चेन्नई, 30 दिसंबर (आईएएनएस)। तमिलनाडु कांग्रेस कमेटी (टीएनसीसी) 2024 के आम चुनाव की तैयारी के तहत राज्य स्तर पर अभियान चला रही है।
गुरुवार को पदाधिकारियों की बैठक के दौरान के.वी. थंगाबालु, ईवीकेएस एलंगोवन और विधानमंडल दल के नेता के. सेल्वापेरुनथागई सहित टीएनसीसी के पूर्व अध्यक्षों का कैयोडू काई कोरपम कार्यक्रम की तैयारियों से दूर रहना इस बात का संकेत है कि आगे क्या होने वाला है।
कैयोडू काई कोरपम कार्यक्रम राहुल गांधी के भारत जोड़ो कार्यक्रम के हिस्से के रूप में पार्टी का राज्य-स्तरीय अभियान है। पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष के.एस. अलागिरी मजबूत राजनीतिक पदों पर रहते हुए और नियमित कार्यक्रम आयोजित कर पार्टी को पुनर्जीवित करने की कोशिश कर रहे हैं, जिसके कारण कांग्रेस को तमिलनाडु में सम्मान मिला है।
2024 के चुनावों की तैयारी कर रहे डीएमके के नेतृत्व वाले सेक्युलर प्रोग्रेसिव अलायंस (एसपीए) के साथ, कांग्रेस ने केंद्र की एनडीए सरकार की जनविरोधी नीतियों और तमिलनाडु में द्रमुक सरकार की जनहितैषी नीतियों और कार्यक्रमों को उजागर करने के लिए घर-घर जाकर अभियान चलाने का महत्वाकांक्षी कार्यक्रम तैयार किया है।
लेकिन राज्य कांग्रेस में तनाव तब सामने आया जब एक पार्टी कार्यकर्ता, जो पार्टी विधायक रूबी मनोहरन के समर्थक हैं, ने 15 नवंबर को पार्टी के राज्य मुख्यालय, सत्यमूर्ति भवन में तोड़फोड़ की। यह थूथुकुडी जिला समिति में कुछ मुद्दों के कारण था। जिसमें विधायक के समर्थकों को जिले की ब्लॉक कांग्रेस कमेटी में प्रमुख पद नहीं दिया गया।
राज्य कांग्रेस की अनुशासनात्मक समिति ने रूबी मनोहरन और उनके समर्थकों को तुरंत निलंबित कर दिया, लेकिन तमिलनाडु के एआईसीसी प्रभारी सचिव दिनेश गुंडुराव ने इस मामले में हस्तक्षेप किया और निलंबित किए जाने के घंटों बाद उनके निलंबन को रद्द कर दिया। इसके कारण राज्य कांग्रेस में कई नेताओं के साथ मनमुटाव पैदा हो गया, जो प्रदेश अध्यक्ष के.एस. अलागिरी के एक साथ आने और अलाइगिरी को हटाने के लिए पार्टी आलाकमान को संदेश भेजने के खिलाफ थे। के.वी. थंगबालु और ई.वी.के.एस. एलंगोवन सहित कुछ वरिष्ठ नेताओं ने व्यक्तिगत रूप से कांग्रेस आलाकमान से मुलाकात की और इस मुद्दे से अवगत कराया।
कांग्रेस नेता और पूर्व केंद्रीय मंत्री धनुषकोडी आदित्यन ने कहा है कि तमिलनाडु की कांग्रेस पार्टी में गुटबाजी इस तथ्य के कारण है कि पार्टी राज्य में बढ़ रही है। अलागिरी के पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष बनने के बाद से ही तमिलनाडु में कांग्रेस का आधार बढ़ता जा रहा है और राज्य भर में नियमित कार्यक्रम आयोजित किए जाते हैं।
भले ही पार्टी में गुटबाजी देखने को मिल रही हो, लेकिन प्रदेश अध्यक्ष और उनके करीबी लोग 2024 के लोकसभा चुनाव की तैयारी के उद्देश्य से डोर-टू-डोर अभियान के साथ आगे बढ़ रहे हैं।
–आईएएनएस
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