नई दिल्ली, 6 सितंबर (आईएएनएस)। दिल्ली में यमुना का जलस्तर बढ़ने से घरों में पानी घुस गया है और सैकड़ों परिवार राहत शिविरों में रहने को मजबूर हैं, लेकिन इन शिविरों में मूलभूत सुविधाओं की भारी कमी उजागर हो रही है। शनिवार को आम आदमी पार्टी के विधायक संजीव झा ने बुराड़ी स्थित प्रधान एन्क्लेव बाढ़ राहत शिविर का दौरा किया, जहां पीड़ितों ने सरकार के दावों की पोल खोल दी।
कैंप में मौजूद लोगों ने संजीव झा को बताया कि दोपहर 12:30 बजे तक उन्हें नाश्ता तक नहीं मिला था। इस पर नाराजगी जाहिर करते हुए संजीव झा ने कहा कि भाजपा सरकार सिर्फ कागजों पर राहत का दिखावा कर रही है, जबकि जमीनी हकीकत इसके विपरीत है। उन्होंने सवाल उठाया कि एसडीएम का कहना है कि खाना पहुंच गया है और उसकी तस्वीर भी मौजूद है, लेकिन जब शिविर के लोग कह रहे हैं कि उन्हें खाना नहीं मिला तो आखिर वह भोजन गया कहां? इसकी जांच होनी चाहिए।
संजीव झा ने कहा कि शिविरों में रह रहे लोग ज्यादातर छोटे किसान हैं, जिनकी आजीविका खेती पर निर्भर थी। यमुना में आई बाढ़ से उनकी पूरी फसल चौपट हो चुकी है। उन्होंने याद दिलाया कि जब दिल्ली में आम आदमी पार्टी की सरकार थी तो फसल नुकसान का मुआवजा राहत शिविर खत्म होने से पहले ही किसानों को मिल जाता था, लेकिन इस बार अब तक रजिस्ट्रेशन तक शुरू नहीं हुआ है।
उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार बंद कमरों में बैठकर मीटिंग करने तक ही सीमित है, जबकि जरूरत इस बात की है कि मंत्री और अधिकारी खुद शिविरों में आकर प्रभावित लोगों की समस्याएं सुनें। झा ने मुख्यमंत्री को भी चिट्ठी लिखकर अपील की है कि वह शिविरों का दौरा करें और किसानों को जल्द से जल्द मुआवजे की राशि उपलब्ध कराई जाए।
संजीव झा ने यह भी कहा कि पिछले साल आम आदमी पार्टी की सरकार में राहत के इंतजाम कहीं बेहतर थे, लेकिन इस बार हालात बेहद खराब हैं। उन्होंने कहा कि भाजपा सरकार को बड़ी-बड़ी बातें करने के बजाय बाढ़ प्रभावित गरीब किसानों की पीड़ा समझनी चाहिए और तुरंत राहत पहुंचानी चाहिए।
–आईएएनएस
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