बेंगलुरू, 8 फरवरी (आईएएनएस)। रक्षा मंत्रालय 13 फरवरी को एयरो इंडिया 2023 के उद्घाटन दिवस पर रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह की अध्यक्षता में सीईओ राउंड टेबल का आयोजन करेगा, आधिकारिक बयान में बुधवार को यह जानकारी दी गई।
मंत्रालय के एक बयान में कहा गया है कि स्काई इज नॉट द लिमिट: ऑपच्र्युनिटीज बियॉन्ड बाउंड्रीज थीम के साथ प्लेटफॉर्म से मेक इन इंडिया अभियान को मजबूत करने की ²ष्टि से उद्योग भागीदारों और सरकार के बीच अधिक मजबूत बातचीत की नींव रखने की उम्मीद है।
इससे भारत में ईज ऑफ डूइंग बिजनेस में और वृद्धि होने और भारत में विनिर्माण के लिए ओईएम को एक अनुकूल मंच प्रदान करने की उम्मीद है। राउंड टेबल में बोइंग, लॉकहीड, इजराइल एयरोस्पेस इंडस्ट्रीज, जनरल एटॉमिक्स, लीभेर ग्रुप, रेथियॉन टेक्नोलॉजीज, सफरान और जनरल अथॉरिटी ऑफ मिल्रिटी इंडस्ट्रीज (जीएएमआई) जैसे वैश्विक निवेशकों सहित 26 देशों के अधिकारियों, प्रतिनिधियों और वैश्विक सीईओ की भागीदारी देखी जाएगी।
हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड (एचएएल), भारत इलेक्ट्रॉनिक्स लिमिटेड (बीईएल), भारत डायनेमिक्स लिमिटेड (बीडीएल), बीईएमएल, मिश्राधातु निगम लिमिटेड जैसे घरेलू पीएसयू भी भाग लेंगे। भारत की प्रमुख रक्षा और एयरोस्पेस निर्माण कंपनियां जैसे कि लार्सन एंड टुब्रो, भारत फोर्ज, डायनामिक टेक्नोलॉजीज, और ब्रह्मोस एयरोसेपियर के भी इस कार्यक्रम का हिस्सा बनने की संभावना है।
यह भारत को वाणिज्यिक विनिर्माण केंद्र और वैश्विक उत्पाद समर्थन के लिए आधार बनाने के लिए सह-विकास और सह-उत्पादन के लिए उद्योगों को संलग्न करेगा। यह भारतीय और वैश्विक बाजारों का पता लगाएगा; न केवल मेक इन इंडिया बल्कि दुनिया के लिए मेक इन इंडिया उद्योगों के लिए अवसर पैदा करेगा। भारत विश्व स्तर पर सबसे तेजी से बढ़ती अर्थव्यवस्थाओं में से एक के रूप में उभरा है, जो दुनिया को निवेश और व्यापार के लिए संपन्न और स्थिर वातावरण प्रदान करता है।
भारत के पास दुनिया की तीसरी सबसे बड़ी सेना है और सरकार अगले 5-7 वर्षों में बेड़े के आधुनिकीकरण के लिए 130 अरब डॉलर खर्च करने की योजना बना रही है। सरकार द्वारा भारतीय रक्षा विनिर्माण इको-सिस्टम में आत्मनिर्भरता को बढ़ावा देने के लिए नीतिगत पहलों की एक श्रृंखला जैसे डी-लाइसेंसिंग, डीरेग्यूलेशन, और आयात प्रतिस्थापन, निर्यात प्रोत्साहन, एफडीआई उदारीकरण और अन्य के बीच रक्षा औद्योगिक गलियारों की स्थापना की गई है।
वैश्विक विमानन उद्योग में एक प्रमुख प्रदर्शनी, एयरो इंडिया, वायु सेना स्टेशन, येलहंका में लगभग 35,000 वर्गमीटर के कुल क्षेत्र में द्विवार्षिक रूप से आयोजित की जाती है। यह वर्ष 1996 में अपनी स्थापना के बाद से प्रदर्शनी का 14वां संस्करण है और यह उद्योग को अपनी क्षमताओं, उत्पादों और सेवाओं को प्रदर्शित करने का एक अनूठा अवसर प्रदान करता है। एयरो शो के इस संस्करण में दुनिया भर से कुल 731 प्रदर्शकों ने भाग लिया है।
पांच दिवसीय कार्यक्रम का उद्घाटन प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा किया जाएगा और इसमें एयरोस्पेस कंपनियों के एक बड़े प्रदर्शनी और व्यापार मेले के साथ विमान द्वारा हवाई प्रदर्शन शामिल होंगे।
–आईएएनएस
केसी/एएनएम