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Home ताज़ा समाचार

जेपीसी में शामिल विपक्षी सांसदों ने की स्पीकर बिरला से मुलाकात- चेयरमैन जगदंबिका पाल के खिलाफ की शिकायत

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November 5, 2024
in ताज़ा समाचार
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नई दिल्ली, 5 नवंबर (आईएएनएस)। वक्फ (संशोधन) विधेयक 2024 को लेकर बनाई गई जेपीसी की बैठक में सत्ता पक्ष और विपक्षी सांसदों के बीच लगातार जारी तकरार अब लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला तक पहुंच गई है।

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जेपीसी में शामिल कांग्रेस, डीएमके, टीएमसी, आप और सपा के विपक्षी सांसदों ने मंगलवार को लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से मुलाकात कर जेपीसी चेयरमैन जगदंबिका पाल के व्यवहार की शिकायत की है। बताया जा रहा है कि विपक्षी सांसदों ने लोकसभा अध्यक्ष से मुलाकात के दौरान यह आरोप लगाया है कि जेपीसी के चेयरमैन मनमाने तरीके से जेपीसी की बैठकें बुला रहे हैं और ऐसे लोगों एवं संगठनों को जेपीसी की बैठक में पक्ष रखने का मौका दिया जा रहा है जो इस मामले के स्टेकहोल्डर्स ही नहीं है।

विपक्षी सांसदों का यह भी आरोप है कि एक तरफ ऐसे लोगों और संगठनों को लगातार बोलने का मौका दिया जा रहा है जिनका वक्फ से कोई लेना-देना नहीं है तो वहीं दूसरी तरफ विपक्षी सांसदों को तैयारी करने और बोलने का उचित मौका नहीं दिया जा रहा है।

स्पीकर बिरला से मुलाकात करने के बाद ‘आप’ सांसद संजय सिंह ने बताया कि विपक्षी सांसदों के प्रतिनिधिमंडल ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से मुलाकात कर, जेपीसी की बैठकों में आ रही समस्याओं की जानकारी उन्हें दी। सिंह ने दावा किया कि लोकसभा अध्यक्ष ने विपक्षी सांसदों को सभी मुद्दों पर विचार-विमर्श कर समाधान निकालने का आश्वासन दिया है।

उल्लेखनीय है कि विपक्षी सांसदों ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला को पत्र लिखकर जगदंबिका पाल पर मनमानी करने का आरोप लगाते हुए कहा था कि अगर चेयरमैन की मनमानी जारी रही, एकपक्षीय फैसला हुआ और उन्हें अपनी बात रखने का उचित मौका नहीं दिया गया तो वे जेपीसी से ही अपना नाम वापस ले लेंगे। विपक्षी सांसदों ने बिरला को लिखे पत्र में पाल पर मनमाने तरीके से लगातार जेपीसी की बैठकें बुलाने और विपक्षी सांसदों को तैयारी करने का पर्याप्त मौका नहीं देने सहित कई गंभीर आरोप लगाए थे। विपक्षी सांसदों ने अपने पत्र में लोकसभा अध्यक्ष से मुलाकात का समय भी मांगा था। इस अनुरोध को स्वीकार करते हुए स्पीकर बिरला ने मंगलवार को विपक्षी सांसदों के प्रतिनिधिमंडल के साथ मुलाकात की।

हालांकि मीडिया से बात करते हुए जगदंबिका पाल लगातार विपक्षी सांसदों के तमाम आरोपों को खारिज करते हुए कह रहे हैं कि जेपीसी का गठन ही बड़े पैमाने पर तमाम स्टेकहोल्डर्स के साथ विचार-विमर्श करने के लिए किया गया है। इसलिए जेपीसी की बैठक लगातार हो रही है। उन्होंने कहा कि आरोप लगाने वाले विपक्षी सांसद भी इन बैठकों में लगातार शामिल हो रहे हैं और बतौर चेयरमैन वह उन्हें बोलने का पर्याप्त अवसर भी दे रहे हैं।

इस बीच जेपीसी की बैठक मंगलवार, 5 नवंबर को भी जारी रही। अखिल भारतीय अधिवक्ता परिषद और अन्वेषक के प्रतिनिधियों ने जेपीसी की बैठक में अपनी-अपनी बात रखी है। वहीं दाऊदी- वोहरा समाज की तरफ से वरिष्ठ एडवोकेट हरीश साल्वे वक्फ ( संशोधन ) बिल पर अपनी बात रख रहे हैं।

–आईएएनएस

एसटीपी/एएस

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नई दिल्ली, 5 नवंबर (आईएएनएस)। वक्फ (संशोधन) विधेयक 2024 को लेकर बनाई गई जेपीसी की बैठक में सत्ता पक्ष और विपक्षी सांसदों के बीच लगातार जारी तकरार अब लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला तक पहुंच गई है।

जेपीसी में शामिल कांग्रेस, डीएमके, टीएमसी, आप और सपा के विपक्षी सांसदों ने मंगलवार को लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से मुलाकात कर जेपीसी चेयरमैन जगदंबिका पाल के व्यवहार की शिकायत की है। बताया जा रहा है कि विपक्षी सांसदों ने लोकसभा अध्यक्ष से मुलाकात के दौरान यह आरोप लगाया है कि जेपीसी के चेयरमैन मनमाने तरीके से जेपीसी की बैठकें बुला रहे हैं और ऐसे लोगों एवं संगठनों को जेपीसी की बैठक में पक्ष रखने का मौका दिया जा रहा है जो इस मामले के स्टेकहोल्डर्स ही नहीं है।

विपक्षी सांसदों का यह भी आरोप है कि एक तरफ ऐसे लोगों और संगठनों को लगातार बोलने का मौका दिया जा रहा है जिनका वक्फ से कोई लेना-देना नहीं है तो वहीं दूसरी तरफ विपक्षी सांसदों को तैयारी करने और बोलने का उचित मौका नहीं दिया जा रहा है।

स्पीकर बिरला से मुलाकात करने के बाद ‘आप’ सांसद संजय सिंह ने बताया कि विपक्षी सांसदों के प्रतिनिधिमंडल ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से मुलाकात कर, जेपीसी की बैठकों में आ रही समस्याओं की जानकारी उन्हें दी। सिंह ने दावा किया कि लोकसभा अध्यक्ष ने विपक्षी सांसदों को सभी मुद्दों पर विचार-विमर्श कर समाधान निकालने का आश्वासन दिया है।

उल्लेखनीय है कि विपक्षी सांसदों ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला को पत्र लिखकर जगदंबिका पाल पर मनमानी करने का आरोप लगाते हुए कहा था कि अगर चेयरमैन की मनमानी जारी रही, एकपक्षीय फैसला हुआ और उन्हें अपनी बात रखने का उचित मौका नहीं दिया गया तो वे जेपीसी से ही अपना नाम वापस ले लेंगे। विपक्षी सांसदों ने बिरला को लिखे पत्र में पाल पर मनमाने तरीके से लगातार जेपीसी की बैठकें बुलाने और विपक्षी सांसदों को तैयारी करने का पर्याप्त मौका नहीं देने सहित कई गंभीर आरोप लगाए थे। विपक्षी सांसदों ने अपने पत्र में लोकसभा अध्यक्ष से मुलाकात का समय भी मांगा था। इस अनुरोध को स्वीकार करते हुए स्पीकर बिरला ने मंगलवार को विपक्षी सांसदों के प्रतिनिधिमंडल के साथ मुलाकात की।

हालांकि मीडिया से बात करते हुए जगदंबिका पाल लगातार विपक्षी सांसदों के तमाम आरोपों को खारिज करते हुए कह रहे हैं कि जेपीसी का गठन ही बड़े पैमाने पर तमाम स्टेकहोल्डर्स के साथ विचार-विमर्श करने के लिए किया गया है। इसलिए जेपीसी की बैठक लगातार हो रही है। उन्होंने कहा कि आरोप लगाने वाले विपक्षी सांसद भी इन बैठकों में लगातार शामिल हो रहे हैं और बतौर चेयरमैन वह उन्हें बोलने का पर्याप्त अवसर भी दे रहे हैं।

इस बीच जेपीसी की बैठक मंगलवार, 5 नवंबर को भी जारी रही। अखिल भारतीय अधिवक्ता परिषद और अन्वेषक के प्रतिनिधियों ने जेपीसी की बैठक में अपनी-अपनी बात रखी है। वहीं दाऊदी- वोहरा समाज की तरफ से वरिष्ठ एडवोकेट हरीश साल्वे वक्फ ( संशोधन ) बिल पर अपनी बात रख रहे हैं।

–आईएएनएस

एसटीपी/एएस

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नई दिल्ली, 5 नवंबर (आईएएनएस)। वक्फ (संशोधन) विधेयक 2024 को लेकर बनाई गई जेपीसी की बैठक में सत्ता पक्ष और विपक्षी सांसदों के बीच लगातार जारी तकरार अब लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला तक पहुंच गई है।

जेपीसी में शामिल कांग्रेस, डीएमके, टीएमसी, आप और सपा के विपक्षी सांसदों ने मंगलवार को लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से मुलाकात कर जेपीसी चेयरमैन जगदंबिका पाल के व्यवहार की शिकायत की है। बताया जा रहा है कि विपक्षी सांसदों ने लोकसभा अध्यक्ष से मुलाकात के दौरान यह आरोप लगाया है कि जेपीसी के चेयरमैन मनमाने तरीके से जेपीसी की बैठकें बुला रहे हैं और ऐसे लोगों एवं संगठनों को जेपीसी की बैठक में पक्ष रखने का मौका दिया जा रहा है जो इस मामले के स्टेकहोल्डर्स ही नहीं है।

विपक्षी सांसदों का यह भी आरोप है कि एक तरफ ऐसे लोगों और संगठनों को लगातार बोलने का मौका दिया जा रहा है जिनका वक्फ से कोई लेना-देना नहीं है तो वहीं दूसरी तरफ विपक्षी सांसदों को तैयारी करने और बोलने का उचित मौका नहीं दिया जा रहा है।

स्पीकर बिरला से मुलाकात करने के बाद ‘आप’ सांसद संजय सिंह ने बताया कि विपक्षी सांसदों के प्रतिनिधिमंडल ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से मुलाकात कर, जेपीसी की बैठकों में आ रही समस्याओं की जानकारी उन्हें दी। सिंह ने दावा किया कि लोकसभा अध्यक्ष ने विपक्षी सांसदों को सभी मुद्दों पर विचार-विमर्श कर समाधान निकालने का आश्वासन दिया है।

उल्लेखनीय है कि विपक्षी सांसदों ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला को पत्र लिखकर जगदंबिका पाल पर मनमानी करने का आरोप लगाते हुए कहा था कि अगर चेयरमैन की मनमानी जारी रही, एकपक्षीय फैसला हुआ और उन्हें अपनी बात रखने का उचित मौका नहीं दिया गया तो वे जेपीसी से ही अपना नाम वापस ले लेंगे। विपक्षी सांसदों ने बिरला को लिखे पत्र में पाल पर मनमाने तरीके से लगातार जेपीसी की बैठकें बुलाने और विपक्षी सांसदों को तैयारी करने का पर्याप्त मौका नहीं देने सहित कई गंभीर आरोप लगाए थे। विपक्षी सांसदों ने अपने पत्र में लोकसभा अध्यक्ष से मुलाकात का समय भी मांगा था। इस अनुरोध को स्वीकार करते हुए स्पीकर बिरला ने मंगलवार को विपक्षी सांसदों के प्रतिनिधिमंडल के साथ मुलाकात की।

हालांकि मीडिया से बात करते हुए जगदंबिका पाल लगातार विपक्षी सांसदों के तमाम आरोपों को खारिज करते हुए कह रहे हैं कि जेपीसी का गठन ही बड़े पैमाने पर तमाम स्टेकहोल्डर्स के साथ विचार-विमर्श करने के लिए किया गया है। इसलिए जेपीसी की बैठक लगातार हो रही है। उन्होंने कहा कि आरोप लगाने वाले विपक्षी सांसद भी इन बैठकों में लगातार शामिल हो रहे हैं और बतौर चेयरमैन वह उन्हें बोलने का पर्याप्त अवसर भी दे रहे हैं।

इस बीच जेपीसी की बैठक मंगलवार, 5 नवंबर को भी जारी रही। अखिल भारतीय अधिवक्ता परिषद और अन्वेषक के प्रतिनिधियों ने जेपीसी की बैठक में अपनी-अपनी बात रखी है। वहीं दाऊदी- वोहरा समाज की तरफ से वरिष्ठ एडवोकेट हरीश साल्वे वक्फ ( संशोधन ) बिल पर अपनी बात रख रहे हैं।

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जेपीसी में शामिल कांग्रेस, डीएमके, टीएमसी, आप और सपा के विपक्षी सांसदों ने मंगलवार को लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से मुलाकात कर जेपीसी चेयरमैन जगदंबिका पाल के व्यवहार की शिकायत की है। बताया जा रहा है कि विपक्षी सांसदों ने लोकसभा अध्यक्ष से मुलाकात के दौरान यह आरोप लगाया है कि जेपीसी के चेयरमैन मनमाने तरीके से जेपीसी की बैठकें बुला रहे हैं और ऐसे लोगों एवं संगठनों को जेपीसी की बैठक में पक्ष रखने का मौका दिया जा रहा है जो इस मामले के स्टेकहोल्डर्स ही नहीं है।

विपक्षी सांसदों का यह भी आरोप है कि एक तरफ ऐसे लोगों और संगठनों को लगातार बोलने का मौका दिया जा रहा है जिनका वक्फ से कोई लेना-देना नहीं है तो वहीं दूसरी तरफ विपक्षी सांसदों को तैयारी करने और बोलने का उचित मौका नहीं दिया जा रहा है।

स्पीकर बिरला से मुलाकात करने के बाद ‘आप’ सांसद संजय सिंह ने बताया कि विपक्षी सांसदों के प्रतिनिधिमंडल ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से मुलाकात कर, जेपीसी की बैठकों में आ रही समस्याओं की जानकारी उन्हें दी। सिंह ने दावा किया कि लोकसभा अध्यक्ष ने विपक्षी सांसदों को सभी मुद्दों पर विचार-विमर्श कर समाधान निकालने का आश्वासन दिया है।

उल्लेखनीय है कि विपक्षी सांसदों ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला को पत्र लिखकर जगदंबिका पाल पर मनमानी करने का आरोप लगाते हुए कहा था कि अगर चेयरमैन की मनमानी जारी रही, एकपक्षीय फैसला हुआ और उन्हें अपनी बात रखने का उचित मौका नहीं दिया गया तो वे जेपीसी से ही अपना नाम वापस ले लेंगे। विपक्षी सांसदों ने बिरला को लिखे पत्र में पाल पर मनमाने तरीके से लगातार जेपीसी की बैठकें बुलाने और विपक्षी सांसदों को तैयारी करने का पर्याप्त मौका नहीं देने सहित कई गंभीर आरोप लगाए थे। विपक्षी सांसदों ने अपने पत्र में लोकसभा अध्यक्ष से मुलाकात का समय भी मांगा था। इस अनुरोध को स्वीकार करते हुए स्पीकर बिरला ने मंगलवार को विपक्षी सांसदों के प्रतिनिधिमंडल के साथ मुलाकात की।

हालांकि मीडिया से बात करते हुए जगदंबिका पाल लगातार विपक्षी सांसदों के तमाम आरोपों को खारिज करते हुए कह रहे हैं कि जेपीसी का गठन ही बड़े पैमाने पर तमाम स्टेकहोल्डर्स के साथ विचार-विमर्श करने के लिए किया गया है। इसलिए जेपीसी की बैठक लगातार हो रही है। उन्होंने कहा कि आरोप लगाने वाले विपक्षी सांसद भी इन बैठकों में लगातार शामिल हो रहे हैं और बतौर चेयरमैन वह उन्हें बोलने का पर्याप्त अवसर भी दे रहे हैं।

इस बीच जेपीसी की बैठक मंगलवार, 5 नवंबर को भी जारी रही। अखिल भारतीय अधिवक्ता परिषद और अन्वेषक के प्रतिनिधियों ने जेपीसी की बैठक में अपनी-अपनी बात रखी है। वहीं दाऊदी- वोहरा समाज की तरफ से वरिष्ठ एडवोकेट हरीश साल्वे वक्फ ( संशोधन ) बिल पर अपनी बात रख रहे हैं।

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जेपीसी में शामिल कांग्रेस, डीएमके, टीएमसी, आप और सपा के विपक्षी सांसदों ने मंगलवार को लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से मुलाकात कर जेपीसी चेयरमैन जगदंबिका पाल के व्यवहार की शिकायत की है। बताया जा रहा है कि विपक्षी सांसदों ने लोकसभा अध्यक्ष से मुलाकात के दौरान यह आरोप लगाया है कि जेपीसी के चेयरमैन मनमाने तरीके से जेपीसी की बैठकें बुला रहे हैं और ऐसे लोगों एवं संगठनों को जेपीसी की बैठक में पक्ष रखने का मौका दिया जा रहा है जो इस मामले के स्टेकहोल्डर्स ही नहीं है।

विपक्षी सांसदों का यह भी आरोप है कि एक तरफ ऐसे लोगों और संगठनों को लगातार बोलने का मौका दिया जा रहा है जिनका वक्फ से कोई लेना-देना नहीं है तो वहीं दूसरी तरफ विपक्षी सांसदों को तैयारी करने और बोलने का उचित मौका नहीं दिया जा रहा है।

स्पीकर बिरला से मुलाकात करने के बाद ‘आप’ सांसद संजय सिंह ने बताया कि विपक्षी सांसदों के प्रतिनिधिमंडल ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से मुलाकात कर, जेपीसी की बैठकों में आ रही समस्याओं की जानकारी उन्हें दी। सिंह ने दावा किया कि लोकसभा अध्यक्ष ने विपक्षी सांसदों को सभी मुद्दों पर विचार-विमर्श कर समाधान निकालने का आश्वासन दिया है।

उल्लेखनीय है कि विपक्षी सांसदों ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला को पत्र लिखकर जगदंबिका पाल पर मनमानी करने का आरोप लगाते हुए कहा था कि अगर चेयरमैन की मनमानी जारी रही, एकपक्षीय फैसला हुआ और उन्हें अपनी बात रखने का उचित मौका नहीं दिया गया तो वे जेपीसी से ही अपना नाम वापस ले लेंगे। विपक्षी सांसदों ने बिरला को लिखे पत्र में पाल पर मनमाने तरीके से लगातार जेपीसी की बैठकें बुलाने और विपक्षी सांसदों को तैयारी करने का पर्याप्त मौका नहीं देने सहित कई गंभीर आरोप लगाए थे। विपक्षी सांसदों ने अपने पत्र में लोकसभा अध्यक्ष से मुलाकात का समय भी मांगा था। इस अनुरोध को स्वीकार करते हुए स्पीकर बिरला ने मंगलवार को विपक्षी सांसदों के प्रतिनिधिमंडल के साथ मुलाकात की।

हालांकि मीडिया से बात करते हुए जगदंबिका पाल लगातार विपक्षी सांसदों के तमाम आरोपों को खारिज करते हुए कह रहे हैं कि जेपीसी का गठन ही बड़े पैमाने पर तमाम स्टेकहोल्डर्स के साथ विचार-विमर्श करने के लिए किया गया है। इसलिए जेपीसी की बैठक लगातार हो रही है। उन्होंने कहा कि आरोप लगाने वाले विपक्षी सांसद भी इन बैठकों में लगातार शामिल हो रहे हैं और बतौर चेयरमैन वह उन्हें बोलने का पर्याप्त अवसर भी दे रहे हैं।

इस बीच जेपीसी की बैठक मंगलवार, 5 नवंबर को भी जारी रही। अखिल भारतीय अधिवक्ता परिषद और अन्वेषक के प्रतिनिधियों ने जेपीसी की बैठक में अपनी-अपनी बात रखी है। वहीं दाऊदी- वोहरा समाज की तरफ से वरिष्ठ एडवोकेट हरीश साल्वे वक्फ ( संशोधन ) बिल पर अपनी बात रख रहे हैं।

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जेपीसी में शामिल कांग्रेस, डीएमके, टीएमसी, आप और सपा के विपक्षी सांसदों ने मंगलवार को लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से मुलाकात कर जेपीसी चेयरमैन जगदंबिका पाल के व्यवहार की शिकायत की है। बताया जा रहा है कि विपक्षी सांसदों ने लोकसभा अध्यक्ष से मुलाकात के दौरान यह आरोप लगाया है कि जेपीसी के चेयरमैन मनमाने तरीके से जेपीसी की बैठकें बुला रहे हैं और ऐसे लोगों एवं संगठनों को जेपीसी की बैठक में पक्ष रखने का मौका दिया जा रहा है जो इस मामले के स्टेकहोल्डर्स ही नहीं है।

विपक्षी सांसदों का यह भी आरोप है कि एक तरफ ऐसे लोगों और संगठनों को लगातार बोलने का मौका दिया जा रहा है जिनका वक्फ से कोई लेना-देना नहीं है तो वहीं दूसरी तरफ विपक्षी सांसदों को तैयारी करने और बोलने का उचित मौका नहीं दिया जा रहा है।

स्पीकर बिरला से मुलाकात करने के बाद ‘आप’ सांसद संजय सिंह ने बताया कि विपक्षी सांसदों के प्रतिनिधिमंडल ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से मुलाकात कर, जेपीसी की बैठकों में आ रही समस्याओं की जानकारी उन्हें दी। सिंह ने दावा किया कि लोकसभा अध्यक्ष ने विपक्षी सांसदों को सभी मुद्दों पर विचार-विमर्श कर समाधान निकालने का आश्वासन दिया है।

उल्लेखनीय है कि विपक्षी सांसदों ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला को पत्र लिखकर जगदंबिका पाल पर मनमानी करने का आरोप लगाते हुए कहा था कि अगर चेयरमैन की मनमानी जारी रही, एकपक्षीय फैसला हुआ और उन्हें अपनी बात रखने का उचित मौका नहीं दिया गया तो वे जेपीसी से ही अपना नाम वापस ले लेंगे। विपक्षी सांसदों ने बिरला को लिखे पत्र में पाल पर मनमाने तरीके से लगातार जेपीसी की बैठकें बुलाने और विपक्षी सांसदों को तैयारी करने का पर्याप्त मौका नहीं देने सहित कई गंभीर आरोप लगाए थे। विपक्षी सांसदों ने अपने पत्र में लोकसभा अध्यक्ष से मुलाकात का समय भी मांगा था। इस अनुरोध को स्वीकार करते हुए स्पीकर बिरला ने मंगलवार को विपक्षी सांसदों के प्रतिनिधिमंडल के साथ मुलाकात की।

हालांकि मीडिया से बात करते हुए जगदंबिका पाल लगातार विपक्षी सांसदों के तमाम आरोपों को खारिज करते हुए कह रहे हैं कि जेपीसी का गठन ही बड़े पैमाने पर तमाम स्टेकहोल्डर्स के साथ विचार-विमर्श करने के लिए किया गया है। इसलिए जेपीसी की बैठक लगातार हो रही है। उन्होंने कहा कि आरोप लगाने वाले विपक्षी सांसद भी इन बैठकों में लगातार शामिल हो रहे हैं और बतौर चेयरमैन वह उन्हें बोलने का पर्याप्त अवसर भी दे रहे हैं।

इस बीच जेपीसी की बैठक मंगलवार, 5 नवंबर को भी जारी रही। अखिल भारतीय अधिवक्ता परिषद और अन्वेषक के प्रतिनिधियों ने जेपीसी की बैठक में अपनी-अपनी बात रखी है। वहीं दाऊदी- वोहरा समाज की तरफ से वरिष्ठ एडवोकेट हरीश साल्वे वक्फ ( संशोधन ) बिल पर अपनी बात रख रहे हैं।

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जेपीसी में शामिल कांग्रेस, डीएमके, टीएमसी, आप और सपा के विपक्षी सांसदों ने मंगलवार को लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से मुलाकात कर जेपीसी चेयरमैन जगदंबिका पाल के व्यवहार की शिकायत की है। बताया जा रहा है कि विपक्षी सांसदों ने लोकसभा अध्यक्ष से मुलाकात के दौरान यह आरोप लगाया है कि जेपीसी के चेयरमैन मनमाने तरीके से जेपीसी की बैठकें बुला रहे हैं और ऐसे लोगों एवं संगठनों को जेपीसी की बैठक में पक्ष रखने का मौका दिया जा रहा है जो इस मामले के स्टेकहोल्डर्स ही नहीं है।

विपक्षी सांसदों का यह भी आरोप है कि एक तरफ ऐसे लोगों और संगठनों को लगातार बोलने का मौका दिया जा रहा है जिनका वक्फ से कोई लेना-देना नहीं है तो वहीं दूसरी तरफ विपक्षी सांसदों को तैयारी करने और बोलने का उचित मौका नहीं दिया जा रहा है।

स्पीकर बिरला से मुलाकात करने के बाद ‘आप’ सांसद संजय सिंह ने बताया कि विपक्षी सांसदों के प्रतिनिधिमंडल ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से मुलाकात कर, जेपीसी की बैठकों में आ रही समस्याओं की जानकारी उन्हें दी। सिंह ने दावा किया कि लोकसभा अध्यक्ष ने विपक्षी सांसदों को सभी मुद्दों पर विचार-विमर्श कर समाधान निकालने का आश्वासन दिया है।

उल्लेखनीय है कि विपक्षी सांसदों ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला को पत्र लिखकर जगदंबिका पाल पर मनमानी करने का आरोप लगाते हुए कहा था कि अगर चेयरमैन की मनमानी जारी रही, एकपक्षीय फैसला हुआ और उन्हें अपनी बात रखने का उचित मौका नहीं दिया गया तो वे जेपीसी से ही अपना नाम वापस ले लेंगे। विपक्षी सांसदों ने बिरला को लिखे पत्र में पाल पर मनमाने तरीके से लगातार जेपीसी की बैठकें बुलाने और विपक्षी सांसदों को तैयारी करने का पर्याप्त मौका नहीं देने सहित कई गंभीर आरोप लगाए थे। विपक्षी सांसदों ने अपने पत्र में लोकसभा अध्यक्ष से मुलाकात का समय भी मांगा था। इस अनुरोध को स्वीकार करते हुए स्पीकर बिरला ने मंगलवार को विपक्षी सांसदों के प्रतिनिधिमंडल के साथ मुलाकात की।

हालांकि मीडिया से बात करते हुए जगदंबिका पाल लगातार विपक्षी सांसदों के तमाम आरोपों को खारिज करते हुए कह रहे हैं कि जेपीसी का गठन ही बड़े पैमाने पर तमाम स्टेकहोल्डर्स के साथ विचार-विमर्श करने के लिए किया गया है। इसलिए जेपीसी की बैठक लगातार हो रही है। उन्होंने कहा कि आरोप लगाने वाले विपक्षी सांसद भी इन बैठकों में लगातार शामिल हो रहे हैं और बतौर चेयरमैन वह उन्हें बोलने का पर्याप्त अवसर भी दे रहे हैं।

इस बीच जेपीसी की बैठक मंगलवार, 5 नवंबर को भी जारी रही। अखिल भारतीय अधिवक्ता परिषद और अन्वेषक के प्रतिनिधियों ने जेपीसी की बैठक में अपनी-अपनी बात रखी है। वहीं दाऊदी- वोहरा समाज की तरफ से वरिष्ठ एडवोकेट हरीश साल्वे वक्फ ( संशोधन ) बिल पर अपनी बात रख रहे हैं।

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जेपीसी में शामिल कांग्रेस, डीएमके, टीएमसी, आप और सपा के विपक्षी सांसदों ने मंगलवार को लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से मुलाकात कर जेपीसी चेयरमैन जगदंबिका पाल के व्यवहार की शिकायत की है। बताया जा रहा है कि विपक्षी सांसदों ने लोकसभा अध्यक्ष से मुलाकात के दौरान यह आरोप लगाया है कि जेपीसी के चेयरमैन मनमाने तरीके से जेपीसी की बैठकें बुला रहे हैं और ऐसे लोगों एवं संगठनों को जेपीसी की बैठक में पक्ष रखने का मौका दिया जा रहा है जो इस मामले के स्टेकहोल्डर्स ही नहीं है।

विपक्षी सांसदों का यह भी आरोप है कि एक तरफ ऐसे लोगों और संगठनों को लगातार बोलने का मौका दिया जा रहा है जिनका वक्फ से कोई लेना-देना नहीं है तो वहीं दूसरी तरफ विपक्षी सांसदों को तैयारी करने और बोलने का उचित मौका नहीं दिया जा रहा है।

स्पीकर बिरला से मुलाकात करने के बाद ‘आप’ सांसद संजय सिंह ने बताया कि विपक्षी सांसदों के प्रतिनिधिमंडल ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से मुलाकात कर, जेपीसी की बैठकों में आ रही समस्याओं की जानकारी उन्हें दी। सिंह ने दावा किया कि लोकसभा अध्यक्ष ने विपक्षी सांसदों को सभी मुद्दों पर विचार-विमर्श कर समाधान निकालने का आश्वासन दिया है।

उल्लेखनीय है कि विपक्षी सांसदों ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला को पत्र लिखकर जगदंबिका पाल पर मनमानी करने का आरोप लगाते हुए कहा था कि अगर चेयरमैन की मनमानी जारी रही, एकपक्षीय फैसला हुआ और उन्हें अपनी बात रखने का उचित मौका नहीं दिया गया तो वे जेपीसी से ही अपना नाम वापस ले लेंगे। विपक्षी सांसदों ने बिरला को लिखे पत्र में पाल पर मनमाने तरीके से लगातार जेपीसी की बैठकें बुलाने और विपक्षी सांसदों को तैयारी करने का पर्याप्त मौका नहीं देने सहित कई गंभीर आरोप लगाए थे। विपक्षी सांसदों ने अपने पत्र में लोकसभा अध्यक्ष से मुलाकात का समय भी मांगा था। इस अनुरोध को स्वीकार करते हुए स्पीकर बिरला ने मंगलवार को विपक्षी सांसदों के प्रतिनिधिमंडल के साथ मुलाकात की।

हालांकि मीडिया से बात करते हुए जगदंबिका पाल लगातार विपक्षी सांसदों के तमाम आरोपों को खारिज करते हुए कह रहे हैं कि जेपीसी का गठन ही बड़े पैमाने पर तमाम स्टेकहोल्डर्स के साथ विचार-विमर्श करने के लिए किया गया है। इसलिए जेपीसी की बैठक लगातार हो रही है। उन्होंने कहा कि आरोप लगाने वाले विपक्षी सांसद भी इन बैठकों में लगातार शामिल हो रहे हैं और बतौर चेयरमैन वह उन्हें बोलने का पर्याप्त अवसर भी दे रहे हैं।

इस बीच जेपीसी की बैठक मंगलवार, 5 नवंबर को भी जारी रही। अखिल भारतीय अधिवक्ता परिषद और अन्वेषक के प्रतिनिधियों ने जेपीसी की बैठक में अपनी-अपनी बात रखी है। वहीं दाऊदी- वोहरा समाज की तरफ से वरिष्ठ एडवोकेट हरीश साल्वे वक्फ ( संशोधन ) बिल पर अपनी बात रख रहे हैं।

–आईएएनएस

एसटीपी/एएस

नई दिल्ली, 5 नवंबर (आईएएनएस)। वक्फ (संशोधन) विधेयक 2024 को लेकर बनाई गई जेपीसी की बैठक में सत्ता पक्ष और विपक्षी सांसदों के बीच लगातार जारी तकरार अब लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला तक पहुंच गई है।

जेपीसी में शामिल कांग्रेस, डीएमके, टीएमसी, आप और सपा के विपक्षी सांसदों ने मंगलवार को लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से मुलाकात कर जेपीसी चेयरमैन जगदंबिका पाल के व्यवहार की शिकायत की है। बताया जा रहा है कि विपक्षी सांसदों ने लोकसभा अध्यक्ष से मुलाकात के दौरान यह आरोप लगाया है कि जेपीसी के चेयरमैन मनमाने तरीके से जेपीसी की बैठकें बुला रहे हैं और ऐसे लोगों एवं संगठनों को जेपीसी की बैठक में पक्ष रखने का मौका दिया जा रहा है जो इस मामले के स्टेकहोल्डर्स ही नहीं है।

विपक्षी सांसदों का यह भी आरोप है कि एक तरफ ऐसे लोगों और संगठनों को लगातार बोलने का मौका दिया जा रहा है जिनका वक्फ से कोई लेना-देना नहीं है तो वहीं दूसरी तरफ विपक्षी सांसदों को तैयारी करने और बोलने का उचित मौका नहीं दिया जा रहा है।

स्पीकर बिरला से मुलाकात करने के बाद ‘आप’ सांसद संजय सिंह ने बताया कि विपक्षी सांसदों के प्रतिनिधिमंडल ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से मुलाकात कर, जेपीसी की बैठकों में आ रही समस्याओं की जानकारी उन्हें दी। सिंह ने दावा किया कि लोकसभा अध्यक्ष ने विपक्षी सांसदों को सभी मुद्दों पर विचार-विमर्श कर समाधान निकालने का आश्वासन दिया है।

उल्लेखनीय है कि विपक्षी सांसदों ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला को पत्र लिखकर जगदंबिका पाल पर मनमानी करने का आरोप लगाते हुए कहा था कि अगर चेयरमैन की मनमानी जारी रही, एकपक्षीय फैसला हुआ और उन्हें अपनी बात रखने का उचित मौका नहीं दिया गया तो वे जेपीसी से ही अपना नाम वापस ले लेंगे। विपक्षी सांसदों ने बिरला को लिखे पत्र में पाल पर मनमाने तरीके से लगातार जेपीसी की बैठकें बुलाने और विपक्षी सांसदों को तैयारी करने का पर्याप्त मौका नहीं देने सहित कई गंभीर आरोप लगाए थे। विपक्षी सांसदों ने अपने पत्र में लोकसभा अध्यक्ष से मुलाकात का समय भी मांगा था। इस अनुरोध को स्वीकार करते हुए स्पीकर बिरला ने मंगलवार को विपक्षी सांसदों के प्रतिनिधिमंडल के साथ मुलाकात की।

हालांकि मीडिया से बात करते हुए जगदंबिका पाल लगातार विपक्षी सांसदों के तमाम आरोपों को खारिज करते हुए कह रहे हैं कि जेपीसी का गठन ही बड़े पैमाने पर तमाम स्टेकहोल्डर्स के साथ विचार-विमर्श करने के लिए किया गया है। इसलिए जेपीसी की बैठक लगातार हो रही है। उन्होंने कहा कि आरोप लगाने वाले विपक्षी सांसद भी इन बैठकों में लगातार शामिल हो रहे हैं और बतौर चेयरमैन वह उन्हें बोलने का पर्याप्त अवसर भी दे रहे हैं।

इस बीच जेपीसी की बैठक मंगलवार, 5 नवंबर को भी जारी रही। अखिल भारतीय अधिवक्ता परिषद और अन्वेषक के प्रतिनिधियों ने जेपीसी की बैठक में अपनी-अपनी बात रखी है। वहीं दाऊदी- वोहरा समाज की तरफ से वरिष्ठ एडवोकेट हरीश साल्वे वक्फ ( संशोधन ) बिल पर अपनी बात रख रहे हैं।

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नई दिल्ली, 5 नवंबर (आईएएनएस)। वक्फ (संशोधन) विधेयक 2024 को लेकर बनाई गई जेपीसी की बैठक में सत्ता पक्ष और विपक्षी सांसदों के बीच लगातार जारी तकरार अब लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला तक पहुंच गई है।

जेपीसी में शामिल कांग्रेस, डीएमके, टीएमसी, आप और सपा के विपक्षी सांसदों ने मंगलवार को लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से मुलाकात कर जेपीसी चेयरमैन जगदंबिका पाल के व्यवहार की शिकायत की है। बताया जा रहा है कि विपक्षी सांसदों ने लोकसभा अध्यक्ष से मुलाकात के दौरान यह आरोप लगाया है कि जेपीसी के चेयरमैन मनमाने तरीके से जेपीसी की बैठकें बुला रहे हैं और ऐसे लोगों एवं संगठनों को जेपीसी की बैठक में पक्ष रखने का मौका दिया जा रहा है जो इस मामले के स्टेकहोल्डर्स ही नहीं है।

विपक्षी सांसदों का यह भी आरोप है कि एक तरफ ऐसे लोगों और संगठनों को लगातार बोलने का मौका दिया जा रहा है जिनका वक्फ से कोई लेना-देना नहीं है तो वहीं दूसरी तरफ विपक्षी सांसदों को तैयारी करने और बोलने का उचित मौका नहीं दिया जा रहा है।

स्पीकर बिरला से मुलाकात करने के बाद ‘आप’ सांसद संजय सिंह ने बताया कि विपक्षी सांसदों के प्रतिनिधिमंडल ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से मुलाकात कर, जेपीसी की बैठकों में आ रही समस्याओं की जानकारी उन्हें दी। सिंह ने दावा किया कि लोकसभा अध्यक्ष ने विपक्षी सांसदों को सभी मुद्दों पर विचार-विमर्श कर समाधान निकालने का आश्वासन दिया है।

उल्लेखनीय है कि विपक्षी सांसदों ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला को पत्र लिखकर जगदंबिका पाल पर मनमानी करने का आरोप लगाते हुए कहा था कि अगर चेयरमैन की मनमानी जारी रही, एकपक्षीय फैसला हुआ और उन्हें अपनी बात रखने का उचित मौका नहीं दिया गया तो वे जेपीसी से ही अपना नाम वापस ले लेंगे। विपक्षी सांसदों ने बिरला को लिखे पत्र में पाल पर मनमाने तरीके से लगातार जेपीसी की बैठकें बुलाने और विपक्षी सांसदों को तैयारी करने का पर्याप्त मौका नहीं देने सहित कई गंभीर आरोप लगाए थे। विपक्षी सांसदों ने अपने पत्र में लोकसभा अध्यक्ष से मुलाकात का समय भी मांगा था। इस अनुरोध को स्वीकार करते हुए स्पीकर बिरला ने मंगलवार को विपक्षी सांसदों के प्रतिनिधिमंडल के साथ मुलाकात की।

हालांकि मीडिया से बात करते हुए जगदंबिका पाल लगातार विपक्षी सांसदों के तमाम आरोपों को खारिज करते हुए कह रहे हैं कि जेपीसी का गठन ही बड़े पैमाने पर तमाम स्टेकहोल्डर्स के साथ विचार-विमर्श करने के लिए किया गया है। इसलिए जेपीसी की बैठक लगातार हो रही है। उन्होंने कहा कि आरोप लगाने वाले विपक्षी सांसद भी इन बैठकों में लगातार शामिल हो रहे हैं और बतौर चेयरमैन वह उन्हें बोलने का पर्याप्त अवसर भी दे रहे हैं।

इस बीच जेपीसी की बैठक मंगलवार, 5 नवंबर को भी जारी रही। अखिल भारतीय अधिवक्ता परिषद और अन्वेषक के प्रतिनिधियों ने जेपीसी की बैठक में अपनी-अपनी बात रखी है। वहीं दाऊदी- वोहरा समाज की तरफ से वरिष्ठ एडवोकेट हरीश साल्वे वक्फ ( संशोधन ) बिल पर अपनी बात रख रहे हैं।

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जेपीसी में शामिल कांग्रेस, डीएमके, टीएमसी, आप और सपा के विपक्षी सांसदों ने मंगलवार को लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से मुलाकात कर जेपीसी चेयरमैन जगदंबिका पाल के व्यवहार की शिकायत की है। बताया जा रहा है कि विपक्षी सांसदों ने लोकसभा अध्यक्ष से मुलाकात के दौरान यह आरोप लगाया है कि जेपीसी के चेयरमैन मनमाने तरीके से जेपीसी की बैठकें बुला रहे हैं और ऐसे लोगों एवं संगठनों को जेपीसी की बैठक में पक्ष रखने का मौका दिया जा रहा है जो इस मामले के स्टेकहोल्डर्स ही नहीं है।

विपक्षी सांसदों का यह भी आरोप है कि एक तरफ ऐसे लोगों और संगठनों को लगातार बोलने का मौका दिया जा रहा है जिनका वक्फ से कोई लेना-देना नहीं है तो वहीं दूसरी तरफ विपक्षी सांसदों को तैयारी करने और बोलने का उचित मौका नहीं दिया जा रहा है।

स्पीकर बिरला से मुलाकात करने के बाद ‘आप’ सांसद संजय सिंह ने बताया कि विपक्षी सांसदों के प्रतिनिधिमंडल ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से मुलाकात कर, जेपीसी की बैठकों में आ रही समस्याओं की जानकारी उन्हें दी। सिंह ने दावा किया कि लोकसभा अध्यक्ष ने विपक्षी सांसदों को सभी मुद्दों पर विचार-विमर्श कर समाधान निकालने का आश्वासन दिया है।

उल्लेखनीय है कि विपक्षी सांसदों ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला को पत्र लिखकर जगदंबिका पाल पर मनमानी करने का आरोप लगाते हुए कहा था कि अगर चेयरमैन की मनमानी जारी रही, एकपक्षीय फैसला हुआ और उन्हें अपनी बात रखने का उचित मौका नहीं दिया गया तो वे जेपीसी से ही अपना नाम वापस ले लेंगे। विपक्षी सांसदों ने बिरला को लिखे पत्र में पाल पर मनमाने तरीके से लगातार जेपीसी की बैठकें बुलाने और विपक्षी सांसदों को तैयारी करने का पर्याप्त मौका नहीं देने सहित कई गंभीर आरोप लगाए थे। विपक्षी सांसदों ने अपने पत्र में लोकसभा अध्यक्ष से मुलाकात का समय भी मांगा था। इस अनुरोध को स्वीकार करते हुए स्पीकर बिरला ने मंगलवार को विपक्षी सांसदों के प्रतिनिधिमंडल के साथ मुलाकात की।

हालांकि मीडिया से बात करते हुए जगदंबिका पाल लगातार विपक्षी सांसदों के तमाम आरोपों को खारिज करते हुए कह रहे हैं कि जेपीसी का गठन ही बड़े पैमाने पर तमाम स्टेकहोल्डर्स के साथ विचार-विमर्श करने के लिए किया गया है। इसलिए जेपीसी की बैठक लगातार हो रही है। उन्होंने कहा कि आरोप लगाने वाले विपक्षी सांसद भी इन बैठकों में लगातार शामिल हो रहे हैं और बतौर चेयरमैन वह उन्हें बोलने का पर्याप्त अवसर भी दे रहे हैं।

इस बीच जेपीसी की बैठक मंगलवार, 5 नवंबर को भी जारी रही। अखिल भारतीय अधिवक्ता परिषद और अन्वेषक के प्रतिनिधियों ने जेपीसी की बैठक में अपनी-अपनी बात रखी है। वहीं दाऊदी- वोहरा समाज की तरफ से वरिष्ठ एडवोकेट हरीश साल्वे वक्फ ( संशोधन ) बिल पर अपनी बात रख रहे हैं।

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जेपीसी में शामिल कांग्रेस, डीएमके, टीएमसी, आप और सपा के विपक्षी सांसदों ने मंगलवार को लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से मुलाकात कर जेपीसी चेयरमैन जगदंबिका पाल के व्यवहार की शिकायत की है। बताया जा रहा है कि विपक्षी सांसदों ने लोकसभा अध्यक्ष से मुलाकात के दौरान यह आरोप लगाया है कि जेपीसी के चेयरमैन मनमाने तरीके से जेपीसी की बैठकें बुला रहे हैं और ऐसे लोगों एवं संगठनों को जेपीसी की बैठक में पक्ष रखने का मौका दिया जा रहा है जो इस मामले के स्टेकहोल्डर्स ही नहीं है।

विपक्षी सांसदों का यह भी आरोप है कि एक तरफ ऐसे लोगों और संगठनों को लगातार बोलने का मौका दिया जा रहा है जिनका वक्फ से कोई लेना-देना नहीं है तो वहीं दूसरी तरफ विपक्षी सांसदों को तैयारी करने और बोलने का उचित मौका नहीं दिया जा रहा है।

स्पीकर बिरला से मुलाकात करने के बाद ‘आप’ सांसद संजय सिंह ने बताया कि विपक्षी सांसदों के प्रतिनिधिमंडल ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से मुलाकात कर, जेपीसी की बैठकों में आ रही समस्याओं की जानकारी उन्हें दी। सिंह ने दावा किया कि लोकसभा अध्यक्ष ने विपक्षी सांसदों को सभी मुद्दों पर विचार-विमर्श कर समाधान निकालने का आश्वासन दिया है।

उल्लेखनीय है कि विपक्षी सांसदों ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला को पत्र लिखकर जगदंबिका पाल पर मनमानी करने का आरोप लगाते हुए कहा था कि अगर चेयरमैन की मनमानी जारी रही, एकपक्षीय फैसला हुआ और उन्हें अपनी बात रखने का उचित मौका नहीं दिया गया तो वे जेपीसी से ही अपना नाम वापस ले लेंगे। विपक्षी सांसदों ने बिरला को लिखे पत्र में पाल पर मनमाने तरीके से लगातार जेपीसी की बैठकें बुलाने और विपक्षी सांसदों को तैयारी करने का पर्याप्त मौका नहीं देने सहित कई गंभीर आरोप लगाए थे। विपक्षी सांसदों ने अपने पत्र में लोकसभा अध्यक्ष से मुलाकात का समय भी मांगा था। इस अनुरोध को स्वीकार करते हुए स्पीकर बिरला ने मंगलवार को विपक्षी सांसदों के प्रतिनिधिमंडल के साथ मुलाकात की।

हालांकि मीडिया से बात करते हुए जगदंबिका पाल लगातार विपक्षी सांसदों के तमाम आरोपों को खारिज करते हुए कह रहे हैं कि जेपीसी का गठन ही बड़े पैमाने पर तमाम स्टेकहोल्डर्स के साथ विचार-विमर्श करने के लिए किया गया है। इसलिए जेपीसी की बैठक लगातार हो रही है। उन्होंने कहा कि आरोप लगाने वाले विपक्षी सांसद भी इन बैठकों में लगातार शामिल हो रहे हैं और बतौर चेयरमैन वह उन्हें बोलने का पर्याप्त अवसर भी दे रहे हैं।

इस बीच जेपीसी की बैठक मंगलवार, 5 नवंबर को भी जारी रही। अखिल भारतीय अधिवक्ता परिषद और अन्वेषक के प्रतिनिधियों ने जेपीसी की बैठक में अपनी-अपनी बात रखी है। वहीं दाऊदी- वोहरा समाज की तरफ से वरिष्ठ एडवोकेट हरीश साल्वे वक्फ ( संशोधन ) बिल पर अपनी बात रख रहे हैं।

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जेपीसी में शामिल कांग्रेस, डीएमके, टीएमसी, आप और सपा के विपक्षी सांसदों ने मंगलवार को लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से मुलाकात कर जेपीसी चेयरमैन जगदंबिका पाल के व्यवहार की शिकायत की है। बताया जा रहा है कि विपक्षी सांसदों ने लोकसभा अध्यक्ष से मुलाकात के दौरान यह आरोप लगाया है कि जेपीसी के चेयरमैन मनमाने तरीके से जेपीसी की बैठकें बुला रहे हैं और ऐसे लोगों एवं संगठनों को जेपीसी की बैठक में पक्ष रखने का मौका दिया जा रहा है जो इस मामले के स्टेकहोल्डर्स ही नहीं है।

विपक्षी सांसदों का यह भी आरोप है कि एक तरफ ऐसे लोगों और संगठनों को लगातार बोलने का मौका दिया जा रहा है जिनका वक्फ से कोई लेना-देना नहीं है तो वहीं दूसरी तरफ विपक्षी सांसदों को तैयारी करने और बोलने का उचित मौका नहीं दिया जा रहा है।

स्पीकर बिरला से मुलाकात करने के बाद ‘आप’ सांसद संजय सिंह ने बताया कि विपक्षी सांसदों के प्रतिनिधिमंडल ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से मुलाकात कर, जेपीसी की बैठकों में आ रही समस्याओं की जानकारी उन्हें दी। सिंह ने दावा किया कि लोकसभा अध्यक्ष ने विपक्षी सांसदों को सभी मुद्दों पर विचार-विमर्श कर समाधान निकालने का आश्वासन दिया है।

उल्लेखनीय है कि विपक्षी सांसदों ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला को पत्र लिखकर जगदंबिका पाल पर मनमानी करने का आरोप लगाते हुए कहा था कि अगर चेयरमैन की मनमानी जारी रही, एकपक्षीय फैसला हुआ और उन्हें अपनी बात रखने का उचित मौका नहीं दिया गया तो वे जेपीसी से ही अपना नाम वापस ले लेंगे। विपक्षी सांसदों ने बिरला को लिखे पत्र में पाल पर मनमाने तरीके से लगातार जेपीसी की बैठकें बुलाने और विपक्षी सांसदों को तैयारी करने का पर्याप्त मौका नहीं देने सहित कई गंभीर आरोप लगाए थे। विपक्षी सांसदों ने अपने पत्र में लोकसभा अध्यक्ष से मुलाकात का समय भी मांगा था। इस अनुरोध को स्वीकार करते हुए स्पीकर बिरला ने मंगलवार को विपक्षी सांसदों के प्रतिनिधिमंडल के साथ मुलाकात की।

हालांकि मीडिया से बात करते हुए जगदंबिका पाल लगातार विपक्षी सांसदों के तमाम आरोपों को खारिज करते हुए कह रहे हैं कि जेपीसी का गठन ही बड़े पैमाने पर तमाम स्टेकहोल्डर्स के साथ विचार-विमर्श करने के लिए किया गया है। इसलिए जेपीसी की बैठक लगातार हो रही है। उन्होंने कहा कि आरोप लगाने वाले विपक्षी सांसद भी इन बैठकों में लगातार शामिल हो रहे हैं और बतौर चेयरमैन वह उन्हें बोलने का पर्याप्त अवसर भी दे रहे हैं।

इस बीच जेपीसी की बैठक मंगलवार, 5 नवंबर को भी जारी रही। अखिल भारतीय अधिवक्ता परिषद और अन्वेषक के प्रतिनिधियों ने जेपीसी की बैठक में अपनी-अपनी बात रखी है। वहीं दाऊदी- वोहरा समाज की तरफ से वरिष्ठ एडवोकेट हरीश साल्वे वक्फ ( संशोधन ) बिल पर अपनी बात रख रहे हैं।

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जेपीसी में शामिल कांग्रेस, डीएमके, टीएमसी, आप और सपा के विपक्षी सांसदों ने मंगलवार को लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से मुलाकात कर जेपीसी चेयरमैन जगदंबिका पाल के व्यवहार की शिकायत की है। बताया जा रहा है कि विपक्षी सांसदों ने लोकसभा अध्यक्ष से मुलाकात के दौरान यह आरोप लगाया है कि जेपीसी के चेयरमैन मनमाने तरीके से जेपीसी की बैठकें बुला रहे हैं और ऐसे लोगों एवं संगठनों को जेपीसी की बैठक में पक्ष रखने का मौका दिया जा रहा है जो इस मामले के स्टेकहोल्डर्स ही नहीं है।

विपक्षी सांसदों का यह भी आरोप है कि एक तरफ ऐसे लोगों और संगठनों को लगातार बोलने का मौका दिया जा रहा है जिनका वक्फ से कोई लेना-देना नहीं है तो वहीं दूसरी तरफ विपक्षी सांसदों को तैयारी करने और बोलने का उचित मौका नहीं दिया जा रहा है।

स्पीकर बिरला से मुलाकात करने के बाद ‘आप’ सांसद संजय सिंह ने बताया कि विपक्षी सांसदों के प्रतिनिधिमंडल ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से मुलाकात कर, जेपीसी की बैठकों में आ रही समस्याओं की जानकारी उन्हें दी। सिंह ने दावा किया कि लोकसभा अध्यक्ष ने विपक्षी सांसदों को सभी मुद्दों पर विचार-विमर्श कर समाधान निकालने का आश्वासन दिया है।

उल्लेखनीय है कि विपक्षी सांसदों ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला को पत्र लिखकर जगदंबिका पाल पर मनमानी करने का आरोप लगाते हुए कहा था कि अगर चेयरमैन की मनमानी जारी रही, एकपक्षीय फैसला हुआ और उन्हें अपनी बात रखने का उचित मौका नहीं दिया गया तो वे जेपीसी से ही अपना नाम वापस ले लेंगे। विपक्षी सांसदों ने बिरला को लिखे पत्र में पाल पर मनमाने तरीके से लगातार जेपीसी की बैठकें बुलाने और विपक्षी सांसदों को तैयारी करने का पर्याप्त मौका नहीं देने सहित कई गंभीर आरोप लगाए थे। विपक्षी सांसदों ने अपने पत्र में लोकसभा अध्यक्ष से मुलाकात का समय भी मांगा था। इस अनुरोध को स्वीकार करते हुए स्पीकर बिरला ने मंगलवार को विपक्षी सांसदों के प्रतिनिधिमंडल के साथ मुलाकात की।

हालांकि मीडिया से बात करते हुए जगदंबिका पाल लगातार विपक्षी सांसदों के तमाम आरोपों को खारिज करते हुए कह रहे हैं कि जेपीसी का गठन ही बड़े पैमाने पर तमाम स्टेकहोल्डर्स के साथ विचार-विमर्श करने के लिए किया गया है। इसलिए जेपीसी की बैठक लगातार हो रही है। उन्होंने कहा कि आरोप लगाने वाले विपक्षी सांसद भी इन बैठकों में लगातार शामिल हो रहे हैं और बतौर चेयरमैन वह उन्हें बोलने का पर्याप्त अवसर भी दे रहे हैं।

इस बीच जेपीसी की बैठक मंगलवार, 5 नवंबर को भी जारी रही। अखिल भारतीय अधिवक्ता परिषद और अन्वेषक के प्रतिनिधियों ने जेपीसी की बैठक में अपनी-अपनी बात रखी है। वहीं दाऊदी- वोहरा समाज की तरफ से वरिष्ठ एडवोकेट हरीश साल्वे वक्फ ( संशोधन ) बिल पर अपनी बात रख रहे हैं।

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जेपीसी में शामिल कांग्रेस, डीएमके, टीएमसी, आप और सपा के विपक्षी सांसदों ने मंगलवार को लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से मुलाकात कर जेपीसी चेयरमैन जगदंबिका पाल के व्यवहार की शिकायत की है। बताया जा रहा है कि विपक्षी सांसदों ने लोकसभा अध्यक्ष से मुलाकात के दौरान यह आरोप लगाया है कि जेपीसी के चेयरमैन मनमाने तरीके से जेपीसी की बैठकें बुला रहे हैं और ऐसे लोगों एवं संगठनों को जेपीसी की बैठक में पक्ष रखने का मौका दिया जा रहा है जो इस मामले के स्टेकहोल्डर्स ही नहीं है।

विपक्षी सांसदों का यह भी आरोप है कि एक तरफ ऐसे लोगों और संगठनों को लगातार बोलने का मौका दिया जा रहा है जिनका वक्फ से कोई लेना-देना नहीं है तो वहीं दूसरी तरफ विपक्षी सांसदों को तैयारी करने और बोलने का उचित मौका नहीं दिया जा रहा है।

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उल्लेखनीय है कि विपक्षी सांसदों ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला को पत्र लिखकर जगदंबिका पाल पर मनमानी करने का आरोप लगाते हुए कहा था कि अगर चेयरमैन की मनमानी जारी रही, एकपक्षीय फैसला हुआ और उन्हें अपनी बात रखने का उचित मौका नहीं दिया गया तो वे जेपीसी से ही अपना नाम वापस ले लेंगे। विपक्षी सांसदों ने बिरला को लिखे पत्र में पाल पर मनमाने तरीके से लगातार जेपीसी की बैठकें बुलाने और विपक्षी सांसदों को तैयारी करने का पर्याप्त मौका नहीं देने सहित कई गंभीर आरोप लगाए थे। विपक्षी सांसदों ने अपने पत्र में लोकसभा अध्यक्ष से मुलाकात का समय भी मांगा था। इस अनुरोध को स्वीकार करते हुए स्पीकर बिरला ने मंगलवार को विपक्षी सांसदों के प्रतिनिधिमंडल के साथ मुलाकात की।

हालांकि मीडिया से बात करते हुए जगदंबिका पाल लगातार विपक्षी सांसदों के तमाम आरोपों को खारिज करते हुए कह रहे हैं कि जेपीसी का गठन ही बड़े पैमाने पर तमाम स्टेकहोल्डर्स के साथ विचार-विमर्श करने के लिए किया गया है। इसलिए जेपीसी की बैठक लगातार हो रही है। उन्होंने कहा कि आरोप लगाने वाले विपक्षी सांसद भी इन बैठकों में लगातार शामिल हो रहे हैं और बतौर चेयरमैन वह उन्हें बोलने का पर्याप्त अवसर भी दे रहे हैं।

इस बीच जेपीसी की बैठक मंगलवार, 5 नवंबर को भी जारी रही। अखिल भारतीय अधिवक्ता परिषद और अन्वेषक के प्रतिनिधियों ने जेपीसी की बैठक में अपनी-अपनी बात रखी है। वहीं दाऊदी- वोहरा समाज की तरफ से वरिष्ठ एडवोकेट हरीश साल्वे वक्फ ( संशोधन ) बिल पर अपनी बात रख रहे हैं।

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जेपीसी में शामिल कांग्रेस, डीएमके, टीएमसी, आप और सपा के विपक्षी सांसदों ने मंगलवार को लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से मुलाकात कर जेपीसी चेयरमैन जगदंबिका पाल के व्यवहार की शिकायत की है। बताया जा रहा है कि विपक्षी सांसदों ने लोकसभा अध्यक्ष से मुलाकात के दौरान यह आरोप लगाया है कि जेपीसी के चेयरमैन मनमाने तरीके से जेपीसी की बैठकें बुला रहे हैं और ऐसे लोगों एवं संगठनों को जेपीसी की बैठक में पक्ष रखने का मौका दिया जा रहा है जो इस मामले के स्टेकहोल्डर्स ही नहीं है।

विपक्षी सांसदों का यह भी आरोप है कि एक तरफ ऐसे लोगों और संगठनों को लगातार बोलने का मौका दिया जा रहा है जिनका वक्फ से कोई लेना-देना नहीं है तो वहीं दूसरी तरफ विपक्षी सांसदों को तैयारी करने और बोलने का उचित मौका नहीं दिया जा रहा है।

स्पीकर बिरला से मुलाकात करने के बाद ‘आप’ सांसद संजय सिंह ने बताया कि विपक्षी सांसदों के प्रतिनिधिमंडल ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से मुलाकात कर, जेपीसी की बैठकों में आ रही समस्याओं की जानकारी उन्हें दी। सिंह ने दावा किया कि लोकसभा अध्यक्ष ने विपक्षी सांसदों को सभी मुद्दों पर विचार-विमर्श कर समाधान निकालने का आश्वासन दिया है।

उल्लेखनीय है कि विपक्षी सांसदों ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला को पत्र लिखकर जगदंबिका पाल पर मनमानी करने का आरोप लगाते हुए कहा था कि अगर चेयरमैन की मनमानी जारी रही, एकपक्षीय फैसला हुआ और उन्हें अपनी बात रखने का उचित मौका नहीं दिया गया तो वे जेपीसी से ही अपना नाम वापस ले लेंगे। विपक्षी सांसदों ने बिरला को लिखे पत्र में पाल पर मनमाने तरीके से लगातार जेपीसी की बैठकें बुलाने और विपक्षी सांसदों को तैयारी करने का पर्याप्त मौका नहीं देने सहित कई गंभीर आरोप लगाए थे। विपक्षी सांसदों ने अपने पत्र में लोकसभा अध्यक्ष से मुलाकात का समय भी मांगा था। इस अनुरोध को स्वीकार करते हुए स्पीकर बिरला ने मंगलवार को विपक्षी सांसदों के प्रतिनिधिमंडल के साथ मुलाकात की।

हालांकि मीडिया से बात करते हुए जगदंबिका पाल लगातार विपक्षी सांसदों के तमाम आरोपों को खारिज करते हुए कह रहे हैं कि जेपीसी का गठन ही बड़े पैमाने पर तमाम स्टेकहोल्डर्स के साथ विचार-विमर्श करने के लिए किया गया है। इसलिए जेपीसी की बैठक लगातार हो रही है। उन्होंने कहा कि आरोप लगाने वाले विपक्षी सांसद भी इन बैठकों में लगातार शामिल हो रहे हैं और बतौर चेयरमैन वह उन्हें बोलने का पर्याप्त अवसर भी दे रहे हैं।

इस बीच जेपीसी की बैठक मंगलवार, 5 नवंबर को भी जारी रही। अखिल भारतीय अधिवक्ता परिषद और अन्वेषक के प्रतिनिधियों ने जेपीसी की बैठक में अपनी-अपनी बात रखी है। वहीं दाऊदी- वोहरा समाज की तरफ से वरिष्ठ एडवोकेट हरीश साल्वे वक्फ ( संशोधन ) बिल पर अपनी बात रख रहे हैं।

–आईएएनएस

एसटीपी/एएस

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