नई दिल्ली, 19 सितंबर (आईएएनएस)। आंध्र प्रदेश में आईएएनएस के लिए सीवोटर के एक विशेष सर्वे में अधिकांश उत्तरदाताओं की राय है कि कथित कौशल विकास घोटाले में पूर्व मुख्यमंत्री और टीडीपी प्रमुख एन. चंद्रबाबू नायडू की गिरफ्तारी होने पर मतदाताओं में उनके प्रति सहानुभूति पैदा होगी।
सर्वे में 1,809 उत्तरदाताओं को शामिल किया गया। आंध्र प्रदेश के 53 प्रतिशत से अधिक निवासियों का कहना है कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी।
वर्तमान में आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री जगन मोहन रेड्डी हैं, जो वाईएसआर कांग्रेस के प्रमुख हैं।
सीवोटर सर्वे के अनुसार लोगों की राय राजनीतिक स्पेक्ट्रम में विभाजित दिखाई देती है। लगभग तीन-चौथाई उत्तरदाताओं (खुद को टीडीपी समर्थक बताने वाले) का दावा है कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी। इसी तरह दो-तिहाई से भी कम उत्तरदाता (खुद को भाजपा समर्थक मानने वाले) समान विचार रखते हैं।
गौरतलब है कि प्रत्येक दस उत्तरदाताओं में से चार, जो सत्तारूढ़ पार्टी वाईएसआर कांग्रेस के समर्थक हैं, सोचते हैं कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी।
चंद्रबाबू नायडू को आंध्र प्रदेश की सीआईडी ने एक ऐसे मामले में गिरफ्तार किया था, जिसे ‘कौशल विकास घोटाला’ के नाम से जाना जाता है।
आरोपों के मुताबिक, 2014 में नायडू के मुख्यमंत्री बनने के बाद उनकी सरकार ने सीमेंस समेत कुछ निजी क्षेत्र की कंपनियों के साथ मिलकर कौशल विकास कार्यक्रम शुरू किया था।
आरोप है कि यह योजना एक घोटाला थी, क्योंकि कौशल विकास के मामले में आंध्र प्रदेश के युवाओं की मदद के लिए कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया था। इसके बजाय, आरोप यह है कि तत्कालीन मुख्यमंत्री नायडू के इशारे पर शेल कंपनियां बनाई गईं और लगभग 200 करोड़ रुपये निकाले गए।
टीडीपी ने आरोपों का जोरदार खंडन किया है और इसे राजनीतिक प्रतिशोध की कार्रवाई बताया है। यह मामला और भी विवादास्पद होता जा रहा है क्योंकि राज्य में अगले साल लोकसभा और विधानसभा चुनाव होने हैं।
–आईएएनएस
एबीएम
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नई दिल्ली, 19 सितंबर (आईएएनएस)। आंध्र प्रदेश में आईएएनएस के लिए सीवोटर के एक विशेष सर्वे में अधिकांश उत्तरदाताओं की राय है कि कथित कौशल विकास घोटाले में पूर्व मुख्यमंत्री और टीडीपी प्रमुख एन. चंद्रबाबू नायडू की गिरफ्तारी होने पर मतदाताओं में उनके प्रति सहानुभूति पैदा होगी।
सर्वे में 1,809 उत्तरदाताओं को शामिल किया गया। आंध्र प्रदेश के 53 प्रतिशत से अधिक निवासियों का कहना है कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी।
वर्तमान में आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री जगन मोहन रेड्डी हैं, जो वाईएसआर कांग्रेस के प्रमुख हैं।
सीवोटर सर्वे के अनुसार लोगों की राय राजनीतिक स्पेक्ट्रम में विभाजित दिखाई देती है। लगभग तीन-चौथाई उत्तरदाताओं (खुद को टीडीपी समर्थक बताने वाले) का दावा है कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी। इसी तरह दो-तिहाई से भी कम उत्तरदाता (खुद को भाजपा समर्थक मानने वाले) समान विचार रखते हैं।
गौरतलब है कि प्रत्येक दस उत्तरदाताओं में से चार, जो सत्तारूढ़ पार्टी वाईएसआर कांग्रेस के समर्थक हैं, सोचते हैं कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी।
चंद्रबाबू नायडू को आंध्र प्रदेश की सीआईडी ने एक ऐसे मामले में गिरफ्तार किया था, जिसे ‘कौशल विकास घोटाला’ के नाम से जाना जाता है।
आरोपों के मुताबिक, 2014 में नायडू के मुख्यमंत्री बनने के बाद उनकी सरकार ने सीमेंस समेत कुछ निजी क्षेत्र की कंपनियों के साथ मिलकर कौशल विकास कार्यक्रम शुरू किया था।
आरोप है कि यह योजना एक घोटाला थी, क्योंकि कौशल विकास के मामले में आंध्र प्रदेश के युवाओं की मदद के लिए कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया था। इसके बजाय, आरोप यह है कि तत्कालीन मुख्यमंत्री नायडू के इशारे पर शेल कंपनियां बनाई गईं और लगभग 200 करोड़ रुपये निकाले गए।
टीडीपी ने आरोपों का जोरदार खंडन किया है और इसे राजनीतिक प्रतिशोध की कार्रवाई बताया है। यह मामला और भी विवादास्पद होता जा रहा है क्योंकि राज्य में अगले साल लोकसभा और विधानसभा चुनाव होने हैं।
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नई दिल्ली, 19 सितंबर (आईएएनएस)। आंध्र प्रदेश में आईएएनएस के लिए सीवोटर के एक विशेष सर्वे में अधिकांश उत्तरदाताओं की राय है कि कथित कौशल विकास घोटाले में पूर्व मुख्यमंत्री और टीडीपी प्रमुख एन. चंद्रबाबू नायडू की गिरफ्तारी होने पर मतदाताओं में उनके प्रति सहानुभूति पैदा होगी।
सर्वे में 1,809 उत्तरदाताओं को शामिल किया गया। आंध्र प्रदेश के 53 प्रतिशत से अधिक निवासियों का कहना है कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी।
वर्तमान में आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री जगन मोहन रेड्डी हैं, जो वाईएसआर कांग्रेस के प्रमुख हैं।
सीवोटर सर्वे के अनुसार लोगों की राय राजनीतिक स्पेक्ट्रम में विभाजित दिखाई देती है। लगभग तीन-चौथाई उत्तरदाताओं (खुद को टीडीपी समर्थक बताने वाले) का दावा है कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी। इसी तरह दो-तिहाई से भी कम उत्तरदाता (खुद को भाजपा समर्थक मानने वाले) समान विचार रखते हैं।
गौरतलब है कि प्रत्येक दस उत्तरदाताओं में से चार, जो सत्तारूढ़ पार्टी वाईएसआर कांग्रेस के समर्थक हैं, सोचते हैं कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी।
चंद्रबाबू नायडू को आंध्र प्रदेश की सीआईडी ने एक ऐसे मामले में गिरफ्तार किया था, जिसे ‘कौशल विकास घोटाला’ के नाम से जाना जाता है।
आरोपों के मुताबिक, 2014 में नायडू के मुख्यमंत्री बनने के बाद उनकी सरकार ने सीमेंस समेत कुछ निजी क्षेत्र की कंपनियों के साथ मिलकर कौशल विकास कार्यक्रम शुरू किया था।
आरोप है कि यह योजना एक घोटाला थी, क्योंकि कौशल विकास के मामले में आंध्र प्रदेश के युवाओं की मदद के लिए कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया था। इसके बजाय, आरोप यह है कि तत्कालीन मुख्यमंत्री नायडू के इशारे पर शेल कंपनियां बनाई गईं और लगभग 200 करोड़ रुपये निकाले गए।
टीडीपी ने आरोपों का जोरदार खंडन किया है और इसे राजनीतिक प्रतिशोध की कार्रवाई बताया है। यह मामला और भी विवादास्पद होता जा रहा है क्योंकि राज्य में अगले साल लोकसभा और विधानसभा चुनाव होने हैं।
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सर्वे में 1,809 उत्तरदाताओं को शामिल किया गया। आंध्र प्रदेश के 53 प्रतिशत से अधिक निवासियों का कहना है कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी।
वर्तमान में आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री जगन मोहन रेड्डी हैं, जो वाईएसआर कांग्रेस के प्रमुख हैं।
सीवोटर सर्वे के अनुसार लोगों की राय राजनीतिक स्पेक्ट्रम में विभाजित दिखाई देती है। लगभग तीन-चौथाई उत्तरदाताओं (खुद को टीडीपी समर्थक बताने वाले) का दावा है कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी। इसी तरह दो-तिहाई से भी कम उत्तरदाता (खुद को भाजपा समर्थक मानने वाले) समान विचार रखते हैं।
गौरतलब है कि प्रत्येक दस उत्तरदाताओं में से चार, जो सत्तारूढ़ पार्टी वाईएसआर कांग्रेस के समर्थक हैं, सोचते हैं कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी।
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आरोपों के मुताबिक, 2014 में नायडू के मुख्यमंत्री बनने के बाद उनकी सरकार ने सीमेंस समेत कुछ निजी क्षेत्र की कंपनियों के साथ मिलकर कौशल विकास कार्यक्रम शुरू किया था।
आरोप है कि यह योजना एक घोटाला थी, क्योंकि कौशल विकास के मामले में आंध्र प्रदेश के युवाओं की मदद के लिए कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया था। इसके बजाय, आरोप यह है कि तत्कालीन मुख्यमंत्री नायडू के इशारे पर शेल कंपनियां बनाई गईं और लगभग 200 करोड़ रुपये निकाले गए।
टीडीपी ने आरोपों का जोरदार खंडन किया है और इसे राजनीतिक प्रतिशोध की कार्रवाई बताया है। यह मामला और भी विवादास्पद होता जा रहा है क्योंकि राज्य में अगले साल लोकसभा और विधानसभा चुनाव होने हैं।
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सर्वे में 1,809 उत्तरदाताओं को शामिल किया गया। आंध्र प्रदेश के 53 प्रतिशत से अधिक निवासियों का कहना है कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी।
वर्तमान में आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री जगन मोहन रेड्डी हैं, जो वाईएसआर कांग्रेस के प्रमुख हैं।
सीवोटर सर्वे के अनुसार लोगों की राय राजनीतिक स्पेक्ट्रम में विभाजित दिखाई देती है। लगभग तीन-चौथाई उत्तरदाताओं (खुद को टीडीपी समर्थक बताने वाले) का दावा है कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी। इसी तरह दो-तिहाई से भी कम उत्तरदाता (खुद को भाजपा समर्थक मानने वाले) समान विचार रखते हैं।
गौरतलब है कि प्रत्येक दस उत्तरदाताओं में से चार, जो सत्तारूढ़ पार्टी वाईएसआर कांग्रेस के समर्थक हैं, सोचते हैं कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी।
चंद्रबाबू नायडू को आंध्र प्रदेश की सीआईडी ने एक ऐसे मामले में गिरफ्तार किया था, जिसे ‘कौशल विकास घोटाला’ के नाम से जाना जाता है।
आरोपों के मुताबिक, 2014 में नायडू के मुख्यमंत्री बनने के बाद उनकी सरकार ने सीमेंस समेत कुछ निजी क्षेत्र की कंपनियों के साथ मिलकर कौशल विकास कार्यक्रम शुरू किया था।
आरोप है कि यह योजना एक घोटाला थी, क्योंकि कौशल विकास के मामले में आंध्र प्रदेश के युवाओं की मदद के लिए कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया था। इसके बजाय, आरोप यह है कि तत्कालीन मुख्यमंत्री नायडू के इशारे पर शेल कंपनियां बनाई गईं और लगभग 200 करोड़ रुपये निकाले गए।
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वर्तमान में आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री जगन मोहन रेड्डी हैं, जो वाईएसआर कांग्रेस के प्रमुख हैं।
सीवोटर सर्वे के अनुसार लोगों की राय राजनीतिक स्पेक्ट्रम में विभाजित दिखाई देती है। लगभग तीन-चौथाई उत्तरदाताओं (खुद को टीडीपी समर्थक बताने वाले) का दावा है कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी। इसी तरह दो-तिहाई से भी कम उत्तरदाता (खुद को भाजपा समर्थक मानने वाले) समान विचार रखते हैं।
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चंद्रबाबू नायडू को आंध्र प्रदेश की सीआईडी ने एक ऐसे मामले में गिरफ्तार किया था, जिसे ‘कौशल विकास घोटाला’ के नाम से जाना जाता है।
आरोपों के मुताबिक, 2014 में नायडू के मुख्यमंत्री बनने के बाद उनकी सरकार ने सीमेंस समेत कुछ निजी क्षेत्र की कंपनियों के साथ मिलकर कौशल विकास कार्यक्रम शुरू किया था।
आरोप है कि यह योजना एक घोटाला थी, क्योंकि कौशल विकास के मामले में आंध्र प्रदेश के युवाओं की मदद के लिए कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया था। इसके बजाय, आरोप यह है कि तत्कालीन मुख्यमंत्री नायडू के इशारे पर शेल कंपनियां बनाई गईं और लगभग 200 करोड़ रुपये निकाले गए।
टीडीपी ने आरोपों का जोरदार खंडन किया है और इसे राजनीतिक प्रतिशोध की कार्रवाई बताया है। यह मामला और भी विवादास्पद होता जा रहा है क्योंकि राज्य में अगले साल लोकसभा और विधानसभा चुनाव होने हैं।
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सर्वे में 1,809 उत्तरदाताओं को शामिल किया गया। आंध्र प्रदेश के 53 प्रतिशत से अधिक निवासियों का कहना है कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी।
वर्तमान में आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री जगन मोहन रेड्डी हैं, जो वाईएसआर कांग्रेस के प्रमुख हैं।
सीवोटर सर्वे के अनुसार लोगों की राय राजनीतिक स्पेक्ट्रम में विभाजित दिखाई देती है। लगभग तीन-चौथाई उत्तरदाताओं (खुद को टीडीपी समर्थक बताने वाले) का दावा है कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी। इसी तरह दो-तिहाई से भी कम उत्तरदाता (खुद को भाजपा समर्थक मानने वाले) समान विचार रखते हैं।
गौरतलब है कि प्रत्येक दस उत्तरदाताओं में से चार, जो सत्तारूढ़ पार्टी वाईएसआर कांग्रेस के समर्थक हैं, सोचते हैं कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी।
चंद्रबाबू नायडू को आंध्र प्रदेश की सीआईडी ने एक ऐसे मामले में गिरफ्तार किया था, जिसे ‘कौशल विकास घोटाला’ के नाम से जाना जाता है।
आरोपों के मुताबिक, 2014 में नायडू के मुख्यमंत्री बनने के बाद उनकी सरकार ने सीमेंस समेत कुछ निजी क्षेत्र की कंपनियों के साथ मिलकर कौशल विकास कार्यक्रम शुरू किया था।
आरोप है कि यह योजना एक घोटाला थी, क्योंकि कौशल विकास के मामले में आंध्र प्रदेश के युवाओं की मदद के लिए कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया था। इसके बजाय, आरोप यह है कि तत्कालीन मुख्यमंत्री नायडू के इशारे पर शेल कंपनियां बनाई गईं और लगभग 200 करोड़ रुपये निकाले गए।
टीडीपी ने आरोपों का जोरदार खंडन किया है और इसे राजनीतिक प्रतिशोध की कार्रवाई बताया है। यह मामला और भी विवादास्पद होता जा रहा है क्योंकि राज्य में अगले साल लोकसभा और विधानसभा चुनाव होने हैं।
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सर्वे में 1,809 उत्तरदाताओं को शामिल किया गया। आंध्र प्रदेश के 53 प्रतिशत से अधिक निवासियों का कहना है कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी।
वर्तमान में आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री जगन मोहन रेड्डी हैं, जो वाईएसआर कांग्रेस के प्रमुख हैं।
सीवोटर सर्वे के अनुसार लोगों की राय राजनीतिक स्पेक्ट्रम में विभाजित दिखाई देती है। लगभग तीन-चौथाई उत्तरदाताओं (खुद को टीडीपी समर्थक बताने वाले) का दावा है कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी। इसी तरह दो-तिहाई से भी कम उत्तरदाता (खुद को भाजपा समर्थक मानने वाले) समान विचार रखते हैं।
गौरतलब है कि प्रत्येक दस उत्तरदाताओं में से चार, जो सत्तारूढ़ पार्टी वाईएसआर कांग्रेस के समर्थक हैं, सोचते हैं कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी।
चंद्रबाबू नायडू को आंध्र प्रदेश की सीआईडी ने एक ऐसे मामले में गिरफ्तार किया था, जिसे ‘कौशल विकास घोटाला’ के नाम से जाना जाता है।
आरोपों के मुताबिक, 2014 में नायडू के मुख्यमंत्री बनने के बाद उनकी सरकार ने सीमेंस समेत कुछ निजी क्षेत्र की कंपनियों के साथ मिलकर कौशल विकास कार्यक्रम शुरू किया था।
आरोप है कि यह योजना एक घोटाला थी, क्योंकि कौशल विकास के मामले में आंध्र प्रदेश के युवाओं की मदद के लिए कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया था। इसके बजाय, आरोप यह है कि तत्कालीन मुख्यमंत्री नायडू के इशारे पर शेल कंपनियां बनाई गईं और लगभग 200 करोड़ रुपये निकाले गए।
टीडीपी ने आरोपों का जोरदार खंडन किया है और इसे राजनीतिक प्रतिशोध की कार्रवाई बताया है। यह मामला और भी विवादास्पद होता जा रहा है क्योंकि राज्य में अगले साल लोकसभा और विधानसभा चुनाव होने हैं।
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नई दिल्ली, 19 सितंबर (आईएएनएस)। आंध्र प्रदेश में आईएएनएस के लिए सीवोटर के एक विशेष सर्वे में अधिकांश उत्तरदाताओं की राय है कि कथित कौशल विकास घोटाले में पूर्व मुख्यमंत्री और टीडीपी प्रमुख एन. चंद्रबाबू नायडू की गिरफ्तारी होने पर मतदाताओं में उनके प्रति सहानुभूति पैदा होगी।
सर्वे में 1,809 उत्तरदाताओं को शामिल किया गया। आंध्र प्रदेश के 53 प्रतिशत से अधिक निवासियों का कहना है कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी।
वर्तमान में आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री जगन मोहन रेड्डी हैं, जो वाईएसआर कांग्रेस के प्रमुख हैं।
सीवोटर सर्वे के अनुसार लोगों की राय राजनीतिक स्पेक्ट्रम में विभाजित दिखाई देती है। लगभग तीन-चौथाई उत्तरदाताओं (खुद को टीडीपी समर्थक बताने वाले) का दावा है कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी। इसी तरह दो-तिहाई से भी कम उत्तरदाता (खुद को भाजपा समर्थक मानने वाले) समान विचार रखते हैं।
गौरतलब है कि प्रत्येक दस उत्तरदाताओं में से चार, जो सत्तारूढ़ पार्टी वाईएसआर कांग्रेस के समर्थक हैं, सोचते हैं कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी।
चंद्रबाबू नायडू को आंध्र प्रदेश की सीआईडी ने एक ऐसे मामले में गिरफ्तार किया था, जिसे ‘कौशल विकास घोटाला’ के नाम से जाना जाता है।
आरोपों के मुताबिक, 2014 में नायडू के मुख्यमंत्री बनने के बाद उनकी सरकार ने सीमेंस समेत कुछ निजी क्षेत्र की कंपनियों के साथ मिलकर कौशल विकास कार्यक्रम शुरू किया था।
आरोप है कि यह योजना एक घोटाला थी, क्योंकि कौशल विकास के मामले में आंध्र प्रदेश के युवाओं की मदद के लिए कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया था। इसके बजाय, आरोप यह है कि तत्कालीन मुख्यमंत्री नायडू के इशारे पर शेल कंपनियां बनाई गईं और लगभग 200 करोड़ रुपये निकाले गए।
टीडीपी ने आरोपों का जोरदार खंडन किया है और इसे राजनीतिक प्रतिशोध की कार्रवाई बताया है। यह मामला और भी विवादास्पद होता जा रहा है क्योंकि राज्य में अगले साल लोकसभा और विधानसभा चुनाव होने हैं।
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सर्वे में 1,809 उत्तरदाताओं को शामिल किया गया। आंध्र प्रदेश के 53 प्रतिशत से अधिक निवासियों का कहना है कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी।
वर्तमान में आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री जगन मोहन रेड्डी हैं, जो वाईएसआर कांग्रेस के प्रमुख हैं।
सीवोटर सर्वे के अनुसार लोगों की राय राजनीतिक स्पेक्ट्रम में विभाजित दिखाई देती है। लगभग तीन-चौथाई उत्तरदाताओं (खुद को टीडीपी समर्थक बताने वाले) का दावा है कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी। इसी तरह दो-तिहाई से भी कम उत्तरदाता (खुद को भाजपा समर्थक मानने वाले) समान विचार रखते हैं।
गौरतलब है कि प्रत्येक दस उत्तरदाताओं में से चार, जो सत्तारूढ़ पार्टी वाईएसआर कांग्रेस के समर्थक हैं, सोचते हैं कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी।
चंद्रबाबू नायडू को आंध्र प्रदेश की सीआईडी ने एक ऐसे मामले में गिरफ्तार किया था, जिसे ‘कौशल विकास घोटाला’ के नाम से जाना जाता है।
आरोपों के मुताबिक, 2014 में नायडू के मुख्यमंत्री बनने के बाद उनकी सरकार ने सीमेंस समेत कुछ निजी क्षेत्र की कंपनियों के साथ मिलकर कौशल विकास कार्यक्रम शुरू किया था।
आरोप है कि यह योजना एक घोटाला थी, क्योंकि कौशल विकास के मामले में आंध्र प्रदेश के युवाओं की मदद के लिए कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया था। इसके बजाय, आरोप यह है कि तत्कालीन मुख्यमंत्री नायडू के इशारे पर शेल कंपनियां बनाई गईं और लगभग 200 करोड़ रुपये निकाले गए।
टीडीपी ने आरोपों का जोरदार खंडन किया है और इसे राजनीतिक प्रतिशोध की कार्रवाई बताया है। यह मामला और भी विवादास्पद होता जा रहा है क्योंकि राज्य में अगले साल लोकसभा और विधानसभा चुनाव होने हैं।
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सर्वे में 1,809 उत्तरदाताओं को शामिल किया गया। आंध्र प्रदेश के 53 प्रतिशत से अधिक निवासियों का कहना है कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी।
वर्तमान में आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री जगन मोहन रेड्डी हैं, जो वाईएसआर कांग्रेस के प्रमुख हैं।
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गौरतलब है कि प्रत्येक दस उत्तरदाताओं में से चार, जो सत्तारूढ़ पार्टी वाईएसआर कांग्रेस के समर्थक हैं, सोचते हैं कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी।
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आरोपों के मुताबिक, 2014 में नायडू के मुख्यमंत्री बनने के बाद उनकी सरकार ने सीमेंस समेत कुछ निजी क्षेत्र की कंपनियों के साथ मिलकर कौशल विकास कार्यक्रम शुरू किया था।
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वर्तमान में आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री जगन मोहन रेड्डी हैं, जो वाईएसआर कांग्रेस के प्रमुख हैं।
सीवोटर सर्वे के अनुसार लोगों की राय राजनीतिक स्पेक्ट्रम में विभाजित दिखाई देती है। लगभग तीन-चौथाई उत्तरदाताओं (खुद को टीडीपी समर्थक बताने वाले) का दावा है कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी। इसी तरह दो-तिहाई से भी कम उत्तरदाता (खुद को भाजपा समर्थक मानने वाले) समान विचार रखते हैं।
गौरतलब है कि प्रत्येक दस उत्तरदाताओं में से चार, जो सत्तारूढ़ पार्टी वाईएसआर कांग्रेस के समर्थक हैं, सोचते हैं कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी।
चंद्रबाबू नायडू को आंध्र प्रदेश की सीआईडी ने एक ऐसे मामले में गिरफ्तार किया था, जिसे ‘कौशल विकास घोटाला’ के नाम से जाना जाता है।
आरोपों के मुताबिक, 2014 में नायडू के मुख्यमंत्री बनने के बाद उनकी सरकार ने सीमेंस समेत कुछ निजी क्षेत्र की कंपनियों के साथ मिलकर कौशल विकास कार्यक्रम शुरू किया था।
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टीडीपी ने आरोपों का जोरदार खंडन किया है और इसे राजनीतिक प्रतिशोध की कार्रवाई बताया है। यह मामला और भी विवादास्पद होता जा रहा है क्योंकि राज्य में अगले साल लोकसभा और विधानसभा चुनाव होने हैं।
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नई दिल्ली, 19 सितंबर (आईएएनएस)। आंध्र प्रदेश में आईएएनएस के लिए सीवोटर के एक विशेष सर्वे में अधिकांश उत्तरदाताओं की राय है कि कथित कौशल विकास घोटाले में पूर्व मुख्यमंत्री और टीडीपी प्रमुख एन. चंद्रबाबू नायडू की गिरफ्तारी होने पर मतदाताओं में उनके प्रति सहानुभूति पैदा होगी।
सर्वे में 1,809 उत्तरदाताओं को शामिल किया गया। आंध्र प्रदेश के 53 प्रतिशत से अधिक निवासियों का कहना है कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी।
वर्तमान में आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री जगन मोहन रेड्डी हैं, जो वाईएसआर कांग्रेस के प्रमुख हैं।
सीवोटर सर्वे के अनुसार लोगों की राय राजनीतिक स्पेक्ट्रम में विभाजित दिखाई देती है। लगभग तीन-चौथाई उत्तरदाताओं (खुद को टीडीपी समर्थक बताने वाले) का दावा है कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी। इसी तरह दो-तिहाई से भी कम उत्तरदाता (खुद को भाजपा समर्थक मानने वाले) समान विचार रखते हैं।
गौरतलब है कि प्रत्येक दस उत्तरदाताओं में से चार, जो सत्तारूढ़ पार्टी वाईएसआर कांग्रेस के समर्थक हैं, सोचते हैं कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी।
चंद्रबाबू नायडू को आंध्र प्रदेश की सीआईडी ने एक ऐसे मामले में गिरफ्तार किया था, जिसे ‘कौशल विकास घोटाला’ के नाम से जाना जाता है।
आरोपों के मुताबिक, 2014 में नायडू के मुख्यमंत्री बनने के बाद उनकी सरकार ने सीमेंस समेत कुछ निजी क्षेत्र की कंपनियों के साथ मिलकर कौशल विकास कार्यक्रम शुरू किया था।
आरोप है कि यह योजना एक घोटाला थी, क्योंकि कौशल विकास के मामले में आंध्र प्रदेश के युवाओं की मदद के लिए कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया था। इसके बजाय, आरोप यह है कि तत्कालीन मुख्यमंत्री नायडू के इशारे पर शेल कंपनियां बनाई गईं और लगभग 200 करोड़ रुपये निकाले गए।
टीडीपी ने आरोपों का जोरदार खंडन किया है और इसे राजनीतिक प्रतिशोध की कार्रवाई बताया है। यह मामला और भी विवादास्पद होता जा रहा है क्योंकि राज्य में अगले साल लोकसभा और विधानसभा चुनाव होने हैं।
–आईएएनएस
एबीएम
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नई दिल्ली, 19 सितंबर (आईएएनएस)। आंध्र प्रदेश में आईएएनएस के लिए सीवोटर के एक विशेष सर्वे में अधिकांश उत्तरदाताओं की राय है कि कथित कौशल विकास घोटाले में पूर्व मुख्यमंत्री और टीडीपी प्रमुख एन. चंद्रबाबू नायडू की गिरफ्तारी होने पर मतदाताओं में उनके प्रति सहानुभूति पैदा होगी।
सर्वे में 1,809 उत्तरदाताओं को शामिल किया गया। आंध्र प्रदेश के 53 प्रतिशत से अधिक निवासियों का कहना है कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी।
वर्तमान में आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री जगन मोहन रेड्डी हैं, जो वाईएसआर कांग्रेस के प्रमुख हैं।
सीवोटर सर्वे के अनुसार लोगों की राय राजनीतिक स्पेक्ट्रम में विभाजित दिखाई देती है। लगभग तीन-चौथाई उत्तरदाताओं (खुद को टीडीपी समर्थक बताने वाले) का दावा है कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी। इसी तरह दो-तिहाई से भी कम उत्तरदाता (खुद को भाजपा समर्थक मानने वाले) समान विचार रखते हैं।
गौरतलब है कि प्रत्येक दस उत्तरदाताओं में से चार, जो सत्तारूढ़ पार्टी वाईएसआर कांग्रेस के समर्थक हैं, सोचते हैं कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी।
चंद्रबाबू नायडू को आंध्र प्रदेश की सीआईडी ने एक ऐसे मामले में गिरफ्तार किया था, जिसे ‘कौशल विकास घोटाला’ के नाम से जाना जाता है।
आरोपों के मुताबिक, 2014 में नायडू के मुख्यमंत्री बनने के बाद उनकी सरकार ने सीमेंस समेत कुछ निजी क्षेत्र की कंपनियों के साथ मिलकर कौशल विकास कार्यक्रम शुरू किया था।
आरोप है कि यह योजना एक घोटाला थी, क्योंकि कौशल विकास के मामले में आंध्र प्रदेश के युवाओं की मदद के लिए कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया था। इसके बजाय, आरोप यह है कि तत्कालीन मुख्यमंत्री नायडू के इशारे पर शेल कंपनियां बनाई गईं और लगभग 200 करोड़ रुपये निकाले गए।
टीडीपी ने आरोपों का जोरदार खंडन किया है और इसे राजनीतिक प्रतिशोध की कार्रवाई बताया है। यह मामला और भी विवादास्पद होता जा रहा है क्योंकि राज्य में अगले साल लोकसभा और विधानसभा चुनाव होने हैं।
–आईएएनएस
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नई दिल्ली, 19 सितंबर (आईएएनएस)। आंध्र प्रदेश में आईएएनएस के लिए सीवोटर के एक विशेष सर्वे में अधिकांश उत्तरदाताओं की राय है कि कथित कौशल विकास घोटाले में पूर्व मुख्यमंत्री और टीडीपी प्रमुख एन. चंद्रबाबू नायडू की गिरफ्तारी होने पर मतदाताओं में उनके प्रति सहानुभूति पैदा होगी।
सर्वे में 1,809 उत्तरदाताओं को शामिल किया गया। आंध्र प्रदेश के 53 प्रतिशत से अधिक निवासियों का कहना है कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी।
वर्तमान में आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री जगन मोहन रेड्डी हैं, जो वाईएसआर कांग्रेस के प्रमुख हैं।
सीवोटर सर्वे के अनुसार लोगों की राय राजनीतिक स्पेक्ट्रम में विभाजित दिखाई देती है। लगभग तीन-चौथाई उत्तरदाताओं (खुद को टीडीपी समर्थक बताने वाले) का दावा है कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी। इसी तरह दो-तिहाई से भी कम उत्तरदाता (खुद को भाजपा समर्थक मानने वाले) समान विचार रखते हैं।
गौरतलब है कि प्रत्येक दस उत्तरदाताओं में से चार, जो सत्तारूढ़ पार्टी वाईएसआर कांग्रेस के समर्थक हैं, सोचते हैं कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी।
चंद्रबाबू नायडू को आंध्र प्रदेश की सीआईडी ने एक ऐसे मामले में गिरफ्तार किया था, जिसे ‘कौशल विकास घोटाला’ के नाम से जाना जाता है।
आरोपों के मुताबिक, 2014 में नायडू के मुख्यमंत्री बनने के बाद उनकी सरकार ने सीमेंस समेत कुछ निजी क्षेत्र की कंपनियों के साथ मिलकर कौशल विकास कार्यक्रम शुरू किया था।
आरोप है कि यह योजना एक घोटाला थी, क्योंकि कौशल विकास के मामले में आंध्र प्रदेश के युवाओं की मदद के लिए कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया था। इसके बजाय, आरोप यह है कि तत्कालीन मुख्यमंत्री नायडू के इशारे पर शेल कंपनियां बनाई गईं और लगभग 200 करोड़ रुपये निकाले गए।
टीडीपी ने आरोपों का जोरदार खंडन किया है और इसे राजनीतिक प्रतिशोध की कार्रवाई बताया है। यह मामला और भी विवादास्पद होता जा रहा है क्योंकि राज्य में अगले साल लोकसभा और विधानसभा चुनाव होने हैं।
–आईएएनएस
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नई दिल्ली, 19 सितंबर (आईएएनएस)। आंध्र प्रदेश में आईएएनएस के लिए सीवोटर के एक विशेष सर्वे में अधिकांश उत्तरदाताओं की राय है कि कथित कौशल विकास घोटाले में पूर्व मुख्यमंत्री और टीडीपी प्रमुख एन. चंद्रबाबू नायडू की गिरफ्तारी होने पर मतदाताओं में उनके प्रति सहानुभूति पैदा होगी।
सर्वे में 1,809 उत्तरदाताओं को शामिल किया गया। आंध्र प्रदेश के 53 प्रतिशत से अधिक निवासियों का कहना है कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी।
वर्तमान में आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री जगन मोहन रेड्डी हैं, जो वाईएसआर कांग्रेस के प्रमुख हैं।
सीवोटर सर्वे के अनुसार लोगों की राय राजनीतिक स्पेक्ट्रम में विभाजित दिखाई देती है। लगभग तीन-चौथाई उत्तरदाताओं (खुद को टीडीपी समर्थक बताने वाले) का दावा है कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी। इसी तरह दो-तिहाई से भी कम उत्तरदाता (खुद को भाजपा समर्थक मानने वाले) समान विचार रखते हैं।
गौरतलब है कि प्रत्येक दस उत्तरदाताओं में से चार, जो सत्तारूढ़ पार्टी वाईएसआर कांग्रेस के समर्थक हैं, सोचते हैं कि गिरफ्तारी से नायडू के प्रति सहानुभूति पैदा होगी।
चंद्रबाबू नायडू को आंध्र प्रदेश की सीआईडी ने एक ऐसे मामले में गिरफ्तार किया था, जिसे ‘कौशल विकास घोटाला’ के नाम से जाना जाता है।
आरोपों के मुताबिक, 2014 में नायडू के मुख्यमंत्री बनने के बाद उनकी सरकार ने सीमेंस समेत कुछ निजी क्षेत्र की कंपनियों के साथ मिलकर कौशल विकास कार्यक्रम शुरू किया था।
आरोप है कि यह योजना एक घोटाला थी, क्योंकि कौशल विकास के मामले में आंध्र प्रदेश के युवाओं की मदद के लिए कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया था। इसके बजाय, आरोप यह है कि तत्कालीन मुख्यमंत्री नायडू के इशारे पर शेल कंपनियां बनाई गईं और लगभग 200 करोड़ रुपये निकाले गए।
टीडीपी ने आरोपों का जोरदार खंडन किया है और इसे राजनीतिक प्रतिशोध की कार्रवाई बताया है। यह मामला और भी विवादास्पद होता जा रहा है क्योंकि राज्य में अगले साल लोकसभा और विधानसभा चुनाव होने हैं।