जम्मू-कश्मीर की शीतकालीन राजधानी जम्मू से कुछ किलोमीटर दूर श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग के बेरलाब पर स्थित जम्बू चिड़ियाघर इस साल अप्रैल में पर्यटकों के लिए खोल दिया जाएगा।
3200 कनाल जमीन वाले इस ऊंचे घर में 1200 कनाल क्षेत्रफल में ढांचे का निर्माण किया जा रहा है। चिड़ियाघर का निर्माण और विकास अंतिम चरण में है और केवल केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण द्वारा निरीक्षण बाकी है, जो जल्द ही इसका निरीक्षण करेगा, जिसके बाद इसका पंजीकरण किया जाएगा।
चिड़ियाघर में अधिकांश निर्माण कार्य जम्मू-कश्मीर इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट फाइनेंस कॉर्पोरेशन द्वारा किया गया है। इसकी आंतरिक सड़कों पर ब्लैक टॉपिंग की जा रही है और रास्तों पर टाइलें भी लगाई जा रही हैं। टिकट, कैफेटेरिया, पार्किं ग आउटसोर्स की जाएगी, जिसके लिए जल्द ही टेंडर जारी कर दिए जाएंगे और अगले महीने के अंत तक सब कुछ कर लिया जाएगा।
अधिकारियों ने कहा कि वन्यजीव विभाग ने केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण से आवश्यक मंजूरी पहले ही प्राप्त कर ली है। उसके बाद मांडा जू को जंबो जू में स्थानांतरित किया जाना चाहिए।
जंबो जू में हरियाणा का मगरमच्छ, दिल्ली का काला हिरण, कर्नाटक का भालू, गुजरात का चीता, बंगाल की चीनी आदि पर्यटकों के आकर्षण का केंद्र होंगे। चिड़ियाघर के अंदर जाने के लिए वाहन भी रहेगा।
चिड़ियाघर उत्तर भारत का सबसे बड़ा चिड़ियाघर होगा और इसमें बच्चों के लिए एक खुला मनोरंजन थियेटर और पार्क भी होगा। चिड़ियाघर में पर्यटकों के घूमने के लिए बैटरी से चलने वाले वाहन होंगे। यह सुविधा शहर में पर्यटकों के लिए एक प्रमुख आकर्षण होगी।
उन्होंने कहा कि वर्तमान में वन्यजीव विभाग के पास बैटरी से चलने वाली 10 कारें हैं और पर्यटकों की मांग को पूरा करने के लिए 10 और जल्द ही खरीदी जाएंगी।
बैटरी से चलने वाली 10 कारों की खरीद के लिए रुचि व्यक्त की जा रही है और चिड़ियाघर खोलने के लिए एक आउटसोर्सिग कंपनी कारों की आपूर्ति के साथ-साथ संचालन भी करेगी।
स्थानीय लोग इसे लेकर काफी उत्साहित हैं। इससे जम्मू में पर्यटन को काफी बढ़ावा मिलेगा।
–आईएएनएस
एसजीके/एएनएम
ADVERTISEMENT
जम्मू-कश्मीर की शीतकालीन राजधानी जम्मू से कुछ किलोमीटर दूर श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग के बेरलाब पर स्थित जम्बू चिड़ियाघर इस साल अप्रैल में पर्यटकों के लिए खोल दिया जाएगा।
3200 कनाल जमीन वाले इस ऊंचे घर में 1200 कनाल क्षेत्रफल में ढांचे का निर्माण किया जा रहा है। चिड़ियाघर का निर्माण और विकास अंतिम चरण में है और केवल केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण द्वारा निरीक्षण बाकी है, जो जल्द ही इसका निरीक्षण करेगा, जिसके बाद इसका पंजीकरण किया जाएगा।
चिड़ियाघर में अधिकांश निर्माण कार्य जम्मू-कश्मीर इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट फाइनेंस कॉर्पोरेशन द्वारा किया गया है। इसकी आंतरिक सड़कों पर ब्लैक टॉपिंग की जा रही है और रास्तों पर टाइलें भी लगाई जा रही हैं। टिकट, कैफेटेरिया, पार्किं ग आउटसोर्स की जाएगी, जिसके लिए जल्द ही टेंडर जारी कर दिए जाएंगे और अगले महीने के अंत तक सब कुछ कर लिया जाएगा।
अधिकारियों ने कहा कि वन्यजीव विभाग ने केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण से आवश्यक मंजूरी पहले ही प्राप्त कर ली है। उसके बाद मांडा जू को जंबो जू में स्थानांतरित किया जाना चाहिए।
जंबो जू में हरियाणा का मगरमच्छ, दिल्ली का काला हिरण, कर्नाटक का भालू, गुजरात का चीता, बंगाल की चीनी आदि पर्यटकों के आकर्षण का केंद्र होंगे। चिड़ियाघर के अंदर जाने के लिए वाहन भी रहेगा।
चिड़ियाघर उत्तर भारत का सबसे बड़ा चिड़ियाघर होगा और इसमें बच्चों के लिए एक खुला मनोरंजन थियेटर और पार्क भी होगा। चिड़ियाघर में पर्यटकों के घूमने के लिए बैटरी से चलने वाले वाहन होंगे। यह सुविधा शहर में पर्यटकों के लिए एक प्रमुख आकर्षण होगी।
उन्होंने कहा कि वर्तमान में वन्यजीव विभाग के पास बैटरी से चलने वाली 10 कारें हैं और पर्यटकों की मांग को पूरा करने के लिए 10 और जल्द ही खरीदी जाएंगी।
बैटरी से चलने वाली 10 कारों की खरीद के लिए रुचि व्यक्त की जा रही है और चिड़ियाघर खोलने के लिए एक आउटसोर्सिग कंपनी कारों की आपूर्ति के साथ-साथ संचालन भी करेगी।
स्थानीय लोग इसे लेकर काफी उत्साहित हैं। इससे जम्मू में पर्यटन को काफी बढ़ावा मिलेगा।
–आईएएनएस
एसजीके/एएनएम
ADVERTISEMENT
जम्मू-कश्मीर की शीतकालीन राजधानी जम्मू से कुछ किलोमीटर दूर श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग के बेरलाब पर स्थित जम्बू चिड़ियाघर इस साल अप्रैल में पर्यटकों के लिए खोल दिया जाएगा।
3200 कनाल जमीन वाले इस ऊंचे घर में 1200 कनाल क्षेत्रफल में ढांचे का निर्माण किया जा रहा है। चिड़ियाघर का निर्माण और विकास अंतिम चरण में है और केवल केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण द्वारा निरीक्षण बाकी है, जो जल्द ही इसका निरीक्षण करेगा, जिसके बाद इसका पंजीकरण किया जाएगा।
चिड़ियाघर में अधिकांश निर्माण कार्य जम्मू-कश्मीर इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट फाइनेंस कॉर्पोरेशन द्वारा किया गया है। इसकी आंतरिक सड़कों पर ब्लैक टॉपिंग की जा रही है और रास्तों पर टाइलें भी लगाई जा रही हैं। टिकट, कैफेटेरिया, पार्किं ग आउटसोर्स की जाएगी, जिसके लिए जल्द ही टेंडर जारी कर दिए जाएंगे और अगले महीने के अंत तक सब कुछ कर लिया जाएगा।
अधिकारियों ने कहा कि वन्यजीव विभाग ने केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण से आवश्यक मंजूरी पहले ही प्राप्त कर ली है। उसके बाद मांडा जू को जंबो जू में स्थानांतरित किया जाना चाहिए।
जंबो जू में हरियाणा का मगरमच्छ, दिल्ली का काला हिरण, कर्नाटक का भालू, गुजरात का चीता, बंगाल की चीनी आदि पर्यटकों के आकर्षण का केंद्र होंगे। चिड़ियाघर के अंदर जाने के लिए वाहन भी रहेगा।
चिड़ियाघर उत्तर भारत का सबसे बड़ा चिड़ियाघर होगा और इसमें बच्चों के लिए एक खुला मनोरंजन थियेटर और पार्क भी होगा। चिड़ियाघर में पर्यटकों के घूमने के लिए बैटरी से चलने वाले वाहन होंगे। यह सुविधा शहर में पर्यटकों के लिए एक प्रमुख आकर्षण होगी।
उन्होंने कहा कि वर्तमान में वन्यजीव विभाग के पास बैटरी से चलने वाली 10 कारें हैं और पर्यटकों की मांग को पूरा करने के लिए 10 और जल्द ही खरीदी जाएंगी।
बैटरी से चलने वाली 10 कारों की खरीद के लिए रुचि व्यक्त की जा रही है और चिड़ियाघर खोलने के लिए एक आउटसोर्सिग कंपनी कारों की आपूर्ति के साथ-साथ संचालन भी करेगी।
स्थानीय लोग इसे लेकर काफी उत्साहित हैं। इससे जम्मू में पर्यटन को काफी बढ़ावा मिलेगा।
–आईएएनएस
एसजीके/एएनएम
ADVERTISEMENT
जम्मू-कश्मीर की शीतकालीन राजधानी जम्मू से कुछ किलोमीटर दूर श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग के बेरलाब पर स्थित जम्बू चिड़ियाघर इस साल अप्रैल में पर्यटकों के लिए खोल दिया जाएगा।
3200 कनाल जमीन वाले इस ऊंचे घर में 1200 कनाल क्षेत्रफल में ढांचे का निर्माण किया जा रहा है। चिड़ियाघर का निर्माण और विकास अंतिम चरण में है और केवल केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण द्वारा निरीक्षण बाकी है, जो जल्द ही इसका निरीक्षण करेगा, जिसके बाद इसका पंजीकरण किया जाएगा।
चिड़ियाघर में अधिकांश निर्माण कार्य जम्मू-कश्मीर इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट फाइनेंस कॉर्पोरेशन द्वारा किया गया है। इसकी आंतरिक सड़कों पर ब्लैक टॉपिंग की जा रही है और रास्तों पर टाइलें भी लगाई जा रही हैं। टिकट, कैफेटेरिया, पार्किं ग आउटसोर्स की जाएगी, जिसके लिए जल्द ही टेंडर जारी कर दिए जाएंगे और अगले महीने के अंत तक सब कुछ कर लिया जाएगा।
अधिकारियों ने कहा कि वन्यजीव विभाग ने केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण से आवश्यक मंजूरी पहले ही प्राप्त कर ली है। उसके बाद मांडा जू को जंबो जू में स्थानांतरित किया जाना चाहिए।
जंबो जू में हरियाणा का मगरमच्छ, दिल्ली का काला हिरण, कर्नाटक का भालू, गुजरात का चीता, बंगाल की चीनी आदि पर्यटकों के आकर्षण का केंद्र होंगे। चिड़ियाघर के अंदर जाने के लिए वाहन भी रहेगा।
चिड़ियाघर उत्तर भारत का सबसे बड़ा चिड़ियाघर होगा और इसमें बच्चों के लिए एक खुला मनोरंजन थियेटर और पार्क भी होगा। चिड़ियाघर में पर्यटकों के घूमने के लिए बैटरी से चलने वाले वाहन होंगे। यह सुविधा शहर में पर्यटकों के लिए एक प्रमुख आकर्षण होगी।
उन्होंने कहा कि वर्तमान में वन्यजीव विभाग के पास बैटरी से चलने वाली 10 कारें हैं और पर्यटकों की मांग को पूरा करने के लिए 10 और जल्द ही खरीदी जाएंगी।
बैटरी से चलने वाली 10 कारों की खरीद के लिए रुचि व्यक्त की जा रही है और चिड़ियाघर खोलने के लिए एक आउटसोर्सिग कंपनी कारों की आपूर्ति के साथ-साथ संचालन भी करेगी।
स्थानीय लोग इसे लेकर काफी उत्साहित हैं। इससे जम्मू में पर्यटन को काफी बढ़ावा मिलेगा।
–आईएएनएस
एसजीके/एएनएम
ADVERTISEMENT
जम्मू-कश्मीर की शीतकालीन राजधानी जम्मू से कुछ किलोमीटर दूर श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग के बेरलाब पर स्थित जम्बू चिड़ियाघर इस साल अप्रैल में पर्यटकों के लिए खोल दिया जाएगा।
3200 कनाल जमीन वाले इस ऊंचे घर में 1200 कनाल क्षेत्रफल में ढांचे का निर्माण किया जा रहा है। चिड़ियाघर का निर्माण और विकास अंतिम चरण में है और केवल केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण द्वारा निरीक्षण बाकी है, जो जल्द ही इसका निरीक्षण करेगा, जिसके बाद इसका पंजीकरण किया जाएगा।
चिड़ियाघर में अधिकांश निर्माण कार्य जम्मू-कश्मीर इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट फाइनेंस कॉर्पोरेशन द्वारा किया गया है। इसकी आंतरिक सड़कों पर ब्लैक टॉपिंग की जा रही है और रास्तों पर टाइलें भी लगाई जा रही हैं। टिकट, कैफेटेरिया, पार्किं ग आउटसोर्स की जाएगी, जिसके लिए जल्द ही टेंडर जारी कर दिए जाएंगे और अगले महीने के अंत तक सब कुछ कर लिया जाएगा।
अधिकारियों ने कहा कि वन्यजीव विभाग ने केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण से आवश्यक मंजूरी पहले ही प्राप्त कर ली है। उसके बाद मांडा जू को जंबो जू में स्थानांतरित किया जाना चाहिए।
जंबो जू में हरियाणा का मगरमच्छ, दिल्ली का काला हिरण, कर्नाटक का भालू, गुजरात का चीता, बंगाल की चीनी आदि पर्यटकों के आकर्षण का केंद्र होंगे। चिड़ियाघर के अंदर जाने के लिए वाहन भी रहेगा।
चिड़ियाघर उत्तर भारत का सबसे बड़ा चिड़ियाघर होगा और इसमें बच्चों के लिए एक खुला मनोरंजन थियेटर और पार्क भी होगा। चिड़ियाघर में पर्यटकों के घूमने के लिए बैटरी से चलने वाले वाहन होंगे। यह सुविधा शहर में पर्यटकों के लिए एक प्रमुख आकर्षण होगी।
उन्होंने कहा कि वर्तमान में वन्यजीव विभाग के पास बैटरी से चलने वाली 10 कारें हैं और पर्यटकों की मांग को पूरा करने के लिए 10 और जल्द ही खरीदी जाएंगी।
बैटरी से चलने वाली 10 कारों की खरीद के लिए रुचि व्यक्त की जा रही है और चिड़ियाघर खोलने के लिए एक आउटसोर्सिग कंपनी कारों की आपूर्ति के साथ-साथ संचालन भी करेगी।
स्थानीय लोग इसे लेकर काफी उत्साहित हैं। इससे जम्मू में पर्यटन को काफी बढ़ावा मिलेगा।
–आईएएनएस
एसजीके/एएनएम
ADVERTISEMENT
जम्मू-कश्मीर की शीतकालीन राजधानी जम्मू से कुछ किलोमीटर दूर श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग के बेरलाब पर स्थित जम्बू चिड़ियाघर इस साल अप्रैल में पर्यटकों के लिए खोल दिया जाएगा।
3200 कनाल जमीन वाले इस ऊंचे घर में 1200 कनाल क्षेत्रफल में ढांचे का निर्माण किया जा रहा है। चिड़ियाघर का निर्माण और विकास अंतिम चरण में है और केवल केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण द्वारा निरीक्षण बाकी है, जो जल्द ही इसका निरीक्षण करेगा, जिसके बाद इसका पंजीकरण किया जाएगा।
चिड़ियाघर में अधिकांश निर्माण कार्य जम्मू-कश्मीर इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट फाइनेंस कॉर्पोरेशन द्वारा किया गया है। इसकी आंतरिक सड़कों पर ब्लैक टॉपिंग की जा रही है और रास्तों पर टाइलें भी लगाई जा रही हैं। टिकट, कैफेटेरिया, पार्किं ग आउटसोर्स की जाएगी, जिसके लिए जल्द ही टेंडर जारी कर दिए जाएंगे और अगले महीने के अंत तक सब कुछ कर लिया जाएगा।
अधिकारियों ने कहा कि वन्यजीव विभाग ने केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण से आवश्यक मंजूरी पहले ही प्राप्त कर ली है। उसके बाद मांडा जू को जंबो जू में स्थानांतरित किया जाना चाहिए।
जंबो जू में हरियाणा का मगरमच्छ, दिल्ली का काला हिरण, कर्नाटक का भालू, गुजरात का चीता, बंगाल की चीनी आदि पर्यटकों के आकर्षण का केंद्र होंगे। चिड़ियाघर के अंदर जाने के लिए वाहन भी रहेगा।
चिड़ियाघर उत्तर भारत का सबसे बड़ा चिड़ियाघर होगा और इसमें बच्चों के लिए एक खुला मनोरंजन थियेटर और पार्क भी होगा। चिड़ियाघर में पर्यटकों के घूमने के लिए बैटरी से चलने वाले वाहन होंगे। यह सुविधा शहर में पर्यटकों के लिए एक प्रमुख आकर्षण होगी।
उन्होंने कहा कि वर्तमान में वन्यजीव विभाग के पास बैटरी से चलने वाली 10 कारें हैं और पर्यटकों की मांग को पूरा करने के लिए 10 और जल्द ही खरीदी जाएंगी।
बैटरी से चलने वाली 10 कारों की खरीद के लिए रुचि व्यक्त की जा रही है और चिड़ियाघर खोलने के लिए एक आउटसोर्सिग कंपनी कारों की आपूर्ति के साथ-साथ संचालन भी करेगी।
स्थानीय लोग इसे लेकर काफी उत्साहित हैं। इससे जम्मू में पर्यटन को काफी बढ़ावा मिलेगा।
–आईएएनएस
एसजीके/एएनएम
ADVERTISEMENT
जम्मू-कश्मीर की शीतकालीन राजधानी जम्मू से कुछ किलोमीटर दूर श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग के बेरलाब पर स्थित जम्बू चिड़ियाघर इस साल अप्रैल में पर्यटकों के लिए खोल दिया जाएगा।
3200 कनाल जमीन वाले इस ऊंचे घर में 1200 कनाल क्षेत्रफल में ढांचे का निर्माण किया जा रहा है। चिड़ियाघर का निर्माण और विकास अंतिम चरण में है और केवल केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण द्वारा निरीक्षण बाकी है, जो जल्द ही इसका निरीक्षण करेगा, जिसके बाद इसका पंजीकरण किया जाएगा।
चिड़ियाघर में अधिकांश निर्माण कार्य जम्मू-कश्मीर इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट फाइनेंस कॉर्पोरेशन द्वारा किया गया है। इसकी आंतरिक सड़कों पर ब्लैक टॉपिंग की जा रही है और रास्तों पर टाइलें भी लगाई जा रही हैं। टिकट, कैफेटेरिया, पार्किं ग आउटसोर्स की जाएगी, जिसके लिए जल्द ही टेंडर जारी कर दिए जाएंगे और अगले महीने के अंत तक सब कुछ कर लिया जाएगा।
अधिकारियों ने कहा कि वन्यजीव विभाग ने केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण से आवश्यक मंजूरी पहले ही प्राप्त कर ली है। उसके बाद मांडा जू को जंबो जू में स्थानांतरित किया जाना चाहिए।
जंबो जू में हरियाणा का मगरमच्छ, दिल्ली का काला हिरण, कर्नाटक का भालू, गुजरात का चीता, बंगाल की चीनी आदि पर्यटकों के आकर्षण का केंद्र होंगे। चिड़ियाघर के अंदर जाने के लिए वाहन भी रहेगा।
चिड़ियाघर उत्तर भारत का सबसे बड़ा चिड़ियाघर होगा और इसमें बच्चों के लिए एक खुला मनोरंजन थियेटर और पार्क भी होगा। चिड़ियाघर में पर्यटकों के घूमने के लिए बैटरी से चलने वाले वाहन होंगे। यह सुविधा शहर में पर्यटकों के लिए एक प्रमुख आकर्षण होगी।
उन्होंने कहा कि वर्तमान में वन्यजीव विभाग के पास बैटरी से चलने वाली 10 कारें हैं और पर्यटकों की मांग को पूरा करने के लिए 10 और जल्द ही खरीदी जाएंगी।
बैटरी से चलने वाली 10 कारों की खरीद के लिए रुचि व्यक्त की जा रही है और चिड़ियाघर खोलने के लिए एक आउटसोर्सिग कंपनी कारों की आपूर्ति के साथ-साथ संचालन भी करेगी।
स्थानीय लोग इसे लेकर काफी उत्साहित हैं। इससे जम्मू में पर्यटन को काफी बढ़ावा मिलेगा।
–आईएएनएस
एसजीके/एएनएम
ADVERTISEMENT
जम्मू-कश्मीर की शीतकालीन राजधानी जम्मू से कुछ किलोमीटर दूर श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग के बेरलाब पर स्थित जम्बू चिड़ियाघर इस साल अप्रैल में पर्यटकों के लिए खोल दिया जाएगा।
3200 कनाल जमीन वाले इस ऊंचे घर में 1200 कनाल क्षेत्रफल में ढांचे का निर्माण किया जा रहा है। चिड़ियाघर का निर्माण और विकास अंतिम चरण में है और केवल केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण द्वारा निरीक्षण बाकी है, जो जल्द ही इसका निरीक्षण करेगा, जिसके बाद इसका पंजीकरण किया जाएगा।
चिड़ियाघर में अधिकांश निर्माण कार्य जम्मू-कश्मीर इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट फाइनेंस कॉर्पोरेशन द्वारा किया गया है। इसकी आंतरिक सड़कों पर ब्लैक टॉपिंग की जा रही है और रास्तों पर टाइलें भी लगाई जा रही हैं। टिकट, कैफेटेरिया, पार्किं ग आउटसोर्स की जाएगी, जिसके लिए जल्द ही टेंडर जारी कर दिए जाएंगे और अगले महीने के अंत तक सब कुछ कर लिया जाएगा।
अधिकारियों ने कहा कि वन्यजीव विभाग ने केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण से आवश्यक मंजूरी पहले ही प्राप्त कर ली है। उसके बाद मांडा जू को जंबो जू में स्थानांतरित किया जाना चाहिए।
जंबो जू में हरियाणा का मगरमच्छ, दिल्ली का काला हिरण, कर्नाटक का भालू, गुजरात का चीता, बंगाल की चीनी आदि पर्यटकों के आकर्षण का केंद्र होंगे। चिड़ियाघर के अंदर जाने के लिए वाहन भी रहेगा।
चिड़ियाघर उत्तर भारत का सबसे बड़ा चिड़ियाघर होगा और इसमें बच्चों के लिए एक खुला मनोरंजन थियेटर और पार्क भी होगा। चिड़ियाघर में पर्यटकों के घूमने के लिए बैटरी से चलने वाले वाहन होंगे। यह सुविधा शहर में पर्यटकों के लिए एक प्रमुख आकर्षण होगी।
उन्होंने कहा कि वर्तमान में वन्यजीव विभाग के पास बैटरी से चलने वाली 10 कारें हैं और पर्यटकों की मांग को पूरा करने के लिए 10 और जल्द ही खरीदी जाएंगी।
बैटरी से चलने वाली 10 कारों की खरीद के लिए रुचि व्यक्त की जा रही है और चिड़ियाघर खोलने के लिए एक आउटसोर्सिग कंपनी कारों की आपूर्ति के साथ-साथ संचालन भी करेगी।
स्थानीय लोग इसे लेकर काफी उत्साहित हैं। इससे जम्मू में पर्यटन को काफी बढ़ावा मिलेगा।
–आईएएनएस
एसजीके/एएनएम
जम्मू-कश्मीर की शीतकालीन राजधानी जम्मू से कुछ किलोमीटर दूर श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग के बेरलाब पर स्थित जम्बू चिड़ियाघर इस साल अप्रैल में पर्यटकों के लिए खोल दिया जाएगा।
3200 कनाल जमीन वाले इस ऊंचे घर में 1200 कनाल क्षेत्रफल में ढांचे का निर्माण किया जा रहा है। चिड़ियाघर का निर्माण और विकास अंतिम चरण में है और केवल केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण द्वारा निरीक्षण बाकी है, जो जल्द ही इसका निरीक्षण करेगा, जिसके बाद इसका पंजीकरण किया जाएगा।
चिड़ियाघर में अधिकांश निर्माण कार्य जम्मू-कश्मीर इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट फाइनेंस कॉर्पोरेशन द्वारा किया गया है। इसकी आंतरिक सड़कों पर ब्लैक टॉपिंग की जा रही है और रास्तों पर टाइलें भी लगाई जा रही हैं। टिकट, कैफेटेरिया, पार्किं ग आउटसोर्स की जाएगी, जिसके लिए जल्द ही टेंडर जारी कर दिए जाएंगे और अगले महीने के अंत तक सब कुछ कर लिया जाएगा।
अधिकारियों ने कहा कि वन्यजीव विभाग ने केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण से आवश्यक मंजूरी पहले ही प्राप्त कर ली है। उसके बाद मांडा जू को जंबो जू में स्थानांतरित किया जाना चाहिए।
जंबो जू में हरियाणा का मगरमच्छ, दिल्ली का काला हिरण, कर्नाटक का भालू, गुजरात का चीता, बंगाल की चीनी आदि पर्यटकों के आकर्षण का केंद्र होंगे। चिड़ियाघर के अंदर जाने के लिए वाहन भी रहेगा।
चिड़ियाघर उत्तर भारत का सबसे बड़ा चिड़ियाघर होगा और इसमें बच्चों के लिए एक खुला मनोरंजन थियेटर और पार्क भी होगा। चिड़ियाघर में पर्यटकों के घूमने के लिए बैटरी से चलने वाले वाहन होंगे। यह सुविधा शहर में पर्यटकों के लिए एक प्रमुख आकर्षण होगी।
उन्होंने कहा कि वर्तमान में वन्यजीव विभाग के पास बैटरी से चलने वाली 10 कारें हैं और पर्यटकों की मांग को पूरा करने के लिए 10 और जल्द ही खरीदी जाएंगी।
बैटरी से चलने वाली 10 कारों की खरीद के लिए रुचि व्यक्त की जा रही है और चिड़ियाघर खोलने के लिए एक आउटसोर्सिग कंपनी कारों की आपूर्ति के साथ-साथ संचालन भी करेगी।
स्थानीय लोग इसे लेकर काफी उत्साहित हैं। इससे जम्मू में पर्यटन को काफी बढ़ावा मिलेगा।
–आईएएनएस
एसजीके/एएनएम
ADVERTISEMENT
जम्मू-कश्मीर की शीतकालीन राजधानी जम्मू से कुछ किलोमीटर दूर श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग के बेरलाब पर स्थित जम्बू चिड़ियाघर इस साल अप्रैल में पर्यटकों के लिए खोल दिया जाएगा।
3200 कनाल जमीन वाले इस ऊंचे घर में 1200 कनाल क्षेत्रफल में ढांचे का निर्माण किया जा रहा है। चिड़ियाघर का निर्माण और विकास अंतिम चरण में है और केवल केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण द्वारा निरीक्षण बाकी है, जो जल्द ही इसका निरीक्षण करेगा, जिसके बाद इसका पंजीकरण किया जाएगा।
चिड़ियाघर में अधिकांश निर्माण कार्य जम्मू-कश्मीर इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट फाइनेंस कॉर्पोरेशन द्वारा किया गया है। इसकी आंतरिक सड़कों पर ब्लैक टॉपिंग की जा रही है और रास्तों पर टाइलें भी लगाई जा रही हैं। टिकट, कैफेटेरिया, पार्किं ग आउटसोर्स की जाएगी, जिसके लिए जल्द ही टेंडर जारी कर दिए जाएंगे और अगले महीने के अंत तक सब कुछ कर लिया जाएगा।
अधिकारियों ने कहा कि वन्यजीव विभाग ने केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण से आवश्यक मंजूरी पहले ही प्राप्त कर ली है। उसके बाद मांडा जू को जंबो जू में स्थानांतरित किया जाना चाहिए।
जंबो जू में हरियाणा का मगरमच्छ, दिल्ली का काला हिरण, कर्नाटक का भालू, गुजरात का चीता, बंगाल की चीनी आदि पर्यटकों के आकर्षण का केंद्र होंगे। चिड़ियाघर के अंदर जाने के लिए वाहन भी रहेगा।
चिड़ियाघर उत्तर भारत का सबसे बड़ा चिड़ियाघर होगा और इसमें बच्चों के लिए एक खुला मनोरंजन थियेटर और पार्क भी होगा। चिड़ियाघर में पर्यटकों के घूमने के लिए बैटरी से चलने वाले वाहन होंगे। यह सुविधा शहर में पर्यटकों के लिए एक प्रमुख आकर्षण होगी।
उन्होंने कहा कि वर्तमान में वन्यजीव विभाग के पास बैटरी से चलने वाली 10 कारें हैं और पर्यटकों की मांग को पूरा करने के लिए 10 और जल्द ही खरीदी जाएंगी।
बैटरी से चलने वाली 10 कारों की खरीद के लिए रुचि व्यक्त की जा रही है और चिड़ियाघर खोलने के लिए एक आउटसोर्सिग कंपनी कारों की आपूर्ति के साथ-साथ संचालन भी करेगी।
स्थानीय लोग इसे लेकर काफी उत्साहित हैं। इससे जम्मू में पर्यटन को काफी बढ़ावा मिलेगा।
–आईएएनएस
एसजीके/एएनएम
ADVERTISEMENT
जम्मू-कश्मीर की शीतकालीन राजधानी जम्मू से कुछ किलोमीटर दूर श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग के बेरलाब पर स्थित जम्बू चिड़ियाघर इस साल अप्रैल में पर्यटकों के लिए खोल दिया जाएगा।
3200 कनाल जमीन वाले इस ऊंचे घर में 1200 कनाल क्षेत्रफल में ढांचे का निर्माण किया जा रहा है। चिड़ियाघर का निर्माण और विकास अंतिम चरण में है और केवल केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण द्वारा निरीक्षण बाकी है, जो जल्द ही इसका निरीक्षण करेगा, जिसके बाद इसका पंजीकरण किया जाएगा।
चिड़ियाघर में अधिकांश निर्माण कार्य जम्मू-कश्मीर इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट फाइनेंस कॉर्पोरेशन द्वारा किया गया है। इसकी आंतरिक सड़कों पर ब्लैक टॉपिंग की जा रही है और रास्तों पर टाइलें भी लगाई जा रही हैं। टिकट, कैफेटेरिया, पार्किं ग आउटसोर्स की जाएगी, जिसके लिए जल्द ही टेंडर जारी कर दिए जाएंगे और अगले महीने के अंत तक सब कुछ कर लिया जाएगा।
अधिकारियों ने कहा कि वन्यजीव विभाग ने केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण से आवश्यक मंजूरी पहले ही प्राप्त कर ली है। उसके बाद मांडा जू को जंबो जू में स्थानांतरित किया जाना चाहिए।
जंबो जू में हरियाणा का मगरमच्छ, दिल्ली का काला हिरण, कर्नाटक का भालू, गुजरात का चीता, बंगाल की चीनी आदि पर्यटकों के आकर्षण का केंद्र होंगे। चिड़ियाघर के अंदर जाने के लिए वाहन भी रहेगा।
चिड़ियाघर उत्तर भारत का सबसे बड़ा चिड़ियाघर होगा और इसमें बच्चों के लिए एक खुला मनोरंजन थियेटर और पार्क भी होगा। चिड़ियाघर में पर्यटकों के घूमने के लिए बैटरी से चलने वाले वाहन होंगे। यह सुविधा शहर में पर्यटकों के लिए एक प्रमुख आकर्षण होगी।
उन्होंने कहा कि वर्तमान में वन्यजीव विभाग के पास बैटरी से चलने वाली 10 कारें हैं और पर्यटकों की मांग को पूरा करने के लिए 10 और जल्द ही खरीदी जाएंगी।
बैटरी से चलने वाली 10 कारों की खरीद के लिए रुचि व्यक्त की जा रही है और चिड़ियाघर खोलने के लिए एक आउटसोर्सिग कंपनी कारों की आपूर्ति के साथ-साथ संचालन भी करेगी।
स्थानीय लोग इसे लेकर काफी उत्साहित हैं। इससे जम्मू में पर्यटन को काफी बढ़ावा मिलेगा।
–आईएएनएस
एसजीके/एएनएम
ADVERTISEMENT
जम्मू-कश्मीर की शीतकालीन राजधानी जम्मू से कुछ किलोमीटर दूर श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग के बेरलाब पर स्थित जम्बू चिड़ियाघर इस साल अप्रैल में पर्यटकों के लिए खोल दिया जाएगा।
3200 कनाल जमीन वाले इस ऊंचे घर में 1200 कनाल क्षेत्रफल में ढांचे का निर्माण किया जा रहा है। चिड़ियाघर का निर्माण और विकास अंतिम चरण में है और केवल केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण द्वारा निरीक्षण बाकी है, जो जल्द ही इसका निरीक्षण करेगा, जिसके बाद इसका पंजीकरण किया जाएगा।
चिड़ियाघर में अधिकांश निर्माण कार्य जम्मू-कश्मीर इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट फाइनेंस कॉर्पोरेशन द्वारा किया गया है। इसकी आंतरिक सड़कों पर ब्लैक टॉपिंग की जा रही है और रास्तों पर टाइलें भी लगाई जा रही हैं। टिकट, कैफेटेरिया, पार्किं ग आउटसोर्स की जाएगी, जिसके लिए जल्द ही टेंडर जारी कर दिए जाएंगे और अगले महीने के अंत तक सब कुछ कर लिया जाएगा।
अधिकारियों ने कहा कि वन्यजीव विभाग ने केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण से आवश्यक मंजूरी पहले ही प्राप्त कर ली है। उसके बाद मांडा जू को जंबो जू में स्थानांतरित किया जाना चाहिए।
जंबो जू में हरियाणा का मगरमच्छ, दिल्ली का काला हिरण, कर्नाटक का भालू, गुजरात का चीता, बंगाल की चीनी आदि पर्यटकों के आकर्षण का केंद्र होंगे। चिड़ियाघर के अंदर जाने के लिए वाहन भी रहेगा।
चिड़ियाघर उत्तर भारत का सबसे बड़ा चिड़ियाघर होगा और इसमें बच्चों के लिए एक खुला मनोरंजन थियेटर और पार्क भी होगा। चिड़ियाघर में पर्यटकों के घूमने के लिए बैटरी से चलने वाले वाहन होंगे। यह सुविधा शहर में पर्यटकों के लिए एक प्रमुख आकर्षण होगी।
उन्होंने कहा कि वर्तमान में वन्यजीव विभाग के पास बैटरी से चलने वाली 10 कारें हैं और पर्यटकों की मांग को पूरा करने के लिए 10 और जल्द ही खरीदी जाएंगी।
बैटरी से चलने वाली 10 कारों की खरीद के लिए रुचि व्यक्त की जा रही है और चिड़ियाघर खोलने के लिए एक आउटसोर्सिग कंपनी कारों की आपूर्ति के साथ-साथ संचालन भी करेगी।
स्थानीय लोग इसे लेकर काफी उत्साहित हैं। इससे जम्मू में पर्यटन को काफी बढ़ावा मिलेगा।
–आईएएनएस
एसजीके/एएनएम
ADVERTISEMENT
जम्मू-कश्मीर की शीतकालीन राजधानी जम्मू से कुछ किलोमीटर दूर श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग के बेरलाब पर स्थित जम्बू चिड़ियाघर इस साल अप्रैल में पर्यटकों के लिए खोल दिया जाएगा।
3200 कनाल जमीन वाले इस ऊंचे घर में 1200 कनाल क्षेत्रफल में ढांचे का निर्माण किया जा रहा है। चिड़ियाघर का निर्माण और विकास अंतिम चरण में है और केवल केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण द्वारा निरीक्षण बाकी है, जो जल्द ही इसका निरीक्षण करेगा, जिसके बाद इसका पंजीकरण किया जाएगा।
चिड़ियाघर में अधिकांश निर्माण कार्य जम्मू-कश्मीर इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट फाइनेंस कॉर्पोरेशन द्वारा किया गया है। इसकी आंतरिक सड़कों पर ब्लैक टॉपिंग की जा रही है और रास्तों पर टाइलें भी लगाई जा रही हैं। टिकट, कैफेटेरिया, पार्किं ग आउटसोर्स की जाएगी, जिसके लिए जल्द ही टेंडर जारी कर दिए जाएंगे और अगले महीने के अंत तक सब कुछ कर लिया जाएगा।
अधिकारियों ने कहा कि वन्यजीव विभाग ने केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण से आवश्यक मंजूरी पहले ही प्राप्त कर ली है। उसके बाद मांडा जू को जंबो जू में स्थानांतरित किया जाना चाहिए।
जंबो जू में हरियाणा का मगरमच्छ, दिल्ली का काला हिरण, कर्नाटक का भालू, गुजरात का चीता, बंगाल की चीनी आदि पर्यटकों के आकर्षण का केंद्र होंगे। चिड़ियाघर के अंदर जाने के लिए वाहन भी रहेगा।
चिड़ियाघर उत्तर भारत का सबसे बड़ा चिड़ियाघर होगा और इसमें बच्चों के लिए एक खुला मनोरंजन थियेटर और पार्क भी होगा। चिड़ियाघर में पर्यटकों के घूमने के लिए बैटरी से चलने वाले वाहन होंगे। यह सुविधा शहर में पर्यटकों के लिए एक प्रमुख आकर्षण होगी।
उन्होंने कहा कि वर्तमान में वन्यजीव विभाग के पास बैटरी से चलने वाली 10 कारें हैं और पर्यटकों की मांग को पूरा करने के लिए 10 और जल्द ही खरीदी जाएंगी।
बैटरी से चलने वाली 10 कारों की खरीद के लिए रुचि व्यक्त की जा रही है और चिड़ियाघर खोलने के लिए एक आउटसोर्सिग कंपनी कारों की आपूर्ति के साथ-साथ संचालन भी करेगी।
स्थानीय लोग इसे लेकर काफी उत्साहित हैं। इससे जम्मू में पर्यटन को काफी बढ़ावा मिलेगा।
–आईएएनएस
एसजीके/एएनएम
ADVERTISEMENT
जम्मू-कश्मीर की शीतकालीन राजधानी जम्मू से कुछ किलोमीटर दूर श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग के बेरलाब पर स्थित जम्बू चिड़ियाघर इस साल अप्रैल में पर्यटकों के लिए खोल दिया जाएगा।
3200 कनाल जमीन वाले इस ऊंचे घर में 1200 कनाल क्षेत्रफल में ढांचे का निर्माण किया जा रहा है। चिड़ियाघर का निर्माण और विकास अंतिम चरण में है और केवल केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण द्वारा निरीक्षण बाकी है, जो जल्द ही इसका निरीक्षण करेगा, जिसके बाद इसका पंजीकरण किया जाएगा।
चिड़ियाघर में अधिकांश निर्माण कार्य जम्मू-कश्मीर इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट फाइनेंस कॉर्पोरेशन द्वारा किया गया है। इसकी आंतरिक सड़कों पर ब्लैक टॉपिंग की जा रही है और रास्तों पर टाइलें भी लगाई जा रही हैं। टिकट, कैफेटेरिया, पार्किं ग आउटसोर्स की जाएगी, जिसके लिए जल्द ही टेंडर जारी कर दिए जाएंगे और अगले महीने के अंत तक सब कुछ कर लिया जाएगा।
अधिकारियों ने कहा कि वन्यजीव विभाग ने केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण से आवश्यक मंजूरी पहले ही प्राप्त कर ली है। उसके बाद मांडा जू को जंबो जू में स्थानांतरित किया जाना चाहिए।
जंबो जू में हरियाणा का मगरमच्छ, दिल्ली का काला हिरण, कर्नाटक का भालू, गुजरात का चीता, बंगाल की चीनी आदि पर्यटकों के आकर्षण का केंद्र होंगे। चिड़ियाघर के अंदर जाने के लिए वाहन भी रहेगा।
चिड़ियाघर उत्तर भारत का सबसे बड़ा चिड़ियाघर होगा और इसमें बच्चों के लिए एक खुला मनोरंजन थियेटर और पार्क भी होगा। चिड़ियाघर में पर्यटकों के घूमने के लिए बैटरी से चलने वाले वाहन होंगे। यह सुविधा शहर में पर्यटकों के लिए एक प्रमुख आकर्षण होगी।
उन्होंने कहा कि वर्तमान में वन्यजीव विभाग के पास बैटरी से चलने वाली 10 कारें हैं और पर्यटकों की मांग को पूरा करने के लिए 10 और जल्द ही खरीदी जाएंगी।
बैटरी से चलने वाली 10 कारों की खरीद के लिए रुचि व्यक्त की जा रही है और चिड़ियाघर खोलने के लिए एक आउटसोर्सिग कंपनी कारों की आपूर्ति के साथ-साथ संचालन भी करेगी।
स्थानीय लोग इसे लेकर काफी उत्साहित हैं। इससे जम्मू में पर्यटन को काफी बढ़ावा मिलेगा।
–आईएएनएस
एसजीके/एएनएम
ADVERTISEMENT
जम्मू-कश्मीर की शीतकालीन राजधानी जम्मू से कुछ किलोमीटर दूर श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग के बेरलाब पर स्थित जम्बू चिड़ियाघर इस साल अप्रैल में पर्यटकों के लिए खोल दिया जाएगा।
3200 कनाल जमीन वाले इस ऊंचे घर में 1200 कनाल क्षेत्रफल में ढांचे का निर्माण किया जा रहा है। चिड़ियाघर का निर्माण और विकास अंतिम चरण में है और केवल केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण द्वारा निरीक्षण बाकी है, जो जल्द ही इसका निरीक्षण करेगा, जिसके बाद इसका पंजीकरण किया जाएगा।
चिड़ियाघर में अधिकांश निर्माण कार्य जम्मू-कश्मीर इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट फाइनेंस कॉर्पोरेशन द्वारा किया गया है। इसकी आंतरिक सड़कों पर ब्लैक टॉपिंग की जा रही है और रास्तों पर टाइलें भी लगाई जा रही हैं। टिकट, कैफेटेरिया, पार्किं ग आउटसोर्स की जाएगी, जिसके लिए जल्द ही टेंडर जारी कर दिए जाएंगे और अगले महीने के अंत तक सब कुछ कर लिया जाएगा।
अधिकारियों ने कहा कि वन्यजीव विभाग ने केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण से आवश्यक मंजूरी पहले ही प्राप्त कर ली है। उसके बाद मांडा जू को जंबो जू में स्थानांतरित किया जाना चाहिए।
जंबो जू में हरियाणा का मगरमच्छ, दिल्ली का काला हिरण, कर्नाटक का भालू, गुजरात का चीता, बंगाल की चीनी आदि पर्यटकों के आकर्षण का केंद्र होंगे। चिड़ियाघर के अंदर जाने के लिए वाहन भी रहेगा।
चिड़ियाघर उत्तर भारत का सबसे बड़ा चिड़ियाघर होगा और इसमें बच्चों के लिए एक खुला मनोरंजन थियेटर और पार्क भी होगा। चिड़ियाघर में पर्यटकों के घूमने के लिए बैटरी से चलने वाले वाहन होंगे। यह सुविधा शहर में पर्यटकों के लिए एक प्रमुख आकर्षण होगी।
उन्होंने कहा कि वर्तमान में वन्यजीव विभाग के पास बैटरी से चलने वाली 10 कारें हैं और पर्यटकों की मांग को पूरा करने के लिए 10 और जल्द ही खरीदी जाएंगी।
बैटरी से चलने वाली 10 कारों की खरीद के लिए रुचि व्यक्त की जा रही है और चिड़ियाघर खोलने के लिए एक आउटसोर्सिग कंपनी कारों की आपूर्ति के साथ-साथ संचालन भी करेगी।
स्थानीय लोग इसे लेकर काफी उत्साहित हैं। इससे जम्मू में पर्यटन को काफी बढ़ावा मिलेगा।
–आईएएनएस
एसजीके/एएनएम
ADVERTISEMENT
जम्मू-कश्मीर की शीतकालीन राजधानी जम्मू से कुछ किलोमीटर दूर श्रीनगर राष्ट्रीय राजमार्ग के बेरलाब पर स्थित जम्बू चिड़ियाघर इस साल अप्रैल में पर्यटकों के लिए खोल दिया जाएगा।
3200 कनाल जमीन वाले इस ऊंचे घर में 1200 कनाल क्षेत्रफल में ढांचे का निर्माण किया जा रहा है। चिड़ियाघर का निर्माण और विकास अंतिम चरण में है और केवल केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण द्वारा निरीक्षण बाकी है, जो जल्द ही इसका निरीक्षण करेगा, जिसके बाद इसका पंजीकरण किया जाएगा।
चिड़ियाघर में अधिकांश निर्माण कार्य जम्मू-कश्मीर इंफ्रास्ट्रक्चर डेवलपमेंट फाइनेंस कॉर्पोरेशन द्वारा किया गया है। इसकी आंतरिक सड़कों पर ब्लैक टॉपिंग की जा रही है और रास्तों पर टाइलें भी लगाई जा रही हैं। टिकट, कैफेटेरिया, पार्किं ग आउटसोर्स की जाएगी, जिसके लिए जल्द ही टेंडर जारी कर दिए जाएंगे और अगले महीने के अंत तक सब कुछ कर लिया जाएगा।
अधिकारियों ने कहा कि वन्यजीव विभाग ने केंद्रीय चिड़ियाघर प्राधिकरण से आवश्यक मंजूरी पहले ही प्राप्त कर ली है। उसके बाद मांडा जू को जंबो जू में स्थानांतरित किया जाना चाहिए।
जंबो जू में हरियाणा का मगरमच्छ, दिल्ली का काला हिरण, कर्नाटक का भालू, गुजरात का चीता, बंगाल की चीनी आदि पर्यटकों के आकर्षण का केंद्र होंगे। चिड़ियाघर के अंदर जाने के लिए वाहन भी रहेगा।
चिड़ियाघर उत्तर भारत का सबसे बड़ा चिड़ियाघर होगा और इसमें बच्चों के लिए एक खुला मनोरंजन थियेटर और पार्क भी होगा। चिड़ियाघर में पर्यटकों के घूमने के लिए बैटरी से चलने वाले वाहन होंगे। यह सुविधा शहर में पर्यटकों के लिए एक प्रमुख आकर्षण होगी।
उन्होंने कहा कि वर्तमान में वन्यजीव विभाग के पास बैटरी से चलने वाली 10 कारें हैं और पर्यटकों की मांग को पूरा करने के लिए 10 और जल्द ही खरीदी जाएंगी।
बैटरी से चलने वाली 10 कारों की खरीद के लिए रुचि व्यक्त की जा रही है और चिड़ियाघर खोलने के लिए एक आउटसोर्सिग कंपनी कारों की आपूर्ति के साथ-साथ संचालन भी करेगी।
स्थानीय लोग इसे लेकर काफी उत्साहित हैं। इससे जम्मू में पर्यटन को काफी बढ़ावा मिलेगा।