नई दिल्ली, 24 फरवरी (आईएएनएस)। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के असम दौरे से पहले सोमवार को कांग्रेस पार्टी ने भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) पर निशाना साधते हुए कई सवाल पूछे हैं। कांग्रेस ने भ्रष्टाचार, अवैध रैट होल माइनिंग, बेरोजगारी, असम की कानून व्यवस्था समेत कई मुद्दों को लेकर भाजपा और असम के मुख्यमंत्री हिमंता बिस्वा सरमा से प्रश्न किए हैं।
कांग्रेस नेता पवन खेड़ा, जितेंद्र सिंह, गौरव गोगोई, भूपेन कुमार बोरा, देबब्रत सैकिया, रकीबुल हुसैन ने मीडिया को संबोधित किया।
कांग्रेस पार्टी ने कहा कि असम भाजपा के कुशासन से गहरे संकट में है। पीएम मोदी ‘एडवांटेज असम 2.0 शिखर सम्मेलन’ का उद्घाटन करेंगे। लेकिन, लगता है कि वे अपने विफल ‘वाइब्रेंट गुजरात’ शिखर सम्मेलन मॉडल को अब असम में लागू कर रहे हैं। बेरोजगारी अपने चरम पर है। असम की अर्थव्यवस्था गहरे संकट में है। कानून और व्यवस्था व्यावहारिक रूप से मृत है। कानून का इस्तेमाल केवल राजनीतिक विरोधियों को निशाना बनाने के लिए किया जा रहा है। अवैध अप्रवासियों से निपटने में भाजपा का पाखंड पूरी तरह से उजागर हो गया है।
कांग्रेस ने कहा कि सीएम सबसे खराब तरह की विभाजनकारी राजनीति कर रहे हैं। असम की संस्कृति को नष्ट किया जा रहा है। चाय बागानों के श्रमिकों को दुख और गरीबी का शिकार बनाया जा रहा है। असम के प्राकृतिक संसाधनों का दोहन किया जा रहा है। विकास ठप है। निवेश केवल कागजों पर है। भाजपा के 2016-2025 विजन डॉक्यूमेंट के बड़े-बड़े वादे एक बड़ा जुमला साबित हुए हैं।
कांग्रेस ने पीएम मोदी और सीएम हिमंता बिस्वा सरमा से 5 सवाल पूछे।
पहला – असम में भूमि हड़पने सहित बड़े पैमाने पर भ्रष्टाचार और घोटालों के लिए कौन जिम्मेदार है?
दूसरा – असम की युवा बेरोजगारी दर देश में सबसे ज्यादा क्यों है? भाजपा ने असम के युवाओं का भविष्य क्यों बर्बाद कर दिया है?
तीसरा – भाजपा अपने 2016 के विजन दस्तावेज में असम के लोगों से किए गए एक भी वादे को पूरा क्यों नहीं कर पाई है, जिसे 2025 तक पूरा किया जाना था?
चौथा – असम में कानून और व्यवस्था सुनिश्चित करने में भाजपा पूरी तरह विफल क्यों रही है? पुलिस का राजनीतिकरण क्यों किया जा रहा है? केवल राजनीतिक विरोधियों को ही क्यों निशाना बनाया जा रहा है? सीएम ने जातिवादी और सांप्रदायिक बयान क्यों दिए हैं?
पांचवा – भाजपा असम समझौते को बनाए रखने में विफल क्यों रही है? अवैध प्रवासियों और अवैध विदेशियों के निर्वासन के मुद्दे पर पाखंड के लिए कौन जिम्मेदार है?
–आईएएनएस
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