नई दिल्ली. यूट्यूब के अनुसार, इन वीडियो को प्लेटफ़ॉर्म पर अनुपयुक्त सामग्री, नफरत फैलाने वाले भाषण, और अन्य सामुदायिक दिशानिर्देशों का उल्लंघन करने के कारण हटाया गया है. लगभग 95 लाख वीडियो को डिलीट किया है, यह कदम सुरक्षित और सकारात्मक वातावरण सुनिश्चित करने के लिए उठाया गया है.
जिससे उपयोगकर्ताओं को एक स्वस्थ डिजिटल अनुभव मिल सके, जहां से लगभग 30 लाख वीडियो डिलीट किए गए. यूट्यूब, जो कि सख्त कंटेंट पॉलिसी के लिए जाना जाता है, ने हेट स्पीच, उत्पीडऩ, हिंसा और गलत जानकारी फैलाने वाले वीडियो पर प्रतिबंध लगाया है.
दर्शकों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए, यूट्यूब एआई-पावर्ड डिटेक्शन सिस्टम और ह्यूमन मॉडरेटर्स का उपयोग करता है, जिससे हानिकारक सामग्री को बड़ी संख्या में दर्शकों तक पहुंचने से पहले ही हटा दिया जाता है.
यूट्यूब द्वारा हटाए गए वीडियो में सबसे बड़ी संख्या बच्चों की सुरक्षा से जुड़े उल्लंघनों की थी. आंकड़ों के अनुसार, 50 लाख से अधिक वीडियो ऐसे थे जो बच्चों के लिए हानिकारक माने गए. इसके अलावा, अन्य प्रमुख कारण जिनकी वजह से वीडियो हटाए गए.
यूट्यूब ने केवल वीडियो ही नहीं, बल्कि 48 लाख चैनल भी डिलीट किए. इनमें ज्यादातर चैनल स्पैम और धोखाधड़ी फैलाने के लिए बनाए गए थे. जब किसी चैनल को हटाया जाता है, तो उसके सभी वीडियो भी प्लेटफॉर्म से गायब हो जाते हैं.
यूट्यूब ने अपने प्लेटफॉर्म से 120 करोड़ कमेंट्स हटाए, जिनमें से ज्यादातर स्पैम थे. कुछ कमेंट्स उत्पीडऩ, हेट स्पीच या धमकियों के कारण डिलीट किए गए. यूट्यूब लगातार अपने कंटेंट मॉडरेशन सिस्टम को सुधार रहा है ताकि अनुचित और भ्रामक सामग्री प्लेटफॉर्म पर न फैले.