नई दिल्ली, 31 जुलाई (आईएएनएस)। महालेखा नियंत्रक (सीजीए) द्वारा सोमवार को जारी आंकड़ों के अनुसार, चालू वित्त वर्ष की 30 जून को समाप्त पहली तिमाही में सरकार का राजकोषीय घाटा पूरे साल के लक्ष्य के 25.3 प्रतिशत पर पहुंच गया है।
आंकड़ों के मुताबिक, राजकोषीय घाटा, जो व्यय और राजस्व के बीच का अंतर है, जून के अंत तक 4,51,370 करोड़ रुपये था।
सरकार ने केंद्रीय बजट के दौरान घोषणा की थी कि वह 2023-24 में राजकोषीय घाटे को सकल घरेलू उत्पाद के 5.9 प्रतिशत तक सीमित रखने की योजना बना रही है। वित्त वर्ष 2022-23 में घाटा सकल घरेलू उत्पाद का 6.4 प्रतिशत था जबकि पहले इसके 6.71 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया गया था।
सीजीए डेटा ने आगे दिखाया कि शुद्ध कर राजस्व 4,33,620 करोड़ रुपये या चालू वित्त वर्ष के बजटीय अनुमान का 18.6 प्रतिशत था। जून 2022 के अंत के दौरान शुद्ध कर राजस्व संग्रह 26.1 प्रतिशत था।
चालू वित्त वर्ष की पहली तिमाही में केंद्र सरकार का कुल खर्च 10.5 लाख करोड़ रुपये या बजटीय अनुमान का 23.3 फीसदी रहा। पिछले वर्ष की इसी अवधि के दौरान व्यय बजटीय अनुमान का 24 प्रतिशत था।
–आईएएनएस
एकेजे
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नई दिल्ली, 31 जुलाई (आईएएनएस)। महालेखा नियंत्रक (सीजीए) द्वारा सोमवार को जारी आंकड़ों के अनुसार, चालू वित्त वर्ष की 30 जून को समाप्त पहली तिमाही में सरकार का राजकोषीय घाटा पूरे साल के लक्ष्य के 25.3 प्रतिशत पर पहुंच गया है।
आंकड़ों के मुताबिक, राजकोषीय घाटा, जो व्यय और राजस्व के बीच का अंतर है, जून के अंत तक 4,51,370 करोड़ रुपये था।
सरकार ने केंद्रीय बजट के दौरान घोषणा की थी कि वह 2023-24 में राजकोषीय घाटे को सकल घरेलू उत्पाद के 5.9 प्रतिशत तक सीमित रखने की योजना बना रही है। वित्त वर्ष 2022-23 में घाटा सकल घरेलू उत्पाद का 6.4 प्रतिशत था जबकि पहले इसके 6.71 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया गया था।
सीजीए डेटा ने आगे दिखाया कि शुद्ध कर राजस्व 4,33,620 करोड़ रुपये या चालू वित्त वर्ष के बजटीय अनुमान का 18.6 प्रतिशत था। जून 2022 के अंत के दौरान शुद्ध कर राजस्व संग्रह 26.1 प्रतिशत था।
चालू वित्त वर्ष की पहली तिमाही में केंद्र सरकार का कुल खर्च 10.5 लाख करोड़ रुपये या बजटीय अनुमान का 23.3 फीसदी रहा। पिछले वर्ष की इसी अवधि के दौरान व्यय बजटीय अनुमान का 24 प्रतिशत था।
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आंकड़ों के मुताबिक, राजकोषीय घाटा, जो व्यय और राजस्व के बीच का अंतर है, जून के अंत तक 4,51,370 करोड़ रुपये था।
सरकार ने केंद्रीय बजट के दौरान घोषणा की थी कि वह 2023-24 में राजकोषीय घाटे को सकल घरेलू उत्पाद के 5.9 प्रतिशत तक सीमित रखने की योजना बना रही है। वित्त वर्ष 2022-23 में घाटा सकल घरेलू उत्पाद का 6.4 प्रतिशत था जबकि पहले इसके 6.71 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया गया था।
सीजीए डेटा ने आगे दिखाया कि शुद्ध कर राजस्व 4,33,620 करोड़ रुपये या चालू वित्त वर्ष के बजटीय अनुमान का 18.6 प्रतिशत था। जून 2022 के अंत के दौरान शुद्ध कर राजस्व संग्रह 26.1 प्रतिशत था।
चालू वित्त वर्ष की पहली तिमाही में केंद्र सरकार का कुल खर्च 10.5 लाख करोड़ रुपये या बजटीय अनुमान का 23.3 फीसदी रहा। पिछले वर्ष की इसी अवधि के दौरान व्यय बजटीय अनुमान का 24 प्रतिशत था।
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आंकड़ों के मुताबिक, राजकोषीय घाटा, जो व्यय और राजस्व के बीच का अंतर है, जून के अंत तक 4,51,370 करोड़ रुपये था।
सरकार ने केंद्रीय बजट के दौरान घोषणा की थी कि वह 2023-24 में राजकोषीय घाटे को सकल घरेलू उत्पाद के 5.9 प्रतिशत तक सीमित रखने की योजना बना रही है। वित्त वर्ष 2022-23 में घाटा सकल घरेलू उत्पाद का 6.4 प्रतिशत था जबकि पहले इसके 6.71 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया गया था।
सीजीए डेटा ने आगे दिखाया कि शुद्ध कर राजस्व 4,33,620 करोड़ रुपये या चालू वित्त वर्ष के बजटीय अनुमान का 18.6 प्रतिशत था। जून 2022 के अंत के दौरान शुद्ध कर राजस्व संग्रह 26.1 प्रतिशत था।
चालू वित्त वर्ष की पहली तिमाही में केंद्र सरकार का कुल खर्च 10.5 लाख करोड़ रुपये या बजटीय अनुमान का 23.3 फीसदी रहा। पिछले वर्ष की इसी अवधि के दौरान व्यय बजटीय अनुमान का 24 प्रतिशत था।
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आंकड़ों के मुताबिक, राजकोषीय घाटा, जो व्यय और राजस्व के बीच का अंतर है, जून के अंत तक 4,51,370 करोड़ रुपये था।
सरकार ने केंद्रीय बजट के दौरान घोषणा की थी कि वह 2023-24 में राजकोषीय घाटे को सकल घरेलू उत्पाद के 5.9 प्रतिशत तक सीमित रखने की योजना बना रही है। वित्त वर्ष 2022-23 में घाटा सकल घरेलू उत्पाद का 6.4 प्रतिशत था जबकि पहले इसके 6.71 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया गया था।
सीजीए डेटा ने आगे दिखाया कि शुद्ध कर राजस्व 4,33,620 करोड़ रुपये या चालू वित्त वर्ष के बजटीय अनुमान का 18.6 प्रतिशत था। जून 2022 के अंत के दौरान शुद्ध कर राजस्व संग्रह 26.1 प्रतिशत था।
चालू वित्त वर्ष की पहली तिमाही में केंद्र सरकार का कुल खर्च 10.5 लाख करोड़ रुपये या बजटीय अनुमान का 23.3 फीसदी रहा। पिछले वर्ष की इसी अवधि के दौरान व्यय बजटीय अनुमान का 24 प्रतिशत था।
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आंकड़ों के मुताबिक, राजकोषीय घाटा, जो व्यय और राजस्व के बीच का अंतर है, जून के अंत तक 4,51,370 करोड़ रुपये था।
सरकार ने केंद्रीय बजट के दौरान घोषणा की थी कि वह 2023-24 में राजकोषीय घाटे को सकल घरेलू उत्पाद के 5.9 प्रतिशत तक सीमित रखने की योजना बना रही है। वित्त वर्ष 2022-23 में घाटा सकल घरेलू उत्पाद का 6.4 प्रतिशत था जबकि पहले इसके 6.71 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया गया था।
सीजीए डेटा ने आगे दिखाया कि शुद्ध कर राजस्व 4,33,620 करोड़ रुपये या चालू वित्त वर्ष के बजटीय अनुमान का 18.6 प्रतिशत था। जून 2022 के अंत के दौरान शुद्ध कर राजस्व संग्रह 26.1 प्रतिशत था।
चालू वित्त वर्ष की पहली तिमाही में केंद्र सरकार का कुल खर्च 10.5 लाख करोड़ रुपये या बजटीय अनुमान का 23.3 फीसदी रहा। पिछले वर्ष की इसी अवधि के दौरान व्यय बजटीय अनुमान का 24 प्रतिशत था।
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आंकड़ों के मुताबिक, राजकोषीय घाटा, जो व्यय और राजस्व के बीच का अंतर है, जून के अंत तक 4,51,370 करोड़ रुपये था।
सरकार ने केंद्रीय बजट के दौरान घोषणा की थी कि वह 2023-24 में राजकोषीय घाटे को सकल घरेलू उत्पाद के 5.9 प्रतिशत तक सीमित रखने की योजना बना रही है। वित्त वर्ष 2022-23 में घाटा सकल घरेलू उत्पाद का 6.4 प्रतिशत था जबकि पहले इसके 6.71 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया गया था।
सीजीए डेटा ने आगे दिखाया कि शुद्ध कर राजस्व 4,33,620 करोड़ रुपये या चालू वित्त वर्ष के बजटीय अनुमान का 18.6 प्रतिशत था। जून 2022 के अंत के दौरान शुद्ध कर राजस्व संग्रह 26.1 प्रतिशत था।
चालू वित्त वर्ष की पहली तिमाही में केंद्र सरकार का कुल खर्च 10.5 लाख करोड़ रुपये या बजटीय अनुमान का 23.3 फीसदी रहा। पिछले वर्ष की इसी अवधि के दौरान व्यय बजटीय अनुमान का 24 प्रतिशत था।
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आंकड़ों के मुताबिक, राजकोषीय घाटा, जो व्यय और राजस्व के बीच का अंतर है, जून के अंत तक 4,51,370 करोड़ रुपये था।
सरकार ने केंद्रीय बजट के दौरान घोषणा की थी कि वह 2023-24 में राजकोषीय घाटे को सकल घरेलू उत्पाद के 5.9 प्रतिशत तक सीमित रखने की योजना बना रही है। वित्त वर्ष 2022-23 में घाटा सकल घरेलू उत्पाद का 6.4 प्रतिशत था जबकि पहले इसके 6.71 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया गया था।
सीजीए डेटा ने आगे दिखाया कि शुद्ध कर राजस्व 4,33,620 करोड़ रुपये या चालू वित्त वर्ष के बजटीय अनुमान का 18.6 प्रतिशत था। जून 2022 के अंत के दौरान शुद्ध कर राजस्व संग्रह 26.1 प्रतिशत था।
चालू वित्त वर्ष की पहली तिमाही में केंद्र सरकार का कुल खर्च 10.5 लाख करोड़ रुपये या बजटीय अनुमान का 23.3 फीसदी रहा। पिछले वर्ष की इसी अवधि के दौरान व्यय बजटीय अनुमान का 24 प्रतिशत था।
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सरकार ने केंद्रीय बजट के दौरान घोषणा की थी कि वह 2023-24 में राजकोषीय घाटे को सकल घरेलू उत्पाद के 5.9 प्रतिशत तक सीमित रखने की योजना बना रही है। वित्त वर्ष 2022-23 में घाटा सकल घरेलू उत्पाद का 6.4 प्रतिशत था जबकि पहले इसके 6.71 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया गया था।
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आंकड़ों के मुताबिक, राजकोषीय घाटा, जो व्यय और राजस्व के बीच का अंतर है, जून के अंत तक 4,51,370 करोड़ रुपये था।
सरकार ने केंद्रीय बजट के दौरान घोषणा की थी कि वह 2023-24 में राजकोषीय घाटे को सकल घरेलू उत्पाद के 5.9 प्रतिशत तक सीमित रखने की योजना बना रही है। वित्त वर्ष 2022-23 में घाटा सकल घरेलू उत्पाद का 6.4 प्रतिशत था जबकि पहले इसके 6.71 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया गया था।
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चालू वित्त वर्ष की पहली तिमाही में केंद्र सरकार का कुल खर्च 10.5 लाख करोड़ रुपये या बजटीय अनुमान का 23.3 फीसदी रहा। पिछले वर्ष की इसी अवधि के दौरान व्यय बजटीय अनुमान का 24 प्रतिशत था।
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आंकड़ों के मुताबिक, राजकोषीय घाटा, जो व्यय और राजस्व के बीच का अंतर है, जून के अंत तक 4,51,370 करोड़ रुपये था।
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आंकड़ों के मुताबिक, राजकोषीय घाटा, जो व्यय और राजस्व के बीच का अंतर है, जून के अंत तक 4,51,370 करोड़ रुपये था।
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सीजीए डेटा ने आगे दिखाया कि शुद्ध कर राजस्व 4,33,620 करोड़ रुपये या चालू वित्त वर्ष के बजटीय अनुमान का 18.6 प्रतिशत था। जून 2022 के अंत के दौरान शुद्ध कर राजस्व संग्रह 26.1 प्रतिशत था।
चालू वित्त वर्ष की पहली तिमाही में केंद्र सरकार का कुल खर्च 10.5 लाख करोड़ रुपये या बजटीय अनुमान का 23.3 फीसदी रहा। पिछले वर्ष की इसी अवधि के दौरान व्यय बजटीय अनुमान का 24 प्रतिशत था।
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आंकड़ों के मुताबिक, राजकोषीय घाटा, जो व्यय और राजस्व के बीच का अंतर है, जून के अंत तक 4,51,370 करोड़ रुपये था।
सरकार ने केंद्रीय बजट के दौरान घोषणा की थी कि वह 2023-24 में राजकोषीय घाटे को सकल घरेलू उत्पाद के 5.9 प्रतिशत तक सीमित रखने की योजना बना रही है। वित्त वर्ष 2022-23 में घाटा सकल घरेलू उत्पाद का 6.4 प्रतिशत था जबकि पहले इसके 6.71 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया गया था।
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