deshbandhu

deshbandu_logo
  • राष्ट्रीय
  • अंतरराष्ट्रीय
  • लाइफ स्टाइल
  • अर्थजगत
  • मनोरंजन
  • खेल
  • अभिमत
  • धर्म
  • विचार
  • ई पेपर
deshbandu_logo
  • राष्ट्रीय
  • अंतरराष्ट्रीय
  • लाइफ स्टाइल
  • अर्थजगत
  • मनोरंजन
  • खेल
  • अभिमत
  • धर्म
  • विचार
  • ई पेपर
Menu
  • राष्ट्रीय
  • अंतरराष्ट्रीय
  • लाइफ स्टाइल
  • अर्थजगत
  • मनोरंजन
  • खेल
  • अभिमत
  • धर्म
  • विचार
  • ई पेपर
Facebook Twitter Youtube
  • भोपाल
  • इंदौर
  • उज्जैन
  • ग्वालियर
  • जबलपुर
  • रीवा
  • चंबल
  • नर्मदापुरम
  • शहडोल
  • सागर
  • देशबन्धु जनमत
  • पाठक प्रतिक्रियाएं
  • हमें जानें
  • विज्ञापन दरें
ADVERTISEMENT
Home मनोरंजन

धनतेरस के त्‍याैहार को लेकर जया भट्टाचार्य ने पुराने दिन किए याद

by
October 24, 2024
in मनोरंजन
0
धनतेरस के त्‍याैहार को लेकर जया भट्टाचार्य ने पुराने दिन किए याद
0
SHARES
4
VIEWS
Share on FacebookShare on Whatsapp
ADVERTISEMENT

मुंबई, 24 अक्टूबर (आईएएनएस)। धनतेरस के त्‍याैहार को लेकर अभिनेत्री जया भट्टाचार्य ने अपने पुराने समय को याद करते हुए कहा कि पहले इस त्‍याैहार पर खरीदारी करने का दबाव रहता था और खर्च करने के लिए ज्‍यादा पैसे नहीं होते थे।

29 अक्टूबर को मनाए जाने वाले धनतेरस के बारे में बात करते हुए जया ने कहा, “धनतेरस के दिन पूरे देश में दीये जलाने की शुरुआत होती है। मेरा मानना ​​है कि यह सर्दी के मौसम में गर्मी लाने का संकेत है। यह अवांछित कीटों को भी दूर रखने में मदद करता है, जो इस मौसम में दिखाई देते हैं।”

READ ALSO

वरुण तेज और लावण्या के घर आया नन्हा मेहमान, चिरंजीवी ने पोस्ट कर दी शुभकामनाएं

सोनू सूद की नेक पहल, बहन मालविका के साथ पंजाब के गांवों में पहुंचाई राहत सामग्री

अभिनेत्री ने आगे कहा, “घर की सफाई करना, साथ ही आध्यात्मिक रूप से खुद को शुद्ध करना, एक सतत प्रक्रिया है और इसे ऐसे ही माना जाना चाहिए। मैं सिर्फ दीपावाली के लिए ही सफाई नहीं करती, बल्कि धनतेरस (या उससे भी पहले) से ही सफाई शुरू कर देती हूंं। मैं अपने फर्नीचर को भी एक इंच के अंतर से हिलाती हूं, ताकि नई ऊर्जा आ सके।”

अपने बचपन के दिनों को याद करते हुए अभिनेत्री ने कहा, “जब मैं छोटी थी, तो मेरी मां हमेशा यह सुनिश्चित करती थी कि हम धनतेरस पर कुछ न कुछ खरीदें, आमतौर पर इस दिन बर्तन खरीदने की परंपरा थी। लेकिन, जब मैं मुंबई चली गई, तो मैंने इसके बजाय चांदी के सिक्के खरीदने की परंपरा शुरू की।”

पुराने समय को याद करते हुए उन्‍होंने कहा, ”हमारे पास खर्च करने के लिए बहुत कुछ नहीं था, इसलिए धनतेरस पर हमेशा ही कुछ खरीदने का दबाव रहता था। आज, मैं इस बात के लिए आभारी हूं कि मैं अपने तरीके से इन परंपराओं का पालन कर सकती हूं। अब मैं काम करती हूं और इन रीति-रिवाजों का सम्मान करने के लिए पैसे अलग रखती हूं।”

उन्होंने कहा कि उनका सभी के लिए संदेश यह है कि केवल अपने घर और आस-पास की सफाई ही नहीं, बल्कि अपने भीतर की सफाई भी जरूरी है।

उन्होंने कहा, “पूजा के लिए बैठते समय, अपने दिमाग को छोटी-छोटी बातों पर न भटकने दें। इसके बजाय, अपने भीतर ध्यान केंद्रित करें और पूजा की सकारात्मकता को अपने अंदर समाहित होने दें। जब आपका भीतरी मन शांत होता है, तो बाहरी चीजें उतनी मायने नहीं रखती।”

उनके करियर पर नजर डालें तो वह सन नियो पर प्रसारित होने वाले शो “छठी मैया की बिटिया” में नजर आ रही हैं। यह शो सन नियो पर प्रसारित होता है।

–आईएएनएस

एमकेएस/जीकेटी

ADVERTISEMENT

मुंबई, 24 अक्टूबर (आईएएनएस)। धनतेरस के त्‍याैहार को लेकर अभिनेत्री जया भट्टाचार्य ने अपने पुराने समय को याद करते हुए कहा कि पहले इस त्‍याैहार पर खरीदारी करने का दबाव रहता था और खर्च करने के लिए ज्‍यादा पैसे नहीं होते थे।

29 अक्टूबर को मनाए जाने वाले धनतेरस के बारे में बात करते हुए जया ने कहा, “धनतेरस के दिन पूरे देश में दीये जलाने की शुरुआत होती है। मेरा मानना ​​है कि यह सर्दी के मौसम में गर्मी लाने का संकेत है। यह अवांछित कीटों को भी दूर रखने में मदद करता है, जो इस मौसम में दिखाई देते हैं।”

अभिनेत्री ने आगे कहा, “घर की सफाई करना, साथ ही आध्यात्मिक रूप से खुद को शुद्ध करना, एक सतत प्रक्रिया है और इसे ऐसे ही माना जाना चाहिए। मैं सिर्फ दीपावाली के लिए ही सफाई नहीं करती, बल्कि धनतेरस (या उससे भी पहले) से ही सफाई शुरू कर देती हूंं। मैं अपने फर्नीचर को भी एक इंच के अंतर से हिलाती हूं, ताकि नई ऊर्जा आ सके।”

अपने बचपन के दिनों को याद करते हुए अभिनेत्री ने कहा, “जब मैं छोटी थी, तो मेरी मां हमेशा यह सुनिश्चित करती थी कि हम धनतेरस पर कुछ न कुछ खरीदें, आमतौर पर इस दिन बर्तन खरीदने की परंपरा थी। लेकिन, जब मैं मुंबई चली गई, तो मैंने इसके बजाय चांदी के सिक्के खरीदने की परंपरा शुरू की।”

पुराने समय को याद करते हुए उन्‍होंने कहा, ”हमारे पास खर्च करने के लिए बहुत कुछ नहीं था, इसलिए धनतेरस पर हमेशा ही कुछ खरीदने का दबाव रहता था। आज, मैं इस बात के लिए आभारी हूं कि मैं अपने तरीके से इन परंपराओं का पालन कर सकती हूं। अब मैं काम करती हूं और इन रीति-रिवाजों का सम्मान करने के लिए पैसे अलग रखती हूं।”

उन्होंने कहा कि उनका सभी के लिए संदेश यह है कि केवल अपने घर और आस-पास की सफाई ही नहीं, बल्कि अपने भीतर की सफाई भी जरूरी है।

उन्होंने कहा, “पूजा के लिए बैठते समय, अपने दिमाग को छोटी-छोटी बातों पर न भटकने दें। इसके बजाय, अपने भीतर ध्यान केंद्रित करें और पूजा की सकारात्मकता को अपने अंदर समाहित होने दें। जब आपका भीतरी मन शांत होता है, तो बाहरी चीजें उतनी मायने नहीं रखती।”

उनके करियर पर नजर डालें तो वह सन नियो पर प्रसारित होने वाले शो “छठी मैया की बिटिया” में नजर आ रही हैं। यह शो सन नियो पर प्रसारित होता है।

–आईएएनएस

एमकेएस/जीकेटी

ADVERTISEMENT

मुंबई, 24 अक्टूबर (आईएएनएस)। धनतेरस के त्‍याैहार को लेकर अभिनेत्री जया भट्टाचार्य ने अपने पुराने समय को याद करते हुए कहा कि पहले इस त्‍याैहार पर खरीदारी करने का दबाव रहता था और खर्च करने के लिए ज्‍यादा पैसे नहीं होते थे।

29 अक्टूबर को मनाए जाने वाले धनतेरस के बारे में बात करते हुए जया ने कहा, “धनतेरस के दिन पूरे देश में दीये जलाने की शुरुआत होती है। मेरा मानना ​​है कि यह सर्दी के मौसम में गर्मी लाने का संकेत है। यह अवांछित कीटों को भी दूर रखने में मदद करता है, जो इस मौसम में दिखाई देते हैं।”

अभिनेत्री ने आगे कहा, “घर की सफाई करना, साथ ही आध्यात्मिक रूप से खुद को शुद्ध करना, एक सतत प्रक्रिया है और इसे ऐसे ही माना जाना चाहिए। मैं सिर्फ दीपावाली के लिए ही सफाई नहीं करती, बल्कि धनतेरस (या उससे भी पहले) से ही सफाई शुरू कर देती हूंं। मैं अपने फर्नीचर को भी एक इंच के अंतर से हिलाती हूं, ताकि नई ऊर्जा आ सके।”

अपने बचपन के दिनों को याद करते हुए अभिनेत्री ने कहा, “जब मैं छोटी थी, तो मेरी मां हमेशा यह सुनिश्चित करती थी कि हम धनतेरस पर कुछ न कुछ खरीदें, आमतौर पर इस दिन बर्तन खरीदने की परंपरा थी। लेकिन, जब मैं मुंबई चली गई, तो मैंने इसके बजाय चांदी के सिक्के खरीदने की परंपरा शुरू की।”

पुराने समय को याद करते हुए उन्‍होंने कहा, ”हमारे पास खर्च करने के लिए बहुत कुछ नहीं था, इसलिए धनतेरस पर हमेशा ही कुछ खरीदने का दबाव रहता था। आज, मैं इस बात के लिए आभारी हूं कि मैं अपने तरीके से इन परंपराओं का पालन कर सकती हूं। अब मैं काम करती हूं और इन रीति-रिवाजों का सम्मान करने के लिए पैसे अलग रखती हूं।”

उन्होंने कहा कि उनका सभी के लिए संदेश यह है कि केवल अपने घर और आस-पास की सफाई ही नहीं, बल्कि अपने भीतर की सफाई भी जरूरी है।

उन्होंने कहा, “पूजा के लिए बैठते समय, अपने दिमाग को छोटी-छोटी बातों पर न भटकने दें। इसके बजाय, अपने भीतर ध्यान केंद्रित करें और पूजा की सकारात्मकता को अपने अंदर समाहित होने दें। जब आपका भीतरी मन शांत होता है, तो बाहरी चीजें उतनी मायने नहीं रखती।”

उनके करियर पर नजर डालें तो वह सन नियो पर प्रसारित होने वाले शो “छठी मैया की बिटिया” में नजर आ रही हैं। यह शो सन नियो पर प्रसारित होता है।

–आईएएनएस

एमकेएस/जीकेटी

ADVERTISEMENT

मुंबई, 24 अक्टूबर (आईएएनएस)। धनतेरस के त्‍याैहार को लेकर अभिनेत्री जया भट्टाचार्य ने अपने पुराने समय को याद करते हुए कहा कि पहले इस त्‍याैहार पर खरीदारी करने का दबाव रहता था और खर्च करने के लिए ज्‍यादा पैसे नहीं होते थे।

29 अक्टूबर को मनाए जाने वाले धनतेरस के बारे में बात करते हुए जया ने कहा, “धनतेरस के दिन पूरे देश में दीये जलाने की शुरुआत होती है। मेरा मानना ​​है कि यह सर्दी के मौसम में गर्मी लाने का संकेत है। यह अवांछित कीटों को भी दूर रखने में मदद करता है, जो इस मौसम में दिखाई देते हैं।”

अभिनेत्री ने आगे कहा, “घर की सफाई करना, साथ ही आध्यात्मिक रूप से खुद को शुद्ध करना, एक सतत प्रक्रिया है और इसे ऐसे ही माना जाना चाहिए। मैं सिर्फ दीपावाली के लिए ही सफाई नहीं करती, बल्कि धनतेरस (या उससे भी पहले) से ही सफाई शुरू कर देती हूंं। मैं अपने फर्नीचर को भी एक इंच के अंतर से हिलाती हूं, ताकि नई ऊर्जा आ सके।”

अपने बचपन के दिनों को याद करते हुए अभिनेत्री ने कहा, “जब मैं छोटी थी, तो मेरी मां हमेशा यह सुनिश्चित करती थी कि हम धनतेरस पर कुछ न कुछ खरीदें, आमतौर पर इस दिन बर्तन खरीदने की परंपरा थी। लेकिन, जब मैं मुंबई चली गई, तो मैंने इसके बजाय चांदी के सिक्के खरीदने की परंपरा शुरू की।”

पुराने समय को याद करते हुए उन्‍होंने कहा, ”हमारे पास खर्च करने के लिए बहुत कुछ नहीं था, इसलिए धनतेरस पर हमेशा ही कुछ खरीदने का दबाव रहता था। आज, मैं इस बात के लिए आभारी हूं कि मैं अपने तरीके से इन परंपराओं का पालन कर सकती हूं। अब मैं काम करती हूं और इन रीति-रिवाजों का सम्मान करने के लिए पैसे अलग रखती हूं।”

उन्होंने कहा कि उनका सभी के लिए संदेश यह है कि केवल अपने घर और आस-पास की सफाई ही नहीं, बल्कि अपने भीतर की सफाई भी जरूरी है।

उन्होंने कहा, “पूजा के लिए बैठते समय, अपने दिमाग को छोटी-छोटी बातों पर न भटकने दें। इसके बजाय, अपने भीतर ध्यान केंद्रित करें और पूजा की सकारात्मकता को अपने अंदर समाहित होने दें। जब आपका भीतरी मन शांत होता है, तो बाहरी चीजें उतनी मायने नहीं रखती।”

उनके करियर पर नजर डालें तो वह सन नियो पर प्रसारित होने वाले शो “छठी मैया की बिटिया” में नजर आ रही हैं। यह शो सन नियो पर प्रसारित होता है।

–आईएएनएस

एमकेएस/जीकेटी

ADVERTISEMENT

मुंबई, 24 अक्टूबर (आईएएनएस)। धनतेरस के त्‍याैहार को लेकर अभिनेत्री जया भट्टाचार्य ने अपने पुराने समय को याद करते हुए कहा कि पहले इस त्‍याैहार पर खरीदारी करने का दबाव रहता था और खर्च करने के लिए ज्‍यादा पैसे नहीं होते थे।

29 अक्टूबर को मनाए जाने वाले धनतेरस के बारे में बात करते हुए जया ने कहा, “धनतेरस के दिन पूरे देश में दीये जलाने की शुरुआत होती है। मेरा मानना ​​है कि यह सर्दी के मौसम में गर्मी लाने का संकेत है। यह अवांछित कीटों को भी दूर रखने में मदद करता है, जो इस मौसम में दिखाई देते हैं।”

अभिनेत्री ने आगे कहा, “घर की सफाई करना, साथ ही आध्यात्मिक रूप से खुद को शुद्ध करना, एक सतत प्रक्रिया है और इसे ऐसे ही माना जाना चाहिए। मैं सिर्फ दीपावाली के लिए ही सफाई नहीं करती, बल्कि धनतेरस (या उससे भी पहले) से ही सफाई शुरू कर देती हूंं। मैं अपने फर्नीचर को भी एक इंच के अंतर से हिलाती हूं, ताकि नई ऊर्जा आ सके।”

अपने बचपन के दिनों को याद करते हुए अभिनेत्री ने कहा, “जब मैं छोटी थी, तो मेरी मां हमेशा यह सुनिश्चित करती थी कि हम धनतेरस पर कुछ न कुछ खरीदें, आमतौर पर इस दिन बर्तन खरीदने की परंपरा थी। लेकिन, जब मैं मुंबई चली गई, तो मैंने इसके बजाय चांदी के सिक्के खरीदने की परंपरा शुरू की।”

पुराने समय को याद करते हुए उन्‍होंने कहा, ”हमारे पास खर्च करने के लिए बहुत कुछ नहीं था, इसलिए धनतेरस पर हमेशा ही कुछ खरीदने का दबाव रहता था। आज, मैं इस बात के लिए आभारी हूं कि मैं अपने तरीके से इन परंपराओं का पालन कर सकती हूं। अब मैं काम करती हूं और इन रीति-रिवाजों का सम्मान करने के लिए पैसे अलग रखती हूं।”

उन्होंने कहा कि उनका सभी के लिए संदेश यह है कि केवल अपने घर और आस-पास की सफाई ही नहीं, बल्कि अपने भीतर की सफाई भी जरूरी है।

उन्होंने कहा, “पूजा के लिए बैठते समय, अपने दिमाग को छोटी-छोटी बातों पर न भटकने दें। इसके बजाय, अपने भीतर ध्यान केंद्रित करें और पूजा की सकारात्मकता को अपने अंदर समाहित होने दें। जब आपका भीतरी मन शांत होता है, तो बाहरी चीजें उतनी मायने नहीं रखती।”

उनके करियर पर नजर डालें तो वह सन नियो पर प्रसारित होने वाले शो “छठी मैया की बिटिया” में नजर आ रही हैं। यह शो सन नियो पर प्रसारित होता है।

–आईएएनएस

एमकेएस/जीकेटी

ADVERTISEMENT

मुंबई, 24 अक्टूबर (आईएएनएस)। धनतेरस के त्‍याैहार को लेकर अभिनेत्री जया भट्टाचार्य ने अपने पुराने समय को याद करते हुए कहा कि पहले इस त्‍याैहार पर खरीदारी करने का दबाव रहता था और खर्च करने के लिए ज्‍यादा पैसे नहीं होते थे।

29 अक्टूबर को मनाए जाने वाले धनतेरस के बारे में बात करते हुए जया ने कहा, “धनतेरस के दिन पूरे देश में दीये जलाने की शुरुआत होती है। मेरा मानना ​​है कि यह सर्दी के मौसम में गर्मी लाने का संकेत है। यह अवांछित कीटों को भी दूर रखने में मदद करता है, जो इस मौसम में दिखाई देते हैं।”

अभिनेत्री ने आगे कहा, “घर की सफाई करना, साथ ही आध्यात्मिक रूप से खुद को शुद्ध करना, एक सतत प्रक्रिया है और इसे ऐसे ही माना जाना चाहिए। मैं सिर्फ दीपावाली के लिए ही सफाई नहीं करती, बल्कि धनतेरस (या उससे भी पहले) से ही सफाई शुरू कर देती हूंं। मैं अपने फर्नीचर को भी एक इंच के अंतर से हिलाती हूं, ताकि नई ऊर्जा आ सके।”

अपने बचपन के दिनों को याद करते हुए अभिनेत्री ने कहा, “जब मैं छोटी थी, तो मेरी मां हमेशा यह सुनिश्चित करती थी कि हम धनतेरस पर कुछ न कुछ खरीदें, आमतौर पर इस दिन बर्तन खरीदने की परंपरा थी। लेकिन, जब मैं मुंबई चली गई, तो मैंने इसके बजाय चांदी के सिक्के खरीदने की परंपरा शुरू की।”

पुराने समय को याद करते हुए उन्‍होंने कहा, ”हमारे पास खर्च करने के लिए बहुत कुछ नहीं था, इसलिए धनतेरस पर हमेशा ही कुछ खरीदने का दबाव रहता था। आज, मैं इस बात के लिए आभारी हूं कि मैं अपने तरीके से इन परंपराओं का पालन कर सकती हूं। अब मैं काम करती हूं और इन रीति-रिवाजों का सम्मान करने के लिए पैसे अलग रखती हूं।”

उन्होंने कहा कि उनका सभी के लिए संदेश यह है कि केवल अपने घर और आस-पास की सफाई ही नहीं, बल्कि अपने भीतर की सफाई भी जरूरी है।

उन्होंने कहा, “पूजा के लिए बैठते समय, अपने दिमाग को छोटी-छोटी बातों पर न भटकने दें। इसके बजाय, अपने भीतर ध्यान केंद्रित करें और पूजा की सकारात्मकता को अपने अंदर समाहित होने दें। जब आपका भीतरी मन शांत होता है, तो बाहरी चीजें उतनी मायने नहीं रखती।”

उनके करियर पर नजर डालें तो वह सन नियो पर प्रसारित होने वाले शो “छठी मैया की बिटिया” में नजर आ रही हैं। यह शो सन नियो पर प्रसारित होता है।

–आईएएनएस

एमकेएस/जीकेटी

ADVERTISEMENT

मुंबई, 24 अक्टूबर (आईएएनएस)। धनतेरस के त्‍याैहार को लेकर अभिनेत्री जया भट्टाचार्य ने अपने पुराने समय को याद करते हुए कहा कि पहले इस त्‍याैहार पर खरीदारी करने का दबाव रहता था और खर्च करने के लिए ज्‍यादा पैसे नहीं होते थे।

29 अक्टूबर को मनाए जाने वाले धनतेरस के बारे में बात करते हुए जया ने कहा, “धनतेरस के दिन पूरे देश में दीये जलाने की शुरुआत होती है। मेरा मानना ​​है कि यह सर्दी के मौसम में गर्मी लाने का संकेत है। यह अवांछित कीटों को भी दूर रखने में मदद करता है, जो इस मौसम में दिखाई देते हैं।”

अभिनेत्री ने आगे कहा, “घर की सफाई करना, साथ ही आध्यात्मिक रूप से खुद को शुद्ध करना, एक सतत प्रक्रिया है और इसे ऐसे ही माना जाना चाहिए। मैं सिर्फ दीपावाली के लिए ही सफाई नहीं करती, बल्कि धनतेरस (या उससे भी पहले) से ही सफाई शुरू कर देती हूंं। मैं अपने फर्नीचर को भी एक इंच के अंतर से हिलाती हूं, ताकि नई ऊर्जा आ सके।”

अपने बचपन के दिनों को याद करते हुए अभिनेत्री ने कहा, “जब मैं छोटी थी, तो मेरी मां हमेशा यह सुनिश्चित करती थी कि हम धनतेरस पर कुछ न कुछ खरीदें, आमतौर पर इस दिन बर्तन खरीदने की परंपरा थी। लेकिन, जब मैं मुंबई चली गई, तो मैंने इसके बजाय चांदी के सिक्के खरीदने की परंपरा शुरू की।”

पुराने समय को याद करते हुए उन्‍होंने कहा, ”हमारे पास खर्च करने के लिए बहुत कुछ नहीं था, इसलिए धनतेरस पर हमेशा ही कुछ खरीदने का दबाव रहता था। आज, मैं इस बात के लिए आभारी हूं कि मैं अपने तरीके से इन परंपराओं का पालन कर सकती हूं। अब मैं काम करती हूं और इन रीति-रिवाजों का सम्मान करने के लिए पैसे अलग रखती हूं।”

उन्होंने कहा कि उनका सभी के लिए संदेश यह है कि केवल अपने घर और आस-पास की सफाई ही नहीं, बल्कि अपने भीतर की सफाई भी जरूरी है।

उन्होंने कहा, “पूजा के लिए बैठते समय, अपने दिमाग को छोटी-छोटी बातों पर न भटकने दें। इसके बजाय, अपने भीतर ध्यान केंद्रित करें और पूजा की सकारात्मकता को अपने अंदर समाहित होने दें। जब आपका भीतरी मन शांत होता है, तो बाहरी चीजें उतनी मायने नहीं रखती।”

उनके करियर पर नजर डालें तो वह सन नियो पर प्रसारित होने वाले शो “छठी मैया की बिटिया” में नजर आ रही हैं। यह शो सन नियो पर प्रसारित होता है।

–आईएएनएस

एमकेएस/जीकेटी

ADVERTISEMENT

मुंबई, 24 अक्टूबर (आईएएनएस)। धनतेरस के त्‍याैहार को लेकर अभिनेत्री जया भट्टाचार्य ने अपने पुराने समय को याद करते हुए कहा कि पहले इस त्‍याैहार पर खरीदारी करने का दबाव रहता था और खर्च करने के लिए ज्‍यादा पैसे नहीं होते थे।

29 अक्टूबर को मनाए जाने वाले धनतेरस के बारे में बात करते हुए जया ने कहा, “धनतेरस के दिन पूरे देश में दीये जलाने की शुरुआत होती है। मेरा मानना ​​है कि यह सर्दी के मौसम में गर्मी लाने का संकेत है। यह अवांछित कीटों को भी दूर रखने में मदद करता है, जो इस मौसम में दिखाई देते हैं।”

अभिनेत्री ने आगे कहा, “घर की सफाई करना, साथ ही आध्यात्मिक रूप से खुद को शुद्ध करना, एक सतत प्रक्रिया है और इसे ऐसे ही माना जाना चाहिए। मैं सिर्फ दीपावाली के लिए ही सफाई नहीं करती, बल्कि धनतेरस (या उससे भी पहले) से ही सफाई शुरू कर देती हूंं। मैं अपने फर्नीचर को भी एक इंच के अंतर से हिलाती हूं, ताकि नई ऊर्जा आ सके।”

अपने बचपन के दिनों को याद करते हुए अभिनेत्री ने कहा, “जब मैं छोटी थी, तो मेरी मां हमेशा यह सुनिश्चित करती थी कि हम धनतेरस पर कुछ न कुछ खरीदें, आमतौर पर इस दिन बर्तन खरीदने की परंपरा थी। लेकिन, जब मैं मुंबई चली गई, तो मैंने इसके बजाय चांदी के सिक्के खरीदने की परंपरा शुरू की।”

पुराने समय को याद करते हुए उन्‍होंने कहा, ”हमारे पास खर्च करने के लिए बहुत कुछ नहीं था, इसलिए धनतेरस पर हमेशा ही कुछ खरीदने का दबाव रहता था। आज, मैं इस बात के लिए आभारी हूं कि मैं अपने तरीके से इन परंपराओं का पालन कर सकती हूं। अब मैं काम करती हूं और इन रीति-रिवाजों का सम्मान करने के लिए पैसे अलग रखती हूं।”

उन्होंने कहा कि उनका सभी के लिए संदेश यह है कि केवल अपने घर और आस-पास की सफाई ही नहीं, बल्कि अपने भीतर की सफाई भी जरूरी है।

उन्होंने कहा, “पूजा के लिए बैठते समय, अपने दिमाग को छोटी-छोटी बातों पर न भटकने दें। इसके बजाय, अपने भीतर ध्यान केंद्रित करें और पूजा की सकारात्मकता को अपने अंदर समाहित होने दें। जब आपका भीतरी मन शांत होता है, तो बाहरी चीजें उतनी मायने नहीं रखती।”

उनके करियर पर नजर डालें तो वह सन नियो पर प्रसारित होने वाले शो “छठी मैया की बिटिया” में नजर आ रही हैं। यह शो सन नियो पर प्रसारित होता है।

–आईएएनएस

एमकेएस/जीकेटी

मुंबई, 24 अक्टूबर (आईएएनएस)। धनतेरस के त्‍याैहार को लेकर अभिनेत्री जया भट्टाचार्य ने अपने पुराने समय को याद करते हुए कहा कि पहले इस त्‍याैहार पर खरीदारी करने का दबाव रहता था और खर्च करने के लिए ज्‍यादा पैसे नहीं होते थे।

29 अक्टूबर को मनाए जाने वाले धनतेरस के बारे में बात करते हुए जया ने कहा, “धनतेरस के दिन पूरे देश में दीये जलाने की शुरुआत होती है। मेरा मानना ​​है कि यह सर्दी के मौसम में गर्मी लाने का संकेत है। यह अवांछित कीटों को भी दूर रखने में मदद करता है, जो इस मौसम में दिखाई देते हैं।”

अभिनेत्री ने आगे कहा, “घर की सफाई करना, साथ ही आध्यात्मिक रूप से खुद को शुद्ध करना, एक सतत प्रक्रिया है और इसे ऐसे ही माना जाना चाहिए। मैं सिर्फ दीपावाली के लिए ही सफाई नहीं करती, बल्कि धनतेरस (या उससे भी पहले) से ही सफाई शुरू कर देती हूंं। मैं अपने फर्नीचर को भी एक इंच के अंतर से हिलाती हूं, ताकि नई ऊर्जा आ सके।”

अपने बचपन के दिनों को याद करते हुए अभिनेत्री ने कहा, “जब मैं छोटी थी, तो मेरी मां हमेशा यह सुनिश्चित करती थी कि हम धनतेरस पर कुछ न कुछ खरीदें, आमतौर पर इस दिन बर्तन खरीदने की परंपरा थी। लेकिन, जब मैं मुंबई चली गई, तो मैंने इसके बजाय चांदी के सिक्के खरीदने की परंपरा शुरू की।”

पुराने समय को याद करते हुए उन्‍होंने कहा, ”हमारे पास खर्च करने के लिए बहुत कुछ नहीं था, इसलिए धनतेरस पर हमेशा ही कुछ खरीदने का दबाव रहता था। आज, मैं इस बात के लिए आभारी हूं कि मैं अपने तरीके से इन परंपराओं का पालन कर सकती हूं। अब मैं काम करती हूं और इन रीति-रिवाजों का सम्मान करने के लिए पैसे अलग रखती हूं।”

उन्होंने कहा कि उनका सभी के लिए संदेश यह है कि केवल अपने घर और आस-पास की सफाई ही नहीं, बल्कि अपने भीतर की सफाई भी जरूरी है।

उन्होंने कहा, “पूजा के लिए बैठते समय, अपने दिमाग को छोटी-छोटी बातों पर न भटकने दें। इसके बजाय, अपने भीतर ध्यान केंद्रित करें और पूजा की सकारात्मकता को अपने अंदर समाहित होने दें। जब आपका भीतरी मन शांत होता है, तो बाहरी चीजें उतनी मायने नहीं रखती।”

उनके करियर पर नजर डालें तो वह सन नियो पर प्रसारित होने वाले शो “छठी मैया की बिटिया” में नजर आ रही हैं। यह शो सन नियो पर प्रसारित होता है।

–आईएएनएस

एमकेएस/जीकेटी

ADVERTISEMENT

मुंबई, 24 अक्टूबर (आईएएनएस)। धनतेरस के त्‍याैहार को लेकर अभिनेत्री जया भट्टाचार्य ने अपने पुराने समय को याद करते हुए कहा कि पहले इस त्‍याैहार पर खरीदारी करने का दबाव रहता था और खर्च करने के लिए ज्‍यादा पैसे नहीं होते थे।

29 अक्टूबर को मनाए जाने वाले धनतेरस के बारे में बात करते हुए जया ने कहा, “धनतेरस के दिन पूरे देश में दीये जलाने की शुरुआत होती है। मेरा मानना ​​है कि यह सर्दी के मौसम में गर्मी लाने का संकेत है। यह अवांछित कीटों को भी दूर रखने में मदद करता है, जो इस मौसम में दिखाई देते हैं।”

अभिनेत्री ने आगे कहा, “घर की सफाई करना, साथ ही आध्यात्मिक रूप से खुद को शुद्ध करना, एक सतत प्रक्रिया है और इसे ऐसे ही माना जाना चाहिए। मैं सिर्फ दीपावाली के लिए ही सफाई नहीं करती, बल्कि धनतेरस (या उससे भी पहले) से ही सफाई शुरू कर देती हूंं। मैं अपने फर्नीचर को भी एक इंच के अंतर से हिलाती हूं, ताकि नई ऊर्जा आ सके।”

अपने बचपन के दिनों को याद करते हुए अभिनेत्री ने कहा, “जब मैं छोटी थी, तो मेरी मां हमेशा यह सुनिश्चित करती थी कि हम धनतेरस पर कुछ न कुछ खरीदें, आमतौर पर इस दिन बर्तन खरीदने की परंपरा थी। लेकिन, जब मैं मुंबई चली गई, तो मैंने इसके बजाय चांदी के सिक्के खरीदने की परंपरा शुरू की।”

पुराने समय को याद करते हुए उन्‍होंने कहा, ”हमारे पास खर्च करने के लिए बहुत कुछ नहीं था, इसलिए धनतेरस पर हमेशा ही कुछ खरीदने का दबाव रहता था। आज, मैं इस बात के लिए आभारी हूं कि मैं अपने तरीके से इन परंपराओं का पालन कर सकती हूं। अब मैं काम करती हूं और इन रीति-रिवाजों का सम्मान करने के लिए पैसे अलग रखती हूं।”

उन्होंने कहा कि उनका सभी के लिए संदेश यह है कि केवल अपने घर और आस-पास की सफाई ही नहीं, बल्कि अपने भीतर की सफाई भी जरूरी है।

उन्होंने कहा, “पूजा के लिए बैठते समय, अपने दिमाग को छोटी-छोटी बातों पर न भटकने दें। इसके बजाय, अपने भीतर ध्यान केंद्रित करें और पूजा की सकारात्मकता को अपने अंदर समाहित होने दें। जब आपका भीतरी मन शांत होता है, तो बाहरी चीजें उतनी मायने नहीं रखती।”

उनके करियर पर नजर डालें तो वह सन नियो पर प्रसारित होने वाले शो “छठी मैया की बिटिया” में नजर आ रही हैं। यह शो सन नियो पर प्रसारित होता है।

–आईएएनएस

एमकेएस/जीकेटी

ADVERTISEMENT

मुंबई, 24 अक्टूबर (आईएएनएस)। धनतेरस के त्‍याैहार को लेकर अभिनेत्री जया भट्टाचार्य ने अपने पुराने समय को याद करते हुए कहा कि पहले इस त्‍याैहार पर खरीदारी करने का दबाव रहता था और खर्च करने के लिए ज्‍यादा पैसे नहीं होते थे।

29 अक्टूबर को मनाए जाने वाले धनतेरस के बारे में बात करते हुए जया ने कहा, “धनतेरस के दिन पूरे देश में दीये जलाने की शुरुआत होती है। मेरा मानना ​​है कि यह सर्दी के मौसम में गर्मी लाने का संकेत है। यह अवांछित कीटों को भी दूर रखने में मदद करता है, जो इस मौसम में दिखाई देते हैं।”

अभिनेत्री ने आगे कहा, “घर की सफाई करना, साथ ही आध्यात्मिक रूप से खुद को शुद्ध करना, एक सतत प्रक्रिया है और इसे ऐसे ही माना जाना चाहिए। मैं सिर्फ दीपावाली के लिए ही सफाई नहीं करती, बल्कि धनतेरस (या उससे भी पहले) से ही सफाई शुरू कर देती हूंं। मैं अपने फर्नीचर को भी एक इंच के अंतर से हिलाती हूं, ताकि नई ऊर्जा आ सके।”

अपने बचपन के दिनों को याद करते हुए अभिनेत्री ने कहा, “जब मैं छोटी थी, तो मेरी मां हमेशा यह सुनिश्चित करती थी कि हम धनतेरस पर कुछ न कुछ खरीदें, आमतौर पर इस दिन बर्तन खरीदने की परंपरा थी। लेकिन, जब मैं मुंबई चली गई, तो मैंने इसके बजाय चांदी के सिक्के खरीदने की परंपरा शुरू की।”

पुराने समय को याद करते हुए उन्‍होंने कहा, ”हमारे पास खर्च करने के लिए बहुत कुछ नहीं था, इसलिए धनतेरस पर हमेशा ही कुछ खरीदने का दबाव रहता था। आज, मैं इस बात के लिए आभारी हूं कि मैं अपने तरीके से इन परंपराओं का पालन कर सकती हूं। अब मैं काम करती हूं और इन रीति-रिवाजों का सम्मान करने के लिए पैसे अलग रखती हूं।”

उन्होंने कहा कि उनका सभी के लिए संदेश यह है कि केवल अपने घर और आस-पास की सफाई ही नहीं, बल्कि अपने भीतर की सफाई भी जरूरी है।

उन्होंने कहा, “पूजा के लिए बैठते समय, अपने दिमाग को छोटी-छोटी बातों पर न भटकने दें। इसके बजाय, अपने भीतर ध्यान केंद्रित करें और पूजा की सकारात्मकता को अपने अंदर समाहित होने दें। जब आपका भीतरी मन शांत होता है, तो बाहरी चीजें उतनी मायने नहीं रखती।”

उनके करियर पर नजर डालें तो वह सन नियो पर प्रसारित होने वाले शो “छठी मैया की बिटिया” में नजर आ रही हैं। यह शो सन नियो पर प्रसारित होता है।

–आईएएनएस

एमकेएस/जीकेटी

ADVERTISEMENT

मुंबई, 24 अक्टूबर (आईएएनएस)। धनतेरस के त्‍याैहार को लेकर अभिनेत्री जया भट्टाचार्य ने अपने पुराने समय को याद करते हुए कहा कि पहले इस त्‍याैहार पर खरीदारी करने का दबाव रहता था और खर्च करने के लिए ज्‍यादा पैसे नहीं होते थे।

29 अक्टूबर को मनाए जाने वाले धनतेरस के बारे में बात करते हुए जया ने कहा, “धनतेरस के दिन पूरे देश में दीये जलाने की शुरुआत होती है। मेरा मानना ​​है कि यह सर्दी के मौसम में गर्मी लाने का संकेत है। यह अवांछित कीटों को भी दूर रखने में मदद करता है, जो इस मौसम में दिखाई देते हैं।”

अभिनेत्री ने आगे कहा, “घर की सफाई करना, साथ ही आध्यात्मिक रूप से खुद को शुद्ध करना, एक सतत प्रक्रिया है और इसे ऐसे ही माना जाना चाहिए। मैं सिर्फ दीपावाली के लिए ही सफाई नहीं करती, बल्कि धनतेरस (या उससे भी पहले) से ही सफाई शुरू कर देती हूंं। मैं अपने फर्नीचर को भी एक इंच के अंतर से हिलाती हूं, ताकि नई ऊर्जा आ सके।”

अपने बचपन के दिनों को याद करते हुए अभिनेत्री ने कहा, “जब मैं छोटी थी, तो मेरी मां हमेशा यह सुनिश्चित करती थी कि हम धनतेरस पर कुछ न कुछ खरीदें, आमतौर पर इस दिन बर्तन खरीदने की परंपरा थी। लेकिन, जब मैं मुंबई चली गई, तो मैंने इसके बजाय चांदी के सिक्के खरीदने की परंपरा शुरू की।”

पुराने समय को याद करते हुए उन्‍होंने कहा, ”हमारे पास खर्च करने के लिए बहुत कुछ नहीं था, इसलिए धनतेरस पर हमेशा ही कुछ खरीदने का दबाव रहता था। आज, मैं इस बात के लिए आभारी हूं कि मैं अपने तरीके से इन परंपराओं का पालन कर सकती हूं। अब मैं काम करती हूं और इन रीति-रिवाजों का सम्मान करने के लिए पैसे अलग रखती हूं।”

उन्होंने कहा कि उनका सभी के लिए संदेश यह है कि केवल अपने घर और आस-पास की सफाई ही नहीं, बल्कि अपने भीतर की सफाई भी जरूरी है।

उन्होंने कहा, “पूजा के लिए बैठते समय, अपने दिमाग को छोटी-छोटी बातों पर न भटकने दें। इसके बजाय, अपने भीतर ध्यान केंद्रित करें और पूजा की सकारात्मकता को अपने अंदर समाहित होने दें। जब आपका भीतरी मन शांत होता है, तो बाहरी चीजें उतनी मायने नहीं रखती।”

उनके करियर पर नजर डालें तो वह सन नियो पर प्रसारित होने वाले शो “छठी मैया की बिटिया” में नजर आ रही हैं। यह शो सन नियो पर प्रसारित होता है।

–आईएएनएस

एमकेएस/जीकेटी

ADVERTISEMENT

मुंबई, 24 अक्टूबर (आईएएनएस)। धनतेरस के त्‍याैहार को लेकर अभिनेत्री जया भट्टाचार्य ने अपने पुराने समय को याद करते हुए कहा कि पहले इस त्‍याैहार पर खरीदारी करने का दबाव रहता था और खर्च करने के लिए ज्‍यादा पैसे नहीं होते थे।

29 अक्टूबर को मनाए जाने वाले धनतेरस के बारे में बात करते हुए जया ने कहा, “धनतेरस के दिन पूरे देश में दीये जलाने की शुरुआत होती है। मेरा मानना ​​है कि यह सर्दी के मौसम में गर्मी लाने का संकेत है। यह अवांछित कीटों को भी दूर रखने में मदद करता है, जो इस मौसम में दिखाई देते हैं।”

अभिनेत्री ने आगे कहा, “घर की सफाई करना, साथ ही आध्यात्मिक रूप से खुद को शुद्ध करना, एक सतत प्रक्रिया है और इसे ऐसे ही माना जाना चाहिए। मैं सिर्फ दीपावाली के लिए ही सफाई नहीं करती, बल्कि धनतेरस (या उससे भी पहले) से ही सफाई शुरू कर देती हूंं। मैं अपने फर्नीचर को भी एक इंच के अंतर से हिलाती हूं, ताकि नई ऊर्जा आ सके।”

अपने बचपन के दिनों को याद करते हुए अभिनेत्री ने कहा, “जब मैं छोटी थी, तो मेरी मां हमेशा यह सुनिश्चित करती थी कि हम धनतेरस पर कुछ न कुछ खरीदें, आमतौर पर इस दिन बर्तन खरीदने की परंपरा थी। लेकिन, जब मैं मुंबई चली गई, तो मैंने इसके बजाय चांदी के सिक्के खरीदने की परंपरा शुरू की।”

पुराने समय को याद करते हुए उन्‍होंने कहा, ”हमारे पास खर्च करने के लिए बहुत कुछ नहीं था, इसलिए धनतेरस पर हमेशा ही कुछ खरीदने का दबाव रहता था। आज, मैं इस बात के लिए आभारी हूं कि मैं अपने तरीके से इन परंपराओं का पालन कर सकती हूं। अब मैं काम करती हूं और इन रीति-रिवाजों का सम्मान करने के लिए पैसे अलग रखती हूं।”

उन्होंने कहा कि उनका सभी के लिए संदेश यह है कि केवल अपने घर और आस-पास की सफाई ही नहीं, बल्कि अपने भीतर की सफाई भी जरूरी है।

उन्होंने कहा, “पूजा के लिए बैठते समय, अपने दिमाग को छोटी-छोटी बातों पर न भटकने दें। इसके बजाय, अपने भीतर ध्यान केंद्रित करें और पूजा की सकारात्मकता को अपने अंदर समाहित होने दें। जब आपका भीतरी मन शांत होता है, तो बाहरी चीजें उतनी मायने नहीं रखती।”

उनके करियर पर नजर डालें तो वह सन नियो पर प्रसारित होने वाले शो “छठी मैया की बिटिया” में नजर आ रही हैं। यह शो सन नियो पर प्रसारित होता है।

–आईएएनएस

एमकेएस/जीकेटी

ADVERTISEMENT

मुंबई, 24 अक्टूबर (आईएएनएस)। धनतेरस के त्‍याैहार को लेकर अभिनेत्री जया भट्टाचार्य ने अपने पुराने समय को याद करते हुए कहा कि पहले इस त्‍याैहार पर खरीदारी करने का दबाव रहता था और खर्च करने के लिए ज्‍यादा पैसे नहीं होते थे।

29 अक्टूबर को मनाए जाने वाले धनतेरस के बारे में बात करते हुए जया ने कहा, “धनतेरस के दिन पूरे देश में दीये जलाने की शुरुआत होती है। मेरा मानना ​​है कि यह सर्दी के मौसम में गर्मी लाने का संकेत है। यह अवांछित कीटों को भी दूर रखने में मदद करता है, जो इस मौसम में दिखाई देते हैं।”

अभिनेत्री ने आगे कहा, “घर की सफाई करना, साथ ही आध्यात्मिक रूप से खुद को शुद्ध करना, एक सतत प्रक्रिया है और इसे ऐसे ही माना जाना चाहिए। मैं सिर्फ दीपावाली के लिए ही सफाई नहीं करती, बल्कि धनतेरस (या उससे भी पहले) से ही सफाई शुरू कर देती हूंं। मैं अपने फर्नीचर को भी एक इंच के अंतर से हिलाती हूं, ताकि नई ऊर्जा आ सके।”

अपने बचपन के दिनों को याद करते हुए अभिनेत्री ने कहा, “जब मैं छोटी थी, तो मेरी मां हमेशा यह सुनिश्चित करती थी कि हम धनतेरस पर कुछ न कुछ खरीदें, आमतौर पर इस दिन बर्तन खरीदने की परंपरा थी। लेकिन, जब मैं मुंबई चली गई, तो मैंने इसके बजाय चांदी के सिक्के खरीदने की परंपरा शुरू की।”

पुराने समय को याद करते हुए उन्‍होंने कहा, ”हमारे पास खर्च करने के लिए बहुत कुछ नहीं था, इसलिए धनतेरस पर हमेशा ही कुछ खरीदने का दबाव रहता था। आज, मैं इस बात के लिए आभारी हूं कि मैं अपने तरीके से इन परंपराओं का पालन कर सकती हूं। अब मैं काम करती हूं और इन रीति-रिवाजों का सम्मान करने के लिए पैसे अलग रखती हूं।”

उन्होंने कहा कि उनका सभी के लिए संदेश यह है कि केवल अपने घर और आस-पास की सफाई ही नहीं, बल्कि अपने भीतर की सफाई भी जरूरी है।

उन्होंने कहा, “पूजा के लिए बैठते समय, अपने दिमाग को छोटी-छोटी बातों पर न भटकने दें। इसके बजाय, अपने भीतर ध्यान केंद्रित करें और पूजा की सकारात्मकता को अपने अंदर समाहित होने दें। जब आपका भीतरी मन शांत होता है, तो बाहरी चीजें उतनी मायने नहीं रखती।”

उनके करियर पर नजर डालें तो वह सन नियो पर प्रसारित होने वाले शो “छठी मैया की बिटिया” में नजर आ रही हैं। यह शो सन नियो पर प्रसारित होता है।

–आईएएनएस

एमकेएस/जीकेटी

ADVERTISEMENT

मुंबई, 24 अक्टूबर (आईएएनएस)। धनतेरस के त्‍याैहार को लेकर अभिनेत्री जया भट्टाचार्य ने अपने पुराने समय को याद करते हुए कहा कि पहले इस त्‍याैहार पर खरीदारी करने का दबाव रहता था और खर्च करने के लिए ज्‍यादा पैसे नहीं होते थे।

29 अक्टूबर को मनाए जाने वाले धनतेरस के बारे में बात करते हुए जया ने कहा, “धनतेरस के दिन पूरे देश में दीये जलाने की शुरुआत होती है। मेरा मानना ​​है कि यह सर्दी के मौसम में गर्मी लाने का संकेत है। यह अवांछित कीटों को भी दूर रखने में मदद करता है, जो इस मौसम में दिखाई देते हैं।”

अभिनेत्री ने आगे कहा, “घर की सफाई करना, साथ ही आध्यात्मिक रूप से खुद को शुद्ध करना, एक सतत प्रक्रिया है और इसे ऐसे ही माना जाना चाहिए। मैं सिर्फ दीपावाली के लिए ही सफाई नहीं करती, बल्कि धनतेरस (या उससे भी पहले) से ही सफाई शुरू कर देती हूंं। मैं अपने फर्नीचर को भी एक इंच के अंतर से हिलाती हूं, ताकि नई ऊर्जा आ सके।”

अपने बचपन के दिनों को याद करते हुए अभिनेत्री ने कहा, “जब मैं छोटी थी, तो मेरी मां हमेशा यह सुनिश्चित करती थी कि हम धनतेरस पर कुछ न कुछ खरीदें, आमतौर पर इस दिन बर्तन खरीदने की परंपरा थी। लेकिन, जब मैं मुंबई चली गई, तो मैंने इसके बजाय चांदी के सिक्के खरीदने की परंपरा शुरू की।”

पुराने समय को याद करते हुए उन्‍होंने कहा, ”हमारे पास खर्च करने के लिए बहुत कुछ नहीं था, इसलिए धनतेरस पर हमेशा ही कुछ खरीदने का दबाव रहता था। आज, मैं इस बात के लिए आभारी हूं कि मैं अपने तरीके से इन परंपराओं का पालन कर सकती हूं। अब मैं काम करती हूं और इन रीति-रिवाजों का सम्मान करने के लिए पैसे अलग रखती हूं।”

उन्होंने कहा कि उनका सभी के लिए संदेश यह है कि केवल अपने घर और आस-पास की सफाई ही नहीं, बल्कि अपने भीतर की सफाई भी जरूरी है।

उन्होंने कहा, “पूजा के लिए बैठते समय, अपने दिमाग को छोटी-छोटी बातों पर न भटकने दें। इसके बजाय, अपने भीतर ध्यान केंद्रित करें और पूजा की सकारात्मकता को अपने अंदर समाहित होने दें। जब आपका भीतरी मन शांत होता है, तो बाहरी चीजें उतनी मायने नहीं रखती।”

उनके करियर पर नजर डालें तो वह सन नियो पर प्रसारित होने वाले शो “छठी मैया की बिटिया” में नजर आ रही हैं। यह शो सन नियो पर प्रसारित होता है।

–आईएएनएस

एमकेएस/जीकेटी

ADVERTISEMENT

मुंबई, 24 अक्टूबर (आईएएनएस)। धनतेरस के त्‍याैहार को लेकर अभिनेत्री जया भट्टाचार्य ने अपने पुराने समय को याद करते हुए कहा कि पहले इस त्‍याैहार पर खरीदारी करने का दबाव रहता था और खर्च करने के लिए ज्‍यादा पैसे नहीं होते थे।

29 अक्टूबर को मनाए जाने वाले धनतेरस के बारे में बात करते हुए जया ने कहा, “धनतेरस के दिन पूरे देश में दीये जलाने की शुरुआत होती है। मेरा मानना ​​है कि यह सर्दी के मौसम में गर्मी लाने का संकेत है। यह अवांछित कीटों को भी दूर रखने में मदद करता है, जो इस मौसम में दिखाई देते हैं।”

अभिनेत्री ने आगे कहा, “घर की सफाई करना, साथ ही आध्यात्मिक रूप से खुद को शुद्ध करना, एक सतत प्रक्रिया है और इसे ऐसे ही माना जाना चाहिए। मैं सिर्फ दीपावाली के लिए ही सफाई नहीं करती, बल्कि धनतेरस (या उससे भी पहले) से ही सफाई शुरू कर देती हूंं। मैं अपने फर्नीचर को भी एक इंच के अंतर से हिलाती हूं, ताकि नई ऊर्जा आ सके।”

अपने बचपन के दिनों को याद करते हुए अभिनेत्री ने कहा, “जब मैं छोटी थी, तो मेरी मां हमेशा यह सुनिश्चित करती थी कि हम धनतेरस पर कुछ न कुछ खरीदें, आमतौर पर इस दिन बर्तन खरीदने की परंपरा थी। लेकिन, जब मैं मुंबई चली गई, तो मैंने इसके बजाय चांदी के सिक्के खरीदने की परंपरा शुरू की।”

पुराने समय को याद करते हुए उन्‍होंने कहा, ”हमारे पास खर्च करने के लिए बहुत कुछ नहीं था, इसलिए धनतेरस पर हमेशा ही कुछ खरीदने का दबाव रहता था। आज, मैं इस बात के लिए आभारी हूं कि मैं अपने तरीके से इन परंपराओं का पालन कर सकती हूं। अब मैं काम करती हूं और इन रीति-रिवाजों का सम्मान करने के लिए पैसे अलग रखती हूं।”

उन्होंने कहा कि उनका सभी के लिए संदेश यह है कि केवल अपने घर और आस-पास की सफाई ही नहीं, बल्कि अपने भीतर की सफाई भी जरूरी है।

उन्होंने कहा, “पूजा के लिए बैठते समय, अपने दिमाग को छोटी-छोटी बातों पर न भटकने दें। इसके बजाय, अपने भीतर ध्यान केंद्रित करें और पूजा की सकारात्मकता को अपने अंदर समाहित होने दें। जब आपका भीतरी मन शांत होता है, तो बाहरी चीजें उतनी मायने नहीं रखती।”

उनके करियर पर नजर डालें तो वह सन नियो पर प्रसारित होने वाले शो “छठी मैया की बिटिया” में नजर आ रही हैं। यह शो सन नियो पर प्रसारित होता है।

–आईएएनएस

एमकेएस/जीकेटी

Related Posts

वरुण तेज और लावण्या के घर आया नन्हा मेहमान, चिरंजीवी ने पोस्ट कर दी शुभकामनाएं
मनोरंजन

वरुण तेज और लावण्या के घर आया नन्हा मेहमान, चिरंजीवी ने पोस्ट कर दी शुभकामनाएं

September 10, 2025
सोनू सूद की नेक पहल, बहन मालविका के साथ पंजाब के गांवों में पहुंचाई राहत सामग्री
मनोरंजन

सोनू सूद की नेक पहल, बहन मालविका के साथ पंजाब के गांवों में पहुंचाई राहत सामग्री

September 10, 2025
करिश्मा तन्ना ने ‘स्कूप’ की शूटिंग के पहले दिन को किया याद
मनोरंजन

करिश्मा तन्ना ने ‘स्कूप’ की शूटिंग के पहले दिन को किया याद

September 10, 2025
भोजपुरी स्टार अरविंद अकेला का ‘कजरा कमरिया’ पर धमाकेदार डांस, डिंपल सिंह के साथ मचाया धमाल
मनोरंजन

भोजपुरी स्टार अरविंद अकेला का ‘कजरा कमरिया’ पर धमाकेदार डांस, डिंपल सिंह के साथ मचाया धमाल

September 10, 2025
एक शादी से शुरू हुआ ट्यूलिप जोशी का फिल्मी सफर, जानें फिर क्यों बॉलीवुड से हो गईं दूर
मनोरंजन

एक शादी से शुरू हुआ ट्यूलिप जोशी का फिल्मी सफर, जानें फिर क्यों बॉलीवुड से हो गईं दूर

September 10, 2025
काजल राघवानी ने ‘पायल घुंघुरवाला’ गाने पर बनाया वीडियो, सोशल मीडिया पर किया शेयर
मनोरंजन

काजल राघवानी ने ‘पायल घुंघुरवाला’ गाने पर बनाया वीडियो, सोशल मीडिया पर किया शेयर

September 10, 2025
Next Post

विधिक जागरूकता एवं साक्षरता शिविर

Leave a Reply Cancel reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

ADVERTISEMENT

Contact us

Address

Deshbandhu Complex, Naudra Bridge Jabalpur 482001

Mail

deshbandhump@gmail.com

Mobile

9425156056

Important links

  • राशि-भविष्य
  • वर्गीकृत विज्ञापन
  • लाइफ स्टाइल
  • मनोरंजन
  • ब्लॉग

Important links

  • देशबन्धु जनमत
  • पाठक प्रतिक्रियाएं
  • हमें जानें
  • विज्ञापन दरें
  • ई पेपर

Related Links

  • Mayaram Surjan
  • Swayamsiddha
  • Deshbandhu

Social Links

097700
Total views : 5971345
Powered By WPS Visitor Counter

Published by Abhas Surjan on behalf of Patrakar Prakashan Pvt.Ltd., Deshbandhu Complex, Naudra Bridge, Jabalpur – 482001 |T:+91 761 4006577 |M: +91 9425156056 Disclaimer, Privacy Policy & Other Terms & Conditions The contents of this website is for reading only. Any unauthorised attempt to temper / edit / change the contents of this website comes under cyber crime and is punishable.

Copyright @ 2022 Deshbandhu. All rights are reserved.

  • Disclaimer, Privacy Policy & Other Terms & Conditions
No Result
View All Result
  • राष्ट्रीय
  • अंतरराष्ट्रीय
  • लाइफ स्टाइल
  • अर्थजगत
  • मनोरंजन
  • खेल
  • अभिमत
  • धर्म
  • विचार
  • ई पेपर

Copyright @ 2022 Deshbandhu-MP All rights are reserved.

Welcome Back!

Login to your account below

Forgotten Password? Sign Up

Create New Account!

Fill the forms below to register

All fields are required. Log In

Retrieve your password

Please enter your username or email address to reset your password.

Log In