नई दिल्ली, 8 फरवरी (आईएएनएस)। पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान गुरुवार को अरविंद केजरीवाल के साथ केंद्र के खिलाफ केरल सीएम पिनाराई विजयन के प्रदर्शन में शामिल हुए।
जंतर-मंतर पर सभा को संबोधित करते हुए सीएम मान ने विजयन को धन्यवाद देते हुए कहा कि ‘उन्होंने देश के संविधान, लोकतंत्र और संघीय ढांचे को बचाने के लिए महत्वपूर्ण पहल की है।’
मौजूदा समय में राज्यों के प्रति केंद्र सरकार का रवैया ‘बेहद चिंताजनक’ है। बजट सत्र के दिन चल रहे हैं, आज हम अपने कार्यालयों में बैठकर अपने राज्य का बजट बना रहे होते, लेकिन हमें अपने अधिकारों के लिए जंतर-मंतर आना पड़ा।”
सीएम मान ने कहा कि पंजाब एक कृषि प्रधान राज्य है। राज्य के किसान हर साल 182 लाख मीट्रिक टन चावल पैदा करते हैं और देश को देते हैं।
फिर भी, केंद्र सरकार हमारे ग्रामीण विकास कोष (आरडीएफ) के 5,500 करोड़ रुपये रोक रही है। इस निधि का उपयोग ग्रामीण क्षेत्रों में विपणन यार्डों और उन तक पहुंचने वाली सड़कों के निर्माण और मरम्मत के लिए किया जाता है। हमें इस मामले में सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाना पड़ा।
उन्होंने कहा कि एक तरफ, केंद्र सरकार हमारे फंड को रोक रही है और दूसरी तरफ, केंद्र द्वारा नियुक्त राज्यपाल सरकार के दैनिक कामकाज में हमारे लिए समस्याएं पैदा करते हैं।
पिछली बार उन्होंने पंजाब विधानसभा सत्र को अवैध करार दिया था, तब हमें सत्र बीच में रोककर सुप्रीम कोर्ट जाना पड़ा। वहां, पहली ही तारीख को अदालत ने उन्हें फटकार लगाई और हमें सत्र बुलाने की अनुमति दे दी।
उन्होंने आरोप लगाया कि जिन राज्यों में भाजपा विपक्ष में भी नहीं है, वहां भाजपा के राज्यपाल विपक्ष के रूप में काम करते हैं। वह हर दिन सरकार को एक नया पत्र लिखते हैं। मैंने कभी नहीं देखा कि गुजरात, हरियाणा, उत्तर प्रदेश और मध्य प्रदेश जैसे किसी भी भाजपा शासित राज्य के राज्यपाल वहां सरकार के कार्यों में हस्तक्षेप कर रहे हों या किसी मुख्यमंत्री को पत्र लिख रहे हों।
सीएम केजरीवाल ने आरोप लगाया कि केंद्र सरकार प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) को अपने हथियार के रूप में इस्तेमाल कर रही है।
–आईएएनएस
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