नई दिल्ली, 26 जुलाई (आईएएनएस)। दिल्ली की एक अदालत ने राष्ट्रीय राजधानी के पुल बंगश इलाके में 1984 में हुए सिख विरोधी दंगों के मामले में बुधवार को कांग्रेस नेता जगदीश टाइटलर को 5 अगस्त को तलब किया है।
1 नवंबर, 1984 को आज़ाद मार्केट स्थित गुरुद्वारा पुल बंगश को भीड़ ने आग लगा दी थी, जिसमें सरदार ठाकुर सिंह, बादल सिंह और गुरचरण सिंह नामक तीन लोगों की जलकर मौत हो गई थी।
यह घटना तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी की सिख अंगरक्षकों द्वारा उनकी हत्या के एक दिन बाद हुई थी।
विशेष एमपी-एमएलए अदालत की अतिरिक्त मुख्य मेट्रोपॉलिटन मजिस्ट्रेट (एसीएमएम) विधि आनंद गुप्ता ने मामले में केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) के आरोपपत्र पर संज्ञान लेने के बाद आदेश पारित किया।
अदालत के समक्ष दायर अपने आरोपपत्र में सीबीआई ने कहा है कि टाइटलर ने 1 नवंबर को गुरुद्वारे में इकट्ठा हुई भीड़ को उकसाया, जिसके परिणामस्वरूप गुरुद्वारे को जला दिया गया और सिख समुदाय के तीन लोगों की हत्या कर दी गई।
जांच एजेंसी द्वारा टाइटलर के खिलाफ भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की धारा 147 (दंगा), 109 (उकसाने) के साथ धारा 302 (हत्या) के तहत आरोप लगाए गए हैं।
राउज़ एवेन्यू कोर्ट ने 2 जून को दंगा मामले में टाइटलर के खिलाफ सीबीआई द्वारा दायर पूरक आरोपपत्र को मंजूरी दे दी थी और मामले को सुनवाई के लिए विशेष एमपी-एमएलए अदालत में स्थानांतरित कर दिया था।
अदालत ने पहले भी सीबीआई को टाइटलर की आवाज के नमूने की फोरेंसिक रिपोर्ट प्राप्त करने की प्रक्रिया में तेजी लाने का निर्देश दिया था।
दंगा पीड़ितों का प्रतिनिधित्व कर रहे वरिष्ठ वकील एच.एस. फुल्का ने अदालत से एफएसएल रिपोर्ट प्रक्रिया में तेजी लाने का अनुरोध किया था।
कांग्रेस नेता के खिलाफ नए सबूत मिलने के बाद उनका नाम आरोपपत्र में शामिल किया गया था।
केंद्रीय जांच एजेंसी ने अप्रैल में पुल बंगश में हुई हिंसा के सिलसिले में टाइटलर की आवाज का नमूना एकत्र किया था। टाइटलर पर सिखों की हत्या करने वाली भीड़ को उकसाने का आरोप है।
–आईएएनएस
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