मुंबई, 2 अक्टूबर (आईएएनएस)। मुंबई के वीपी रोड पुलिस ने एक हनीट्रैप गिरोह का पर्दाफाश करते हुए तीन महिलाओं को गिरफ्तार किया है। इन पर 46 वर्षीय व्यवसायी को फंसाकर उससे 35,000 रुपये की उगाही करने का आरोप है। इस मामले में एक अन्य महिला फरार है, जिसकी तलाश जारी है। पुलिस ने गिरफ्तार महिलाओं को कोर्ट में पेश किया, जहां से उन्हें दो दिन की पुलिस हिरासत में भेज दिया गया।
पुलिस के अनुसार, दक्षिण मुंबई में महिलाओं द्वारा संचालित यह हनीट्रैप गिरोह कई जबरन वसूली की घटनाओं में शामिल है। मामला जलगांव के एक व्यवसायी से जुड़ा है, जो काम के सिलसिले में मुंबई आया था। 30 सितंबर को छत्रपति शिवाजी महाराज टर्मिनस (सीएसएमटी) के बाहर एक महिला ने उससे संपर्क किया और 500 रुपये में यौन सेवाएं देने का झांसा दिया।
व्यवसायी के सहमत होने पर वह उसे टैक्सी से गिरगांव के भारत भवन होटल के पास एक इमारत में ले गई। वहां पहले से मौजूद एक अन्य महिला ने व्यवसायी से कपड़े उतारने को कहा। जैसे ही उसने अपना फोन निकाला, महिला ने चिल्लाकर उस पर वीडियो रिकॉर्डिंग का आरोप लगाया। तभी तीन अन्य महिलाएं कमरे में घुस आईं और उसका फोन जबरन अनलॉक करवाकर एक मोबाइल ऐप के जरिए 22,000 रुपये ट्रांसफर कर लिए। इसके बाद उन्होंने उसे सार्वजनिक रूप से बदनाम करने की धमकी देकर उसके बटुए से 13,000 रुपये नकद भी छीन लिए और चुप रहने की चेतावनी दी।
डर के कारण व्यवसायी पहले चुप रहा, लेकिन बाद में उसने वीपी रोड पुलिस स्टेशन में शिकायत दर्ज की। पुलिस ने ऑनलाइन ट्रांसफर की पुष्टि की और सीसीटीवी फुटेज के आधार पर तीन महिलाओं, माजिदा नूर सरदार गाझी (35), रूपा विश्वनाथ दास (47) और नसिम्मा जमान शेख (38) को गिरफ्तार किया।
पुलिस उपायुक्त (जोन 2) मोहित गर्ग ने गिरफ्तारी की पुष्टि की। पुलिस को शक है कि यह गिरोह अन्य लोगों को भी इसी तरह निशाना बना चुका है। कई पीड़ित सामाजिक डर के कारण शिकायत दर्ज नहीं कराते। पुलिस अब जांच कर रही है कि क्या यह गिरोह किसी बड़े उगाही रैकेट का हिस्सा है।
–आईएएनएस
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