जम्मू, 13 सितंबर (आईएएनएस)। 1965 के भारत-पाकिस्तान युद्ध में विजय की हीरक जयंती के उपलक्ष्य में टाइगर डिवीजन के जीओसी ने गुरुवार को जम्मू से व्हाइट वाटर राफ्टिंग अभियान को हरी झंडी दिखाई। चार दिनों तक चलने वाला यह अभियान रुद्रप्रयाग से ऋषिकेश तक गंगा के प्राचीन और चुनौतीपूर्ण जल में यात्रा करेगा।
यह अभियान उन वीरों के पराक्रम और बलिदान का प्रमाण है, जिनके कारण 1965 के युद्ध में भारतीय सशस्त्र बलों को विजय मिली। इस अभियान का उद्देश्य साहसिक खेलों, राष्ट्रीय एकता को बढ़ावा देना और युवाओं को शारीरिक और साहसिक गतिविधियों में शामिल होने के लिए प्रेरित करना भी है।
टाइगर डिवीजन की टीम ने चुनौतीपूर्ण जलमार्गों पर अपनी राफ्ट को चलाने और इस खेल के रोमांच का अनुभव करने की कला में निपुणता हासिल करने के लिए कठोर प्रशिक्षण लिया है। यह अभियान टीम को टीम वर्क, नेतृत्व, चुनौतीपूर्ण परिस्थितियों में अनुकूलनशीलता और अदम्य साहस के साथ-साथ शारीरिक शक्ति और मानसिक चपलता विकसित करने में भी मदद करेगा।
वहीं, भारतीय सेना ने शनिवार को सांबा में सैनिकों के बलिदान को श्रद्धांजलि देने और 1965 के युद्ध की हीरक जयंती मनाने के लिए एक ईएसएम रैली आयोजित की। इस अवसर पर वॉर वंडेंड फाउंडेशन का प्रतिनिधित्व ब्रिगेडियर हरचरण सिंह (सेवानिवृत्त), निदेशक, उत्तरी क्षेत्र, डब्ल्यूडब्ल्यूएफ ने किया। युद्ध में विकलांग सैनिकों को भेंट करने के लिए वॉर वंडेंड फाउंडेशन (डब्ल्यूडब्ल्यूएफ) द्वारा चार संशोधित स्कूटर प्रायोजित किए गए।
रैली की शुरुआत से पहले ब्रिगेडियर हरचरण सिंह ने 1965 के युद्ध के वीरों की स्मृति में स्थापित युद्ध स्मारक पर पुष्पांजलि अर्पित की। ईएसएम रैली में सांबा गैरीसन के कई ईएसएम और वरिष्ठ सैन्य अधिकारियों ने हिस्सा लिया। इस अवसर पर सभी को 1965 के युद्ध की संक्षिप्त जानकारी दी गई, जिसके बाद महाराजके युद्ध पर एक वीडियो दिखाया गया। इसके बाद तेजिंदर सिंह और सुरेश बाला ने भारतीय सेना के वीरों की वीरता को श्रद्धांजलि स्वरूप देशभक्ति गीत प्रस्तुत किए। 1965 के युद्ध के वीरों ने युद्ध का प्रत्यक्ष अनुभव साझा किया।
–आईएएनएस
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