नई दिल्ली, 25 सितंबर (आईएएनएस)। वैश्विक आर्थिक अनिश्चितताओं और भू-राजनीतिक तनाव के बावजूद 2025 की तीसरी तिमाही में भारत में आवासीय मांग मजबूत बनी रही, जिसमें कुल बिक्री मूल्य में सालाना आधार पर 14 प्रतिशत की वृद्धि हुई। बिक्री मूल्य 2024 की तीसरी तिमाही में 1.33 लाख करोड़ रुपए से बढ़कर इस वर्ष की पहली तिमाही में 1.52 लाख करोड़ रुपए हो गया। यह जानकारी गुरुवार को आई रिपोर्ट में दी गई।
आय में वृद्धि, शहरीकरण और घर खरीदने की बढ़ती चाहत ने बिक्री में इस बढ़त को बढ़ावा दिया।
हालांकि, बिक्री की मात्रा में 9 प्रतिशत की गिरावट के साथ, इस सेक्टर को अफोर्डेबिलिटी, लागत और विभिन्न बाजारों में असमान मांग जैसी चुनौतियों का सामना करना पड़ा।
एनारॉक की रिपोर्ट में कहा गया है कि 2025 की तीसरी तिमाही में टॉप सात शहरों में 97,080 घरों की बिक्री हुई, जबकि 2024 की तीसरी तिमाही में 1.07 लाख यूनिट की बिक्री हुई थी।
टॉप सात शहरों में, मुंबई मेट्रोपॉलिटन रीजन (एमएमआ) में लगभग 30,260 यूनिट की सबसे अधिक बिक्री दर्ज की गई, इसके बाद 16,620 यूनिट के साथ पुणे का स्थान रहा।
एनारॉक ग्रुप के चेयरमैन अनूज पुरी ने कहा, “कुल मिलाकर, इन दो पश्चिमी शहरों ने 2025 की तीसरी तिमाही में टॉप 7 शहरों में कुल बिक्री का 48 प्रतिशत हिस्सा लिया। चेन्नई और कोलकाता को छोड़कर, सभी टॉप शहरों में सालाना बिक्री में गिरावट दर्ज की गई।”
इन शहरों में नई हाउसिंग सप्लाई में मामूली 3 प्रतिशत की वृद्धि हुई, 2025 की तीसरी तिमाही में लगभग 96,690 यूनिट लॉन्च किए गए, जबकि 2024 की इसी अवधि में 93,750 यूनिट लॉन्च किए गए थे।
फिर भी, बिक्री लॉन्च से अधिक रहने से पता चलता है कि मांग-आपूर्ति का समीकरण मजबूत बना हुआ है।
मुंबई मेट्रोपॉलिटन रीजन ने इस तिमाही में 29,565 यूनिट लॉन्च कर नई सप्लाई में शीर्ष स्थान हासिल किया, इसके बाद पुणे ने लगभग 19,375 यूनिट लॉन्च किए।
रिपोर्ट में कहा गया, “दिलचस्प बात यह है कि जबकि अन्य शहरों में सालाना आधार पर नई सप्लाई में गिरावट आई, पुणे, कोलकाता और चेन्नई में नई सप्लाई क्रमशः 56 प्रतिशत और 38 प्रतिशत बढ़ी।”
1.5 करोड़ रुपए की लग्जरी हाउसिंग कैटेगरी में 38 प्रतिशत की सबसे अधिक नई सप्लाई देखी गई, इसके बाद 80 लाख-1.5 करोड़ रुपए के प्रीमियम सेगमेंट का 24 प्रतिशत हिस्सा रहा। 40-80 लाख रुपए के मिड-सेगमेंट का इस तिमाही में कुल नई सप्लाई में 23 प्रतिशत का योगदान रहा, जबकि अफोर्डेबल सेगमेंट का हिस्सा 16 प्रतिशत के साथ सबसे कम था।
इस बीच, सात प्रमुख शहरों में कुल उपलब्ध हाउसिंग इन्वेंटरी में सालाना आधार पर मामूली गिरावट देखी गई, जो कि 2024 की तीसरी तिमाही के अंत के 5,64,415 यूनिट से 2025 की तीसरी तिमाही के अंत तक लगभग 5,61,756 यूनिट रह गई।
इन शहरों में औसत आवासीय कीमतें 2024 की तीसरी तिमाही की तुलना में 2025 की तीसरी तिमाही में 9 प्रतिशत की सिंगल-डिजिट ग्रोथ रही। 24 प्रतिशत के साथ एनसीआर में सालाना सबसे अधिक ग्रोथ दर्ज की गई, इसके बाद 10 प्रतिशत की बढ़ोतरी के साथ बेंगलुरु का स्थान रहा।
रिपोर्ट के अनुसार, मानसून और श्राद्ध जैसे समय के बावजूद तीसरी तिमाही में तिमाही आधार पर हाउसिंग बिक्री 1 प्रतिशत बढ़ी। कुल मिलाकर, 2025 में हाउसिंग मार्केट अब तक स्थिर है, और आगे त्योहारों के मौसम में बढ़ोतरी की उम्मीद है, जिसके लिए डेवलपर्स के पास कई प्रोजेक्ट तैयार हैं।
–आईएएनएस
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