नई दिल्ली, 15 दिसंबर (आईएएनएस)। देश की शीर्ष जांच एजेंसी केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) ने बुधवार को बताया कि 2019 से लेकर 30 नवंबर, 2022 तक संसद में सरकार और संवैधानिक पदाधिकारियों के बारे में अपमानजनक पोस्ट करने के आरोप में कुल 15 मामले दर्ज किए हैं।
केंद्रीय कार्मिक मंत्री जितेंद्र सिंह ने एक प्रश्न के लिखित उत्तर में लोकसभा को बताया, इन 15 मामलों में से 6 मामलों की जांच चल रही है, जबकि 9 मामलों में 28 अभियुक्तों के खिलाफ 28 आरोपपत्र दाखिल किए गए हैं। सभी मामले, जिनमें आरोपपत्र दाखिल किए गए हैं, विचाराधीन हैं।
सूचना प्रौद्योगिकी अधिनियम, 2000 की धारा 69ए सरकार को भारत की संप्रभुता और अखंडता, भारत की रक्षा, राज्य की सुरक्षा, विदेशी राज्यों के साथ मैत्रीपूर्ण संबंधों या सार्वजनिक व्यवस्था या रोकथाम के हित की विशिष्ट शर्तो के तहत सार्वजनिक पहुंच से सूचना को अवरुद्ध करने का अधिकार देती है।
उन्होंने कहा, इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय को सूचना प्रौद्योगिकी (प्रक्रिया सुरक्षा उपायों को सार्वजनिक रूप से सूचना की पहुंच को अवरुद्ध करने के लिए) नियम, 2009 में परिकल्पित उचित प्रक्रिया का पालन करने के बाद ब्लॉकिंग निर्देश जारी करने का अधिकार है।
–आईएएनएस
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