चंडीगढ़, 15 दिसंबर (आईएएनएस)। मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने विधानसभा के शीतकालीन सत्र के पहले दिन एक प्रस्ताव पेश करते हुए कहा कि हरियाणा को जल्द ही राज्य के समृद्ध इतिहास, विरासत और जीवंत संस्कृति को दर्शाने वाला अपना राज्य गीत मिलेगा।
सरकार द्वारा चुने गए तीन गीत सदन में बजाए गए, एक गीत को आधिकारिक तौर पर राज्य गीत घोषित करने का फैसला होगा।
यह गीत राज्य के समृद्ध इतिहास, विरासत और संस्कृति को समाहित करता है, जो राज्य के लिए एक महत्वपूर्ण सांस्कृतिक मील का पत्थर का प्रतीक है।
प्रस्ताव पेश करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि हरियाणा 1 नवंबर 1966 को अस्तित्व में आया था। लेकिन, हरियाणा की पवित्र भूमि पूर्व-वैदिक काल से ही हमारे इतिहास, परंपरा और संस्कृति का केंद्र रही है।
सीएम मनोहर लाल खट्टर ने कहा, ”हरियाणा आज भारत के अग्रणी राज्यों में से एक माना जाता है। हरियाणा के लोगों ने हमेशा राष्ट्र की रक्षा में कई बलिदान दिए हैं और राष्ट्र निर्माण में महत्वपूर्ण योगदान दिया है।”
सीएम ने आगे कहा, ”हरियाणा का अपना प्रतीक है, इसका कोई राज्य गीत नहीं है जो इसके इतिहास और संस्कृति का प्रतिनिधित्व करता है। एक बार अपनाया गया राज्य गीत सभी हरियाणवियों को उनकी जाति, लिंग, धर्म या आर्थिक स्थिति की परवाह किए बिना एक नई गौरवपूर्ण पहचान प्रदान करेगा।”
अखबार के विज्ञापनों के माध्यम से सार्वजनिक निमंत्रण के जवाब में लोगों द्वारा प्रस्तुत 204 प्रविष्टियों में से गीत के विकल्पों को एक विस्तृत प्रक्रिया के माध्यम से चुना गया है। सीएम ने कहा कि इस गीत को प्रारंभ में एक वर्ष की अवधि के लिए हरियाणा के राज्य गीत के रूप में अपनाया गया था।
मुझे उम्मीद है कि राज्य गीत हरियाणा के लोगों की सामूहिक इच्छा का प्रतिनिधित्व करेगा जिनका हम सभी प्रतिनिधित्व करते हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि सदस्यों को 19 दिसंबर को इन गीतों की समीक्षा करने के बाद अपनी राय साझा करनी चाहिए। इसके अलावा, यदि वे गीत का एक नया मसौदा प्रस्तावित करना चाहते हैं, तो उन्हें ऐसा करने के लिए प्रोत्साहित किया जाता है।
–आईएएनएस
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