरत है।
एडीबी के विकास पूर्वानुमान में वृद्धि आईएमएफ और विश्व बैंक के अनुरूप है।
29 मार्च को समाप्त हुए सप्ताह में भारत का विदेशी मुद्रा भंडार 645.58 बिलियन डॉलर की ऐतिहासिक ऊंचाई पर पहुंच गया और यह 11 महीने तक के आयात के लिए काफी है।
मुद्रास्फीति दर घटकर लगभग 5 प्रतिशत पर आ गई है और इसमें और गिरावट आने की उम्मीद है जो आगे स्थिर आर्थिक विकास का मार्ग प्रशस्त करेगी।
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इससे पहले दिसंबर में एडीबी ने 2024-25 वित्तीय वर्ष के लिए भारत की आर्थिक विकास दर 6.7 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया था। एडीबी को यह भी उम्मीद है कि आगे चलकर भारत की मुद्रास्फीति दर में कमी आएगी।
इसने कहा, “विनिर्माण और सर्विसेज में भारतीय अर्थव्यवस्था मजबूती से बढ़ी। यह आगे भी तेजी से बढ़ती रहेगी। विकास मुख्य रूप से मजबूत निवेश और उपभोक्ता मांग में सुधार से प्रेरित होगा। मुद्रास्फीति में गिरावट का रुझान जारी रहेगा।”
इसके बाद वित्त वर्ष 2025-26 के लिए एडीबी ने भारत की विकास दर 7.2 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया है।
रिपोर्ट में कहा गया है कि मध्यम अवधि में निर्यात को बढ़ावा देने के लिए भारत को ग्लोबल वैल्यू चेन में एकीकरण की जरूरत है।
एडीबी के विकास पूर्वानुमान में वृद्धि आईएमएफ और विश्व बैंक के अनुरूप है।
29 मार्च को समाप्त हुए सप्ताह में भारत का विदेशी मुद्रा भंडार 645.58 बिलियन डॉलर की ऐतिहासिक ऊंचाई पर पहुंच गया और यह 11 महीने तक के आयात के लिए काफी है।
मुद्रास्फीति दर घटकर लगभग 5 प्रतिशत पर आ गई है और इसमें और गिरावट आने की उम्मीद है जो आगे स्थिर आर्थिक विकास का मार्ग प्रशस्त करेगी।
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इससे पहले दिसंबर में एडीबी ने 2024-25 वित्तीय वर्ष के लिए भारत की आर्थिक विकास दर 6.7 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया था। एडीबी को यह भी उम्मीद है कि आगे चलकर भारत की मुद्रास्फीति दर में कमी आएगी।
इसने कहा, “विनिर्माण और सर्विसेज में भारतीय अर्थव्यवस्था मजबूती से बढ़ी। यह आगे भी तेजी से बढ़ती रहेगी। विकास मुख्य रूप से मजबूत निवेश और उपभोक्ता मांग में सुधार से प्रेरित होगा। मुद्रास्फीति में गिरावट का रुझान जारी रहेगा।”
इसके बाद वित्त वर्ष 2025-26 के लिए एडीबी ने भारत की विकास दर 7.2 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया है।
रिपोर्ट में कहा गया है कि मध्यम अवधि में निर्यात को बढ़ावा देने के लिए भारत को ग्लोबल वैल्यू चेन में एकीकरण की जरूरत है।
एडीबी के विकास पूर्वानुमान में वृद्धि आईएमएफ और विश्व बैंक के अनुरूप है।
29 मार्च को समाप्त हुए सप्ताह में भारत का विदेशी मुद्रा भंडार 645.58 बिलियन डॉलर की ऐतिहासिक ऊंचाई पर पहुंच गया और यह 11 महीने तक के आयात के लिए काफी है।
मुद्रास्फीति दर घटकर लगभग 5 प्रतिशत पर आ गई है और इसमें और गिरावट आने की उम्मीद है जो आगे स्थिर आर्थिक विकास का मार्ग प्रशस्त करेगी।
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इससे पहले दिसंबर में एडीबी ने 2024-25 वित्तीय वर्ष के लिए भारत की आर्थिक विकास दर 6.7 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया था। एडीबी को यह भी उम्मीद है कि आगे चलकर भारत की मुद्रास्फीति दर में कमी आएगी।
इसने कहा, “विनिर्माण और सर्विसेज में भारतीय अर्थव्यवस्था मजबूती से बढ़ी। यह आगे भी तेजी से बढ़ती रहेगी। विकास मुख्य रूप से मजबूत निवेश और उपभोक्ता मांग में सुधार से प्रेरित होगा। मुद्रास्फीति में गिरावट का रुझान जारी रहेगा।”
इसके बाद वित्त वर्ष 2025-26 के लिए एडीबी ने भारत की विकास दर 7.2 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया है।
रिपोर्ट में कहा गया है कि मध्यम अवधि में निर्यात को बढ़ावा देने के लिए भारत को ग्लोबल वैल्यू चेन में एकीकरण की जरूरत है।
एडीबी के विकास पूर्वानुमान में वृद्धि आईएमएफ और विश्व बैंक के अनुरूप है।
29 मार्च को समाप्त हुए सप्ताह में भारत का विदेशी मुद्रा भंडार 645.58 बिलियन डॉलर की ऐतिहासिक ऊंचाई पर पहुंच गया और यह 11 महीने तक के आयात के लिए काफी है।
मुद्रास्फीति दर घटकर लगभग 5 प्रतिशत पर आ गई है और इसमें और गिरावट आने की उम्मीद है जो आगे स्थिर आर्थिक विकास का मार्ग प्रशस्त करेगी।