नई दिल्ली, 28 मार्च (आईएएनएस)। केंद्रीय सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्री (एमओआरटीएच), नितिन गडकरी ने मंगलवार को देश में सड़क उपयोगकतार्ओं के बीच सड़क सुरक्षा की संस्कृति को विकसित करने में व्यापारिक महिलाओं और कॉर्पोरेट के सहयोग की मांग की।
गडकरी ने यंग फिक्की लेडीज ऑर्गनाइजेशन (वाईएफएलओ) द्वारा आयोजित एक कार्यक्रम में कहा- सड़क इंजीनियरिंग के अलावा, देश में सड़क सुरक्षा में सुधार के लिए सबसे महत्वपूर्ण कारक सड़क नियमों का उल्लंघन करने वाले मानवीय व्यवहार को बदलना है। जब तक इंसानी व्यवहार नहीं बदलेगा, नियमों का पालन नहीं होगा। अकेले सरकार यह नहीं कर सकती, हमें निजी भागीदारी की जरूरत है।
गडकरी ने कहा- भारत में, हर साल पांच लाख दुर्घटनाएं होती हैं, जिसके परिणामस्वरूप 1.5 लाख मौतें होती हैं, जिनमें से 60 प्रतिशत 18-34 वर्ष की आयु के युवा हैं। महिला उद्यमी स्कूल स्तर पर सड़क सुरक्षा को बढ़ावा देने में मदद कर सकती हैं और साथ ही अपने कर्मचारियों और उनके परिवारों को सड़क सुरक्षा की संस्कृति सिखा सकती हैं और सड़क सुरक्षा और नियमों के प्रवर्तन पर शिक्षा के संदेश का प्रचार करने के लिए अपने रसद और वाहक का उपयोग करें, जो भारत में सुरक्षा मानकों में सुधार के लिए महत्वपूर्ण हैं।
मंत्री ने कहा- मैं ज्ञान को शक्ति के रूप में देखता हूं। मैं कचरे को भी धन के रूप में देखता हूं। अंतिम परिणाम देखने के लिए उपयुक्त तकनीक की आवश्यकता है। आप जो कुछ भी करते हैं उसमें सफल होने के लिए आवश्यकता-आधारित शोध प्राथमिक महत्व का होना चाहिए। व्यक्ति को आगे की सोचना चाहिए, क्योंकि हरित हाइड्रोजन भविष्य का ईंधन है। पेट्रोल कीमती होता जा रहा है और हमें वैकल्पिक ईंधन की आवश्यकता है। मैं एक दर्जन वैकल्पिक ईंधन जैसे बायोडीजल, प्राकृतिक गैस, इथेनॉल, मीथेन, प्रोपेन, बिजली और हाइड्रोजन के बारे में सोचता हूं, जो वर्तमान में विकास के अधीन हैं या भविष्य के बिजली वाहनों के उत्पादन में हैं और कुछ उपलब्ध भी हैं।
उन्होंने कहा- महिलाओं को भी पारिस्थितिकी और पर्यावरण में सुधार की दिशा में काम करना चाहिए। राष्ट्रीय राजधानी में हवा की गुणवत्ता में सुधार के लिए सड़क परिवहन मंत्रालय छह लेन शहरी विस्तार रोड (यूईआर) 2 विकसित कर रहा है जो राजधानी की तीसरी रिंग रोड होगी। इस साल के अंत तक इसके चालू होने की संभावना है।
इस अवसर पर बोलते हुए, जयंती डालमिया, राष्ट्रीय अध्यक्ष, एफएलओ, ने कहा- भारत भर में 19 अध्यायों और 9,000 सदस्यों के साथ एफएलओ महिला उद्यमियों और पेशेवरों को सशक्त बनाने और उन्हें भारतीय अर्थव्यवस्था में समान योगदानकर्ता बनने के लिए कौशल और क्षमताओं से लैस करने के हमारे जनादेश के माध्यम से प्रतिनिधित्व करता है।
–आईएएनएस
केसी/एएनएम