नई दिल्ली,10 मई (आईएएनएस)। आईएमएफ ने पाकिस्तान को 1 बिलियन डॉलर का लोन दिया है। भारत ने इस फैसले का सख्त विरोध किया है। जम्मू कश्मीर के सीएम उमर अब्दुल्ला ने इस पर हैरानी जताई तो अब कांग्रेस नेता मनीष तिवारी ने भी नाराजगी जाहिर करते हुए इसे दुर्भाग्यपूर्ण बताया है।
शनिवार को समाचार एजेंसी आईएएनएस से बातचीत के दौरान कांग्रेस नेता मनीष तिवारी ने कहा, “यह बहुत दुर्भाग्यपूर्ण है। आईएमएफ को ऐसा नहीं करना चाहिए था क्योंकि यह राशि पाकिस्तान के लोगों की मदद के लिए नहीं है। इसके बजाय यह पैसा उन आतंकवादी संगठनों को मजबूत करने के लिए जाता है, जिन्हें पाकिस्तान ने पनाह दी है, और उनके द्वारा बनाए गए आतंकवाद के नेटवर्क को मजबूत करने के लिए जाता है। इस स्थिति में, आईएमएफ का निर्णय पूरी तरह से दुर्भाग्यपूर्ण है।”
पाकिस्तान की ओर से लगातार भारतीय नागरिकों को टारगेट करने पर कांग्रेस नेता ने कहा कि पहलगाम आतंकी हमले के बाद भारत ने पाकिस्तान के आतंकवादी ठिकाने पर जो कार्रवाई की, वह अंतरराष्ट्रीय कानून के नियमों के तहत की गई है। भारत अपनी सुरक्षा के लिए कार्रवाई कर सकता है। लेकिन, ऑपरेशन सिंदूर के जवाब में पाकिस्तान जो कर रहा है, वह पूरी तरह से अवैध है। वह अपने बचाव में परिस्थितियों को जटिल और संवेदनशील बना रहा है। पाकिस्तान को इसका खामियाजा भुगतना पड़ेगा। पाकिस्तान को इसकी बड़ी कीमत चुकानी होगी।
कांग्रेस नेता ने कहा कि पाकिस्तान आतंकवाद को प्रोत्साहित करता है, जिसे भारत सहन नहीं करेगा। पाकिस्तान इसे आगे बढ़ाएगा तो अंजाम भी भुगतना ही होगा।
भारत-पाकिस्तान के बीच लगातार सैन्य कार्रवाई पर विदेश और रक्षा मंत्रालय की ओर से शनिवार को भी प्रेस ब्रीफिंग हुई। इसमें कर्नल सोफिया कुरैशी ने बताया, “पाकिस्तानी सेना ने पश्चिमी सीमाओं पर लगातार आक्रामक गतिविधियां जारी रखी हैं। उसने ड्रोन, लंबी दूरी के हथियार, युद्धक हथियार और लड़ाकू विमानों का उपयोग कर भारतीय सैन्य ढांचे को निशाना बनाया…अंतरराष्ट्रीय सीमा और एलओसी पर 26 से अधिक स्थानों पर हवाई घुसपैठ के प्रयास किए गए। भारतीय सशस्त्र बलों ने अधिकांश खतरों को सफलतापूर्वक निष्क्रिय किया।”
–आईएएनएस
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