उमरिया. बांधवगढ़ टाइगर रिजर्व क्षेत्र के कलवाह बीट अंतर्गत कुम्हरा मैनहवाह कैंप में तैनात बीट गार्ड रामचरण बैगा (पिता ठिमानी बैगा) का शव सोमवार देर रात टावर पर संदिग्ध अवस्था में पाया गया। घटना से क्षेत्र में सनसनी फैल गई।
मृतक के पुत्र पंचू बैगा ने गंभीर आरोप लगाते हुए बताया कि उनके पिता की तबीयत बीते 2–3 दिनों से लगातार खराब थी। उन्होंने उच्चाधिकारियों से इलाज के लिए छुट्टी मांगी थी, लेकिन छुट्टी नहीं दी गई। परिजनों के अनुसार, रविवार रात करीब 3 बजे रामचरण बैगा की हालत अचानक बिगड़ गई और उन्होंने जोर-जोर से आवाज लगाई।
टावर के नीचे मौजूद कार्यवाहक वनपाल महोबिया ने उनकी पुकार को नजरअंदाज कर दिया, जिसके चलते समय पर उपचार नहीं मिल सका और उनकी मौत हो गई।
बताया गया कि मृतक ने घर पर अंतिम बार फोन कर जानकारी दी थी कि उन्हें तेज बुखार और पेट दर्द है, लेकिन छुट्टी नहीं मिल रही। सुबह जब मौत की खबर फैली तो कैंप और आसपास के क्षेत्र में कोहराम मच गया।
परिजन और ग्रामीणों ने वन विभाग की कार्यशैली पर गंभीर सवाल उठाते हुए विरोध दर्ज कराया है। उनका कहना है कि विभागीय लापरवाही और अधिकारियों के कठोर रवैये के कारण एक कर्मचारी की जान गई है।
मौके पर सिर्फ एक बीट गार्ड की मौजूदगी रही, जबकि टाइगर रिजर्व क्षेत्र के अन्य अधिकारी अनुपस्थित रहे। परिजनों ने उच्च स्तरीय जांच की मांग करते हुए दोषियों पर कठोर कार्रवाई की मांग की है।