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Home ताज़ा समाचार

मप्र में अब शिवराज सरकार की पिछड़ा और अल्पसंख्यक वर्ग को लुभाने की जुगत

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December 6, 2022
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मप्र में अब शिवराज सरकार की पिछड़ा और अल्पसंख्यक वर्ग को लुभाने की जुगत
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भोपाल, 6 दिसंबर (आईएएनएस)। मध्य प्रदेश में शिवराज सरकार ने पिछड़ा और अल्प संख्यकों का दिल जीतने के लिए बड़ा दाव चला है। इन दोनों वर्गों के लिए स्वरोजगार उपलब्ध कराने जहां योजना को मंजूरी दी गई है, वहीं पिछड़े वर्ग के बेरोजगार युवक-युवतियों को विदेश में रोजगार उपलब्ध कराने की योजना – 2022 को स्वीकृति प्रदान की गई है।

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की अध्यक्षता में मंत्रालय में मंत्रि-परिषद की बैठक में पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक वर्ग के व्यक्तियों को उद्यम एवं स्व-रोजगार उपलब्ध कराने के लिए मुख्यमंत्री पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक उद्यम – स्वरोजगार योजना-2022 स्वीकृत की गई। योजना में वित्तीय वर्ष 2022-23 के लिए सात करोड़ 50 लाख रुपए तथा आगामी दो वर्षों के लिये कुल 42 करोड़ 50 लाख रुपए की स्वीकृति प्रदान की गई। योजना से वर्ष 2022-23 एवं आगामी दो वर्षों में उद्यम के लिये छह हजार एवं स्व-रोजगार के लिये 30 हजार व्यक्तियों को लाभान्वित किया जा सकेगा।

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इस योजना को मुख्यमंत्री उद्यम क्रांति योजना की तर्ज पर संचालित किया जायेगा। योजना में नये उद्योगों की स्थापना के लिये सहायता दी जायेगी। परिवार की वार्षिक आय अधिकतम 12 लाख रुपए तक होना चाहिये। उद्योग या निर्माण इकाई के लिये एक लाख से 50 लाख रुपए तक की परियोजनाएँ स्वीकृत हो सकेंगी। बैंक से लिये गये लोन पर तीन प्रतिशत की दर से ब्याज अनुदान सात वर्ष तक दिया जायेगा।

नवीन स्व-रोजगार की स्थापना के लिये स्व-रोजगार योजना में सहायता दी जायेगी। सभी प्रकार के स्व-रोजगार के लिये 10 हजार से एक लाख रुपए तक की परियोजनाएँ स्वीकृत हो सकेंगी। बैंक से लिये गये लोन पर तीन प्रतिशत की दर से ब्याज अनुदान सात वर्ष तक दिया जायेगा। योजना में अगले तीन वर्ष में 30 हजार हितग्राहियों को 12 करोड़ 50 लाख रुपए तक की परियोजनाओं में सहायता देने का लक्ष्य है।

मंत्रि-परिषद द्वारा ह्यपिछड़े वर्ग के बेरोजगार युवक-युवतियों को विदेश में रोजगार उपलब्ध कराने की योजना – 2022 को स्वीकृति प्रदान की गई। योजना में आगामी तीन वर्षों में प्रतिवर्ष प्रदेश के पिछड़ा वर्ग के चयनित लगभग 200 युवाओं को नियोक्ता की मांग अनुसार साफ्ट स्किल एवं आवश्यक लेंग्वेज का प्रशिक्षण देकर आकर्षक वेतन पर विदेश में रोजगार उपलब्ध कराया जाएगा।

पिछड़ वर्ग के युवाओं को जापान में नियोक्ता की माँग एवं रोजगार की उपलब्धता के अनुसार जापानी भाषा का प्रशिक्षण प्रदान कर रोजगार उपलब्ध कराया जाना है। प्रदेश के पिछड़ा वर्ग के पात्र 200 इच्छुक युवाओं को प्रशिक्षण प्रदान कर तीन से पांच वर्ष की अवधि के लिए रोजगार हेतु जापान भेजा जाएगा। प्रति युवा दो लाख 1800 रुपए का व्यय होगा। इसमें राज्य सरकार का अंशदान 50.45 प्रतिशत एवं लाभार्थी का अंशदान 49.55 प्रतिशत रहेगा। लाभार्थी को अपने अंशदान का 75 प्रतिशत तक ऋण उपलब्ध कराया जाएगा। योजना के प्रारंभिक 3 वर्षों में अनुमानित 6 करोड़ रूपए का व्यय होगा।

मंत्रि-परिषद की बैठक में मध्यप्रदेश आवास पुनर्विकास नीति- 2022 का अनुमोदन दिया गया। शहरों में स्थित पुराने और जीर्ण-शीर्ण मकानों को तोड़ कर रहवासियों को नवीन, बेहतर, आधुनिक एवं सुविधायुक्त आवास उपलब्ध कराने तथा शहरी भूमि का अनुकूलतम उपयोग के उद्देश्य से मध्यप्रदेश आवास पुनर्विकास नीति- 2022 का अनुमोदन किया गया।

मंत्रि-परिषद द्वारा पवित्र क्षिप्रा नदी में कान्ह नदी के दूषित जल को मिलने से रोकने के लिए उज्जैन जिले की कान्ह डायवर्सन क्लोज डक्ट परियोजना के लिये 598 करोड़ 66 लाख रुपए की सिंहस्थ मद अंतर्गत प्रशासकीय स्वीकृति दी गई। निर्माण एजेंसी 15 वर्षो तक इसका रख-रखाव कार्य भी करेगी।

–आईएएनएस

एसएनपी/एएनएम

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भोपाल, 6 दिसंबर (आईएएनएस)। मध्य प्रदेश में शिवराज सरकार ने पिछड़ा और अल्प संख्यकों का दिल जीतने के लिए बड़ा दाव चला है। इन दोनों वर्गों के लिए स्वरोजगार उपलब्ध कराने जहां योजना को मंजूरी दी गई है, वहीं पिछड़े वर्ग के बेरोजगार युवक-युवतियों को विदेश में रोजगार उपलब्ध कराने की योजना – 2022 को स्वीकृति प्रदान की गई है।

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की अध्यक्षता में मंत्रालय में मंत्रि-परिषद की बैठक में पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक वर्ग के व्यक्तियों को उद्यम एवं स्व-रोजगार उपलब्ध कराने के लिए मुख्यमंत्री पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक उद्यम – स्वरोजगार योजना-2022 स्वीकृत की गई। योजना में वित्तीय वर्ष 2022-23 के लिए सात करोड़ 50 लाख रुपए तथा आगामी दो वर्षों के लिये कुल 42 करोड़ 50 लाख रुपए की स्वीकृति प्रदान की गई। योजना से वर्ष 2022-23 एवं आगामी दो वर्षों में उद्यम के लिये छह हजार एवं स्व-रोजगार के लिये 30 हजार व्यक्तियों को लाभान्वित किया जा सकेगा।

इस योजना को मुख्यमंत्री उद्यम क्रांति योजना की तर्ज पर संचालित किया जायेगा। योजना में नये उद्योगों की स्थापना के लिये सहायता दी जायेगी। परिवार की वार्षिक आय अधिकतम 12 लाख रुपए तक होना चाहिये। उद्योग या निर्माण इकाई के लिये एक लाख से 50 लाख रुपए तक की परियोजनाएँ स्वीकृत हो सकेंगी। बैंक से लिये गये लोन पर तीन प्रतिशत की दर से ब्याज अनुदान सात वर्ष तक दिया जायेगा।

नवीन स्व-रोजगार की स्थापना के लिये स्व-रोजगार योजना में सहायता दी जायेगी। सभी प्रकार के स्व-रोजगार के लिये 10 हजार से एक लाख रुपए तक की परियोजनाएँ स्वीकृत हो सकेंगी। बैंक से लिये गये लोन पर तीन प्रतिशत की दर से ब्याज अनुदान सात वर्ष तक दिया जायेगा। योजना में अगले तीन वर्ष में 30 हजार हितग्राहियों को 12 करोड़ 50 लाख रुपए तक की परियोजनाओं में सहायता देने का लक्ष्य है।

मंत्रि-परिषद द्वारा ह्यपिछड़े वर्ग के बेरोजगार युवक-युवतियों को विदेश में रोजगार उपलब्ध कराने की योजना – 2022 को स्वीकृति प्रदान की गई। योजना में आगामी तीन वर्षों में प्रतिवर्ष प्रदेश के पिछड़ा वर्ग के चयनित लगभग 200 युवाओं को नियोक्ता की मांग अनुसार साफ्ट स्किल एवं आवश्यक लेंग्वेज का प्रशिक्षण देकर आकर्षक वेतन पर विदेश में रोजगार उपलब्ध कराया जाएगा।

पिछड़ वर्ग के युवाओं को जापान में नियोक्ता की माँग एवं रोजगार की उपलब्धता के अनुसार जापानी भाषा का प्रशिक्षण प्रदान कर रोजगार उपलब्ध कराया जाना है। प्रदेश के पिछड़ा वर्ग के पात्र 200 इच्छुक युवाओं को प्रशिक्षण प्रदान कर तीन से पांच वर्ष की अवधि के लिए रोजगार हेतु जापान भेजा जाएगा। प्रति युवा दो लाख 1800 रुपए का व्यय होगा। इसमें राज्य सरकार का अंशदान 50.45 प्रतिशत एवं लाभार्थी का अंशदान 49.55 प्रतिशत रहेगा। लाभार्थी को अपने अंशदान का 75 प्रतिशत तक ऋण उपलब्ध कराया जाएगा। योजना के प्रारंभिक 3 वर्षों में अनुमानित 6 करोड़ रूपए का व्यय होगा।

मंत्रि-परिषद की बैठक में मध्यप्रदेश आवास पुनर्विकास नीति- 2022 का अनुमोदन दिया गया। शहरों में स्थित पुराने और जीर्ण-शीर्ण मकानों को तोड़ कर रहवासियों को नवीन, बेहतर, आधुनिक एवं सुविधायुक्त आवास उपलब्ध कराने तथा शहरी भूमि का अनुकूलतम उपयोग के उद्देश्य से मध्यप्रदेश आवास पुनर्विकास नीति- 2022 का अनुमोदन किया गया।

मंत्रि-परिषद द्वारा पवित्र क्षिप्रा नदी में कान्ह नदी के दूषित जल को मिलने से रोकने के लिए उज्जैन जिले की कान्ह डायवर्सन क्लोज डक्ट परियोजना के लिये 598 करोड़ 66 लाख रुपए की सिंहस्थ मद अंतर्गत प्रशासकीय स्वीकृति दी गई। निर्माण एजेंसी 15 वर्षो तक इसका रख-रखाव कार्य भी करेगी।

–आईएएनएस

एसएनपी/एएनएम

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भोपाल, 6 दिसंबर (आईएएनएस)। मध्य प्रदेश में शिवराज सरकार ने पिछड़ा और अल्प संख्यकों का दिल जीतने के लिए बड़ा दाव चला है। इन दोनों वर्गों के लिए स्वरोजगार उपलब्ध कराने जहां योजना को मंजूरी दी गई है, वहीं पिछड़े वर्ग के बेरोजगार युवक-युवतियों को विदेश में रोजगार उपलब्ध कराने की योजना – 2022 को स्वीकृति प्रदान की गई है।

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की अध्यक्षता में मंत्रालय में मंत्रि-परिषद की बैठक में पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक वर्ग के व्यक्तियों को उद्यम एवं स्व-रोजगार उपलब्ध कराने के लिए मुख्यमंत्री पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक उद्यम – स्वरोजगार योजना-2022 स्वीकृत की गई। योजना में वित्तीय वर्ष 2022-23 के लिए सात करोड़ 50 लाख रुपए तथा आगामी दो वर्षों के लिये कुल 42 करोड़ 50 लाख रुपए की स्वीकृति प्रदान की गई। योजना से वर्ष 2022-23 एवं आगामी दो वर्षों में उद्यम के लिये छह हजार एवं स्व-रोजगार के लिये 30 हजार व्यक्तियों को लाभान्वित किया जा सकेगा।

इस योजना को मुख्यमंत्री उद्यम क्रांति योजना की तर्ज पर संचालित किया जायेगा। योजना में नये उद्योगों की स्थापना के लिये सहायता दी जायेगी। परिवार की वार्षिक आय अधिकतम 12 लाख रुपए तक होना चाहिये। उद्योग या निर्माण इकाई के लिये एक लाख से 50 लाख रुपए तक की परियोजनाएँ स्वीकृत हो सकेंगी। बैंक से लिये गये लोन पर तीन प्रतिशत की दर से ब्याज अनुदान सात वर्ष तक दिया जायेगा।

नवीन स्व-रोजगार की स्थापना के लिये स्व-रोजगार योजना में सहायता दी जायेगी। सभी प्रकार के स्व-रोजगार के लिये 10 हजार से एक लाख रुपए तक की परियोजनाएँ स्वीकृत हो सकेंगी। बैंक से लिये गये लोन पर तीन प्रतिशत की दर से ब्याज अनुदान सात वर्ष तक दिया जायेगा। योजना में अगले तीन वर्ष में 30 हजार हितग्राहियों को 12 करोड़ 50 लाख रुपए तक की परियोजनाओं में सहायता देने का लक्ष्य है।

मंत्रि-परिषद द्वारा ह्यपिछड़े वर्ग के बेरोजगार युवक-युवतियों को विदेश में रोजगार उपलब्ध कराने की योजना – 2022 को स्वीकृति प्रदान की गई। योजना में आगामी तीन वर्षों में प्रतिवर्ष प्रदेश के पिछड़ा वर्ग के चयनित लगभग 200 युवाओं को नियोक्ता की मांग अनुसार साफ्ट स्किल एवं आवश्यक लेंग्वेज का प्रशिक्षण देकर आकर्षक वेतन पर विदेश में रोजगार उपलब्ध कराया जाएगा।

पिछड़ वर्ग के युवाओं को जापान में नियोक्ता की माँग एवं रोजगार की उपलब्धता के अनुसार जापानी भाषा का प्रशिक्षण प्रदान कर रोजगार उपलब्ध कराया जाना है। प्रदेश के पिछड़ा वर्ग के पात्र 200 इच्छुक युवाओं को प्रशिक्षण प्रदान कर तीन से पांच वर्ष की अवधि के लिए रोजगार हेतु जापान भेजा जाएगा। प्रति युवा दो लाख 1800 रुपए का व्यय होगा। इसमें राज्य सरकार का अंशदान 50.45 प्रतिशत एवं लाभार्थी का अंशदान 49.55 प्रतिशत रहेगा। लाभार्थी को अपने अंशदान का 75 प्रतिशत तक ऋण उपलब्ध कराया जाएगा। योजना के प्रारंभिक 3 वर्षों में अनुमानित 6 करोड़ रूपए का व्यय होगा।

मंत्रि-परिषद की बैठक में मध्यप्रदेश आवास पुनर्विकास नीति- 2022 का अनुमोदन दिया गया। शहरों में स्थित पुराने और जीर्ण-शीर्ण मकानों को तोड़ कर रहवासियों को नवीन, बेहतर, आधुनिक एवं सुविधायुक्त आवास उपलब्ध कराने तथा शहरी भूमि का अनुकूलतम उपयोग के उद्देश्य से मध्यप्रदेश आवास पुनर्विकास नीति- 2022 का अनुमोदन किया गया।

मंत्रि-परिषद द्वारा पवित्र क्षिप्रा नदी में कान्ह नदी के दूषित जल को मिलने से रोकने के लिए उज्जैन जिले की कान्ह डायवर्सन क्लोज डक्ट परियोजना के लिये 598 करोड़ 66 लाख रुपए की सिंहस्थ मद अंतर्गत प्रशासकीय स्वीकृति दी गई। निर्माण एजेंसी 15 वर्षो तक इसका रख-रखाव कार्य भी करेगी।

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मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की अध्यक्षता में मंत्रालय में मंत्रि-परिषद की बैठक में पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक वर्ग के व्यक्तियों को उद्यम एवं स्व-रोजगार उपलब्ध कराने के लिए मुख्यमंत्री पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक उद्यम – स्वरोजगार योजना-2022 स्वीकृत की गई। योजना में वित्तीय वर्ष 2022-23 के लिए सात करोड़ 50 लाख रुपए तथा आगामी दो वर्षों के लिये कुल 42 करोड़ 50 लाख रुपए की स्वीकृति प्रदान की गई। योजना से वर्ष 2022-23 एवं आगामी दो वर्षों में उद्यम के लिये छह हजार एवं स्व-रोजगार के लिये 30 हजार व्यक्तियों को लाभान्वित किया जा सकेगा।

इस योजना को मुख्यमंत्री उद्यम क्रांति योजना की तर्ज पर संचालित किया जायेगा। योजना में नये उद्योगों की स्थापना के लिये सहायता दी जायेगी। परिवार की वार्षिक आय अधिकतम 12 लाख रुपए तक होना चाहिये। उद्योग या निर्माण इकाई के लिये एक लाख से 50 लाख रुपए तक की परियोजनाएँ स्वीकृत हो सकेंगी। बैंक से लिये गये लोन पर तीन प्रतिशत की दर से ब्याज अनुदान सात वर्ष तक दिया जायेगा।

नवीन स्व-रोजगार की स्थापना के लिये स्व-रोजगार योजना में सहायता दी जायेगी। सभी प्रकार के स्व-रोजगार के लिये 10 हजार से एक लाख रुपए तक की परियोजनाएँ स्वीकृत हो सकेंगी। बैंक से लिये गये लोन पर तीन प्रतिशत की दर से ब्याज अनुदान सात वर्ष तक दिया जायेगा। योजना में अगले तीन वर्ष में 30 हजार हितग्राहियों को 12 करोड़ 50 लाख रुपए तक की परियोजनाओं में सहायता देने का लक्ष्य है।

मंत्रि-परिषद द्वारा ह्यपिछड़े वर्ग के बेरोजगार युवक-युवतियों को विदेश में रोजगार उपलब्ध कराने की योजना – 2022 को स्वीकृति प्रदान की गई। योजना में आगामी तीन वर्षों में प्रतिवर्ष प्रदेश के पिछड़ा वर्ग के चयनित लगभग 200 युवाओं को नियोक्ता की मांग अनुसार साफ्ट स्किल एवं आवश्यक लेंग्वेज का प्रशिक्षण देकर आकर्षक वेतन पर विदेश में रोजगार उपलब्ध कराया जाएगा।

पिछड़ वर्ग के युवाओं को जापान में नियोक्ता की माँग एवं रोजगार की उपलब्धता के अनुसार जापानी भाषा का प्रशिक्षण प्रदान कर रोजगार उपलब्ध कराया जाना है। प्रदेश के पिछड़ा वर्ग के पात्र 200 इच्छुक युवाओं को प्रशिक्षण प्रदान कर तीन से पांच वर्ष की अवधि के लिए रोजगार हेतु जापान भेजा जाएगा। प्रति युवा दो लाख 1800 रुपए का व्यय होगा। इसमें राज्य सरकार का अंशदान 50.45 प्रतिशत एवं लाभार्थी का अंशदान 49.55 प्रतिशत रहेगा। लाभार्थी को अपने अंशदान का 75 प्रतिशत तक ऋण उपलब्ध कराया जाएगा। योजना के प्रारंभिक 3 वर्षों में अनुमानित 6 करोड़ रूपए का व्यय होगा।

मंत्रि-परिषद की बैठक में मध्यप्रदेश आवास पुनर्विकास नीति- 2022 का अनुमोदन दिया गया। शहरों में स्थित पुराने और जीर्ण-शीर्ण मकानों को तोड़ कर रहवासियों को नवीन, बेहतर, आधुनिक एवं सुविधायुक्त आवास उपलब्ध कराने तथा शहरी भूमि का अनुकूलतम उपयोग के उद्देश्य से मध्यप्रदेश आवास पुनर्विकास नीति- 2022 का अनुमोदन किया गया।

मंत्रि-परिषद द्वारा पवित्र क्षिप्रा नदी में कान्ह नदी के दूषित जल को मिलने से रोकने के लिए उज्जैन जिले की कान्ह डायवर्सन क्लोज डक्ट परियोजना के लिये 598 करोड़ 66 लाख रुपए की सिंहस्थ मद अंतर्गत प्रशासकीय स्वीकृति दी गई। निर्माण एजेंसी 15 वर्षो तक इसका रख-रखाव कार्य भी करेगी।

–आईएएनएस

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भोपाल, 6 दिसंबर (आईएएनएस)। मध्य प्रदेश में शिवराज सरकार ने पिछड़ा और अल्प संख्यकों का दिल जीतने के लिए बड़ा दाव चला है। इन दोनों वर्गों के लिए स्वरोजगार उपलब्ध कराने जहां योजना को मंजूरी दी गई है, वहीं पिछड़े वर्ग के बेरोजगार युवक-युवतियों को विदेश में रोजगार उपलब्ध कराने की योजना – 2022 को स्वीकृति प्रदान की गई है।

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की अध्यक्षता में मंत्रालय में मंत्रि-परिषद की बैठक में पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक वर्ग के व्यक्तियों को उद्यम एवं स्व-रोजगार उपलब्ध कराने के लिए मुख्यमंत्री पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक उद्यम – स्वरोजगार योजना-2022 स्वीकृत की गई। योजना में वित्तीय वर्ष 2022-23 के लिए सात करोड़ 50 लाख रुपए तथा आगामी दो वर्षों के लिये कुल 42 करोड़ 50 लाख रुपए की स्वीकृति प्रदान की गई। योजना से वर्ष 2022-23 एवं आगामी दो वर्षों में उद्यम के लिये छह हजार एवं स्व-रोजगार के लिये 30 हजार व्यक्तियों को लाभान्वित किया जा सकेगा।

इस योजना को मुख्यमंत्री उद्यम क्रांति योजना की तर्ज पर संचालित किया जायेगा। योजना में नये उद्योगों की स्थापना के लिये सहायता दी जायेगी। परिवार की वार्षिक आय अधिकतम 12 लाख रुपए तक होना चाहिये। उद्योग या निर्माण इकाई के लिये एक लाख से 50 लाख रुपए तक की परियोजनाएँ स्वीकृत हो सकेंगी। बैंक से लिये गये लोन पर तीन प्रतिशत की दर से ब्याज अनुदान सात वर्ष तक दिया जायेगा।

नवीन स्व-रोजगार की स्थापना के लिये स्व-रोजगार योजना में सहायता दी जायेगी। सभी प्रकार के स्व-रोजगार के लिये 10 हजार से एक लाख रुपए तक की परियोजनाएँ स्वीकृत हो सकेंगी। बैंक से लिये गये लोन पर तीन प्रतिशत की दर से ब्याज अनुदान सात वर्ष तक दिया जायेगा। योजना में अगले तीन वर्ष में 30 हजार हितग्राहियों को 12 करोड़ 50 लाख रुपए तक की परियोजनाओं में सहायता देने का लक्ष्य है।

मंत्रि-परिषद द्वारा ह्यपिछड़े वर्ग के बेरोजगार युवक-युवतियों को विदेश में रोजगार उपलब्ध कराने की योजना – 2022 को स्वीकृति प्रदान की गई। योजना में आगामी तीन वर्षों में प्रतिवर्ष प्रदेश के पिछड़ा वर्ग के चयनित लगभग 200 युवाओं को नियोक्ता की मांग अनुसार साफ्ट स्किल एवं आवश्यक लेंग्वेज का प्रशिक्षण देकर आकर्षक वेतन पर विदेश में रोजगार उपलब्ध कराया जाएगा।

पिछड़ वर्ग के युवाओं को जापान में नियोक्ता की माँग एवं रोजगार की उपलब्धता के अनुसार जापानी भाषा का प्रशिक्षण प्रदान कर रोजगार उपलब्ध कराया जाना है। प्रदेश के पिछड़ा वर्ग के पात्र 200 इच्छुक युवाओं को प्रशिक्षण प्रदान कर तीन से पांच वर्ष की अवधि के लिए रोजगार हेतु जापान भेजा जाएगा। प्रति युवा दो लाख 1800 रुपए का व्यय होगा। इसमें राज्य सरकार का अंशदान 50.45 प्रतिशत एवं लाभार्थी का अंशदान 49.55 प्रतिशत रहेगा। लाभार्थी को अपने अंशदान का 75 प्रतिशत तक ऋण उपलब्ध कराया जाएगा। योजना के प्रारंभिक 3 वर्षों में अनुमानित 6 करोड़ रूपए का व्यय होगा।

मंत्रि-परिषद की बैठक में मध्यप्रदेश आवास पुनर्विकास नीति- 2022 का अनुमोदन दिया गया। शहरों में स्थित पुराने और जीर्ण-शीर्ण मकानों को तोड़ कर रहवासियों को नवीन, बेहतर, आधुनिक एवं सुविधायुक्त आवास उपलब्ध कराने तथा शहरी भूमि का अनुकूलतम उपयोग के उद्देश्य से मध्यप्रदेश आवास पुनर्विकास नीति- 2022 का अनुमोदन किया गया।

मंत्रि-परिषद द्वारा पवित्र क्षिप्रा नदी में कान्ह नदी के दूषित जल को मिलने से रोकने के लिए उज्जैन जिले की कान्ह डायवर्सन क्लोज डक्ट परियोजना के लिये 598 करोड़ 66 लाख रुपए की सिंहस्थ मद अंतर्गत प्रशासकीय स्वीकृति दी गई। निर्माण एजेंसी 15 वर्षो तक इसका रख-रखाव कार्य भी करेगी।

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मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की अध्यक्षता में मंत्रालय में मंत्रि-परिषद की बैठक में पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक वर्ग के व्यक्तियों को उद्यम एवं स्व-रोजगार उपलब्ध कराने के लिए मुख्यमंत्री पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक उद्यम – स्वरोजगार योजना-2022 स्वीकृत की गई। योजना में वित्तीय वर्ष 2022-23 के लिए सात करोड़ 50 लाख रुपए तथा आगामी दो वर्षों के लिये कुल 42 करोड़ 50 लाख रुपए की स्वीकृति प्रदान की गई। योजना से वर्ष 2022-23 एवं आगामी दो वर्षों में उद्यम के लिये छह हजार एवं स्व-रोजगार के लिये 30 हजार व्यक्तियों को लाभान्वित किया जा सकेगा।

इस योजना को मुख्यमंत्री उद्यम क्रांति योजना की तर्ज पर संचालित किया जायेगा। योजना में नये उद्योगों की स्थापना के लिये सहायता दी जायेगी। परिवार की वार्षिक आय अधिकतम 12 लाख रुपए तक होना चाहिये। उद्योग या निर्माण इकाई के लिये एक लाख से 50 लाख रुपए तक की परियोजनाएँ स्वीकृत हो सकेंगी। बैंक से लिये गये लोन पर तीन प्रतिशत की दर से ब्याज अनुदान सात वर्ष तक दिया जायेगा।

नवीन स्व-रोजगार की स्थापना के लिये स्व-रोजगार योजना में सहायता दी जायेगी। सभी प्रकार के स्व-रोजगार के लिये 10 हजार से एक लाख रुपए तक की परियोजनाएँ स्वीकृत हो सकेंगी। बैंक से लिये गये लोन पर तीन प्रतिशत की दर से ब्याज अनुदान सात वर्ष तक दिया जायेगा। योजना में अगले तीन वर्ष में 30 हजार हितग्राहियों को 12 करोड़ 50 लाख रुपए तक की परियोजनाओं में सहायता देने का लक्ष्य है।

मंत्रि-परिषद द्वारा ह्यपिछड़े वर्ग के बेरोजगार युवक-युवतियों को विदेश में रोजगार उपलब्ध कराने की योजना – 2022 को स्वीकृति प्रदान की गई। योजना में आगामी तीन वर्षों में प्रतिवर्ष प्रदेश के पिछड़ा वर्ग के चयनित लगभग 200 युवाओं को नियोक्ता की मांग अनुसार साफ्ट स्किल एवं आवश्यक लेंग्वेज का प्रशिक्षण देकर आकर्षक वेतन पर विदेश में रोजगार उपलब्ध कराया जाएगा।

पिछड़ वर्ग के युवाओं को जापान में नियोक्ता की माँग एवं रोजगार की उपलब्धता के अनुसार जापानी भाषा का प्रशिक्षण प्रदान कर रोजगार उपलब्ध कराया जाना है। प्रदेश के पिछड़ा वर्ग के पात्र 200 इच्छुक युवाओं को प्रशिक्षण प्रदान कर तीन से पांच वर्ष की अवधि के लिए रोजगार हेतु जापान भेजा जाएगा। प्रति युवा दो लाख 1800 रुपए का व्यय होगा। इसमें राज्य सरकार का अंशदान 50.45 प्रतिशत एवं लाभार्थी का अंशदान 49.55 प्रतिशत रहेगा। लाभार्थी को अपने अंशदान का 75 प्रतिशत तक ऋण उपलब्ध कराया जाएगा। योजना के प्रारंभिक 3 वर्षों में अनुमानित 6 करोड़ रूपए का व्यय होगा।

मंत्रि-परिषद की बैठक में मध्यप्रदेश आवास पुनर्विकास नीति- 2022 का अनुमोदन दिया गया। शहरों में स्थित पुराने और जीर्ण-शीर्ण मकानों को तोड़ कर रहवासियों को नवीन, बेहतर, आधुनिक एवं सुविधायुक्त आवास उपलब्ध कराने तथा शहरी भूमि का अनुकूलतम उपयोग के उद्देश्य से मध्यप्रदेश आवास पुनर्विकास नीति- 2022 का अनुमोदन किया गया।

मंत्रि-परिषद द्वारा पवित्र क्षिप्रा नदी में कान्ह नदी के दूषित जल को मिलने से रोकने के लिए उज्जैन जिले की कान्ह डायवर्सन क्लोज डक्ट परियोजना के लिये 598 करोड़ 66 लाख रुपए की सिंहस्थ मद अंतर्गत प्रशासकीय स्वीकृति दी गई। निर्माण एजेंसी 15 वर्षो तक इसका रख-रखाव कार्य भी करेगी।

–आईएएनएस

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भोपाल, 6 दिसंबर (आईएएनएस)। मध्य प्रदेश में शिवराज सरकार ने पिछड़ा और अल्प संख्यकों का दिल जीतने के लिए बड़ा दाव चला है। इन दोनों वर्गों के लिए स्वरोजगार उपलब्ध कराने जहां योजना को मंजूरी दी गई है, वहीं पिछड़े वर्ग के बेरोजगार युवक-युवतियों को विदेश में रोजगार उपलब्ध कराने की योजना – 2022 को स्वीकृति प्रदान की गई है।

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की अध्यक्षता में मंत्रालय में मंत्रि-परिषद की बैठक में पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक वर्ग के व्यक्तियों को उद्यम एवं स्व-रोजगार उपलब्ध कराने के लिए मुख्यमंत्री पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक उद्यम – स्वरोजगार योजना-2022 स्वीकृत की गई। योजना में वित्तीय वर्ष 2022-23 के लिए सात करोड़ 50 लाख रुपए तथा आगामी दो वर्षों के लिये कुल 42 करोड़ 50 लाख रुपए की स्वीकृति प्रदान की गई। योजना से वर्ष 2022-23 एवं आगामी दो वर्षों में उद्यम के लिये छह हजार एवं स्व-रोजगार के लिये 30 हजार व्यक्तियों को लाभान्वित किया जा सकेगा।

इस योजना को मुख्यमंत्री उद्यम क्रांति योजना की तर्ज पर संचालित किया जायेगा। योजना में नये उद्योगों की स्थापना के लिये सहायता दी जायेगी। परिवार की वार्षिक आय अधिकतम 12 लाख रुपए तक होना चाहिये। उद्योग या निर्माण इकाई के लिये एक लाख से 50 लाख रुपए तक की परियोजनाएँ स्वीकृत हो सकेंगी। बैंक से लिये गये लोन पर तीन प्रतिशत की दर से ब्याज अनुदान सात वर्ष तक दिया जायेगा।

नवीन स्व-रोजगार की स्थापना के लिये स्व-रोजगार योजना में सहायता दी जायेगी। सभी प्रकार के स्व-रोजगार के लिये 10 हजार से एक लाख रुपए तक की परियोजनाएँ स्वीकृत हो सकेंगी। बैंक से लिये गये लोन पर तीन प्रतिशत की दर से ब्याज अनुदान सात वर्ष तक दिया जायेगा। योजना में अगले तीन वर्ष में 30 हजार हितग्राहियों को 12 करोड़ 50 लाख रुपए तक की परियोजनाओं में सहायता देने का लक्ष्य है।

मंत्रि-परिषद द्वारा ह्यपिछड़े वर्ग के बेरोजगार युवक-युवतियों को विदेश में रोजगार उपलब्ध कराने की योजना – 2022 को स्वीकृति प्रदान की गई। योजना में आगामी तीन वर्षों में प्रतिवर्ष प्रदेश के पिछड़ा वर्ग के चयनित लगभग 200 युवाओं को नियोक्ता की मांग अनुसार साफ्ट स्किल एवं आवश्यक लेंग्वेज का प्रशिक्षण देकर आकर्षक वेतन पर विदेश में रोजगार उपलब्ध कराया जाएगा।

पिछड़ वर्ग के युवाओं को जापान में नियोक्ता की माँग एवं रोजगार की उपलब्धता के अनुसार जापानी भाषा का प्रशिक्षण प्रदान कर रोजगार उपलब्ध कराया जाना है। प्रदेश के पिछड़ा वर्ग के पात्र 200 इच्छुक युवाओं को प्रशिक्षण प्रदान कर तीन से पांच वर्ष की अवधि के लिए रोजगार हेतु जापान भेजा जाएगा। प्रति युवा दो लाख 1800 रुपए का व्यय होगा। इसमें राज्य सरकार का अंशदान 50.45 प्रतिशत एवं लाभार्थी का अंशदान 49.55 प्रतिशत रहेगा। लाभार्थी को अपने अंशदान का 75 प्रतिशत तक ऋण उपलब्ध कराया जाएगा। योजना के प्रारंभिक 3 वर्षों में अनुमानित 6 करोड़ रूपए का व्यय होगा।

मंत्रि-परिषद की बैठक में मध्यप्रदेश आवास पुनर्विकास नीति- 2022 का अनुमोदन दिया गया। शहरों में स्थित पुराने और जीर्ण-शीर्ण मकानों को तोड़ कर रहवासियों को नवीन, बेहतर, आधुनिक एवं सुविधायुक्त आवास उपलब्ध कराने तथा शहरी भूमि का अनुकूलतम उपयोग के उद्देश्य से मध्यप्रदेश आवास पुनर्विकास नीति- 2022 का अनुमोदन किया गया।

मंत्रि-परिषद द्वारा पवित्र क्षिप्रा नदी में कान्ह नदी के दूषित जल को मिलने से रोकने के लिए उज्जैन जिले की कान्ह डायवर्सन क्लोज डक्ट परियोजना के लिये 598 करोड़ 66 लाख रुपए की सिंहस्थ मद अंतर्गत प्रशासकीय स्वीकृति दी गई। निर्माण एजेंसी 15 वर्षो तक इसका रख-रखाव कार्य भी करेगी।

–आईएएनएस

एसएनपी/एएनएम

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भोपाल, 6 दिसंबर (आईएएनएस)। मध्य प्रदेश में शिवराज सरकार ने पिछड़ा और अल्प संख्यकों का दिल जीतने के लिए बड़ा दाव चला है। इन दोनों वर्गों के लिए स्वरोजगार उपलब्ध कराने जहां योजना को मंजूरी दी गई है, वहीं पिछड़े वर्ग के बेरोजगार युवक-युवतियों को विदेश में रोजगार उपलब्ध कराने की योजना – 2022 को स्वीकृति प्रदान की गई है।

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की अध्यक्षता में मंत्रालय में मंत्रि-परिषद की बैठक में पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक वर्ग के व्यक्तियों को उद्यम एवं स्व-रोजगार उपलब्ध कराने के लिए मुख्यमंत्री पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक उद्यम – स्वरोजगार योजना-2022 स्वीकृत की गई। योजना में वित्तीय वर्ष 2022-23 के लिए सात करोड़ 50 लाख रुपए तथा आगामी दो वर्षों के लिये कुल 42 करोड़ 50 लाख रुपए की स्वीकृति प्रदान की गई। योजना से वर्ष 2022-23 एवं आगामी दो वर्षों में उद्यम के लिये छह हजार एवं स्व-रोजगार के लिये 30 हजार व्यक्तियों को लाभान्वित किया जा सकेगा।

इस योजना को मुख्यमंत्री उद्यम क्रांति योजना की तर्ज पर संचालित किया जायेगा। योजना में नये उद्योगों की स्थापना के लिये सहायता दी जायेगी। परिवार की वार्षिक आय अधिकतम 12 लाख रुपए तक होना चाहिये। उद्योग या निर्माण इकाई के लिये एक लाख से 50 लाख रुपए तक की परियोजनाएँ स्वीकृत हो सकेंगी। बैंक से लिये गये लोन पर तीन प्रतिशत की दर से ब्याज अनुदान सात वर्ष तक दिया जायेगा।

नवीन स्व-रोजगार की स्थापना के लिये स्व-रोजगार योजना में सहायता दी जायेगी। सभी प्रकार के स्व-रोजगार के लिये 10 हजार से एक लाख रुपए तक की परियोजनाएँ स्वीकृत हो सकेंगी। बैंक से लिये गये लोन पर तीन प्रतिशत की दर से ब्याज अनुदान सात वर्ष तक दिया जायेगा। योजना में अगले तीन वर्ष में 30 हजार हितग्राहियों को 12 करोड़ 50 लाख रुपए तक की परियोजनाओं में सहायता देने का लक्ष्य है।

मंत्रि-परिषद द्वारा ह्यपिछड़े वर्ग के बेरोजगार युवक-युवतियों को विदेश में रोजगार उपलब्ध कराने की योजना – 2022 को स्वीकृति प्रदान की गई। योजना में आगामी तीन वर्षों में प्रतिवर्ष प्रदेश के पिछड़ा वर्ग के चयनित लगभग 200 युवाओं को नियोक्ता की मांग अनुसार साफ्ट स्किल एवं आवश्यक लेंग्वेज का प्रशिक्षण देकर आकर्षक वेतन पर विदेश में रोजगार उपलब्ध कराया जाएगा।

पिछड़ वर्ग के युवाओं को जापान में नियोक्ता की माँग एवं रोजगार की उपलब्धता के अनुसार जापानी भाषा का प्रशिक्षण प्रदान कर रोजगार उपलब्ध कराया जाना है। प्रदेश के पिछड़ा वर्ग के पात्र 200 इच्छुक युवाओं को प्रशिक्षण प्रदान कर तीन से पांच वर्ष की अवधि के लिए रोजगार हेतु जापान भेजा जाएगा। प्रति युवा दो लाख 1800 रुपए का व्यय होगा। इसमें राज्य सरकार का अंशदान 50.45 प्रतिशत एवं लाभार्थी का अंशदान 49.55 प्रतिशत रहेगा। लाभार्थी को अपने अंशदान का 75 प्रतिशत तक ऋण उपलब्ध कराया जाएगा। योजना के प्रारंभिक 3 वर्षों में अनुमानित 6 करोड़ रूपए का व्यय होगा।

मंत्रि-परिषद की बैठक में मध्यप्रदेश आवास पुनर्विकास नीति- 2022 का अनुमोदन दिया गया। शहरों में स्थित पुराने और जीर्ण-शीर्ण मकानों को तोड़ कर रहवासियों को नवीन, बेहतर, आधुनिक एवं सुविधायुक्त आवास उपलब्ध कराने तथा शहरी भूमि का अनुकूलतम उपयोग के उद्देश्य से मध्यप्रदेश आवास पुनर्विकास नीति- 2022 का अनुमोदन किया गया।

मंत्रि-परिषद द्वारा पवित्र क्षिप्रा नदी में कान्ह नदी के दूषित जल को मिलने से रोकने के लिए उज्जैन जिले की कान्ह डायवर्सन क्लोज डक्ट परियोजना के लिये 598 करोड़ 66 लाख रुपए की सिंहस्थ मद अंतर्गत प्रशासकीय स्वीकृति दी गई। निर्माण एजेंसी 15 वर्षो तक इसका रख-रखाव कार्य भी करेगी।

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भोपाल, 6 दिसंबर (आईएएनएस)। मध्य प्रदेश में शिवराज सरकार ने पिछड़ा और अल्प संख्यकों का दिल जीतने के लिए बड़ा दाव चला है। इन दोनों वर्गों के लिए स्वरोजगार उपलब्ध कराने जहां योजना को मंजूरी दी गई है, वहीं पिछड़े वर्ग के बेरोजगार युवक-युवतियों को विदेश में रोजगार उपलब्ध कराने की योजना – 2022 को स्वीकृति प्रदान की गई है।

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की अध्यक्षता में मंत्रालय में मंत्रि-परिषद की बैठक में पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक वर्ग के व्यक्तियों को उद्यम एवं स्व-रोजगार उपलब्ध कराने के लिए मुख्यमंत्री पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक उद्यम – स्वरोजगार योजना-2022 स्वीकृत की गई। योजना में वित्तीय वर्ष 2022-23 के लिए सात करोड़ 50 लाख रुपए तथा आगामी दो वर्षों के लिये कुल 42 करोड़ 50 लाख रुपए की स्वीकृति प्रदान की गई। योजना से वर्ष 2022-23 एवं आगामी दो वर्षों में उद्यम के लिये छह हजार एवं स्व-रोजगार के लिये 30 हजार व्यक्तियों को लाभान्वित किया जा सकेगा।

इस योजना को मुख्यमंत्री उद्यम क्रांति योजना की तर्ज पर संचालित किया जायेगा। योजना में नये उद्योगों की स्थापना के लिये सहायता दी जायेगी। परिवार की वार्षिक आय अधिकतम 12 लाख रुपए तक होना चाहिये। उद्योग या निर्माण इकाई के लिये एक लाख से 50 लाख रुपए तक की परियोजनाएँ स्वीकृत हो सकेंगी। बैंक से लिये गये लोन पर तीन प्रतिशत की दर से ब्याज अनुदान सात वर्ष तक दिया जायेगा।

नवीन स्व-रोजगार की स्थापना के लिये स्व-रोजगार योजना में सहायता दी जायेगी। सभी प्रकार के स्व-रोजगार के लिये 10 हजार से एक लाख रुपए तक की परियोजनाएँ स्वीकृत हो सकेंगी। बैंक से लिये गये लोन पर तीन प्रतिशत की दर से ब्याज अनुदान सात वर्ष तक दिया जायेगा। योजना में अगले तीन वर्ष में 30 हजार हितग्राहियों को 12 करोड़ 50 लाख रुपए तक की परियोजनाओं में सहायता देने का लक्ष्य है।

मंत्रि-परिषद द्वारा ह्यपिछड़े वर्ग के बेरोजगार युवक-युवतियों को विदेश में रोजगार उपलब्ध कराने की योजना – 2022 को स्वीकृति प्रदान की गई। योजना में आगामी तीन वर्षों में प्रतिवर्ष प्रदेश के पिछड़ा वर्ग के चयनित लगभग 200 युवाओं को नियोक्ता की मांग अनुसार साफ्ट स्किल एवं आवश्यक लेंग्वेज का प्रशिक्षण देकर आकर्षक वेतन पर विदेश में रोजगार उपलब्ध कराया जाएगा।

पिछड़ वर्ग के युवाओं को जापान में नियोक्ता की माँग एवं रोजगार की उपलब्धता के अनुसार जापानी भाषा का प्रशिक्षण प्रदान कर रोजगार उपलब्ध कराया जाना है। प्रदेश के पिछड़ा वर्ग के पात्र 200 इच्छुक युवाओं को प्रशिक्षण प्रदान कर तीन से पांच वर्ष की अवधि के लिए रोजगार हेतु जापान भेजा जाएगा। प्रति युवा दो लाख 1800 रुपए का व्यय होगा। इसमें राज्य सरकार का अंशदान 50.45 प्रतिशत एवं लाभार्थी का अंशदान 49.55 प्रतिशत रहेगा। लाभार्थी को अपने अंशदान का 75 प्रतिशत तक ऋण उपलब्ध कराया जाएगा। योजना के प्रारंभिक 3 वर्षों में अनुमानित 6 करोड़ रूपए का व्यय होगा।

मंत्रि-परिषद की बैठक में मध्यप्रदेश आवास पुनर्विकास नीति- 2022 का अनुमोदन दिया गया। शहरों में स्थित पुराने और जीर्ण-शीर्ण मकानों को तोड़ कर रहवासियों को नवीन, बेहतर, आधुनिक एवं सुविधायुक्त आवास उपलब्ध कराने तथा शहरी भूमि का अनुकूलतम उपयोग के उद्देश्य से मध्यप्रदेश आवास पुनर्विकास नीति- 2022 का अनुमोदन किया गया।

मंत्रि-परिषद द्वारा पवित्र क्षिप्रा नदी में कान्ह नदी के दूषित जल को मिलने से रोकने के लिए उज्जैन जिले की कान्ह डायवर्सन क्लोज डक्ट परियोजना के लिये 598 करोड़ 66 लाख रुपए की सिंहस्थ मद अंतर्गत प्रशासकीय स्वीकृति दी गई। निर्माण एजेंसी 15 वर्षो तक इसका रख-रखाव कार्य भी करेगी।

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मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की अध्यक्षता में मंत्रालय में मंत्रि-परिषद की बैठक में पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक वर्ग के व्यक्तियों को उद्यम एवं स्व-रोजगार उपलब्ध कराने के लिए मुख्यमंत्री पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक उद्यम – स्वरोजगार योजना-2022 स्वीकृत की गई। योजना में वित्तीय वर्ष 2022-23 के लिए सात करोड़ 50 लाख रुपए तथा आगामी दो वर्षों के लिये कुल 42 करोड़ 50 लाख रुपए की स्वीकृति प्रदान की गई। योजना से वर्ष 2022-23 एवं आगामी दो वर्षों में उद्यम के लिये छह हजार एवं स्व-रोजगार के लिये 30 हजार व्यक्तियों को लाभान्वित किया जा सकेगा।

इस योजना को मुख्यमंत्री उद्यम क्रांति योजना की तर्ज पर संचालित किया जायेगा। योजना में नये उद्योगों की स्थापना के लिये सहायता दी जायेगी। परिवार की वार्षिक आय अधिकतम 12 लाख रुपए तक होना चाहिये। उद्योग या निर्माण इकाई के लिये एक लाख से 50 लाख रुपए तक की परियोजनाएँ स्वीकृत हो सकेंगी। बैंक से लिये गये लोन पर तीन प्रतिशत की दर से ब्याज अनुदान सात वर्ष तक दिया जायेगा।

नवीन स्व-रोजगार की स्थापना के लिये स्व-रोजगार योजना में सहायता दी जायेगी। सभी प्रकार के स्व-रोजगार के लिये 10 हजार से एक लाख रुपए तक की परियोजनाएँ स्वीकृत हो सकेंगी। बैंक से लिये गये लोन पर तीन प्रतिशत की दर से ब्याज अनुदान सात वर्ष तक दिया जायेगा। योजना में अगले तीन वर्ष में 30 हजार हितग्राहियों को 12 करोड़ 50 लाख रुपए तक की परियोजनाओं में सहायता देने का लक्ष्य है।

मंत्रि-परिषद द्वारा ह्यपिछड़े वर्ग के बेरोजगार युवक-युवतियों को विदेश में रोजगार उपलब्ध कराने की योजना – 2022 को स्वीकृति प्रदान की गई। योजना में आगामी तीन वर्षों में प्रतिवर्ष प्रदेश के पिछड़ा वर्ग के चयनित लगभग 200 युवाओं को नियोक्ता की मांग अनुसार साफ्ट स्किल एवं आवश्यक लेंग्वेज का प्रशिक्षण देकर आकर्षक वेतन पर विदेश में रोजगार उपलब्ध कराया जाएगा।

पिछड़ वर्ग के युवाओं को जापान में नियोक्ता की माँग एवं रोजगार की उपलब्धता के अनुसार जापानी भाषा का प्रशिक्षण प्रदान कर रोजगार उपलब्ध कराया जाना है। प्रदेश के पिछड़ा वर्ग के पात्र 200 इच्छुक युवाओं को प्रशिक्षण प्रदान कर तीन से पांच वर्ष की अवधि के लिए रोजगार हेतु जापान भेजा जाएगा। प्रति युवा दो लाख 1800 रुपए का व्यय होगा। इसमें राज्य सरकार का अंशदान 50.45 प्रतिशत एवं लाभार्थी का अंशदान 49.55 प्रतिशत रहेगा। लाभार्थी को अपने अंशदान का 75 प्रतिशत तक ऋण उपलब्ध कराया जाएगा। योजना के प्रारंभिक 3 वर्षों में अनुमानित 6 करोड़ रूपए का व्यय होगा।

मंत्रि-परिषद की बैठक में मध्यप्रदेश आवास पुनर्विकास नीति- 2022 का अनुमोदन दिया गया। शहरों में स्थित पुराने और जीर्ण-शीर्ण मकानों को तोड़ कर रहवासियों को नवीन, बेहतर, आधुनिक एवं सुविधायुक्त आवास उपलब्ध कराने तथा शहरी भूमि का अनुकूलतम उपयोग के उद्देश्य से मध्यप्रदेश आवास पुनर्विकास नीति- 2022 का अनुमोदन किया गया।

मंत्रि-परिषद द्वारा पवित्र क्षिप्रा नदी में कान्ह नदी के दूषित जल को मिलने से रोकने के लिए उज्जैन जिले की कान्ह डायवर्सन क्लोज डक्ट परियोजना के लिये 598 करोड़ 66 लाख रुपए की सिंहस्थ मद अंतर्गत प्रशासकीय स्वीकृति दी गई। निर्माण एजेंसी 15 वर्षो तक इसका रख-रखाव कार्य भी करेगी।

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भोपाल, 6 दिसंबर (आईएएनएस)। मध्य प्रदेश में शिवराज सरकार ने पिछड़ा और अल्प संख्यकों का दिल जीतने के लिए बड़ा दाव चला है। इन दोनों वर्गों के लिए स्वरोजगार उपलब्ध कराने जहां योजना को मंजूरी दी गई है, वहीं पिछड़े वर्ग के बेरोजगार युवक-युवतियों को विदेश में रोजगार उपलब्ध कराने की योजना – 2022 को स्वीकृति प्रदान की गई है।

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की अध्यक्षता में मंत्रालय में मंत्रि-परिषद की बैठक में पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक वर्ग के व्यक्तियों को उद्यम एवं स्व-रोजगार उपलब्ध कराने के लिए मुख्यमंत्री पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक उद्यम – स्वरोजगार योजना-2022 स्वीकृत की गई। योजना में वित्तीय वर्ष 2022-23 के लिए सात करोड़ 50 लाख रुपए तथा आगामी दो वर्षों के लिये कुल 42 करोड़ 50 लाख रुपए की स्वीकृति प्रदान की गई। योजना से वर्ष 2022-23 एवं आगामी दो वर्षों में उद्यम के लिये छह हजार एवं स्व-रोजगार के लिये 30 हजार व्यक्तियों को लाभान्वित किया जा सकेगा।

इस योजना को मुख्यमंत्री उद्यम क्रांति योजना की तर्ज पर संचालित किया जायेगा। योजना में नये उद्योगों की स्थापना के लिये सहायता दी जायेगी। परिवार की वार्षिक आय अधिकतम 12 लाख रुपए तक होना चाहिये। उद्योग या निर्माण इकाई के लिये एक लाख से 50 लाख रुपए तक की परियोजनाएँ स्वीकृत हो सकेंगी। बैंक से लिये गये लोन पर तीन प्रतिशत की दर से ब्याज अनुदान सात वर्ष तक दिया जायेगा।

नवीन स्व-रोजगार की स्थापना के लिये स्व-रोजगार योजना में सहायता दी जायेगी। सभी प्रकार के स्व-रोजगार के लिये 10 हजार से एक लाख रुपए तक की परियोजनाएँ स्वीकृत हो सकेंगी। बैंक से लिये गये लोन पर तीन प्रतिशत की दर से ब्याज अनुदान सात वर्ष तक दिया जायेगा। योजना में अगले तीन वर्ष में 30 हजार हितग्राहियों को 12 करोड़ 50 लाख रुपए तक की परियोजनाओं में सहायता देने का लक्ष्य है।

मंत्रि-परिषद द्वारा ह्यपिछड़े वर्ग के बेरोजगार युवक-युवतियों को विदेश में रोजगार उपलब्ध कराने की योजना – 2022 को स्वीकृति प्रदान की गई। योजना में आगामी तीन वर्षों में प्रतिवर्ष प्रदेश के पिछड़ा वर्ग के चयनित लगभग 200 युवाओं को नियोक्ता की मांग अनुसार साफ्ट स्किल एवं आवश्यक लेंग्वेज का प्रशिक्षण देकर आकर्षक वेतन पर विदेश में रोजगार उपलब्ध कराया जाएगा।

पिछड़ वर्ग के युवाओं को जापान में नियोक्ता की माँग एवं रोजगार की उपलब्धता के अनुसार जापानी भाषा का प्रशिक्षण प्रदान कर रोजगार उपलब्ध कराया जाना है। प्रदेश के पिछड़ा वर्ग के पात्र 200 इच्छुक युवाओं को प्रशिक्षण प्रदान कर तीन से पांच वर्ष की अवधि के लिए रोजगार हेतु जापान भेजा जाएगा। प्रति युवा दो लाख 1800 रुपए का व्यय होगा। इसमें राज्य सरकार का अंशदान 50.45 प्रतिशत एवं लाभार्थी का अंशदान 49.55 प्रतिशत रहेगा। लाभार्थी को अपने अंशदान का 75 प्रतिशत तक ऋण उपलब्ध कराया जाएगा। योजना के प्रारंभिक 3 वर्षों में अनुमानित 6 करोड़ रूपए का व्यय होगा।

मंत्रि-परिषद की बैठक में मध्यप्रदेश आवास पुनर्विकास नीति- 2022 का अनुमोदन दिया गया। शहरों में स्थित पुराने और जीर्ण-शीर्ण मकानों को तोड़ कर रहवासियों को नवीन, बेहतर, आधुनिक एवं सुविधायुक्त आवास उपलब्ध कराने तथा शहरी भूमि का अनुकूलतम उपयोग के उद्देश्य से मध्यप्रदेश आवास पुनर्विकास नीति- 2022 का अनुमोदन किया गया।

मंत्रि-परिषद द्वारा पवित्र क्षिप्रा नदी में कान्ह नदी के दूषित जल को मिलने से रोकने के लिए उज्जैन जिले की कान्ह डायवर्सन क्लोज डक्ट परियोजना के लिये 598 करोड़ 66 लाख रुपए की सिंहस्थ मद अंतर्गत प्रशासकीय स्वीकृति दी गई। निर्माण एजेंसी 15 वर्षो तक इसका रख-रखाव कार्य भी करेगी।

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मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की अध्यक्षता में मंत्रालय में मंत्रि-परिषद की बैठक में पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक वर्ग के व्यक्तियों को उद्यम एवं स्व-रोजगार उपलब्ध कराने के लिए मुख्यमंत्री पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक उद्यम – स्वरोजगार योजना-2022 स्वीकृत की गई। योजना में वित्तीय वर्ष 2022-23 के लिए सात करोड़ 50 लाख रुपए तथा आगामी दो वर्षों के लिये कुल 42 करोड़ 50 लाख रुपए की स्वीकृति प्रदान की गई। योजना से वर्ष 2022-23 एवं आगामी दो वर्षों में उद्यम के लिये छह हजार एवं स्व-रोजगार के लिये 30 हजार व्यक्तियों को लाभान्वित किया जा सकेगा।

इस योजना को मुख्यमंत्री उद्यम क्रांति योजना की तर्ज पर संचालित किया जायेगा। योजना में नये उद्योगों की स्थापना के लिये सहायता दी जायेगी। परिवार की वार्षिक आय अधिकतम 12 लाख रुपए तक होना चाहिये। उद्योग या निर्माण इकाई के लिये एक लाख से 50 लाख रुपए तक की परियोजनाएँ स्वीकृत हो सकेंगी। बैंक से लिये गये लोन पर तीन प्रतिशत की दर से ब्याज अनुदान सात वर्ष तक दिया जायेगा।

नवीन स्व-रोजगार की स्थापना के लिये स्व-रोजगार योजना में सहायता दी जायेगी। सभी प्रकार के स्व-रोजगार के लिये 10 हजार से एक लाख रुपए तक की परियोजनाएँ स्वीकृत हो सकेंगी। बैंक से लिये गये लोन पर तीन प्रतिशत की दर से ब्याज अनुदान सात वर्ष तक दिया जायेगा। योजना में अगले तीन वर्ष में 30 हजार हितग्राहियों को 12 करोड़ 50 लाख रुपए तक की परियोजनाओं में सहायता देने का लक्ष्य है।

मंत्रि-परिषद द्वारा ह्यपिछड़े वर्ग के बेरोजगार युवक-युवतियों को विदेश में रोजगार उपलब्ध कराने की योजना – 2022 को स्वीकृति प्रदान की गई। योजना में आगामी तीन वर्षों में प्रतिवर्ष प्रदेश के पिछड़ा वर्ग के चयनित लगभग 200 युवाओं को नियोक्ता की मांग अनुसार साफ्ट स्किल एवं आवश्यक लेंग्वेज का प्रशिक्षण देकर आकर्षक वेतन पर विदेश में रोजगार उपलब्ध कराया जाएगा।

पिछड़ वर्ग के युवाओं को जापान में नियोक्ता की माँग एवं रोजगार की उपलब्धता के अनुसार जापानी भाषा का प्रशिक्षण प्रदान कर रोजगार उपलब्ध कराया जाना है। प्रदेश के पिछड़ा वर्ग के पात्र 200 इच्छुक युवाओं को प्रशिक्षण प्रदान कर तीन से पांच वर्ष की अवधि के लिए रोजगार हेतु जापान भेजा जाएगा। प्रति युवा दो लाख 1800 रुपए का व्यय होगा। इसमें राज्य सरकार का अंशदान 50.45 प्रतिशत एवं लाभार्थी का अंशदान 49.55 प्रतिशत रहेगा। लाभार्थी को अपने अंशदान का 75 प्रतिशत तक ऋण उपलब्ध कराया जाएगा। योजना के प्रारंभिक 3 वर्षों में अनुमानित 6 करोड़ रूपए का व्यय होगा।

मंत्रि-परिषद की बैठक में मध्यप्रदेश आवास पुनर्विकास नीति- 2022 का अनुमोदन दिया गया। शहरों में स्थित पुराने और जीर्ण-शीर्ण मकानों को तोड़ कर रहवासियों को नवीन, बेहतर, आधुनिक एवं सुविधायुक्त आवास उपलब्ध कराने तथा शहरी भूमि का अनुकूलतम उपयोग के उद्देश्य से मध्यप्रदेश आवास पुनर्विकास नीति- 2022 का अनुमोदन किया गया।

मंत्रि-परिषद द्वारा पवित्र क्षिप्रा नदी में कान्ह नदी के दूषित जल को मिलने से रोकने के लिए उज्जैन जिले की कान्ह डायवर्सन क्लोज डक्ट परियोजना के लिये 598 करोड़ 66 लाख रुपए की सिंहस्थ मद अंतर्गत प्रशासकीय स्वीकृति दी गई। निर्माण एजेंसी 15 वर्षो तक इसका रख-रखाव कार्य भी करेगी।

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भोपाल, 6 दिसंबर (आईएएनएस)। मध्य प्रदेश में शिवराज सरकार ने पिछड़ा और अल्प संख्यकों का दिल जीतने के लिए बड़ा दाव चला है। इन दोनों वर्गों के लिए स्वरोजगार उपलब्ध कराने जहां योजना को मंजूरी दी गई है, वहीं पिछड़े वर्ग के बेरोजगार युवक-युवतियों को विदेश में रोजगार उपलब्ध कराने की योजना – 2022 को स्वीकृति प्रदान की गई है।

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की अध्यक्षता में मंत्रालय में मंत्रि-परिषद की बैठक में पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक वर्ग के व्यक्तियों को उद्यम एवं स्व-रोजगार उपलब्ध कराने के लिए मुख्यमंत्री पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक उद्यम – स्वरोजगार योजना-2022 स्वीकृत की गई। योजना में वित्तीय वर्ष 2022-23 के लिए सात करोड़ 50 लाख रुपए तथा आगामी दो वर्षों के लिये कुल 42 करोड़ 50 लाख रुपए की स्वीकृति प्रदान की गई। योजना से वर्ष 2022-23 एवं आगामी दो वर्षों में उद्यम के लिये छह हजार एवं स्व-रोजगार के लिये 30 हजार व्यक्तियों को लाभान्वित किया जा सकेगा।

इस योजना को मुख्यमंत्री उद्यम क्रांति योजना की तर्ज पर संचालित किया जायेगा। योजना में नये उद्योगों की स्थापना के लिये सहायता दी जायेगी। परिवार की वार्षिक आय अधिकतम 12 लाख रुपए तक होना चाहिये। उद्योग या निर्माण इकाई के लिये एक लाख से 50 लाख रुपए तक की परियोजनाएँ स्वीकृत हो सकेंगी। बैंक से लिये गये लोन पर तीन प्रतिशत की दर से ब्याज अनुदान सात वर्ष तक दिया जायेगा।

नवीन स्व-रोजगार की स्थापना के लिये स्व-रोजगार योजना में सहायता दी जायेगी। सभी प्रकार के स्व-रोजगार के लिये 10 हजार से एक लाख रुपए तक की परियोजनाएँ स्वीकृत हो सकेंगी। बैंक से लिये गये लोन पर तीन प्रतिशत की दर से ब्याज अनुदान सात वर्ष तक दिया जायेगा। योजना में अगले तीन वर्ष में 30 हजार हितग्राहियों को 12 करोड़ 50 लाख रुपए तक की परियोजनाओं में सहायता देने का लक्ष्य है।

मंत्रि-परिषद द्वारा ह्यपिछड़े वर्ग के बेरोजगार युवक-युवतियों को विदेश में रोजगार उपलब्ध कराने की योजना – 2022 को स्वीकृति प्रदान की गई। योजना में आगामी तीन वर्षों में प्रतिवर्ष प्रदेश के पिछड़ा वर्ग के चयनित लगभग 200 युवाओं को नियोक्ता की मांग अनुसार साफ्ट स्किल एवं आवश्यक लेंग्वेज का प्रशिक्षण देकर आकर्षक वेतन पर विदेश में रोजगार उपलब्ध कराया जाएगा।

पिछड़ वर्ग के युवाओं को जापान में नियोक्ता की माँग एवं रोजगार की उपलब्धता के अनुसार जापानी भाषा का प्रशिक्षण प्रदान कर रोजगार उपलब्ध कराया जाना है। प्रदेश के पिछड़ा वर्ग के पात्र 200 इच्छुक युवाओं को प्रशिक्षण प्रदान कर तीन से पांच वर्ष की अवधि के लिए रोजगार हेतु जापान भेजा जाएगा। प्रति युवा दो लाख 1800 रुपए का व्यय होगा। इसमें राज्य सरकार का अंशदान 50.45 प्रतिशत एवं लाभार्थी का अंशदान 49.55 प्रतिशत रहेगा। लाभार्थी को अपने अंशदान का 75 प्रतिशत तक ऋण उपलब्ध कराया जाएगा। योजना के प्रारंभिक 3 वर्षों में अनुमानित 6 करोड़ रूपए का व्यय होगा।

मंत्रि-परिषद की बैठक में मध्यप्रदेश आवास पुनर्विकास नीति- 2022 का अनुमोदन दिया गया। शहरों में स्थित पुराने और जीर्ण-शीर्ण मकानों को तोड़ कर रहवासियों को नवीन, बेहतर, आधुनिक एवं सुविधायुक्त आवास उपलब्ध कराने तथा शहरी भूमि का अनुकूलतम उपयोग के उद्देश्य से मध्यप्रदेश आवास पुनर्विकास नीति- 2022 का अनुमोदन किया गया।

मंत्रि-परिषद द्वारा पवित्र क्षिप्रा नदी में कान्ह नदी के दूषित जल को मिलने से रोकने के लिए उज्जैन जिले की कान्ह डायवर्सन क्लोज डक्ट परियोजना के लिये 598 करोड़ 66 लाख रुपए की सिंहस्थ मद अंतर्गत प्रशासकीय स्वीकृति दी गई। निर्माण एजेंसी 15 वर्षो तक इसका रख-रखाव कार्य भी करेगी।

–आईएएनएस

एसएनपी/एएनएम

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भोपाल, 6 दिसंबर (आईएएनएस)। मध्य प्रदेश में शिवराज सरकार ने पिछड़ा और अल्प संख्यकों का दिल जीतने के लिए बड़ा दाव चला है। इन दोनों वर्गों के लिए स्वरोजगार उपलब्ध कराने जहां योजना को मंजूरी दी गई है, वहीं पिछड़े वर्ग के बेरोजगार युवक-युवतियों को विदेश में रोजगार उपलब्ध कराने की योजना – 2022 को स्वीकृति प्रदान की गई है।

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की अध्यक्षता में मंत्रालय में मंत्रि-परिषद की बैठक में पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक वर्ग के व्यक्तियों को उद्यम एवं स्व-रोजगार उपलब्ध कराने के लिए मुख्यमंत्री पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक उद्यम – स्वरोजगार योजना-2022 स्वीकृत की गई। योजना में वित्तीय वर्ष 2022-23 के लिए सात करोड़ 50 लाख रुपए तथा आगामी दो वर्षों के लिये कुल 42 करोड़ 50 लाख रुपए की स्वीकृति प्रदान की गई। योजना से वर्ष 2022-23 एवं आगामी दो वर्षों में उद्यम के लिये छह हजार एवं स्व-रोजगार के लिये 30 हजार व्यक्तियों को लाभान्वित किया जा सकेगा।

इस योजना को मुख्यमंत्री उद्यम क्रांति योजना की तर्ज पर संचालित किया जायेगा। योजना में नये उद्योगों की स्थापना के लिये सहायता दी जायेगी। परिवार की वार्षिक आय अधिकतम 12 लाख रुपए तक होना चाहिये। उद्योग या निर्माण इकाई के लिये एक लाख से 50 लाख रुपए तक की परियोजनाएँ स्वीकृत हो सकेंगी। बैंक से लिये गये लोन पर तीन प्रतिशत की दर से ब्याज अनुदान सात वर्ष तक दिया जायेगा।

नवीन स्व-रोजगार की स्थापना के लिये स्व-रोजगार योजना में सहायता दी जायेगी। सभी प्रकार के स्व-रोजगार के लिये 10 हजार से एक लाख रुपए तक की परियोजनाएँ स्वीकृत हो सकेंगी। बैंक से लिये गये लोन पर तीन प्रतिशत की दर से ब्याज अनुदान सात वर्ष तक दिया जायेगा। योजना में अगले तीन वर्ष में 30 हजार हितग्राहियों को 12 करोड़ 50 लाख रुपए तक की परियोजनाओं में सहायता देने का लक्ष्य है।

मंत्रि-परिषद द्वारा ह्यपिछड़े वर्ग के बेरोजगार युवक-युवतियों को विदेश में रोजगार उपलब्ध कराने की योजना – 2022 को स्वीकृति प्रदान की गई। योजना में आगामी तीन वर्षों में प्रतिवर्ष प्रदेश के पिछड़ा वर्ग के चयनित लगभग 200 युवाओं को नियोक्ता की मांग अनुसार साफ्ट स्किल एवं आवश्यक लेंग्वेज का प्रशिक्षण देकर आकर्षक वेतन पर विदेश में रोजगार उपलब्ध कराया जाएगा।

पिछड़ वर्ग के युवाओं को जापान में नियोक्ता की माँग एवं रोजगार की उपलब्धता के अनुसार जापानी भाषा का प्रशिक्षण प्रदान कर रोजगार उपलब्ध कराया जाना है। प्रदेश के पिछड़ा वर्ग के पात्र 200 इच्छुक युवाओं को प्रशिक्षण प्रदान कर तीन से पांच वर्ष की अवधि के लिए रोजगार हेतु जापान भेजा जाएगा। प्रति युवा दो लाख 1800 रुपए का व्यय होगा। इसमें राज्य सरकार का अंशदान 50.45 प्रतिशत एवं लाभार्थी का अंशदान 49.55 प्रतिशत रहेगा। लाभार्थी को अपने अंशदान का 75 प्रतिशत तक ऋण उपलब्ध कराया जाएगा। योजना के प्रारंभिक 3 वर्षों में अनुमानित 6 करोड़ रूपए का व्यय होगा।

मंत्रि-परिषद की बैठक में मध्यप्रदेश आवास पुनर्विकास नीति- 2022 का अनुमोदन दिया गया। शहरों में स्थित पुराने और जीर्ण-शीर्ण मकानों को तोड़ कर रहवासियों को नवीन, बेहतर, आधुनिक एवं सुविधायुक्त आवास उपलब्ध कराने तथा शहरी भूमि का अनुकूलतम उपयोग के उद्देश्य से मध्यप्रदेश आवास पुनर्विकास नीति- 2022 का अनुमोदन किया गया।

मंत्रि-परिषद द्वारा पवित्र क्षिप्रा नदी में कान्ह नदी के दूषित जल को मिलने से रोकने के लिए उज्जैन जिले की कान्ह डायवर्सन क्लोज डक्ट परियोजना के लिये 598 करोड़ 66 लाख रुपए की सिंहस्थ मद अंतर्गत प्रशासकीय स्वीकृति दी गई। निर्माण एजेंसी 15 वर्षो तक इसका रख-रखाव कार्य भी करेगी।

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भोपाल, 6 दिसंबर (आईएएनएस)। मध्य प्रदेश में शिवराज सरकार ने पिछड़ा और अल्प संख्यकों का दिल जीतने के लिए बड़ा दाव चला है। इन दोनों वर्गों के लिए स्वरोजगार उपलब्ध कराने जहां योजना को मंजूरी दी गई है, वहीं पिछड़े वर्ग के बेरोजगार युवक-युवतियों को विदेश में रोजगार उपलब्ध कराने की योजना – 2022 को स्वीकृति प्रदान की गई है।

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की अध्यक्षता में मंत्रालय में मंत्रि-परिषद की बैठक में पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक वर्ग के व्यक्तियों को उद्यम एवं स्व-रोजगार उपलब्ध कराने के लिए मुख्यमंत्री पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक उद्यम – स्वरोजगार योजना-2022 स्वीकृत की गई। योजना में वित्तीय वर्ष 2022-23 के लिए सात करोड़ 50 लाख रुपए तथा आगामी दो वर्षों के लिये कुल 42 करोड़ 50 लाख रुपए की स्वीकृति प्रदान की गई। योजना से वर्ष 2022-23 एवं आगामी दो वर्षों में उद्यम के लिये छह हजार एवं स्व-रोजगार के लिये 30 हजार व्यक्तियों को लाभान्वित किया जा सकेगा।

इस योजना को मुख्यमंत्री उद्यम क्रांति योजना की तर्ज पर संचालित किया जायेगा। योजना में नये उद्योगों की स्थापना के लिये सहायता दी जायेगी। परिवार की वार्षिक आय अधिकतम 12 लाख रुपए तक होना चाहिये। उद्योग या निर्माण इकाई के लिये एक लाख से 50 लाख रुपए तक की परियोजनाएँ स्वीकृत हो सकेंगी। बैंक से लिये गये लोन पर तीन प्रतिशत की दर से ब्याज अनुदान सात वर्ष तक दिया जायेगा।

नवीन स्व-रोजगार की स्थापना के लिये स्व-रोजगार योजना में सहायता दी जायेगी। सभी प्रकार के स्व-रोजगार के लिये 10 हजार से एक लाख रुपए तक की परियोजनाएँ स्वीकृत हो सकेंगी। बैंक से लिये गये लोन पर तीन प्रतिशत की दर से ब्याज अनुदान सात वर्ष तक दिया जायेगा। योजना में अगले तीन वर्ष में 30 हजार हितग्राहियों को 12 करोड़ 50 लाख रुपए तक की परियोजनाओं में सहायता देने का लक्ष्य है।

मंत्रि-परिषद द्वारा ह्यपिछड़े वर्ग के बेरोजगार युवक-युवतियों को विदेश में रोजगार उपलब्ध कराने की योजना – 2022 को स्वीकृति प्रदान की गई। योजना में आगामी तीन वर्षों में प्रतिवर्ष प्रदेश के पिछड़ा वर्ग के चयनित लगभग 200 युवाओं को नियोक्ता की मांग अनुसार साफ्ट स्किल एवं आवश्यक लेंग्वेज का प्रशिक्षण देकर आकर्षक वेतन पर विदेश में रोजगार उपलब्ध कराया जाएगा।

पिछड़ वर्ग के युवाओं को जापान में नियोक्ता की माँग एवं रोजगार की उपलब्धता के अनुसार जापानी भाषा का प्रशिक्षण प्रदान कर रोजगार उपलब्ध कराया जाना है। प्रदेश के पिछड़ा वर्ग के पात्र 200 इच्छुक युवाओं को प्रशिक्षण प्रदान कर तीन से पांच वर्ष की अवधि के लिए रोजगार हेतु जापान भेजा जाएगा। प्रति युवा दो लाख 1800 रुपए का व्यय होगा। इसमें राज्य सरकार का अंशदान 50.45 प्रतिशत एवं लाभार्थी का अंशदान 49.55 प्रतिशत रहेगा। लाभार्थी को अपने अंशदान का 75 प्रतिशत तक ऋण उपलब्ध कराया जाएगा। योजना के प्रारंभिक 3 वर्षों में अनुमानित 6 करोड़ रूपए का व्यय होगा।

मंत्रि-परिषद की बैठक में मध्यप्रदेश आवास पुनर्विकास नीति- 2022 का अनुमोदन दिया गया। शहरों में स्थित पुराने और जीर्ण-शीर्ण मकानों को तोड़ कर रहवासियों को नवीन, बेहतर, आधुनिक एवं सुविधायुक्त आवास उपलब्ध कराने तथा शहरी भूमि का अनुकूलतम उपयोग के उद्देश्य से मध्यप्रदेश आवास पुनर्विकास नीति- 2022 का अनुमोदन किया गया।

मंत्रि-परिषद द्वारा पवित्र क्षिप्रा नदी में कान्ह नदी के दूषित जल को मिलने से रोकने के लिए उज्जैन जिले की कान्ह डायवर्सन क्लोज डक्ट परियोजना के लिये 598 करोड़ 66 लाख रुपए की सिंहस्थ मद अंतर्गत प्रशासकीय स्वीकृति दी गई। निर्माण एजेंसी 15 वर्षो तक इसका रख-रखाव कार्य भी करेगी।

–आईएएनएस

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भोपाल, 6 दिसंबर (आईएएनएस)। मध्य प्रदेश में शिवराज सरकार ने पिछड़ा और अल्प संख्यकों का दिल जीतने के लिए बड़ा दाव चला है। इन दोनों वर्गों के लिए स्वरोजगार उपलब्ध कराने जहां योजना को मंजूरी दी गई है, वहीं पिछड़े वर्ग के बेरोजगार युवक-युवतियों को विदेश में रोजगार उपलब्ध कराने की योजना – 2022 को स्वीकृति प्रदान की गई है।

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की अध्यक्षता में मंत्रालय में मंत्रि-परिषद की बैठक में पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक वर्ग के व्यक्तियों को उद्यम एवं स्व-रोजगार उपलब्ध कराने के लिए मुख्यमंत्री पिछड़ा वर्ग तथा अल्पसंख्यक उद्यम – स्वरोजगार योजना-2022 स्वीकृत की गई। योजना में वित्तीय वर्ष 2022-23 के लिए सात करोड़ 50 लाख रुपए तथा आगामी दो वर्षों के लिये कुल 42 करोड़ 50 लाख रुपए की स्वीकृति प्रदान की गई। योजना से वर्ष 2022-23 एवं आगामी दो वर्षों में उद्यम के लिये छह हजार एवं स्व-रोजगार के लिये 30 हजार व्यक्तियों को लाभान्वित किया जा सकेगा।

इस योजना को मुख्यमंत्री उद्यम क्रांति योजना की तर्ज पर संचालित किया जायेगा। योजना में नये उद्योगों की स्थापना के लिये सहायता दी जायेगी। परिवार की वार्षिक आय अधिकतम 12 लाख रुपए तक होना चाहिये। उद्योग या निर्माण इकाई के लिये एक लाख से 50 लाख रुपए तक की परियोजनाएँ स्वीकृत हो सकेंगी। बैंक से लिये गये लोन पर तीन प्रतिशत की दर से ब्याज अनुदान सात वर्ष तक दिया जायेगा।

नवीन स्व-रोजगार की स्थापना के लिये स्व-रोजगार योजना में सहायता दी जायेगी। सभी प्रकार के स्व-रोजगार के लिये 10 हजार से एक लाख रुपए तक की परियोजनाएँ स्वीकृत हो सकेंगी। बैंक से लिये गये लोन पर तीन प्रतिशत की दर से ब्याज अनुदान सात वर्ष तक दिया जायेगा। योजना में अगले तीन वर्ष में 30 हजार हितग्राहियों को 12 करोड़ 50 लाख रुपए तक की परियोजनाओं में सहायता देने का लक्ष्य है।

मंत्रि-परिषद द्वारा ह्यपिछड़े वर्ग के बेरोजगार युवक-युवतियों को विदेश में रोजगार उपलब्ध कराने की योजना – 2022 को स्वीकृति प्रदान की गई। योजना में आगामी तीन वर्षों में प्रतिवर्ष प्रदेश के पिछड़ा वर्ग के चयनित लगभग 200 युवाओं को नियोक्ता की मांग अनुसार साफ्ट स्किल एवं आवश्यक लेंग्वेज का प्रशिक्षण देकर आकर्षक वेतन पर विदेश में रोजगार उपलब्ध कराया जाएगा।

पिछड़ वर्ग के युवाओं को जापान में नियोक्ता की माँग एवं रोजगार की उपलब्धता के अनुसार जापानी भाषा का प्रशिक्षण प्रदान कर रोजगार उपलब्ध कराया जाना है। प्रदेश के पिछड़ा वर्ग के पात्र 200 इच्छुक युवाओं को प्रशिक्षण प्रदान कर तीन से पांच वर्ष की अवधि के लिए रोजगार हेतु जापान भेजा जाएगा। प्रति युवा दो लाख 1800 रुपए का व्यय होगा। इसमें राज्य सरकार का अंशदान 50.45 प्रतिशत एवं लाभार्थी का अंशदान 49.55 प्रतिशत रहेगा। लाभार्थी को अपने अंशदान का 75 प्रतिशत तक ऋण उपलब्ध कराया जाएगा। योजना के प्रारंभिक 3 वर्षों में अनुमानित 6 करोड़ रूपए का व्यय होगा।

मंत्रि-परिषद की बैठक में मध्यप्रदेश आवास पुनर्विकास नीति- 2022 का अनुमोदन दिया गया। शहरों में स्थित पुराने और जीर्ण-शीर्ण मकानों को तोड़ कर रहवासियों को नवीन, बेहतर, आधुनिक एवं सुविधायुक्त आवास उपलब्ध कराने तथा शहरी भूमि का अनुकूलतम उपयोग के उद्देश्य से मध्यप्रदेश आवास पुनर्विकास नीति- 2022 का अनुमोदन किया गया।

मंत्रि-परिषद द्वारा पवित्र क्षिप्रा नदी में कान्ह नदी के दूषित जल को मिलने से रोकने के लिए उज्जैन जिले की कान्ह डायवर्सन क्लोज डक्ट परियोजना के लिये 598 करोड़ 66 लाख रुपए की सिंहस्थ मद अंतर्गत प्रशासकीय स्वीकृति दी गई। निर्माण एजेंसी 15 वर्षो तक इसका रख-रखाव कार्य भी करेगी।

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