नई दिल्ली, 2 अगस्त (आईएएनएस)। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने एनडीए सांसदों के साथ मुलाकात की अपनी मुहिम के अंतर्गत बुधवार को दो अलग-अलग समूहों में उत्तर प्रदेश के काशी, गोरखपुर एवं अवध क्षेत्र के अलावा दक्षिण भारत के तेलंगाना, आंध्र प्रदेश, तमिलनाडु, कर्नाटक, केरल, पुड्डुचेरी, अंडमान और निकोबार द्वीप समूह एवं लक्षद्वीप के 96 एनडीए सांसदों के साथ बैठक की।
तय कार्यक्रम के अनुसार, प्रधानमंत्री मोदी ने पहले एनडीए सांसदों के कलस्टर 3 में शामिल उत्तर प्रदेश के काशी, गोरखपुर और अवध क्षेत्र के 48 सांसदों के साथ बैठक की। इसके बाद एनडीए सांसदों के कलस्टर 4 में शामिल तेलंगाना, आंध्र प्रदेश, तमिलनाडु, कर्नाटक, केरल, पुड्डुचेरी, अंडमान और निकोबार द्वीप समूह एवं लक्षद्वीप के 48 सांसदों के साथ भी बैठक की।
सूत्रों के मुताबिक, प्रधानमंत्री मोदी ने उत्तर प्रदेश के काशी, गोरखपुर और अवध क्षेत्र के एनडीए सांसदों को केंद्र सरकार द्वारा किए गए जनहित के कामों का ज्यादा से ज्यादा प्रचार करने की सलाह देते हुए कहा कि गरीब ही सबसे बड़ी जाति है।
उन्होंने सांसदों से हर लाभार्थी से संपर्क करने को भी कहा। प्रधानमंत्री ने अगले वर्ष होने वाले लोकसभा चुनाव की तैयारियों के मद्देनजर सभी सांसदों को यह सलाह दी कि उन्हें अब अपने संसदीय इलाके में नए काम करवाने की बजाय सरकार द्वारा किए गए कामों के ज्यादा से ज्यादा प्रचार में जुट जाना चाहिए। इसके लिए प्रधानमंत्री ने सोशल मीडिया के लिए प्रोफेशनल टीम रखने की सलाह देते हुए सांसदों को अपने संसदीय क्षेत्र में कॉल सेंटर स्थापित करने की भी सलाह दी।
उन्होंने कहा कि सभी सांसद कॉल सेंटर स्थापित कर अपने कार्यों का प्रचार करें और प्रोफेशनल सोशल मीडिया टीम रख कर विपक्षी दलों द्वारा किए जा रहे दुष्प्रचार का जवाब देकर जनता के बीच ज्यादा से ज्यादा पैमाने पर सरकार की उपलब्धियों को पहुंचाएं, ताकि विपक्ष द्वारा फैलाए जा रहे भ्रम को दूर किया जा सके।
बताया जा रहा कि उन्होंने राज्यसभा सांसदों को भी चुनावी घमासान में उतरने का सुझाव दिया। इन दोनों बैठकों में अलग-अलग अमित शाह, राजनाथ सिंह, जेपी नड्डा, नितिन गडकरी, प्रह्लाद जोशी, वी. मुरलीधरन, अनुप्रिया पटेल और महेंद्र नाथ पांडेय भी मौजूद रहे। बैठक में सांसदों को मोदी सरकार के कामकाज की जानकारी भी दी गई।
–आईएएनएस
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