दिल्ली, 9 अगस्त (आईएएनएस)। लोकसभा में गुरुवार को पेश हुए वक्फ संशोधन बिल 2024 के खिलाफ मुस्लिम धर्मगुरु भी सामने आने लगे हैं। मुस्लिम धर्मगुरु मौलाना कल्बे जव्वाद ने बिल को लेकर आपत्ति जताई है। उन्होंने कहा कि यह बिल जो लोकसभा में पेश किया गया है, यह पूर्ण रूप से वक्फ बोर्ड के खिलाफ है।
उन्होंने कहा, यह बिल किसी भी तरह से मुसलमानों के हित में नहीं है। सरकार द्वारा पेश किया गया बिल वक्फ बोर्ड को बर्बाद करने का बिल है। इस बिल से मुसलमानों को नुकसान होने वाला है।
उन्होंने कहा कि कांग्रेस इस बिल का विरोध कर रही है। मैं उनसे पूछना चाहता हूं कि उनके द्वारा वक्फ की जमीनों पर 50 फीसदी कब्जा कराया गया। यह दिखावे के लिए विरोध प्रदर्शन कर रहे हैं। वहीं, केंद्र की भाजपा सरकार अब कांग्रेस के दिखाए गए रास्ते पर चल रही है।
उन्होंने कहा कि इस बिल के खिलाफ हमने बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार, आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू से समय मांगा है। हम उन्हें बताएंगे कि सरकार जो बिल लोकसभा में लाई है, हमें वह मंजूर नहीं है।
लोकसभा में केंद्रीय मंत्री किरण रिजिजू ने बिल पेश होने के दौरान कहा कि यह बिल मुस्लिम समुदाय के भीतर महिलाओं, बच्चों और पिछड़े वर्गों के सदस्यों के लिए प्रतिनिधित्व और अवसर सुनिश्चित करने के लिए पेश किया गया है, जिन्हें आज से पहले कभी मौका नहीं दिया गया।
उन्होंने कहा कि मैं पूरी ज़िम्मेदारी के साथ इस सदन को बताना चाहता हूं कि इस बिल में जो भी प्रावधान हैं, वे आर्टिकल 25 से लेकर 30 तक किसी भी धार्मिक संस्था की स्वतंत्रता में कोई हस्तक्षेप नहीं किया जा रहा हैं।
वक्फ संशोधन बिल पहली बार इस सदन में पेश नहीं किया गया है। आजादी के बाद एक्ट लाया गया 1954 में, उसके बाद कई अमेंडमेंट हुए। हम 1995 के कानून में संशोधन के लिए बिल ला रहे हैं, क्योंकि 2013 में ऐसे प्रावधान लाए गए जिसने वक्फ एक्ट 1995 का स्वरूप बदल दिया।
–आईएएनएस
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