लखनऊ, 25 जुलाई (आईएएनएस)। सेफ सिटी परियोजना के अंतर्गत नगर विकास विभाग ने सेफ सिटी ऐप को अपने स्मार्ट सिटी ऐप में समाहित करने का निर्णय लिया है। मुख्य सचिव दुर्गा शंकर मिश्र के समक्ष सेफ सिटी परियोजना को लेकर हुए प्रस्तुतिकरण में इसकी जानकारी दी गई।
दरअसल, योगी सरकार सेफ सिटी परियोजना को तेज़ी से धरातल पर उतारने की दिशा में आगे बढ़ रही है। परियोजना को तय समय में पूर्ण करने के लिए विभिन्न विभागों को जिम्मेदारियां प्रदान की गई हैं। परियोजना के अंतर्गत नगर विकास विभाग से प्रथम चरण में 17 नगर निगम एवं गौतमबुद्ध नगर में सीसीटीवी के डेटा कलेक्शन की अपेक्षा की गई थी, जिसके जवाब ने नगर विकास विभाग द्वारा प्रगति के विषय में जानकारी दी गई।
इसमें बताया गया कि कमेटी का गठन जल्द से जल्द किया जाना है। सेफ सिटी ऐप को लेकर बताया गया है कि स्मार्ट सिटी ऐप में ही सेफ सिटी ऐप को समाहित किया जाएगा। इसके साथ ही वाराणसी को छोड़कर सभी 16 नगर निगमों में वरिष्ठों के लिए डे-केयर सेंटर की शुरुआत हो चुकी है। इसी के तहत मिशन निदेशक स्मार्ट सिटी धर्मेंद्र प्रताप सिंह को राज्य स्तरीय नोडल अधिकारी नामित किया गया है।
परिवहन विभाग से सभी सिटी बसों, ओला, उबर में सीसीटीवी और पैनिक बटन लगाए जाने की अपेक्षा की गई थी। इसके जवाब में परिवहन विभाग द्वारा बताया गया कि इस हेतु दिल्ली मॉडल का अध्ययन कर आख्या प्रमुख सचिव, परिवहन विभाग, यूपी को 13 जुलाई 2023 को उपलब्ध करा दी गई है। इन्टीग्रेशन के सम्बन्ध में वार्ता के लिए ओला एवं उबर के प्रतिनिधियों को बुलाया गया है। परिवहन विभाग द्वारा यूपी 112 के प्रतिनिधियों के साथ बैठक कर योजना के क्रियान्वयन, इन्टीग्रेशन की कार्ययोजना तय करने के निर्देश दिए गए हैं। इसके अलावा परिवहन विभाग को नयन ऐप का अध्ययन किए जाने हेतु कहा गया है।
–आईएएनएस
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