सिंगापुर, 5 फरवरी (आईएएनएस)। भारतीय मूल के मंत्री सुब्रमण्यम ईश्वरन के मामले में जांच समिति (सीओआई) पर फैसले लेने से पहले सिंगापुर संसद उनके खिलाफ अदालती मामले के समाप्त होने का इंतजार करेगी। इसकी जानकारी सदन की नेता इंद्राणी राजा ने सोमवार को दी।
भ्रष्टाचार की जांच में अपराधों के 27 आरोपों का सामना करने के बाद ईश्वरन ने पिछले महीने परिवहन मंत्री के रूप में पद छोड़ दिया। उन्हें जुलाई 2023 में गिरफ्तार किया गया और बाद में जमानत पर रिहा कर दिया गया।
द स्ट्रेट्स टाइम्स की रिपोर्ट के अनुसार, संसद में एक सांसद के सवाल का जवाब देते हुए, इंद्राणी राजा ने कहा, “सीओआई का काम यह पता लगाना है कि यह कैसे हुआ।”
“इस मामले में, सीपीआईबी (भ्रष्ट आचरण जांच ब्यूरो) ने मामले की जांच की है। जांच के आधार पर, अटॉर्नी जनरल के चैंबर्स ने विचार किया कि ईश्वरन के खिलाफ आपराधिक आरोप लगाए जाने का आधार है।”
राजा ने कहा, “आपराधिक अपराधों का निर्धारण अदालत का मामला है। वर्तमान में यह मामला अदालत में चल रहा है। अगर कुछ और करने की जरूरत है तो निर्णय लेने से पहले हमें अदालती कार्यवाही समाप्त होने का इंतजार करना चाहिए।”
उन्होंने कहा कि जिन लोगों पर गलत काम करने का आरोप है, उन पर कार्रवाई की जानी चाहिए।
18 जनवरी को राज्य की अदालतों में पहुंचकर, ईश्वरन ने कहा कि वह निर्दोष हैं। उन्होंने अपने खिलाफ सभी आरोपों को खारिज कर किया।
अदालती दस्तावेज़ों के अनुसार, ईश्वरन पर लगे अधिकांश आरोपों में अरबपति होटल कारोबारी ऑन्ग बेंग सेंग का नाम जुड़ा है। आरोप पत्र में कहा गया है कि ईश्वरन को 2015 और 2022 के बीच ओंग से 3,84,000 सिंगापुर डॉलर से अधिक की मूल्यवान चीजें प्राप्त हुईं। इनमें म्यूजिक शो, प्राइवेट प्लेन राइड, आलीशान होटलों में ठहरना, फुटबॉल मैच और मुफ्त ग्रैंड प्रिक्स की टिकट शामिल है।
18 जनवरी को मीडिया को दिए अपने बयान में, ईश्वरन ने कहा कि वह अपने काटे हुए मासिक वेतन 8,500 सिंगापुर डॉलर और सांसद भत्ता लौटा देंगे, जो उन्हें जुलाई 2023 में जांच शुरू होने के बाद से मिले थे।
उन्होंने प्रधान मंत्री ली सीन लूंग को लिखे एक पत्र में कहा, ”मेरे परिवार और मैंने पैसे लौटाने का फैसला किया है। मैं जांच के चलते एक मंत्री और संसद सदस्य के रूप में अपने कर्तव्यों का पालन करने में असमर्थ था, ऐसे में हम उस लाभ को वहन नहीं कर सकते।”
ईश्वरन का प्री-ट्रायल 1 मार्च को निर्धारित है।
–आईएएनएस
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