पटना, 14 मई (आईएएनएस)। बिहार के उप मुख्यमंत्री विजय कुमार सिन्हा ने बुधवार को कहा कि इस वर्ष मानसून के दौरान प्रदेश में बालू की कोई किल्लत नहीं होगी।
उन्होंने कहा कि 15 जून से बरसात को लेकर बालू घाट बंद कर दिए जाते हैं, जिससे निर्माण कार्यों में बाधा आती है। लेकिन इस वर्ष सरकार ने समय से पहले तैयारी कर ली है, जिससे विकास योजनाएं या अन्य निर्माण कार्य बाधित नहीं होंगे।
खनन विभाग द्वारा आयोजित एक प्रेस वार्ता में उन्होंने कहा कि मानसून के बाद भी राज्य के 180 बालू घाटों से बालू की आपूर्ति जारी रहेगी। इनमें 18 घाट सफेद बालू के हैं। बालू की कीमत शेड्यूल रेट पर तय की गई है, जिससे निर्माण कार्यों में कोई अतिरिक्त बोझ न पड़े।
उन्होंने जोर देकर कहा कि 2024-25 में खनन विभाग को अब तक 3,569 करोड़ रुपए का राजस्व प्राप्त हुआ है, जो निर्धारित लक्ष्य से अधिक है।
उन्होंने कहा कि खनन विभाग के अंदर जो माफियाओं का वर्चस्व था, उसे समाप्त कर दिया गया है। यह राज्य की खनन नीति और प्रशासनिक कार्यक्षमता का प्रमाण है।
उपमुख्यमंत्री ने बताया कि पूर्व में सरेंडर किए गए 37 घाटों में से 29 घाटों की नीलामी प्रक्रिया शुरू की जा चुकी है और 14 घाटों की नीलामी पूरी हो चुकी है। पीला बालू के कुल 457 घाटों में से फिलहाल 161 घाट सक्रिय हैं और इनसे बालू की आपूर्ति हो रही है।
उपमुख्यमंत्री ने कहा कि बालू की मांग को ध्यान में रखते हुए विभिन्न विभागों के अधिकारियों के साथ बैठक की गई है और उन्हें बता दिया गया है कि अगर जरूरत पड़ी तो उन्हें आवश्यकतानुसार खनन पट्टा भी दिया जाएगा। बालू, पत्थर और मिट्टी जैसे संसाधनों को लेकर कोई भी विभाग अपनी जिम्मेदारियों से पीछे न हटे। खनन विभाग सभी आवश्यक निर्माण संसाधनों की पर्याप्त आपूर्ति करने में सक्षम है और आपूर्ति की जाएगी।
–आईएएनएस
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