कोलकाता, 13 सितंबर (आईएएनएस)। विवेक रंजन अग्निहोत्री की बहुचर्चित फिल्म ‘द बंगाल फाइल्स’ 5 सितंबर को सेंसर बोर्ड की मंजूरी के बाद देशभर में रिलीज हुई, लेकिन पश्चिम बंगाल में इसे थियेटरों में जगह नहीं मिल पाई। इस रोक को लेकर लगातार विवाद बढ़ता गया। इसी बीच फिल्म की पहली प्राइवेट स्क्रीनिंग 13 सितंबर को कोलकाता स्थित डॉ. श्यामा प्रसाद मुखर्जी भाषा भवन, नेशनल लाइब्रेरी में आयोजित की गई।
फिल्म को देश के विभिन्न हिस्सों में सराहना मिल रही है और दर्शक इसे भारत के इतिहास के एक अनदेखे अध्याय को सामने लाने वाला साहसिक प्रयास बता रहे हैं। लेकिन पश्चिम बंगाल में राजनीतिक कारणों से फिल्म की थियेटर रिलीज रोक दी गई।
फिल्मकार विवेक अग्निहोत्री का कहना है कि हमने फिल्म में दिखाया है कि यहां दो संविधान हैं, एक हिंदुओं के लिए और दूसरा मुसलमानों के लिए। यही सच्चाई है, और सरकार ने फिल्म पर बैन लगाकर साबित कर दिया कि अब भी यहां दो संविधान लागू हैं। उन्होंने आरोप लगाया कि पश्चिम बंगाल में भारतीय संविधान को नहीं माना जा रहा है, बल्कि इनका अपना एक अलग संविधान है।
वहीं ‘द बंगाल फाइल्स’ फिल्म पर बीजेपी नेता शिशिर बाजोरिया का कहना है कि बंगाल सरकार नहीं चाहती कि बंगाल के लोग ये फिल्म देखें। पूरे भारत के लोग इसे देख रहे हैं। उन्होंने कहा कि सरकार को समझना होगा कि कोई आपको दोष नहीं दे रहा है। पुलिस और राजनीतिक पार्टी के कारण सिनेमाघरों में फिल्म नहीं दिखाई जा रही है।
फिल्म पर लगे प्रतिबंध ने बंगाल में दर्शकों की उत्सुकता और भी बढ़ा दी है। यही वजह है कि लोग प्राइवेट स्क्रीनिंग्स का सहारा ले रहे हैं। कोलकाता में हुई पहली स्क्रीनिंग में बड़ी संख्या में लोग शामिल हुए। वहीं, हजारों लोग वेटिंग में खड़े रहे। इससे यह साफ है कि विवादों के बावजूद ‘द बंगाल फाइल्स’ के प्रति लोगों में गहरी रुचि बनी हुई है।
बता दें कि ‘द बंगाल फाइल्स’ का निर्देशन विवेक रंजन अग्निहोत्री ने किया है। इसके निर्माता अभिषेक अग्रवाल, पल्लवी जोशी और विवेक अग्निहोत्री खुद हैं। फिल्म में मिथुन चक्रवर्ती, पल्लवी जोशी, अनुपम खेर और दर्शन कुमार जैसे दिग्गज कलाकार प्रमुख भूमिकाओं में नजर आ रहे हैं। यह फिल्म विवेक की मशहूर ‘ट्रूथ ट्रिलॉजी’ का तीसरा अध्याय है। इससे पहले वे ‘द ताशकंद फाइल्स’ और ‘द कश्मीर फाइल्स’ जैसी चर्चित फिल्में बना चुके हैं, जिन्हें ऐतिहासिक तथ्यों को उजागर करने के साहसिक प्रयासों के लिए जाना गया।
–आईएएनएस
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