नई दिल्ली, 5 सितंबर (आईएएनएस)। केंद्र सरकार के अनुसार, ‘सेमिकॉन इंडिया 2025’ कार्यक्रम ने वैश्विक उद्योग जगत के नेताओं, नीति निर्माताओं, शिक्षाविदों, कंपनियों और स्टार्टअप्स को एक साथ लाने का काम किया, जिससे निवेश, संवाद और रणनीतिक साझेदारी को बढ़ावा मिला।
तीन दिवसीय सम्मेलन ने सीमा पार सहयोग, अनुसंधान के व्यावसायीकरण, कौशल विकास और ग्लोबल सेमीकंडक्टर वैल्यू चेन में इंटीग्रेशन को सक्षम बनाकर भारत की सेमीकंडक्टर महत्वाकांक्षाओं को आगे बढ़ाने में उत्प्रेरक का काम किया।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सम्मेलन का उद्घाटन करते हुए कहा, “हम एक ऐसा सेमीकंडक्टर इकोसिस्टम बना रहे हैं, जो भारत को आत्मनिर्भर और वैश्विक रूप से प्रतिस्पर्धी बनाएगा।”
प्रधानमंत्री मोदी ने जोर देकर कहा, “वह दिन दूर नहीं जब भारत की सबसे छोटी चिप दुनिया में सबसे बड़ा बदलाव लाएगी। हमारी यात्रा देर से शुरू हुई, लेकिन अब हमें कोई नहीं रोक सकता। भारत रिफॉर्म, परफॉर्म और ट्रांसफॉर्म के मंत्र पर चलकर यहां तक पहुंचा है। आने वाले समय में, हम अगली पीढ़ी के सुधारों का एक नया चरण शुरू करने जा रहे हैं। हम भारत सेमीकंडक्टर मिशन के अगले चरण पर भी काम कर रहे हैं। हमारी नीतियां अल्पकालिक संकेत नहीं हैं; ये दीर्घकालिक प्रतिबद्धताएं हैं।”
भारत को अगला सेमीकंडक्टर पावरहाउस बनाने की दिशा में यह भारत की यात्रा में एक महत्वपूर्ण मील का पत्थर साबित हुआ।
इस कार्यक्रम में 48 देशों और क्षेत्रों की 350 से अधिक प्रदर्शनी कंपनियां और प्रतिभागी शामिल हुए। चार कंट्री पैवेलियन, 6 कंट्री राउंड टेबल और वर्कफोर्स डेवलपमेंट पैवेलियन भी इस कार्यक्रम का हिस्सा थे, साथ ही सेमीकंडक्टर डिजाइन, फ़ैब्रिक और डिस्प्ले निर्माण, पैकेजिंग, अनुसंधान एवं विकास, राज्य की नीतियां, इकोसिस्टम विकास आदि के विभिन्न पहलुओं को शामिल करने वाला एजेंडा भी शामिल था।
आईटी मंत्रालय ने कहा कि इस कार्यक्रम में 35,000 पंजीकरण, 30,000 लोगों की उपस्थिति और 25,000 लोगों ने ऑनलाइन देखा।
‘सेमीकॉन इंडिया 2025’ का आयोजन इलेक्ट्रॉनिक्स एवं सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय के अंतर्गत इंडिया सेमीकंडक्टर मिशनऔर वैश्विक सेमीकंडक्टर उद्योग संघ, एसईएमआई द्वारा संयुक्त रूप से किया गया था।
आईटी मंत्रालय के अनुसार, बेंगलुरु (2022), गांधीनगर (2023) और ग्रेटर नोएडा (2024) में सफल आयोजनों के बाद, दिल्ली में 2025 का आयोजन वैश्विक सेमीकंडक्टर परिदृश्य में भारत की नई भूमिका को प्रदर्शित कर एक नया मानक स्थापित करेगा।
–आईएएनएस
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