रांची, 6 मई (आईएएनएस)। झारखंड के ग्रामीण विकास मंत्री आलमगीर आलम के पीएस संजीव कुमार लाल के घरेलू सहायक जहांगीर के घर मिले नोटों की गिनती जारी है। बरामद रकम 30 करोड़ के ऊपर जा सकती है। पीएनबी के अफसर मशीनों से गिनती में जुटे हैं।
जहांगीर रांची में हरमू स्थित सर सैयद रेजिडेंसी में रहता है। उसे पगार के तौर पर महज कुछ हजार रुपए मिलते थे। यह तय माना जा रहा है कि रकम की स्रोत की जांच शुरू होते ही इसकी आंच मंत्री आलमगीर आलम तक भी पहुंचेगी। आलमगीर झारखंड में कांग्रेस विधायक दल के नेता भी हैं। बतौर मंत्री उनके अधीन ग्रामीण विकास और संसदीय कार्य विभाग हैं।
इस बीच मंत्री आलमगीर आलम ने कहा, “मैं ईडी की छापेमारी की खबर टीवी पर देख रहा हूं। संजीव कुमार मुझसे पहले दो मंत्रियों के पीएस रह चुके हैं। अनुभव देखकर उन्हें अपना पीएस रखा था। इससे ज्यादा इस मामले में फिलहाल कुछ भी कहना उचित नहीं होगा।”
बता दें कि झारखंड के ग्रामीण विकास विभाग के चीफ इंजीनियर रहे बीरेंद्र राम के ठिकानों पर ईडी ने फरवरी, 2023 में छापेमारी की थी, तब नगदी सहित करोड़ों की अवैध संपत्ति का पता चला था। बीरेंद्र राम इस मामले में फिलहाल जेल में है और उनके खिलाफ ईडी चार्जशीट भी फाइल कर चुकी है। इसी मामले की जांच आगे बढ़ने पर अब मंत्री के पीएस संजीव कुमार लाल, इंजीनियर कुलदीप मिंज, बिल्डर मुन्ना सिंह सहित कई अन्य लोगों के नौ ठिकानों पर छापेमारी की गई है।
रांची के पीपी कंपाउंड में बिल्डर मुन्ना सिंह के ठिकानों से भी पांच करोड़ मिलने की खबर है। बताया गया कि संजीव कुमार लाल के घरेलू नौकर जहांगीर आलम के गाड़ीखाना स्थित आवास से नोटों का जखीरा मिला। ये नोट अलग-अलग थैलों, बैग, आलमारी में रखे गए थे।
जहांगीर आलम को घरेलू कामकाज करने के एवज में महज कुछ हजार रुपए की पगार मिलती थी। यह माना जा रहा है कि ये रुपए विभिन्न सरकारी योजनाओं में कमीशन और रिश्वत के जरिए जुटाए गए थे। नोटों की गिनती के लिए पंजाब नेशनल बैंक के अफसरों को बुलाया गया है।
–आईएएनएस
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