पणजी, 25 फरवरी (आईएएनएस)। गोवा शिक्षा विभाग ने एक शिक्षक के खिलाफ जांच शुरू की है, जिसने कथित तौर पर 43 छात्रों को शारीरिक दंड दिया था। इसमें कुछ बेहोश हो गए थे और एक को सांस लेने में तकलीफ की शिकायत के बाद अस्पताल में भर्ती कराया गया था।
शिक्षा निदेशक शैलेश झिंगाडे ने आईएएनएस को बताया कि घटना शुक्रवार सुबह हुई और विभाग ने इसकी जांच शुरू कर दी है।
झिंगाडे ने कहा, अब तक हमें जो पता चला है कि ये छात्र कक्षा सात के थे और शिक्षक के अनुपस्थित रहने के कारण शोर कर रहे थे। जिस संविदा शिक्षक ने उन्हें कथित रूप से शारीरिक दंड दिया था, वह बगल की कक्षा नौ में पढ़ा रहा था, जो शोर के कारण परेशान हो गया था।
उन्होंने कहा कि कक्षा सात के छात्रों को कहा गया कि वे सुबह वॉलीबॉल कोर्ट का चक्कर लगाएं।
झिंगाडे ने कहा, जब वे दौड़ रहे थे तो कक्षा 9 के छात्रों ने उन पर नजर रखी। उनमें से एक छात्र ने सांस फूलने की शिकायत की और जल्द ही उसे स्वास्थ्य केंद्र ले जाया गया और बाद में छुट्टी दे दी गई।
हमने इस घटना की जांच शुरू कर दी है और इसकी रिपोर्ट मिलने के बाद स्कूल प्रबंधन से कार्रवाई करने को कहेंगे।
झिंगाड़े के मुताबिक, शुक्रवार को चार शिक्षक अनुपस्थित थे और हेडमास्टर भी क्लास ले रहे थे।
सूत्रों ने कहा कि घटना के बारे में पता चलने के बाद माता-पिता स्कूल पहुंचे और छात्रों को दिए गए शारीरिक दंड के बारे में प्रबंधन से पूछताछ की।
शीर्ष अधिकारी ने आईएएनएस को बताया, 43 में से 15 छात्र आज (शनिवार) अनुपस्थित हैं। मध्य क्षेत्र के उप निदेशक इस मामले में पूछताछ कर रहे हैं।
–आईएएनएस
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