पुणे, 21 जनवरी (आईएएनएस)। अंधविश्वास के एक विचित्र मामले में एक विवाहित महिला को कथित तौर पर गर्भवती होने में मदद करने के लिए मानव अस्थि चूर्ण और राख युक्त पानी का सेवन करने के लिए मजबूर किया गया। पुलिस ने शनिवार को यह जानकारी दी।
जांच अधिकारी इंस्पेक्टर जयंत राजुरकर ने बताया कि 27 वर्षीय पीड़िता ने सिंहगढ़ पुलिस थाने में शिकायत दर्ज कराई। इसके बाद कार्रवाई करते हुए महिला के पति जयंत कोकाले, उसके माता-पिता, उसके भाई और तीन अन्य लोगों को गिरफ्तार कर लिया गया।
साथ ही महाराष्ट्र राज्य महिला आयोग की अध्यक्ष रूपाली चाकणकर ने पुलिस से आरोपों पर रिपोर्ट मांगी है।
इंस्पेक्टर राजुरकर के अनुसार महिला की आरोपी के साथ 2019 में शादी हुई थी और उसके कथित तौर पर गर्भ धारण करने में विफल रहने के बाद परिवार द्वारा काला जादू अनुष्ठान शुरू किया गया था।
अपनी शिकायत में महिला ने तर्क दिया है कि उसे जबरन एक श्मशान में ले जाया गया, कुछ अजीब पानी के मिश्रण से नहलाया गया और पानी पीने के लिए मजबूर किया गया, जिसमें कथित तौर पर मानव हड्डियों का चूर्ण या राख मिलाया गया था।
राजुरकर ने कहा कि परिवार ने उससे बार-बार पैसे की मांग की और सभी उत्पीड़न से तंग आकर आखिरकार उसने कोकाले घर छोड़ दिया।
राजुरकर ने आईएएनएस को बताया, वर्तमान में अपने तलाक की कार्यवाही के संबंध में पीड़िता ने पुलिस में शिकायत दर्ज कराई है, जिसमें उसने अपनी आपबीती बताई है कि कैसे वह अपने पति और ससुराल वालों के साथ रहने के दौरान काले जादू, अंधविश्वास और अन्य व्यवहार के अधीन थी।
पीड़िता की शिकायत पर सिंहगढ़ पुलिस ने कोकाटे कबीले के कई सदस्यों को संबंधित कानूनों के तहत विभिन्न आरोपों में गिरफ्तार किया है और आगे की जांच जारी है, जिसमें किसी तांत्रिक या काले जादूगर की संभावित संलिप्तता भी शामिल है।
महाराष्ट्र महिला आयोग की प्रमुख चाकणकर ने पुणे पुलिस से मामले में सख्त कार्रवाई करने की अपील की है।
–आईएएनएस
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