नई दिल्ली, 7 सितंबर (आईएएनएस)। सनातन धर्म को लेकर तमिलनाडु के मंत्री उदयनिधि स्टालिन द्वारा दिए गए बयान को लेकर डीएमके एवं विपक्षी गठबंधन और भाजपा नेताओं के बीच जारी आरोप-प्रत्यारोप का दौर अब पुलिस के दरवाजे तक पहुंच गया है।
बताया जा रहा है कि स्टालिन के बयान को तोड़-मरोड़कर पेश करने का आरोप लगाते हुए तमिलनाडु पुलिस को मिली एक शिकायत के आधार पर भाजपा आईटी सेल के हेड अमित मालवीय के खिलाफ एफआईआर दर्ज कर ली गई है।
हालांकि मालवीय ने 2 सितंबर को किए गए अपने एक्स को 6 सितंबर को फिर से रिपोस्ट कर अपने इरादे जाहिर कर दिए हैं कि वह इस मसले पर राजनीतिक लड़ाई के साथ-साथ कानूनी लड़ाई भी लड़ने को तैयार हैं।
भाजपा भी सनातन धर्म से जुड़े इस मसले को कतई छोड़ने को तैयार नहीं है।
विपक्षी इंडिया गठबंधन के महत्वपूर्ण घटक दल डीएमके के सुप्रीमो एवं तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एमके स्टालिन के बेटे उदयनिधि स्टालिन द्वारा दिए गए बयान के मुद्दे को भाजपा सिर्फ तमिलनाडु तक ही सीमित नहीं रहने देना चाहती है। इसलिए भाजपा के दिग्गज नेता मध्य प्रदेश और राजस्थान के चुनावी मैदान से लेकर दिल्ली तक बार-बार और लगातार इस मुद्दे को उठाकर राहुल गांधी, मल्लिकार्जुन खरगे, अखिलेश यादव, ममता बनर्जी, नीतीश कुमार और तेजस्वी यादव सहित अन्य विपक्षी नेताओं का नाम ले-लेकर सवाल पूछ रहे हैं और जवाब मांग रहे हैं।
बुधवार को केंद्रीय मंत्रिपरिषद की बैठक की अध्यक्षता करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी अपने मंत्रियों को उदयनिधि स्टालिन द्वारा सनातन धर्म पर दिए गए बयान का सही तरीके से और सख्ती से जवाब देने को कहा था।
दरअसल, भाजपा इसे आने वाले दिनों में एक बड़ा मुद्दा बनाए रखना चाहती है क्योंकि स्टालिन के बयान ने कांग्रेस सहित विपक्षी इंडिया गठबंधन में शामिल कई दलों को दुविधा की स्थिति में डाल दिया है और भाजपा इस दुविधा की स्थिति को और ज्यादा बढ़ा कर इन दलों पर दबाव बनाए रखना चाहती है।
–आईएएनएस
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