इस्लामाबाद. दुनिया की अग्रणी टेक कंपनी माइक्रोसॉफ्ट ने पाकिस्तान में अपने 25 साल पुराने ऑपरेशन्स को पूरी तरह से बंद कर दिया है. हालांकि कंपनी की ओर से कोई आधिकारिक बयान जारी नहीं किया गया है, लेकिन रिपोर्ट्स के अनुसार, पाकिस्तान में जारी आर्थिक संकट, नियामकीय अनिश्चितता और डिजिटल नीतियों में तालमेल की कमी इसके पीछे प्रमुख कारण माने जा रहे हैं.
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, माइक्रोसॉफ्ट की पाकिस्तान में उपस्थिति पिछले कुछ वर्षों से लगातार कमजोर हो रही थी. कंपनी ने अपने स्थानीय कर्मचारियों को इस सप्ताह औपचारिक रूप से सूचित किया कि पाकिस्तान में संचालन को अब पूरी तरह समाप्त किया जा रहा है.
सूत्रों की मानें तो पाकिस्तान में बिगड़ती आर्थिक स्थिति, विदेशी निवेश में गिरावट, सरकारी नीतियों की अस्पष्टता और तकनीकी क्षेत्र में पर्याप्त विकास न होने के चलते माइक्रोसॉफ्ट जैसे वैश्विक ब्रांड के लिए वहां कारोबार जारी रखना मुश्किल हो गया था.
विशेषज्ञों का मानना है कि यह कदम पाकिस्तान के आईटी और डिजिटल इकोनॉमी के लिए एक बड़ा झटका साबित हो सकता है. माइक्रोसॉफ्ट न केवल तकनीकी सेवाएं देती थी, बल्कि स्थानीय युवाओं के लिए रोजगार और डिजिटल स्किल ट्रेनिंग का भी बड़ा माध्यम थी.
इस फैसले के बाद यह स्पष्ट होता है कि वैश्विक कंपनियों के लिए स्थिर नीतियां, भरोसेमंद कारोबारी माहौल और डिजिटल विज़न कितने अहम हैं.